गुरुवार, 28 अप्रैल 2022

वायरस: पहली बार 10 हजार से अधिक मामलें

वायरस: पहली बार 10 हजार से अधिक मामलें  


सुनील श्रीवास्तव            

ताइपे। ताइवान ने बड़े पैमाने पर अपनी सीमाओं को बंद कर दिया है और संक्रमण की संख्या को कम रखने के लिए महामारी के दौरान सख्त क्वारंटीन नियमों को लागू किया है। नेशनल ताइवान यूनिर्वर्सिटी में एसोसिएट प्रोफ़ेसर लिन सिएन-हो बताते हैं कि अस्पतालों में पहले जैसी गंभीरता से टेस्टिंग बंद होने लगी‌। यहाँ तक कि जिन्हें बुख़ार आता उनकी भी जाँच नहीं की जाती जो कि कोरोना संक्रमण का एक सामान्य लक्षण है। ताइवान में गुरुवार को पहली बार 10,000 से अधिक कोरोना के नए मामलें दर्ज किए गए।ताइवान की सरकार ने हाल ही में अपनी जीरो-कोविड पॉलिसी से दूर जाने और कोरोना वायरस के साथ रहने का फैसला किया है।

कोरोना संक्रमण एक बार फिर बढ़ रहा है। इस सप्ताह राजधानी शहर ताइपे में, निवासियों को टेस्ट किट खरीदने के लिए फार्मेसियों के बाहर लाइन में खड़ा देखा जा सकता है। स्वास्थ्य मंत्री चेन शिह-चुंग ने कहा, "हमारे पास 11,353 स्थानीय संक्रमण के मामले, दो मौतें और 164 आयातित मामले हैं।

मामलों में तेजी से वृद्धि होना निश्चित है..

ताइवान के स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार इस साल 1 जनवरी 2022 से दर्ज किए गए 51,504 संक्रमणों में से 99.7 प्रतिशत हल्के या एसिम्टोमैटिक हैं। अवधि में सात कोविड -19 मौतें हुईं। स्वास्थ्य मंत्री चेन शिह-चुंग ने कहा, "हम ऐसे चरण में हैं। जहां (संक्रमण) मामलों में तेजी से वृद्धि होना निश्चित है। जो अपरिहार्य है। चेन ने चेतावनी दी कि द्वीप के दैनिक संक्रमण के मामले एक सप्ताह में दोगुने से अधिक 37,000 हो सकते हैं। ताइवान की लगभग 80 प्रतिशत आबादी का दोहरा टीकाकरण हो चुका है। जबकि 58 प्रतिशत ने तीसरा बूस्टर लिया है। हालांकि, बुजुर्गों के बीच वैक्सीन टेक-अप (सबसे अधिक जोखिम वाले डेमोग्राफिक), ताइवान के लिए एक चिंता बनी हुई है। जिसमें 75 से अधिक लोगों में से केवल 59 प्रतिशत के पास पूरे तीन जैब्स (jabs) हैं। महामारी शुरू होने के बाद से ताइवान में 88,000 मामलें सामने आए और 860 मौतें हुई हैं।

पहली तिमाही में सोने की मांग 18 प्रतिशत घटी

पहली तिमाही में सोने की मांग 18 प्रतिशत घटी

कविता गर्ग 

नई दिल्ली। वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (डब्ल्यूजीसी) के अनुसार वर्ष 2022 की पहली तिमाही में भारत में सोने की मांग 18 प्रतिशत घटकर 135.5 टन रह गई। डब्ल्यूजीसी ने कहा कि मुख्य रूप से कीमतों में तेज वृद्धि के कारण मांग घटी। वर्ष 2021 के पहले तीन महीनों में सोने की मांग 165.8 टन थी।

सोने की मांग पर डब्ल्यूजीसी द्वारा जारी रिपोर्ट में कहा गया कि कीमत के लिहाज से जनवरी-मार्च में सोने की मांग 12 फीसदी घटकर 61,550 करोड़ रुपये रह गई। एक साल पहले की इसी अवधि में यह आंकड़ा 69,720 करोड़ रुपये था।

डब्ल्यूजीसी के क्षेत्रीय सीईओ (भारत) सोमसुंदरम पी आर ने पीटीआई-भाषा को बताया कि जनवरी में सोने की कीमतें बढ़ने लगीं और कीमती धातु इस साल की पहली तिमाही में आठ प्रतिशत बढ़कर 45,434 रुपये प्रति 10 ग्राम (करों के बिना) के स्तर पर पहुंच गई।

रिपोर्ट के अनुसार समीक्षाधीन तिमाही के दौरान देश में आभूषणों की कुल मांग 26 प्रतिशत गिरकर 94.2 टन रह गई, जो पिछले साल की इसी अवधि में 126.5 टन थी। इस दौरान मूल्य के लिहाज से आभूषणों की मांग में 20 प्रतिशत की कमी हुई।

डब्ल्यूजीसी की रिपोर्ट में कहा गया कि मार्च तिमाही में सोने की वैश्विक मांग 34 प्रतिशत बढ़कर 1,234 टन हो गई। भूराजनीतिक और आर्थिक अनिश्चितता के बीच निवेशकों ने सुरक्षित निवेश की ओर रुख किया। वर्ष 2021 की पहली तिमाही के दौरान वैश्विक स्तर पर सोने की मांग 919.1 टन थी। 

यूएससीआईआरएफ की रिपोर्ट, घृणा की भावना

यूएससीआईआरएफ की रिपोर्ट, घृणा की भावना

अखिलेश पांडेय
नई दिल्ली/वाशिंगटन डीसी। एक हिंदू संगठन ने यहां धार्मिक स्वतंत्रता पर यूएससीआईआरएफ की रिपोर्ट को ‘‘हिंदुओं के प्रति नफरत या घृणा की भावना रखने वाले’', (हिंदूफोबिक) आयोग के सदस्यों का काम बताया। जबकि मुस्लिम और ईसाई समूहों ने इसमें की गई टिप्पणियों की प्रशंसा करते हुए अमेरिका से भारत को ‘‘खास चिंता वाला देश’’ घोषित करने की मांग की।
अंतरराष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता पर अमेरिकी आयोग (यूएससीआईआरएफ) की इस रिपोर्ट में राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रशासन को धार्मिक स्वतंत्रता के दर्जे के संबंध में भारत, चीन, पाकिस्तान, अफगानिस्तान और 11 अन्य देशों को ‘‘खास चिंता वाले देशों’’ की सूची में डालने की सिफारिश की गयी है। हालांकि, अमेरिकी सरकार इस सिफारिश को मानने के लिए बाध्य नहीं है।
‘वर्ल्ड हिंदू काउंसिल ऑफ अमेरिका’ की एक पहल ‘हिंदूपैक्ट’ ने एक बयान में आरोप लगाया कि यूएससीआईआरएफ पर ‘‘भारत और हिंदुओं के प्रति नफरत या घृणा का भाव रखने वाले सदस्यों’’ का कब्जा हो गया है। इंस्टीट्यूशन’ (एएमआई) और उसे संबद्ध संगठनों ने यूएससीआईआरएफ की सिफारिशों की प्रशंसा करते हुए कहा कि भारत में धार्मिक आजादी की स्थितियां 2021 में ‘‘बहुत ज्यादा खराब’’ हो गयीं।
‘फेडरेशन ऑफ इंडियन अमेरिकन क्रिश्चियन ऑर्गेनाइजेशंस’ और ‘इंडियन अमेरिकन मुस्लिम काउंसिल’ ने भी अलग-अलग बयानों में यूएससीआईआरएफ की सिफारिशों की प्रशंसा की।
बहरहाल, भातर ने ऐसे आरोपों को खारिज किया है। अमेरिकी सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों ने सांसदों को बताया कि भारत का एक जीवंत नागरिक समाज, स्वतंत्र न्यायपालिका और एक परिपक्व लोकतंत्र है, जिसमें आंतरिक मानवाधिकार की कोई चिंता पैदा होने पर उससे निपटने के लिए पर्याप्त तंत्र हैं।
हिंदूपैक्ट ने एक बयान में यूएससीआईआरएफ की आलोचना की। हिंदूपैक्ट के कार्यकारी निदेशक उत्सव चक्रवर्ती ने आरोप लगाया, ‘‘इस साल की रिपोर्ट में पिछले वर्षों में आयी रिपोर्टों की प्रवृत्ति ही दिखायी देती है। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और कश्मीर जैसे विषयों पर सार्वजनिक रूप से उपलब्ध जानकारी के आधार पर यूएससीआईआरएफ की रिपोर्ट कट्टरपंथी इस्लामी समूह जस्टिस फॉर ऑल के साथ काम कर रहे इस्लामी समूहों की चर्चा की नकल है, जिनके मंच पर यूएससीआईआरएफ के आयुक्त नियमित तौर पर दिखायी देते रहते हैं।
‘वर्ल्ड हिंदू काउंसिल ऑफ अमेरिका’ (वीएचपीए) के अध्यक्ष अजय शाह ने कहा, ‘‘यह जाहिर है कि यूएससीआईआरएफ में भारत और हिंदुओं के प्रति नफरत या घृणा की भावना रखने वाले सदस्यों का कब्जा हो गया है।

तेज रफ्तार कार पलटी-टकराई, 3 लोगों की मौंत

तेज रफ्तार कार पलटी-टकराई, 3 लोगों की मौंत

संदीप मिश्र
उन्नाव। उन्नाव जिले के बांगरमऊ कोतवाली क्षेत्र में लखनऊ-आगरा एक्सप्रेस वे पर एक तेज रफ्तार कार के पलट जाने और उसके एक अन्य कार से टकरा जाने से तीन लोगों की मौत हो गयी और छह लोग घायल हो गए।
पुलिस सूत्रों ने बृहस्पतिवार को बताया नासिरापुर गांव के पास हवाई पट्टी के निकट बुधवार देर रात एक तेज रफ्तार कार पलट गई और सामने से आ रही एक अन्य कार की उससे टक्कर हो गई।
इस हादसे में पवन (23), चिंतन (18) और छह माह की बच्ची की मौत हो गई। हादसे में गंभीर रूप से घायल छह लोगों को जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां से उन्हें लखनऊ रेफर कर दिया गया।
शेखर सिंह के अनुसार दुर्घनाग्रस्त हुई कार में राजस्थान के एक ही परिवार के नौ लोग सवार थे जिनमें से तीन की मौत हो गई।

रेप: 20 वर्ष सश्रम सजा, 10 हजार अर्थदंड

रेप: 20 वर्ष सश्रम सजा, 10 हजार अर्थदंड 

दुष्यंत टीकम 
महासमुंद। डरा धमकाकर और शादी का झांसा देकर नाबालिग से रेप के मामले में दोष सिद्ध होने पर लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 के विशेष न्यायाधीश योगिता विनय वासनिक ने तुमगांव थाना क्षेत्र के ग्राम जोबा निवासी रूपेंद्र मांडले 21 साल को धारा 6 के तहत 20 वर्ष सश्रम कारावास की सजा व 10 हजार रुपए के अर्थदंड से दंडित किया है।
अभियोजन के अनुसार, 27 जनवरी 2021 को रात्रि 11 बजे एक नाबालिग को जान से मारने की धमकी देकर और शादी का प्रलोभन देकर बलात मोटर साइकिल में बैठाकर अपने मामा के गांव बनरसी ले गया और तीन दिन तक रेप किया। नाबालिग के विरोध करने पर वह जान से मारने की धमकी देता था। इस पर तुमगांव थाने में धारा 363, 366, 376-2, एवं 506 भादस एवं धारा 4, 6 लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 के तहत अपराध दर्ज कर विवेचना के बाद मामला कोर्ट को सौंपा गया था। जहां आरोप दोष सिद्ध होने पर आरोपी रूपेंद्र मांडले को सजा सुनाई गई।

धरती के महान सपूत लचित की 400वीं जयंती

धरती के महान सपूत लचित की 400वीं जयंती 

इकबाल अंसारी  
दिसपुर। पीएम मोदी आज असम के दौरे पर हैं। असम के दीफू में पीएम मोदी ने कहा कि ये सुखद संयोग है कि आज जब देश आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है, तब हम इस धरती के महान सपूत लचित बोरफुकान की 400वीं जयंती भी मना रहे हैं। उनका जीवन राष्ट्रभक्ति और राष्ट्रशक्ति की प्रेरणा है। कार्बी आंगलोंग से देश के इस महान नायक को मैं नमन करता हूं।
पीएम ने आगे कहा कि डबल इंजन की सरकार, जहां भी हो वहां सबका साथ, सबका विकास एवं सबका विश्वास और सबका प्रयास की भावना से काम करती है। आज ये संकल्प कार्बी आंगलोंग की इस धरती पर फिर सशक्त हुआ है। असम की स्थाई शांति और तेज़ विकास के लिए जो समझौता हुआ था, उसको ज़मीन पर उतारने का काम तेज़ी से चल रहा है। आज असम में भी 2600 से अधिक अमृत सरोवर बनाने का काम शुरू हो रहा है। सरोवरों का निर्माण पूरी तरह से जनभागीदारी पर आधारित है। ऐसे सरोवरों की तो जनजातीय समाज में एक समृद्ध परंपरा रही है। इससे गांवों में पानी के भंडार तो बनेंगे ही, इसके साथ-साथ ये कमाई के भी स्रोत बनेंगे।
उन्होंने आगे कहा कि 2014 के बाद से नॉर्थ ईस्ट में मुश्किलें कम हो रही हैं, लोगों का विकास हो रहा है। आज जब कोई असम के जनजातीय क्षेत्रों में आता है, नॉर्थ ईस्ट के दूसरे राज्यों में जाता है, तो हालात को बदलते देखकर उसे भी अच्छा लगता है। असम के अलावा त्रिपुरा में भी NLFT ने शांति के पथ पर कदम बढ़ाए।करीब ढाई दशक से जो ब्रू-रियांग से जुड़ी समस्या चल रही थी, उसको भी हल किया गया है।
पिछले वर्ष सितंबर में कार्बी आंगलोंग के अनेक संगठन शांति और विकास के संकल्प से जुड़े।2020 में बोडो समझौते ने स्थाई शांति के नए द्वार खोले। लंबे समय तक नॉर्थ ईस्ट के अनेक राज्यों में रहा है, लेकिन बीते 8 सालों के दौरान स्थाई शांति और बेहतर कानून व्यवस्था लागू होने के कारण हमने AFSPA को नॉर्थ ईस्ट के कई क्षेत्रों से हटा दिया है।
सबका साथ, सबका विकास की भावना के साथ आज सीमा से जुड़े मामलों का समाधान खोजा जा रहा है। असम और मेघालय के बीच बनी सहमति दूसरे मामलों को भी प्रोत्साहित करेगी। इससे इस पूरे क्षेत्र के विकास की आकांक्षाओं को बल मिलेगा।
जनजातीय समाज की संस्कृति, यहां की भाषा, खान-पान, कला, हस्तशिल्प, ये सभी हिंदुस्तान की समृद्ध धरोहर है। असम तो इस मामले में और भी समृद्ध है। यही सांस्कृतिक धरोहर भारत को जोड़ती है, एक भारत श्रेष्ठ भारत के भाव को मज़बूती देती है।
उन्होंने आगे कहा कि आजादी के इस अमृतकाल में कार्बी आंगलोंग भी शांति और विकास के नए भविष्य की तरफ बढ़ रहा है। अब यहां से हमें पीछे मुड़कर नहीं देखना है। आने वाले कुछ वर्षों में हमें मिलकर उस विकास की भरपाई करनी है, जो बीते दशकों में हम नहीं कर पाए।

पत्नी को पत्र लिखकर तलाक दिया: दुखद

पत्नी को पत्र लिखकर तलाक दिया: दुखद

अंकुर कुमार       
लखनऊ/बर्लिन। राजधानी लखनऊ में में ट्रिपल तलाक का मामला सामने आया है। आरोप है कि मनचाहा दहेज न मिला तो पत्नी को एक साल बाद मायके भेज दिया। इसके बाद जर्मनी में रह रहे शौहर ने अपनी पत्नी को पत्र लिखकर तीन बार तलाक दे दिया। साथ ही यह लिखा कि अब उनका कोई रिश्ता नहीं है। यह देख पत्नी दंग रह गई। पीड़िता और परिवारीजनों ने ससुराल में जाकर मिन्नतें की लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। इसके बाद विवाहिता ने विभूतिखंड थाने में केस दर्ज कराया है। फिलहाल पुलिस जांच पड़ताल में जुटी है।
पुलिस के मुताबिक, विक्रांतखंड निवासी महिला की शादी 4 फरवरी 2021को नवी मुंबई निवासी करीम मकबूल से हुई थी। महिला के अनुसार, शादी के समय करीब 12 लाख 50 हजार रुपये खर्च किए गए थे। पीड़िता ने बताया कि विदा होकर वह जब ससुराल पहुंची तो पहले दिन से ही उसे कम दहेज लाने पर ताने दिए जाने लगे थे। लेकिन वह किसी तरह से ससुराल में रहती रही। पीड़िता ने आगे बताया कि पति करीम मकबूल के साथ उसके माता-पिता भी अपशब्द कहते थे। आपत्ति करने पर उसे पीटा जाता था। शादी के कुछ दिनों बाद ही करीम मकबूल नौकरी करने के लिए जर्मनी चला गया था।
उसके जाने के बाद सास-ससुर की प्रताड़ना बढ़ गई थी। उसे जबरन मायके भेजा गया था। 16 अप्रैल को उसे एक खत मिला जो पति की तरफ से आया था।  खत में करीम मकबूल ने महिला से रिश्ता तोड़ते हुए तलाक देने की बात लिखी थी। उसे पढ़कर महिला सदमे में चली गई। परिवार वालों को जब खत के बारे में पता चला तो उन्होंने रिश्ता बचाने के लिए कई प्रयास किए। लेकिन करीम और उसके परिवार वाले कुछ सुनने को तैयार नहीं थे। प्रभारी निरीक्षक डॉ. आशीष मिश्र के अनुसार, पीड़िता की तहरीर पर करीम मकबूल और उसके मां-बाप के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है।

श्रीलंका के बाद नेपाल में भी आर्थिक संकट

श्रीलंका के बाद नेपाल में भी आर्थिक संकट

सुनील श्रीवास्तव 
कोलंबो। श्रीलंका के बाद नेपाल में भी आर्थिक संकट गहराने लगा है। पिछले 20 दिनों से दवा सहित रोजमर्रा के सामान के दाम बढ़ रहे हैं। नेपाल ने पिछले 5 साल में 100 करोड़ रुपये से ज्यादा की ताश की गड्डी विदेशों से आयात की है। पेट्रोल 41 रुपये और डीजल 20 रुपये महंगा हो चुका है। यही नहीं सरसों तेल (15 लीटर टीन) के दाम में 350 रुपये तक की बढ़ोतरी हुई है। आर्थिक संकट को देखते हुए नेपाल ने शराब और तंबाकू समेत कारों और अन्य मंहगे सामानों के आयात पर औपचारिक रूप से प्रतिबंध लगा दिया है।
नेपाल ने जुलाई 2021 के बाद से ही बढ़ते आयात, निवेश के प्रवाह में गिरावट और पर्यटन तथा निर्यात से कम आय के कारण विदेशी मुद्रा भंडार में गिरावट देखी है।‌ देश के केंद्रीय बैंक 'नेपाल राष्ट्र बैंक' के डिप्टी गवर्नर बम बहादुर मिश्रा ने कहा, ''प्रतिबंध मंगलवार से प्रभावी हो गया है और जुलाई, 2022 के मध्य तक लागू रहेगा। इस आशय का एक नोटिस नेपाल के राजपत्र में भी प्रकाशित किया गया है।
'नेपाल राष्ट्र बैंक' के डिप्टी गवर्नर ने कहा, ''तेजी से घट रही विदेशी मुद्रा को रोकने के लिए कार, 250 सीसी से ऊपर की बाइक, 32 इंच से ऊपर के रंगीन टीवी, तंबाकू और शराब जैसी लग्जरी वस्तुओं का आयात फिलहाल रोक दिया गया है।
दरअसल, रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण पेट्रोलियम उत्पाद का आयात बढ़ा कीमत पर होने से दवाइयों से लेकर सभी खाने-पीने की चीजें महंगी हो रही हैं। 8 महीनों में देश के विदेशी मुद्रा भंडार में 17 फीसदी की गिरावट दर्ज हुई। पर्यटन नेपाल की आय का बड़ा स्रोत है, जो कोविड के बाद प्रभावित हुआ है।
नेपाल ने पिछले पांच साल में करीब 100 करोड़ रुपये से ज्यादा की ताश विदेशों से आयात किया है। नेपाल में सिर्फ कैसिनो में ही नहीं बल्कि दशहरा, दिवाली जैसे मौके पर घर- घर में ताश खेलने की परम्परा है। सिर्फ दिवाली के मौके पर ही 9 करोड़ रुपए से अधिक का ताश आयात किया था।

48 मिलियन डॉलर की उच्चतम बोली, नीला हीरा

48 मिलियन डॉलर की उच्चतम बोली, नीला हीरा

अखिलेश पांडेय  
प्रिटोरिया। दुनिया का सबसे बड़ा नीले रंग का हीरा, जिसकी कीमत 57.5 मिलियन डॉलर, लगभग 4.4 अरब रुपये लगी। हांगकांग में फाइन आर्ट्स कंपनी सोथबी ने ये हीरा नीलाम किया। सोथबी के मुताबिक 15.10 कैरेट का स्टेप कट रत्न को ‘द डी बीयर्स कलिनन ब्लू’ नाम दिया गया है।
चार खरीदारों के बीच आठ मिनट तक बोली लगाने का युद्ध चलता रहा। एक अज्ञात खरीदार ने फोन कर इस हीरे के लिए 48 मिलियन डॉलर की उच्चतम बोली लगाई थी। यह दुर्लभ हीरा 2021 में दक्षिण अफ्रीका की कलिनन माइन में पाया गया था।
रंगीन हीरों में इसकी रैंकिंग उच्चतम है।
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सोथबी के एक बयान के मुताबिक जेमोलॉजिकल इंस्टीट्यूट ऑफ अमेरिका ने इस गहने को एक ‘फैंसी विविड ब्लू’ के रूप में वर्गीकृत किया है। संगठन में अब तक जितने भी ब्लू डायमंड भेजे गए हैं उनमें से इसकी कलर ग्रेडिंग टॉप पर है, जो अब तक सिर्फ एक ही फीसदी हीरों की ही है।
सोथबी ने हीरे को असाधारण रूप से दुर्लभ बताया और कहा कि अब तक 10 कैरेट से ऊपर के सिर्फ पांच रत्न नीलामी में आए हैं। कभी भी कोई 15 कैरेट से ज्यादा नहीं रहा। इस हीरे की नीलामी अपने आप में महत्वपूर्ण घटना है। द डी बीयर्स कलिनन ब्लू हीरे की नीलामी 57,471,960 डॉलर में हुई।ये हीरा सबसे महंगा हीरा होने का रिकॉर्ड बनाने से थोड़ा सा ही चूक गया।
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अभी तक सबसे महंगा हीरा 14.62 कैरेट का “ओपेनहाइमर ब्लू” है, जो 2016 में 57,541,779 डॉलर (4,404,218,780 रुपए) में नीलाम हुआ था। दोनों की कीमत में 70 हजार डॉलर का अंतर था।

मंगल ग्रह पर 2 बड़े भयानक भूकंप दर्ज किए

मंगल ग्रह पर 2 बड़े भयानक भूकंप दर्ज किए 

अखिलेश पांडेय        
वाशिंगटन डीसी/लंदन। मंगल ग्रह पर पिछले कुछ दिनों से रहस्यमयी भूकंप आ रहे हैं। इससे पहले ऐसी घटना वैज्ञानिकों ने कभी देखी नहीं थी। लेकिन हाल ही में दो बड़े भयानक भूकंप दर्ज किए गए‌। इन दोनों भूकंपों की तारीखें और तीव्रता नासा  के इनसाइट लैंडर  ने दर्ज की है। हालांकि यह माना जा रहा है कि लाल ग्रह के अंदर किसी तरह की ज्वालामुखीय घटना हो रही है। यह ग्रह काफी ज्यादा सक्रिय है। इनसाइट लैंडर ने नवंबर 2018 में मंगल ग्रह की सतह पर अपने कदम जमाए थे। तब से लेकर अब तक इसने कई मार्सक्वेक  यानी, मंगल ग्रह पर भूकंप दर्ज किए लेकिन हाल ही में दो बड़े स्तर के भूकंपों ने इस लैंडर को भी हिला दिया। इंग्लैंड स्थित यूनिवर्सिटी ऑफ ब्रिस्टल में सीस्मोलॉजिस्ट एना होर्लेस्टन ने एक बयान में कहा कि यह बेहद बड़े और दूर तक असर दिखाने वाली गतिविधियां हैं।
मंगल ग्रह पर आए अब तक के भूकंपों में सबसे भयानक और बड़े जो इंसानों ने दर्ज किए है। पहले भूकंप को नाम दिया गया है S0976a। इसकी तीव्रता 4.2 थी। यह 25 अगस्त 2021 को आया था। इसका केंद्र मंगल ग्रह की सबसे बड़ी घाटी वैलेस मैरिनेरिस थी। यह घाटी 4000 किलोमीटर लंबी है। लेकिन इसकी तीव्रता को इस घाटी के विपरीत दिशा में ग्रह के दूसरी तरफ मौजूद इनसाइट लैंडर  ने दर्ज किया। इस घाटी में कई भूकंपीय फॉल्ट्स हैं। यह सौर मंडल का सबसे बड़ा कैनयन सिस्टम है। यहां प भूस्खलन भी होता रहता है। 'खतरनाक' एस्टेरॉयड, 780 मीटर है लंबाई दूसरे भूकंप का नाम है S1000a। पहले भूकंप के 24 दिन बाद 18 सितंबर को आया। इसकी तीव्रता 4.1 थी। लेकिन इसका केंद्र पता नहीं चल पाया। यह भूकंप 94 मिनट तक मंगल ग्रह को कंपकंपाता रहा। यह मंगल ग्रह पर अब तक दर्ज सबसे लंबी भूकंपीय गतिविधि थी। इनसाइट लैंडर के सीस्मोमीटर ने यहां पर धरती पर आने वाले भूकंपों की तरह दो तरह की तरंगों को महसूस किया। जिन्हें प्रेशर वेव्स गतिविधियों से यह पता चलता है कि मंगल ग्रह फिलहाल मरने वाला तो नहीं है। लेकिन उसके अंदर बहुत ज्यादा खलबली मची हैं। मंगल ग्रह के अंदर लगातार घरघराहट हो रही है। भूकंपीय गतिवधियां बढ़ी हुई हैं। ऑस्ट्रेलिया में स्थित ऑस्ट्रेलियन नेशनल यूनिवर्सिटी के जियोफिजिसिस्ट हरवोए कालसिक ने कहा कि हमारे लिए यह जरूरी है कि हम मंगल ग्रह के मैंटल  को समझे। हरवोए कालसिक ने कहा कि मैंटल को समझने से हम यह जान पाएंगे कि यहां इतने भूकंप क्यों आ रहे हैं। दूसरा यह ग्रह कैसे विकसित हुआ। सौर मंडल में कैसे ग्रहों का निर्माण हुआ। बहुत समय से वैज्ञानिक यह मानकर चल रहे थे कि मंगल ग्रह शांत है। किसी तरह की गतिविधियां नहीं हो रही हैं, हो सकता है कि वह मरने की कगार पर जा रहा हो। लेकिन इन गतिविधियों ने बता दिया कि मंगल जीवित है और पूरी तरह से दमदार है। आएगा बदलाव मंगल ग्रह  के पास चुंबकीय शक्ति बहुत कम है। किसी भी ग्रह की चुंबकीय शक्ति उसके अंदर से पैदा होती है। जिसे आमतौर पर डायनमो  कहते हैं। यानी एक गर्म तरल पदार्थ का घूमता हुआ इलेक्ट्रकिली चार्ज्ड गोला। इसकी वजह से काइनेटिक एनर्जी चुंबकीय शक्ति में बदल जाती है। इसकी वजह से ग्रह के चारों तरफ मैग्नेटिक फील्ड का निर्माण होता है। मंगल ग्रह के चारों तरफ चुंबकीय शक्तियां कम हैं। चुंबकीय शक्ति की वजह से किसी भी ग्रह के लिए जीवन और मौत के बीच की प्रमुख डोर होती है। जैसे धरती पर मौजूद चुंबकीय शक्ति कि वजह से ग्रह और इस पर रहने वाले जीव-जंतु अंतरिक्ष के रेडिएशन से बच जाते हैं। मंगल ग्रह पर रेडिएशन का स्तर बहुत ज्यादा है। जबकि, धरती की तुलना में वह सूरज से काफी ज्यादा दूर है। हरवोए कालसिक ने कहा कि बिना चुंबकीय शक्ति के किसी भी ग्रह पर जीवन संभव नहीं है। लेकिन जब साल 2018 में अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा  के इनसाइट लैंडर  ने मंगल ग्रह की धड़कनों को सुनना शुरु किया तो वैज्ञानिकों को पहली बार इस बात के पुख्ता सबूत मिले कि वहां पर भूकंप आते हैं। इनसाइट ने सैकड़ों भूकंपों को दर्ज किया है। जियोफिजिसिस्ट वीजिया सुन ने मंगल ग्रह से संबंधित इनसाइट और उससे अलग डेटा की स्टडी की। दोनों ने गैर-पारंपरिक तरीके से इनकी गणना की। मंगल ग्रह पर आने वाले भूकंपों को मार्सक्वेक  कहते हैं। इन दोनों ने 47 जोड़े भूकंपीय गतिविधियों का अध्ययन किया। जोड़े से मतलब ये है कि भूकंप की लहर एक तरफ से जाकर वापस लौटे तो उसे जोड़ा कहा जाता है। दोनों वैज्ञानिकों ने देखा कि यह भूकंप मंगल ग्रह के सेरबेरस फॉसे नाम की जगह से पैदा हो रहे हैं। यह ऐसा स्थान है। जहां पर कई फॉल्ट्स बने हैं। साल 2019 में मई से जुलाई महीने के बीच इस जगह से दो बड़े भूकंप पैदा हुए। जिनके आसपास कई छोटे भूकंपों की सीरीज चलती रही। हर सीरीज हर एक बड़े भूकंप से संबंधित थी। लेकिन इन भूकंपों के पैदा होने की सही वजह नहीं पता चल रही थी। हरवोए कालसिक ने कहा कि नासा के डेटा के अनुसार पहले आए भूकंप रात में रिकॉर्ड किए गए। लेकिन जिन 47 भूकंपों की बात हम कर रहे हैं, वो मंगल ग्रह के मैंटल की वजह से पैदा हुए हैं। इनकी शुरुआत सेरबेरस फॉसे से हुई। यह इलाका एक करोड़ से साल से काफी ज्यादा सक्रिय है। यहां पर काफी ज्यादा भूकंप आ रहे हैं। क्योंकि मंगल ग्रह के अंदर मैग्मा का बहाव काफी ज्यादा हो रहा।

बैंक ऑफ इंडिया, 696 पदों पर निकाली भर्ती

बैंक ऑफ इंडिया, 696 पदों पर निकाली भर्ती 

अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। बैंक ऑफ इंडिया की तरफ से कुल 696 पदों पर भर्ती निकाली गई है। इसके लिए आवेदन 26 अप्रैल 2022 से शुरू हो जाएंगे। आवेदन करने की लास्ट डेट 10 मई 2022 है।
बता दें कि बैंक ऑफ इंडिया ने 19 अप्रैल को एक भर्ती विज्ञापन जारी किया था। इसमें विभिन्न विभागों में स्केल 4 तक के अधिकारी रैंक के पदों पर नियमित और संविदा के आधार पर भर्तियों के लिए अधिसूचना है।
बैंकिंग क्षेत्र में सरकारी नौकरी करके करियर बनाने की इच्छा रखने वाले अभ्यर्थियों के पास सुनहरा मौका है।
यह नौकरियां बैंक ऑफ इंडिया की तरफ से निकाली गई है। कुल पदों की संख्या 696 है। इसके लिए आवेदन 26 अप्रैल 2022 से शुरू हो जाएंगे। ऐसे में अभ्यर्थियों की जानकारी के लिए बता दें कि आवेदन प्रक्रिया और चयन प्रक्रिया किस आधार पर होगी।
इससे अभ्यर्थियों को आवेदन में किसी तरह की असुविधा नहीं होगी। आवेदन करने की लास्ट डेट 10 मई 2022 है। बता दें कि बैंक ऑफ इंडिया ने 19 अप्रैल को एक भर्ती विज्ञापन जारी किया था। इसमें विभिन्न विभागों में स्केल 4 तक के अधिकारी रैंक के पदों पर नियमित और संविदा के आधार पर भर्तियों के लिए अधिसूचना है।
विज्ञापन के आधार पर रिस्क मैनेजर, क्रेडिट एनालिस्ट, इकनॉमिस्ट, स्टैटिस्टिशियन, क्रेडिट ऑफिसर, टेक अप्रेजल और आइटी ऑफिसर-डाटा सेंटर के कुल 594 पदों पर नियमित आधार पर भर्ती की जाएगी।
इसके अलावा 102 पदों पर संविदा आधार पर सीनियर मैनेजर (आइटी), मैनेजर आइटी, सीनियर मैनेजर (नेटवर्क सिक्यूरिटी), सीनियर मैनेजर (नेटवर्क राउटिंग एण्ड स्वीचिंग स्पेशलिस्ट्स), मैनेजर (इंड प्वाइंट सिक्यूरिटी), मैनेजर (डाटा सेंटर), मैनेजर (डाटाबेस एक्टपर्ट), मैनेजर (टेक्नोलॉजी आर्किटेक्ट) और मैनेजर (अप्लीकेशन आर्किटेक्ट) की भर्ती की जाएगी।

मस्जिदों से लाउडस्पीकर उतारे, योगी की प्रशंसा

मस्जिदों से लाउडस्पीकर उतारे, योगी की प्रशंसा
कविता गर्ग  
मुंबई। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के प्रमुख राज ठाकरे ने मंदिरों और मस्जिदों से लाउडस्पीकर उतारने का आदेश देने वाले उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की प्रशंसा की है। राज ठाकरे ने ट्वीट कर लिखा है कि धार्मिक स्थलों खासकर मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने को लेकर मैं योगी सरकार को पूरे दिल से बधाई देता हूं। दुर्भाग्य से महाराष्ट्र में कोई ‘योगी’ नहीं है, हमारे पास भोगी हैं। मैं ईश्वर से सद्बुद्धि देने की पार्थना करता हूं।
विवाद की शुरुआत राज ठाकरे ने ही की थी। उन्होंने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने को कहा था।
इसके बाद यह विवाद महाराष्ट्र से यूपी तक पहुंच गया। इस बीच सीएम योगी आदित्यनाथ ने सभी धार्मिक स्थलों से अवैध लाउडस्पीकर उतारने का आदेश देते हुए कहा कि यदि कहीं लाउडस्पीकर बज भी रहा है तो उसकी आवाज परिसर से बाहर नहीं आनी चाहिए। यूपी में 72 घंटे के भीतर करीब 11 हजार लाउडस्पीकर उतारे जा चुके हैं।

सरकार का राज्य सरकारों के बीच अंतर व्यवहार

सरकार का राज्य सरकारों के बीच अंतर व्यवहार 

मीनाक्षी लोढी 

कोलकाता। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने केंद्र सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गैर-भाजपा शासित राज्यों पर पेट्रोल और डीजल पर मूल्य वर्धित कर नहीं कम करने का आरोप लगाया है, लेकिन तथ्य यह है कि केंद्र सरकार सिर्फ भाजपा शासित राज्यों को तरजीह दे रही है और बाकी की अनदेखी कर रही है, बकाया राशि का भुगतान नहीं कर रही है। बीते दिनों  सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ वर्चुअल बैठक में प्रधानमंत्री ने पेट्रोल और डीजल पर वैट कम करने के लिए भाजपा शासित राज्य सरकारों की प्रशंसा की, जबकि ऐसा नहीं करने के लिए गैर-भाजपा राज्यों की आलोचना की।

ममता बनर्जी ने कहा कि हालांकि, उन्होंने यह नहीं कहा कि केंद्र सरकार केंद्रीय बकाया के भुगतान के मामले में भाजपा शासित राज्य और गैर-भाजपा राज्य सरकारों के बीच अंतर व्यवहार कर रही है। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि वर्चुअल बैठक में प्रधानमंत्री ने मुख्यमंत्रियों को बोलने का मौका दिए बिना एकतरफा व्याख्यान दिया।ममता ने कहा कि पश्चिम बंगाल में हम पहले से ही पेट्रोल और डीजल पर 1 रुपये प्रति लीटर की सब्सिडी दे रहे हैं। केंद्र सरकार से पश्चिम बंगाल सरकार का कुल बकाया 97,000 करोड़ रुपये है। मैं प्रधानमंत्री से हमें भुगतान करने का अनुरोध करती हूं। हमें उस राशि का आधा भी मिले तो हम भाजपा शासित राज्यों की तुलना में पेट्रोल और डीजल पर बहुत अधिक सब्सिडी देंगे।

175 जीडबल्यू क्षमता का संयंत्र, करेंगे स्थापित

175 जीडबल्यू क्षमता का संयंत्र, करेंगे स्थापित

डॉक्टर सुभाषचंद्र गहलोत
नई दिल्ली/वाशिंगटन डीसी। भारत के पास दिसंबर 2022 तक 175 जीडबल्यू क्षमता के 'स्वच्छ ऊर्जा संयंत्र' स्थापित करने का लक्ष्य है। फिलहाल अप्रैल का महीना ख़त्म हो रहा है और मार्च 2022 तक कुल 110 जीडबल्यू रिन्युब्ल एनेर्जी क्षमता स्थापित हुई है। जो, कि 175 जीडबल्यू लक्ष्य का 63% है।
ग्लोबल थिंक टैंक एम्बर की एक नई रिपोर्ट से पता चलता है कि भारत के चार राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों ने तो, अपने रिन्युब्ल एनेर्जी क्षमता के लक्ष्यों को पार कर लिया है। लेकिन 27 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश अब भी लक्ष्य से दूर हैं। इससे साफ़ होता है कि साल के बचे हुए महीनों में बड़े स्तर पर प्रयास करने होंगे देश के लक्ष्य को हासिल करने के लिए।
रिपोर्ट से पता चलता है कि भारत ने मार्च 2022 तक 110 जीडबल्यू अक्षय ऊर्जा क्षमता (बड़े हाइड्रो पावर प्लांट्स को छोड़कर) स्थापित किया। जो कि 175 जीडबल्यू लक्ष्य का 63% है। 54 जीडबल्यू सौर क्षमता और ग्रिड पर 40 जीडबल्यू पवन क्षमता के साथ, राष्ट्र अपने सौर ऊर्जा लक्ष्य के आधे और 2022 के लिए अपने पवन ऊर्जा लक्ष्य के दो-तिहाई पर है।
मार्च तक, तेलंगाना, राजस्थान, कर्नाटक और अंडमान और निकोबार के केंद्र क्षेत्र के राज्यों ने अपने सालाना लक्ष्यों को पार कर लिया था। गुजरात और तमिलनाडु भी अपने लक्ष्यों के करीब आ रहे हैं। अन्य राज्यों में सिर्फ उत्तराखंड और सिक्किम हैं जिन्होंने अपने लक्ष्यों का 50% से अधिक हासिल किया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि सभी राज्यों को योगदान करने की आवश्यकता है, क्योंकि दिसंबर तक 175 जीडबल्यू के अक्षय ऊर्जा लक्ष्य को पूरा करने के लिए राष्ट्र को अगले नौ महीनों में 65 जीडबल्यू अधिक की आवश्यकता होगी।
इस 65 जीडबल्यू की कमी में पांच प्रमुख भारतीय राज्य दो-तिहाई के हिस्सेदार हैं: महाराष्ट्र (11 जीडबल्यू), उत्तर प्रदेश (10 जीडबल्यू), आंध्र प्रदेश (9 जीडबल्यू), मध्य प्रदेश (7 जीडबल्यू), और तमिलनाडु (5 जीडबल्यू)।
एम्बर के वरिष्ठ बिजली नीति विश्लेषक आदित्य लोला कहते हैं, "प्रमुख राज्यों में प्रगति की कमी भारत को इस दौड़ में जीतने में बाधक बन रही है। सभी राज्यों को इस दिशा में सहयोग करना होगा जिससे देशहित में यह लक्ष्य हासिल किए जा सकें।”
अगले नौ महीनों में सौर ऊर्जा क्षमता स्थापना के 100 जीडबल्यू के लक्ष्य को हासिल करने के लिए इस दिशा में 85% की विकास दर वृद्धि की आवश्यकता है। वहीं पवन ऊर्जा को 60 जीडबल्यू लक्ष्य तक पहुंचने के लिए अगले तीन तिमाहियों में लगभग 50% की वृद्धि की आवश्यकता है।
भारत 2030 तक 450 जीडबल्यू रिन्युब्ल एनेर्जी और 500 जीडबल्यू गैर-जीवाश्म क्षमता के लक्ष्य को देख रहा है। 110 जीडबल्यू पहले से ही स्थापित होने के साथ, राष्ट्र को 340 जीडबल्यू नई अक्षय ऊर्जा क्षमता या औसतन 42.5 जीडबल्यू प्रति वर्ष की दर से अगले आठ साल क्षमता स्थापित करनी होगी 2030 के लक्ष्य को पूरा करने के लिए।
इस दौरान देश की सौर क्षमता को 54 GW से पांच गुना बढ़कर 280 जीडबल्यू पहुँचना होगा और पवन ऊर्जा को बढ़कर 140 जीडबल्यू पहुँचना होगा।
रिपोर्ट में अंततः यह कहा गया है कि भारत के लिए यह बिलकुल संभव है कि वह 2030 तक अपने 450 जीडबल्यू के रिन्युब्ल एनेर्जी लक्ष्य को हासिल कर ले, बस ज़रूरत होगी राज्यों के सहयोग की।

45 गांवों में पानी की टंकी के लिए जगह नहीं

45 गांवों में पानी की टंकी के लिए जगह नहीं

बृजेश केसरवानी
बरेली। जल जीवन मिशन योजना के तहत जिले के 1,405 गांवों में पानी की टंकी लगाकर पाइप लाइन बिछाई जा रही है। करीब 45 गांवों में अभी तक भूमि नहीं मिल पाई है। जिसके लिए कार्यदायी संस्था के पदाधिकारियों ने लेखपाल के साथ बैठक कर भूमि उपलब्ध कराएं जाने की मांग की है। प्रत्येक गांव में टंकी निर्माण आबादी के अनुसार कराया जाएगा।
अलग-अलग क्षमता की टंकी होने से लागत भी अलग-अलग आएगी। लेखपाल के अलावा ग्राम प्रधान व पंचायत सचिव जमीन की तलाश कर रहे हैं। डीपीआरओ धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि भूमि निशुल्क व पहुंच मार्ग पर होनी चाहिए, ऐसी जमीन चिन्हित की जा रही है। जमीन मिलने के बाद जल्द ही पानी की टंकी का निर्माण शुरू करा दिया जाएगा। इसके बाद पाइपलाइन बिछाकर ग्रामीणों के घरों तक पानी पहुंचाया जाएगा।

गर्मी और बढ़ते बिजली बिल से पाएं राहत

गर्मी और बढ़ते बिजली बिल से पाएं राहत

सुनील श्रीवास्तव       
नई दिल्ली/वाशिंगटन डीसी। गर्मी का सीजन आ चुका है। तापमान बढ़ते ही घरों में पंखे, कूलर और एयर कंडीशनर ऑन हो गए हैं। इन उपकरणों की मदद से गर्मी से तो राहत मिल रही है, लेकिन बिजली का बिल जेब पर भारी पड़ रहा है। ऐसे में हम आपको बिल घटाने के कुछ तरीके बताने जा रहे हैं, जिसका इस्तेमाल करके आपको थोड़ी राहत मिल सकती है। इन तरीकों से न सिर्फ गर्मी से राहत मिलेगी बल्कि बिजली के बिल को भी कंट्रोल में किया जा सकता है। आइए जानते है।
पंखों में इलेक्ट्रॉनिक रेगुलेटर का ही इस्तेमाल करें- गर्मी में पंखे सबसे ज्यादा चलते हैं। ऐसे में समय-समय पर पंखों की सर्विसिंग कराते रहें। पंखे में इलेक्ट्रॉनिक रेगुलेटर का ही इस्तेमाल करें। कंडेंसर और बाल बेयरिंग खराब हो रहा है तो इसको तुरंत बदलवा लें।
कूलर के पंखों और पंप की ऑलिंग-ग्रीसिंग कराएं- भारत में अधिकतर घरों में कूलर का ज्यादा इस्तेमाल होता है। कूलर के पंखे और पंप की। ऑलिंग-ग्रीसिंग कराना जरूरी होता है। ज्यादा चलने से पंप ज्यादा बिजली खीचता है, ऐसे में समय-समय पर ऑलिंग करते रहें। कूलर के पंखे के कंडेंसर और रेगुलेटर की जांच भी जरूर कराएं। इलेक्ट्रॉनिक रेगुलेटर से भी बिजली कम खर्च होती है।
24 से 26 डिग्री के बीच सेट करें AC- घंटों AC चलने से बिजली की ज्यादा खपत होती है। AC को चलाने के साथ-साथ पंखा भी ऑन रखें। एसी के तापमान को 24 से 26 डिग्री के बीच सेट करें। हर 10 से 15 दिन में एयर फिल्टर को अच्छी तरह धोकर साफ करें। फिल्टर में धूल जमने से पूरी ठंडक नहीं मिलती और एसी ज्यादा देर तक चलाना पड़ता है। याद रखें कि जब AC चल रहा हो तो खिड़की-दरवाजें बंद हो, नहीं तो AC की ठंडी हवा बाहर ज्यादा जाएगी और कमरा ठंडा नहीं हो पाएगा।

18 साल पार सभी लोग बूस्टर डोज के पात्र

18 साल पार सभी लोग बूस्टर डोज के पात्र
अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। कोविड-19 रोधी टीके की दूसरी और बूस्टर डोज के बीच अंतराल को सरकार जल्द ही मौजूदा नौ महीने से घटाकर छह महीने कर सकती है। आधिकारिक सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी। सूत्रों ने कहा कि टीकाकरण पर राष्ट्रीय एनटीएजीआई) इस अंतराल को कम करने की सिफारिश कर सकता है जिसकी बैठक 29 अप्रैल को होने वाली है। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) और अन्य अंतरराष्ट्रीय अनुसंधान संस्थाओं के अध्ययनों में पता चला है कि टीके की दोनों खुराक के साथ प्रारंभिक टीकाकरण से करीब छह महीने बाद एंटीबॉडी का स्तर कम होने लगता है और बूस्टर खुराक देने से प्रतिरोधक क्षमता बढ़ जाती है।
6 महीने किए जाने की संभावना
फिलहाल 18 साल से अधिक उम्र के वे सभी लोग टीके की तीसरी खुराक यानी बूस्टर डोज के पात्र हैं जिन्हें दूसरी खुराक लिए हुए नौ महीने हो चुके हैं। घटनाक्रम से जुड़े एक सूत्र ने बताया, वैज्ञानिक साक्ष्यों और यहां तथा अंतरराष्ट्रीय स्तर पर किए गए अध्ययनों के परिणामों को देखने के बाद कोविड-19 टीके की दूसरी और बूस्टर डोज के बीच अंतराल को मौजूदा नौ महीने से कम करके जल्द ही छह महीने किये जाने की पूरी संभावना है। शुक्रवार को एनटीएजीआई की बैठक में इस बाबत सिफारिश किये जाने के बाद अंतिम निर्णय लिया जा सकता है। दो बूस्टर डोज के बीच 9 महीने के अंतराल को कई हेल्थ एक्सपर्ट सही नहीं मान रहे थे। हेल्थ एक्पसपर्ट की मांग थी दो बूस्टर डोज के बीच की अवधि को कम किया जाए। उनका कहना था कि कई रिसर्च में यह बात सामने आई है कि कोरोना वैक्सीन के कारण इम्युनिटी का असर छह महीने से ज्यादा नहीं रहता, इसलिए नौ महीने के अंतराल का कोई औचित्य नहीं है।

कांग्रेस में शामिल होने की चर्चा, किनारा किया

कांग्रेस में शामिल होने की चर्चा, किनारा किया

अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री पी. चिदंबरम ने कहा है कि चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने अपने प्रजेंटेशन में नेतृत्व को लेकर कोई बात नहीं की। जबकि राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि किशोर ने कांग्रेस में नेतृत्व परिवर्तन को लेकर सलाह दी थी।चिदंबरम के मुताबिक उन्होंने कई सारे अच्छे डेटा दिए हैं। जिस पर पार्टी आने वाले दिनों में अमल कर सकती है। बता दें कि पिछलों दिनों प्रशांत किशोर के कांग्रेस में शामिल होने की चर्चा थी। लेकिन कहा जा रहा है कि किशोर ने खुद इससे इनकार कर दिया।
एनडीटीवी से बातचीत करते हुए पी. चिदंबरम ने कहा, ‘पीके ने नेतृत्व के मुद्दे पर कुछ भी नहीं कहा। प्रियंका गांधी को पार्टी का अध्यक्ष बनाने के बारे में भी मैंने कुछ नहीं सुना। नेतृत्व का मुद्दा अगस्त के अंत तक आंतरिक चुनावों के साथ हल कर लिया जाएगा। बता दें कि मीडिया में पिछले दिनों ऐसी खबरें आईं थी कि प्रशांत किशोर ने अपने प्रजेंटेशन में प्रियंका को अध्यक्ष बनाने का सुझाव दिया है।
चिदंबरम ने आगे कहा कि प्रशांत किशोर ने चुनाव, मतदान पैटर्न और कैंडिडेट के बारे में जो डेटा सामने रखे वो बेहद प्रभावशाली थे। उन्होंने कहा, ‘मुझे नहीं लगता कि पार्टी के पास उस तरह का डेटा पहले से था। डेटा का उनका विश्लेषण प्रभावशाली था। हम कुछ प्रस्तावों पर अमल करने का इरादा रखते हैं।
चिदंबरम ने कहा कि प्रशांत किशोर ने क्यों कांग्रेस का ऑफर ठुकरा दिया इस बारे में फिलहाल बातचीत नहीं हुई है। उन्होंने कहा, ‘शायद वो सलाहकार बने रहना चाहते हैं। वो टीआरएस, टीएमसी और जगन रेड्डी को सलाह दे रहे हैं। वह शायद इन पार्टियों के सलाहकार के रूप में अपनी भूमिका बरकरार रखना चाहते हैं।
कहा जा रहा है कि कांग्रेस को ये पसंद नहीं था कि प्रशांत किशोर तेलंगाना राष्ट्र समिति को भी चुनावी रणनीति को लेकर सलाह दे। लेकिन चिदंबरम ने ऐसी अटकलों से इनकार किया है। प्रशांत किशोर और कांग्रेस के करीबी सूत्रों ने संकेत दिया था कि पार्टी उनके द्वारा सुझाए गए व्यापक सुधारों के लिए तैयार नहीं थी। इससे पार्टी से कई दिग्गजों को परेशानी हो जाती।

डीडीए 13,000 फ्लैट की बिक्री करेगा, मौका

डीडीए 13,000 फ्लैट की बिक्री करेगा, मौका 
अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। अगर आप भी दिल्ली में फ्लैट लेने का सपना देख रहे हैं तो दिल्‍ली विकास प्राधिकरण (DDA) आपके लिए एक बेहद शानदार मौका लेकर आया है। DDA जल्द ही 13,000 फ्लैट की बिक्री करने वाला है। इस मामले पर जानकारी देते हुए DDA अधिकारी ने बताया कि स्पेशल हाउसिंग स्‍कीम 2021 के तहत बेचे जाने वाले फ्लैट्स के लिए अब लोगों से आवेदन मांगे जा रहे हैं। गौरतलब है कि कुछ दिन पहले ही DDA ने एक लकी ड्रा निकाला था जिसमें कुछ 5,227 मकानों को ग्राहकों को आवंटित किया जा सकता है। वहीं इस योजना के तहत दिल्ली में कुल 18,335 फ्लैटों का आवंटित किया जाना है। ऐसे में 13,000 कुल फ्लैटों को आवंटित करना अभी भी बचा हुआ है।
DDA इन फ्लैटों का आवंटन पहले आओ और पहले पाओ के तर्ज पर करेगा। यह फ्लैट पुरानी आवासीय योजना के तहत बनाए गए है। ऐसे में इन फ्लैट्स को बेचने से पहले इसके लिए मंत्रालय से परमिशन लेनी पड़ेगी। इसके बाद फिर फ्लैट के लिए ग्राहकों से आवेदन मांगा जाएगा। इसके बाद DDA लकी ड्रा के जरिए इन फ्लैट का आवंटन करेगा।
बता दें कि DDA इस बार ऐसे फ्लैट को बेचने वाली है जो पहले सरेंडर कर दिए गए हैं या फिर रिजेक्ट कर दिए गए हैं। यह कुल 13,000 फ्लैटों दिल्ली के अलग-अलग इलाकों के हैं। इसमें रोहिणी,सिरसपुर, द्वारिका, लोक नायक पुरम और रामगढ़ इलाके में बेचे जाएंगे। वहीं सबसे ज्यादा फ्लैट्स दिल्ली के नरेला इलाके में बेचे जाएंगे। यहां करीब 8000 फ्लैट्स बेचे जाएंगे। बता दें कि अगर आप पहले DDA का फ्लैट खरीद चुके हैं और दोबारा खरीदना चाहते हैं तो ऐसी स्थिति में 20 प्रतिशत फ्लैट ऐसे लोगों के लिए आवंटित किए गए है।
आजकल लोग सबसे ज्यादा प्राइवेट डेवलपर से फ्लैट खरीदना पसंद करते हैं क्योंकि उनमें बेहतर सुविधाएं मिलती है। इस कारण से DDA फ्लैट खरीदारों की संख्या में लगातार गिरावट आई है। साल 2014 में करीब 10 हजार लोगों ने अपने फ्लैट सरेंडर कर दिए थे क्योंकि यह साइज में बहुत छोटे थे। इसके साथ ही बवाना, नरेला और रोहिणी के फ्लैट्स में कनेक्टिविटी की प्रॉब्लम रहती है।

शेयर बाजार ने उछाल के साथ कारोबार किया

शेयर बाजार ने उछाल के साथ कारोबार किया
कविता गर्ग  
मुंबई। गुरुवार को ऑटो, गैस, तेल और एनर्जी सेक्टर में अच्छी तेजी देखी जा रही है और इनके दम पर शेयर बाजारों में अच्छी तेजी देखी जा रही है। आज शेयर बाजारों में अच्छी शुरुआत देखी गई है और एशियाई बाजारों की तेजी के सहारे भारतीय शेयर बाजार भी उछाल के साथ कारोबार कर रहे हैं।
आज के कारोबार की शुरुआत में सेंसेक्स 470 अंक से ज्यादा चढ़कर कारोबार कर रहा है और इसमें 476.92 अंक यानी 0.84 फीसदी की तेजी के साथ 57,296.31 पर कारोबार की शुरुआत हुई है। निफ्टी में 151.10 अंक यानी 0.89 फीसदी की उछाल के साथ 17,189.50 पर ट्रेड ओपन हुआ है।
निफ्टी के शेयरों की बात करें तो इसके 50 में से 42 शेयरों में आज तेजी के हरे निशान के साथ कारोबार हो रहा है। इसके अलावा बाकी बचे 8 शेयरों में गिरावट के लाल निशान के साथ ट्रेडिंग देखी जा रही है। बैंक निफ्टी में भी आज बढ़त दर्ज की जा रही है और ये 37 अंक ऊपर चढ़कर 36068 के लेवल पर कारोबार कर रहा है।
सेक्टोरियल इंडेक्स को देखें
आज के कारोबार में ऑयल एंड गैस, पावर, एनर्जी, मेटल शेयरों में अच्छी तेजी बनी हुई है और मीडिया शेयरों को छोड़कर बाकी सभी सेक्टोरियल इंडेक्स बढ़त के हरे निशान के साथ कारोबार कर रहे हैं। ऑयल एंड गैस शेयरों में 1.07 फीसदी तो फार्मा शेयरों में 1.05 फीसदी की उछाल देखी जा रही है। एफएमसीजी में 0.92 फीसदी और मेटल शेयरों में 0.68 फीसदी की बढ़त दर्ज की जा रही है।
आज के कारोबार में एचयूएल का शेयर 2.5 फीसदी की उछाल के साथ कारोबार कर रहा है और यूपीएल में 2.07 फीसदी की तेजी देखी जा रही है। सन फार्मा 1.81 फीसदी की तेजी पर कारोबार कर रहा है। डीवीज लैब्स में 1.73 फीसदी की तेजी के साथ कारोबार देखा जा रहा है। एशियन पेंट्स में 1.67 फीसदी का उछाल देखा जा रहा है।
आज प्री-ओपनिंग में बाजार की चाल देखें तो बीएसई का 30 शेयरों वाला इंडेक्स सेंसेक्स 476.92 अंक यानी 0.84 फीसदी की तेजी के साथ 57,296.31 पर कारोबार देखा जा रहा है। वहीं एनएसई का 50 शेयरों वाला इंडेक्स निफ्टी 151.10 अंक यानी 0.89 फीसदी की उछाल के साथ 17,189.50 पर ट्रेड दिखा रहा है।
ये हैं आज के टॉप लूजर्स
आज के शेयरों में बजाज ऑटो 2.13 फीसदी की गिरावट पर कारोबार कर रहा है और भारती एयरटेल 0.35 फीसदी की तेजी पर कारोबार कर रहा है। ब्रिटानिया में 0.31 फीसदी की कमजोरी देखी जा रही है‌।एचडीएफसी बैंक 0.21 फीसदी तो आईसीआईसीआई बैंक 0.09 फीसदी नीचे कारोबार कर रहे हैं।
एशियाई बाजारों की चाल
आज सभी एशियाई बाजार उछाल के साथ कारोबार कर रहे हैं। जापान का निक्केई 0.61 फीसदी तो कोरिया का कोस्पी 0.55 फीसदी ऊपर है। चीन के शंघाई में 0.67 फीसदी तेजी है तो हॉन्गकॉन्ग का हैंगसेंग 1.58 फीसदी की बढ़त पर कारोबार कर रहा है। सिंगापुर का स्ट्रेट टाइम्स भी आज ऊपर बना हुआ है।

गर्मी का मौसम कहीं भी ज्यादा गर्म हो सकता है

गर्मी का मौसम कहीं भी ज्यादा गर्म हो सकता है
कविता गर्ग  
मुंबई। बॉलीवुड योग एक ऐसी होलिस्टिक प्रैक्टिस (समग्र अभ्यास) है, जो हर किसी की फिजिकल और मेंटल हेल्थ के लिए फायदेमंद है। जैसे, कुछ योग आसन हैं, ऐसे हैं जो खास बीमारियों या स्थितियों को मैनेज करने में हेल्प करते हैं, ऐसे ही कुछ योग ऐसे भी हैं। जिनसे भीषण गर्मी में भी राहत मिल सकती है। जैसा की आप आजकल महसूस कर पा रहे हैं, पारा 45 के पार पहुंच रहा है‌। गर्मी इतनी ज्यादा है कि बाहर निकलते ही लू के थपेड़े पड़ रहे हैं और घर में बिना एसी के रहना मुश्किल हो रहा है। ऐसे लोग खुद को गर्मी से बचाने के लिए कई उपाय करने में जुटे हैं‌। बॉलीवुड एक्ट्रेस आलिया भट्ट की योगा ट्रेनर अंशुका परवानी  ने इंस्टाग्राम पर कुछ योग ब्रीदिंग टेकनीक शेयर की हैं, जो भीषण गर्मी के समय भी आपको कूल रहने में मदद करती हैं।
अंशुका ने अपनी इंस्टा पोस्ट पर शेयर किए वीडियो के कैप्शन में लिखा, “बीट द् हीट! (गर्मी को मात दें), गर्मी का मौसम कहीं भी, बहुत तेज और बहुत ज्यादा गर्म हो सकता है। ऐसे में हर समय खुद को हाइड्रेटेड रखें और जितना हो सके खुद को गर्मी से दूर रखना बहुत जरूरी है, यहां कुछ योग ब्रीदिंग टेकनीक हैं, जो आपको इस गर्मी में गर्मी को मात देने में मदद करेंगी।
सबसे प्रभावी आसनों में से एक है चंद्रभेदन प्राणायाम, इसमें अपनी राइट नॉस्ट्रिल (नासिका) को बंद करें और लेफ्ट नॉस्ट्रिल  से सांस लें। इसे करने से आपके मन को शांति मिलती और साथ ही ये आपकी बॉडी को कूल रखने के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है।
इस ब्रीदिंग एक्सरसाइज को करने से आपके शरीर को तुरंत ठंडक मिलती है। अपने दांतों को मिलाएं, अपने होठों को खोलें और एक श्वास अंदर लें। जैसे ही हवा आपके थूक से गुजरती है, यह ठंडी हो जाती है और इसलिए जैसे ही यह आपके शरीर में प्रवेश करती है, इसे अंदर से ठंडा कर देती है। नाक से सांस छोड़ें। इस क्रिया को आप सर्दियों के मौसम में गलती से भी न करें। इससे आपको सर्दी में खांसी-जुकाम की समस्या हो सकती है।
विज़ुअलाइज़ेशन मेडिटेशन
इस योग को करते समय आपको विज़ुअलाइज़ेशन करना होता है, जैसे आप किसी बर्फिली जगह पर बैठे हैं। इसका आभास होने पर आपके शरीर ठंड महसूस होती है। बर्फ से ढके पहाड़ों को देखने से शरीर के तापमान में गिरावट आती है। इसमें महारत हासिल करने में थोड़ा समय लगता है, लेकिन यह बहुत फायदेमंद होता है। आप गहरे नीले रंग की कल्पना करने का भी प्रयास कर सकते हैं, जब बाहर के रंग वास्तव में धूप के पीले होते हैं।
इसके साथ ही योगा ट्रेनर अंशुका परवानी ने सुझाव दिया कि गर्मियों के मौसम में अपनी डेली डाइट में पानी से भरपूर खट्टे फल और सब्जियां शामिल करें।

भारत: 24 घंटे में कोरोना के 3,303 नए मामलें

भारत: 24 घंटे में कोरोना के 3,303 नए मामलें 

अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। भारत में एक दिन में कोविड-19 के 3,303 नए मामलें सामने आने से देश में कोरोना वायरस से अब तक संक्रमित हो चुके लोगों की संख्या बढ़कर 4,30,68,799 हो गई। वहीं, उपचाराधीन मरीजों की संख्या भी बढ़कर 16,980 पर पहुंच गई।
देश में 46 दिन बाद तीन हजार से अधिक दैनिक मामले सामने आए हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से बृहस्पतिवार सुबह आठ बजे जारी अद्यतन आंकड़ों के अनुसार, भारत में संक्रमण से 39 और लोगों की मौत के बाद मृतक संख्या बढ़कर 5,23,693 हो गई है। वहीं, देश में कोविड-19 के उपचाराधीन मरीजों की संख्या बढ़कर 16,980 हो गई है, जो कुल मामलों का 0.04 प्रतिशत है।
पिछले 24 घंटे में उपचाराधीन मरीजों की संख्या में 701 की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। वहीं, मरीजों के ठीक होने की राष्ट्रीय दर 98.74 प्रतिशत है।
अद्यतन आंकड़ों के अनुसार, संक्रमण की दैनिक दर 0.66 प्रतिशत और साप्ताहिक दर 0.61 प्रतिशत है। देश में अभी तक कुल 4,25,28,126 लोग संक्रमण मुक्त हो चुके हैं और कोविड-19 से मृत्यु दर 1.22 प्रतिशत है। वहीं, राष्ट्रव्यापी टीकाकरण अभियान के तहत अभी तक कोविड-19 रोधी टीकों की 188.40 करोड़ से अधिक खुराक दी जा चुकी हैं।
गौरतलब है कि देश में सात अगस्त 2020 को संक्रमितों की संख्या 20 लाख, 23 अगस्त 2020 को 30 लाख और पांच सितंबर 2020 को 40 लाख से अधिक हो गई थी।
संक्रमण के कुल मामले 16 सितंबर 2020 को 50 लाख, 28 सितंबर 2020 को 60 लाख, 11 अक्टूबर 2020 को 70 लाख, 29 अक्टूबर 2020 को 80 लाख और 20 नवंबर को 90 लाख के पार चले गए थे।
देश में 19 दिसंबर 2020 को ये मामले एक करोड़ से अधिक हो गए थे। पिछले साल चार मई को संक्रमितों की संख्या दो करोड़ और 23 जून 2021 को तीन करोड़ के पार पहुंच गई थी। इस साल 26 जनवरी को मामले चार करोड़ के पार हो गए थे।
मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, देश में पिछले 24 घंटे में संक्रमण से मौत के 39 मामले सामने आए, जिनमें केरल में 36, दिल्ली, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में एक-एक मामला सामने आया।

देश में अभी तक संक्रमण से कुल 5,23,693 लोगों की मौत हुई, जिनमें से महाराष्ट्र के 1,47,838, केरल के 68,952, कर्नाटक के 40,057, तमिलनाडु के 38,025, दिल्ली के 26,170, उत्तर प्रदेश के 23,506 और पश्चिम बंगाल के 21,201 लोग थे।
स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि अब तक जिन लोगों की कोरोना वायरस के संक्रमण से मौत हुई है, उनमें से 70 प्रतिशत से अधिक मरीजों को अन्य बीमारियां भी थीं। मंत्रालय ने अपनी वेबसाइट पर बताया कि उसके आंकड़ों का भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के आंकड़ों के साथ मिलान किया जा रहा है।

संपत्ति कर बढ़ाने की तैयारी कर रहा नगर निगम

संपत्ति कर बढ़ाने की तैयारी कर रहा नगर निगम 

अश्वनी उपाध्याय  
गाजियाबाद। गाजियाबाद नगर निगम कमाई बढ़ाने के लिए संपत्ति कर बढ़ाने की तैयारी कर रहा है। शहर में लखनऊ, अलीगढ़ जैसे महानगरों की तरह डीएम सर्किल रेट के आधार पर संपत्ति कर लगाया जा सकता है। नगर निगम के फैसले से जहां निगम क्षेत्र में रहने वाले 5.70 लाख संपत्ति करदाताओं की जेब पर बोझ पड़ेगा, वहीं दूसरी तरफ नगर निगम के राजस्व में 150 करोड़ का इजाफा होगा।
नगर निगम ने शुक्रवार को होने वाली कार्यकारिणी की बैठक में इस प्रस्ताव को पेश करने की तैयारी की है। अगर कार्यकारिणी की मंजूरी मिल जाती है, तो प्रस्ताव को सदन में रखा जाएगा, सदन की अनुमति मिलने पर डीएम सर्किल रेट के आधार पर संपत्तिकर लिया जाएगा।
नगर निगम के अधिकारियों के अनुसार डीएम सर्किल रेट लागू होने के बाद संपित्‍त कर तीन से चार गुना तक बढ़ सकते हैं। वर्तमान में नगर निगम द्वारा सवा रुपये प्रति वर्गमीटर के हिसाब से संपत्तिकर का निर्धारण कर वसूला जा रहा है। लेकिन डीएम सर्किल रेट के आधार पर संपत्तिकर की वसूली पर करदाताओं पर तीन से चार गुना तक भार बढ़ जाएगा। पॉश एरिया में चार रुपये प्रति वर्गमीटर के हिसाब से संपत्तिकर वसूला जाएगा।
लखनऊ, अलीगढ़ सहित कई नगर निगम ऐसे हैं, जहां पर संपत्ति कर की दर का निर्धारित सर्किल रेट के आधार पर हो चुका है। वहीं, गाजियाबाद में भवन और उसके सामने की सड़क के आधार पर संपत्तिकर का निर्धारण किया गया है। इस मामले में नगर निगम द्वारा एक साल पहले ही नोटिफिकेशन जारी कर दिया गया था, नोटिफिकेशन जारी होने के बाद 300 से अधिक आपत्तियां आईं थीं। सभी आपत्तियों पर सुनवाई कर उनका निस्तारण किया जा चुका है।
नगर आयुक्‍त महेंद्र सिंह तंवर के अनुसार डीएम सर्किल रेट के आधार पर संपत्तिकर लागू करने का प्रस्ताव कार्यकारिणी के माध्यम से सदन में लाया जाएगा। इस प्रस्ताव को सदन की मंजूरी मिली तो नगर निगम की आय बढ़ेगी, राजस्व में 150 करोड़ रुपये अतिरिक्त आएंगे, जिनसे शहर में और विकास कार्य हो सकेंगे।

ऑयल का चुनाव एक्सपर्ट की सलाह से ही करें

ऑयल का चुनाव एक्सपर्ट की सलाह से ही करें
सरस्वती उपाध्याय 
स्वस्थय हृदय के लिए स्वस्थ खानपान भी जरूरी है। खासकर, भोजन पकाने के लिए तेल का चुनाव बेहद सावधानी पूर्वक करना चाहिए, क्योंकि सरसों तेल, रिफाइंड ऑयल, घी आदि की क्वालिटी सही ना हो, तो शरीर में कोलेस्ट्रॉल लेवल, फैट आदि बढ़ने की संभावना रहती है। ऐसे में हेल्दी हार्ट के लिए कुकिंग ऑयल का चुनाव किसी एक्सपर्ट की सलाह लेकर ही करें। खासकर, जब आपके घर में किसी को हार्ट की बीमारी है या हृदय रोग होने की फैमिली हिस्ट्री है। आइए जानते हैं, लंबी उम्र तक स्वस्थ हृदय के लिए कौन-कौन से तेल होते हैं बेस्ट‌।
फूड डॉट एनडीटीवी डॉट कॉम में छपी एक रिपोर्ट के अनुसार, सूरजमुखी के बीजों से तैयार किए गए इस तेल में अन्य तेलों की तुलना में अधिक विटामिन ई होता है। यह हृदय के लिए एक अच्छा एंटीऑक्सीडेंट है। आप इसे सरसों के तेल के साथ मिलाकर भी सेवन कर सकते हैं। सूरजमुखी के तेल में 80% से अधिक मोनोअनसैचुरेटेड फैट होता है, जो इसे दिल के लिए बेहतरीन तेल बनाता है। इसका स्मोक प्वाइंट बहुत अधिक होता है, इसलिए इसका उपयोग ज्यादातर तलने के लिए किया जाता है।
ऑलिव ऑयल में पाया जाने वाला मुख्य प्रकार का वसा मोनोअनसैचुरेटेड फैटी एसिड एक हेल्दी डायटरी फैट की श्रेणी में आता है। ये स्वस्थ वसा शरीर में कोलेस्ट्रॉल लेवल को कंट्रोल रखकर हृदय रोग के जोखिम को कम करने में कारगर होता है। एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल को आप सलाद में ड्रेसिंग के रूप में इस्तेमाल कर सकते हैं। वहीं, रेगुलर ऑलिव ऑयल में हाई स्मोक प्वाइंट होता है और इसे तलने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है, जो हार्ट हेल्थ के स्वस्थ रखता है।
चावल की भूसी या राइस ब्रान ऑयल दिल के लिए सबसे बेस्ट खाना पकाने के तेलों में से एक माना जाता है। इसमें पॉलीअनसैचुरेटेड फैट और मोनोअनसैचुरेटेड फैट का एक आदर्श संतुलन होता है। चावल के दाने की बाहरी परत को चोकर कहा जाता है। इस भूरी भूसी से तेल निकाला जाता है। इसका स्वाद में हल्का और हल्का सा नट जैसा स्वाद होता है। इसे सलाद, कुकीज और केक में या ग्रिलिंग और तलने के लिए इस्तेमाल कर सकते हैं। मात्रा में ओमेगा-6 फैटी एसिड (जिसे लिनोलिक एसिड भी कहा जाता है) होता है। यह शरीर में कोलेस्ट्रॉल को संतुलित करता है, धमनियों को सख्त होने से रोकता है और इस प्रकार, हृदय रोग के जोखिम को कम करता है।
तिल का तेल खाएं दिल को रखें हेल्दी
तिल का तेल भी हेल्दी हार्ट के लिए बेहतर होता है।‌ अधिकतर लोग इस तेल का खाना पकाने के लिए इस्तेमाल करते हैं। इसका स्वाद भी बहुत अच्छा होता है। मोनोअनसैचुरेटेड और पॉलीअनसेचुरेटेड फैटी एसिड में समृद्ध यह तेल अपने हाई स्मोक प्वाइंट के लिए जाना जाता है। इसका सेवन भी हेल्दी हार्ट के लिए किया जा सकता है।
सोयाबीन तेल भी है हार्ट फ्रेंडली
सोयाबीन का तेल सोयाबीन से निकाला जाने वाला एक वनस्पति तेल है।‌ इसमें अच्छी किस्म के आवश्यक फैटी एसिड और प्लांट स्टेरोल होते हैं, जो समग्र स्वास्थ्य को बढ़ावा देते हैं। ये शरीर में कोलेस्ट्रॉल को जमा होने से रोकते हैं। बंद धमनियों (एथेरोस्क्लेरोसिस) और हार्ट डिजीज जैसे हार्ट अटैक, स्ट्रोक के जोखिम को कम करता है।

पेट्रोल-डीजल के दाम, कोई इजाफा-कटौती नहीं

पेट्रोल-डीजल के दाम, कोई इजाफा-कटौती नहीं 
अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। देश में आज भी पेट्रोल-डीजल के दाम में कोई इजाफा या कटौती नहीं की गई है और आम आदमी को पुराने रेट पर ही पेट्रोल डीजल मिलेगा। रोज की तरह आज सुबह सरकारी तेल कंपनियों ने पेट्रोल-डीजल के नए रेट जारी किए हैं जो लगातार स्थिर बने हुए है। आज लगातार 22वां दिन है जब देश में पेट्रोल-डीजल के रेट में कोई बदलाव नहीं किया गया है।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में आज कच्चे तेल के दाम गिरावट के लाल निशान में कारोबार कर रहे हैं। कल के मुकाबले नायमैक्स क्रूड आज 101.82 डॉलर प्रति बैरल पर है और इसके दाम 0.20 डॉलर प्रति बैरल घटे हैं। वहीं ब्रेंट क्रूड के दाम आज 104.99 डॉलर प्रति बैरल पर हैं और इसमें 0.33 डॉलर प्रति बैरल की गिरावट देखी जा रही है।
देश के चार प्रमुख महानगरों में आज पेट्रोल-डीजल के दाम
दिल्ली- पेट्रोल 105.41 रुपये प्रति लीटर और डीजल 96.67 रुपये प्रति लीटर के भाव पर मिल रहा है।
मुंबई- पेट्रोल 120.51 रुपये प्रति लीटर और डीजल 104.77 रुपये प्रति लीटर के रेट पर है।
चेन्नई- पेट्रोल 110.85 रुपये प्रति लीटर और डीजल 100.94 रुपये प्रति लीटर के भाव पर मिल रहा है।
कोलकाता- पेट्रोल 115.12 रुपये प्रति लीटर और डीजल 96.83 रुपये प्रति लीटर के स्तर पर बरकरार है।
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में पेट्रोल की कीमत 105.12  रुपये प्रति लीटर और डीजल के दाम 96.71 रुपये प्रति लीटर बने हुए हैं।
पंजाब की राजधानी चंडीगढ़ में पेट्रोल की कीमत 104.74 रुपये और डीजल की कीमत 90.83 रुपये प्रति लीटर बनी हुई हैं।
बिहार की राजधानी पटना में पेट्रोल की कीमत 116.23 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 101.06 रुपये प्रति लीटर पर हैं। 
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में पेट्रोल की कीमत 118.14 रुपये प्रति लीटर और डीजल के दाम 101.16 रुपये प्रति लीटर हो गए हैं।
झारखंड की राजधानी रांची में आज पेट्रोल 108.71 रुपये प्रति लीटर और डीजल 102.02 रुपये प्रति लीटर के रेट पर बेचा जा रहा है।
छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में आज पेट्रोल के रेट 111.47 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 102.86 रुपये प्रति लीटर है।
राजस्थान की राजधानी जयपुर में पेट्रोल की कीमत 118.08 रुपये प्रति लीटर और डीजल के दाम 100.97 रुपये प्रति लीटर हो गए हैं। 
गाजियाबाद में गुरूवार को पेट्रोल की कीमत 105.26 रुपये प्रति लीटर और डीजल के रेट 96.82 रुपये प्रति लीटर पर हैं। 
नोएडा में आज पेट्रोल की कीमत 105.68 रुपये प्रति लीटर और डीजल के दाम 97.21 रुपये प्रति लीटर हैं।

अघोषित बिजली कटौती का समाधान करेंगे

अघोषित बिजली कटौती का समाधान करेंगे

सुरेंद्र भाटी  

गौतम बुध नगर। तिलपता गांव में आयोजित अभिनंदन समारोह में बुधवार को प्रदेश के ऊर्जा एवं वैकल्पिक ऊर्जा राज्यमंत्री ऊर्जा मंत्री डॉ. सोमेंद्र तोमर पहुंचे। इस दौरान उन्होंने कहा कि प्रदेश में जब से भाजपा की सरकार आई है तभी से बिजली की समस्या दूर हो गई है और लगातार इसमें सुधार किया जा रहा है। जल्द ही गौतमबुद्ध नगर समेत आसपास के जिलों में बिजली की समस्या का पूरी तरह समाधान कराया जाएगा। उन्होंने लोगों को आश्वस्त किया नोएडा और ग्रेनो में बिजली कटौती की समस्या को दूर किया जाएगा।
राज्यसभा सांसद सुरेंद्र सिंह नागर ने कहा कि प्रदेश सरकार की प्राथमिकता है कि कानून व्यवस्था बेहतर हो। इसके लिए हर उपाय किए जा रहे हैं। वहीं, दादरी विधायक तेजपाल सिंह नागर ने कहा कि क्षेत्र के विकास की जो जिम्मेदारी भाजपा को दी उसे पूरा करने के लिए हर कार्यकर्ता आम आदमी तक पहुंच रहा है। समारोह में गन्ना विकास संस्थान के अध्यक्ष नवाब सिंह नागर, कैप्टन विकास गुप्ता, एमएलसी श्रीचंद शर्मा, भाजपा जिलाध्यक्ष विजय भाटी, उपाध्यक्ष सुनील भाटी, पवन नागर, सतेंद्र नागर, सतेंद्र शिशौदिया, गजेंद्र मावी, यतेंद्र नागर, मास्टर लज्जाराम भाटी, सुखवीर आर्य, संजय भाटी, बलराज भाटी तिलपता, ओमवीर अवाना आदि समेत क्षेत्र के सैकडों लोग मौजूद रहे।
ऊर्जा मंत्री से बिजली कंपनी की शिकायत
ग्रेनो में बिजली कटौती के संबंध में पाली, तिलपता और बोड़ाकी गांव के लोगों ने ऊर्जा मंत्री को एक ज्ञापन सौंपा। आरोप लगाया कि नोएडा पावर कंपनी लिमिटेड (एनपीसीएल) 15 घंटे भी बिजली नहीं दे रही है, जबकि गांवों में प्रदेश सरकार 20 घंटे से अधिक बिजली दे रही है। इसके अलावा भी कई आरोप कंपनी पर लगाए। ऊर्जा मंत्री ने आश्वासन दिया कि जल्द ही उनकी समस्याओं के संबंध में कंपनी से बात की जाएगी।
भाजपा कार्यालय में ऊर्जा मंत्री का स्वागत
नोएडा। प्रदेश के ऊर्जा राज्य मंत्री सोमेंद्र तोमर का बुधवार को पहली बार नोएडा आगमन हुआ। सेक्टर-116 स्थित भाजपा कार्यालय में मंत्री ने सभी जिला पदाधिकारियों, मंडल के प्रभारियों, सभी मोर्चों के अध्यक्ष, मंडल अध्यक्षों की टीम और कार्यकर्ता से मुलाकात की। कार्यालय में महानगर जिलाध्यक्ष मनोज गुप्ता ने उनका स्वागत किया और सभी पदाधिकारियों से मिलवाया। कार्यकर्ताओं ने मंत्री से नोएडा से संबंधित समस्याओं पर चर्चा की। उन्होंने भाजपा की जीत के लिए कार्यकर्ताओं की मेहनत के लिए धन्यवाद दिया और उनको सभी समस्याओं को जल्द से जल्द समाधान की बात कही। इस मौके पर जिला प्रभारी बसंत त्यागी, जिला महामंत्री उमेश त्यागी, गणेश जाटव, हरीशचंद भाटी, योगेेंद्र चौधरी, उपाध्यक्ष मनीष शर्मा, मुकेश शर्मा, युद्धवीर चौहान, गिरजा सिंह, गिरीश कोटनाला, धर्मेंद्र गुप्ता, विनोद शर्मा, रवि यादव, उमेश यादव, पंकज झा, कल्लू सिंह लोकेश कश्यप, लोकेश यादव, एसपी चमोली, अशोक मिश्रा, ओमबीर अवाना, इंद्रजीत जाटव आदि कार्यकर्ता मौजूद रहे।

ग्रेटर नोएडा। तिलपता गांव में आयोजित अभिनंदन समारोह में बुधवार को प्रदेश के ऊर्जा एवं वैकल्पिक ऊर्जा राज्यमंत्री ऊर्जा मंत्री डॉ. सोमेंद्र तोमर पहुंचे। इस दौरान उन्होंने कहा कि प्रदेश में जब से भाजपा की सरकार आई है तभी से बिजली की समस्या दूर हो गई है और लगातार इसमें सुधार किया जा रहा है। जल्द ही गौतमबुद्ध नगर समेत आसपास के जिलों में बिजली की समस्या का पूरी तरह समाधान कराया जाएगा। उन्होंने लोगों को आश्वस्त किया नोएडा और ग्रेनो में बिजली कटौती की समस्या को दूर किया जाएगा।

राज्यसभा सांसद सुरेंद्र सिंह नागर ने कहा कि प्रदेश सरकार की प्राथमिकता है कि कानून व्यवस्था बेहतर हो। इसके लिए हर उपाय किए जा रहे हैं। वहीं, दादरी विधायक तेजपाल सिंह नागर ने कहा कि क्षेत्र के विकास की जो जिम्मेदारी भाजपा को दी उसे पूरा करने के लिए हर कार्यकर्ता आम आदमी तक पहुंच रहा है। समारोह में गन्ना विकास संस्थान के अध्यक्ष नवाब सिंह नागर, कैप्टन विकास गुप्ता, एमएलसी श्रीचंद शर्मा, भाजपा जिलाध्यक्ष विजय भाटी, उपाध्यक्ष सुनील भाटी, पवन नागर, सतेंद्र नागर, सतेंद्र शिशौदिया, गजेंद्र मावी, यतेंद्र नागर, मास्टर लज्जाराम भाटी, सुखवीर आर्य, संजय भाटी, बलराज भाटी तिलपता, ओमवीर अवाना आदि समेत क्षेत्र के सैकडों लोग मौजूद रहे।


ग्रेनो में बिजली कटौती के संबंध में पाली, तिलपता और बोड़ाकी गांव के लोगों ने ऊर्जा मंत्री को एक ज्ञापन सौंपा। आरोप लगाया कि नोएडा पावर कंपनी लिमिटेड (एनपीसीएल) 15 घंटे भी बिजली नहीं दे रही है, जबकि गांवों में प्रदेश सरकार 20 घंटे से अधिक बिजली दे रही है। इसके अलावा भी कई आरोप कंपनी पर लगाए। ऊर्जा मंत्री ने आश्वासन दिया कि जल्द ही उनकी समस्याओं के संबंध में कंपनी से बात की जाएगी।

नोएडा। प्रदेश के ऊर्जा राज्य मंत्री सोमेंद्र तोमर का बुधवार को पहली बार नोएडा आगमन हुआ। सेक्टर-116 स्थित भाजपा कार्यालय में मंत्री ने सभी जिला पदाधिकारियों, मंडल के प्रभारियों, सभी मोर्चों के अध्यक्ष, मंडल अध्यक्षों की टीम और कार्यकर्ता से मुलाकात की। कार्यालय में महानगर जिलाध्यक्ष मनोज गुप्ता ने उनका स्वागत किया और सभी पदाधिकारियों से मिलवाया। कार्यकर्ताओं ने मंत्री से नोएडा से संबंधित समस्याओं पर चर्चा की। उन्होंने भाजपा की जीत के लिए कार्यकर्ताओं की मेहनत के लिए धन्यवाद दिया और उनको सभी समस्याओं को जल्द से जल्द समाधान की बात कही। इस मौके पर जिला प्रभारी बसंत त्यागी, जिला महामंत्री उमेश त्यागी, गणेश जाटव, हरीशचंद भाटी, योगेेंद्र चौधरी, उपाध्यक्ष मनीष शर्मा, मुकेश शर्मा, युद्धवीर चौहान, गिरजा सिंह, गिरीश कोटनाला, धर्मेंद्र गुप्ता, विनोद शर्मा, रवि यादव, उमेश यादव, पंकज झा, कल्लू सिंह लोकेश कश्यप, लोकेश यादव, एसपी चमोली, अशोक मिश्रा, ओमबीर अवाना, इंद्रजीत जाटव आदि कार्यकर्ता मौजूद रहे।

विपक्ष के आरोपों का जवाब, पुणे में संयुक्त रैली

विपक्ष के आरोपों का जवाब, पुणे में संयुक्त रैली 
कविता गर्ग  
मुंबई। महाराष्ट्र की महाविकास अघाड़ी सरकार विपक्ष के आरोपों का जवाब देने के लिए 30 अप्रैल को पुणे में संयुक्त रैली करेगी। इस विशाल रैली में महाविकास अघाड़ी सरकार के तीनों दल शामिल होंगे। पुणे के अलका टाकीज चौक पर यह रैली होगी। इस रैली में शिवसेना सुप्रीमो और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले सहित तमाम मंत्री व नेता शामिल होंगे।
लाउडस्पीकर पर नमाज और हनुमान चालीसा मामले को लेकर विरोधियों द्वारा लगातार किए जा रहे हमलों और लगाए जा रहे आरोपों का जवाब देने के लिए महाविकास अघाड़ी सरकार इस रैली का आयोजन कर रही है। सबसे अहम बात यह है कि उसी दिन राज ठाकरे पुणे में अपनी पार्टी महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना की एक बैठक में शामिल होंगे। वह 1 मई को औरंगाबाद में जनसभा को संबोधित करने वाले हैं।
राज ठाकरे ने उद्धव सरकार को दिया है 3 मई तक का अल्टीमेटम
आपको बता दें कि राज ठाकरे ने ही महाराष्ट्र में मस्जिदों में लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर रोक लगाने की मांग सबसे पहले उठाई थी। ऐसा नहीं होने पर उन्होंने मस्जिदों के सामने लाउडस्पीकर पर तेज आवाज में हनुमान चालीसा बजाने की चेतावनी दी थी। इसके बाद मनसे कार्यकर्ताओं ने कुछ स्थानों पर लाउडस्पीकर लगाकर हनुमान चालीसा का पाठ शुरू कर दिया। इस मामले में एमवीए सरकार ने कार्रवाई करते हुए कई मनसे कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया और उन पर जुर्माना लगाया। राज ठाकरे ने मस्जिदों में लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर रोक लगाने के लिए उद्धव सरकार को 3 मई तक का वक्त दिया है। उन्होंने कहा है कि यदि 3 मई तक राज्य सरकार इस मुद्दे पर कोई निर्णय नहीं लेती है तो पूरे महाराष्ट्र में मनसे कार्यकर्ता लाउडस्पीकर पर हनुमान चालीसा बजाएंगे।
उद्धव सरकार ने एक आदेश जारी कर महाराष्ट्र के किसी भी धार्मिक स्थल पर प्रशासन से बिना अनुमति के लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर रोक लगा दी। गत 15 अप्रैल को इस विवाद का हल तलाशने के लिए महाराष्ट्र सरकार ने एक सर्वदलीय बैठक बुलाई थी। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, पूर्व मुख्यमंत्री व विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस इसमें शामिल नहीं हुए। मनसे प्रमुख राज ठाकरे ने भी इस बैठक से दूरी बनाई। सर्वदलीय बैठक की अध्यक्षता महाराष्ट्र के गृह मंत्री दिलीप वालसे पाटिल और उप मुख्यमंत्री अजीत पवार ने की थी।
इधर अमरावती की सांसद नवनीत राणा और उनके पति विधायक रवि राणा द्वारा उद्धव ठाकरे के आवास ‘मातोश्री’ के बाहर हनुमान चालीसा का पाठ करने का प्रयास किया। मुंबई पुलिस ने दोनों को​ गिरफ्तार कर लिया गया। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, ‘अगर आप मेरे घर आना चाहते हैं तो आइए, आपका सत्कार होगा लेकिन अगर दादागिरी के साथ आ रहे हैं तो शिवसेना के संस्थापक बालासाहेब ठाकरे ने हिंदुत्व के पाठ में हमें यह भी सिखाया है कि दादागिरी कैसे निकाली जाती है।

जापान में होगी प्रधानमंत्री व राष्ट्रपति की मुलाकात

जापान में होगी प्रधानमंत्री व राष्ट्रपति की मुलाकात

सुनील श्रीवास्तव  

वाशिंगटन डीसी/नई दिल्ली।अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन अगले महीने दक्षिण कोरिया और जापान जाएंगे और तोक्यो में वह क्वाड (चतुष्पक्षीय सुरक्षा संवाद) शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे। तोक्यो में वह भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात करेंगे। व्हाइट हाउस ने यह जानकारी दी। 

अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन अगले महीने दक्षिण कोरिया और जापान जाएंगे और तोक्यो में वह क्वाड (चतुष्पक्षीय सुरक्षा संवाद) शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे। तोक्यो में वह भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात करेंगे। व्हाइट हाउस ने यह जानकारी दी। बाइडन 20 से 24 मई के बीच दक्षिण कोरिया और जापान की यात्रा करेंगे। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने बुधवार को कहा, यह यात्रा स्वतंत्र एवं मुक्त हिंद-प्रशांत के लिए बाइडन-हैरिस प्रशासन की प्रतिबद्धता को और प्रगाढ़ करेगी।

कमला हैरिस अमेरिका की उप राष्ट्रपति हैं।

बाइडन दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यूं सुक येओल और जापान के प्रधानमंत्री किशिदा फुमिओ के साथ द्विपक्षीय बैठकें करेंगे।
साकी ने कहा, ‘‘ ये नेता हमारे महत्वपूर्ण सुरक्षा संबंधों को गहरा करने, आर्थिक संबंधों को बढ़ाने और हमारे निकट सहयोग को विस्तार देने के अवसरों पर चर्चा करेंगे। तोक्यो में राष्ट्रपति बाइडन क्वाड के नेताओं से भी मुलाकात करेंगे। इस यात्रा के संबंध अन्य जानकारी जल्द साझा की जाएगी।
क्वाड समूह में ऑस्ट्रेलिया, भारत, जापान और अमेरिका शामिल हैं।

निर्यात बंद, खाने के तेल महंगे होने की आशंका

निर्यात बंद, खाने के तेल महंगे होने की आशंका

सुनील श्रीवास्तव 

जकार्ता। ‌आज यानी 28 अप्रैल से इंडोनेशिया ने खाद्य तेलों का निर्यात बंद कर दिया है और इसका असर कई देशों पर देखा जा सकता है। हालांकि भारतीयों के लिए ये खबर और ज्यादा परेशान करने वाली हो सकती है क्योंकि देश में खाने के तेल और महंगे होने वाले हैं। 

शैंपू-साबुन तक के दाम बढ़ने वाले हैं
पहले ही यूक्रेन-रूस युद्ध के कारण देश में सनफ्लार ऑयल (सूरजमुखी का तेल) महंगा हो चुका है, वहीं देश में सरसों के तेल के दाम पहले ही अब तक के हाई स्तर पर हैं। अब पाम तेल के महंगे होने से ना केवल देश में एडिबल ऑयल (खाने के तेल) महंगे होंगे बल्कि कई उपभोक्ता वस्तुएं जैसे केक, बिस्कुट और चॉकलेट से लेकर शैंपू-साबुन तक के दाम बढ़ने वाले हैं।

भारत के लिए क्यों है चिंता बढ़ाने वाली खबर
भारत अपनी जरूरत का 70 फीसदी पाम तेल इंडोनेशिया से आयात करता है और 30 फीसदी तेल मलेशिया से आयात करता है। देश में करीब 90 लाख टन पाम तेल इंडोनेशिया और मलेशिया से आता है और इंडोनेशिया से एक्सपोर्ट बंद होने के चलते देश में पाम तेल की उपलब्धता कम होगी जिससे यहां महंगाई बढ़ेगी। ऐसा इसलिए कह रहे हैं क्योंकि एफएमसीजी और सौंदर्य प्रसाधन बनाने वाली कंपनियां भी बड़ी मात्रा में पाम तेल का यूज करती हैं। इनके चलते वो एफएमसीजी प्रोडक्ट्स जिनमें पाम तेल यूज होता है, महंगे होने वाले हैंं। पाम तेल का सबसे ज्यादा इस्तेमाल खाने के तेल की तरह तो होता ही है, इसके अलावा इंडस्ट्री के बहुत से प्रोडक् जैसे शैंपू, टूथपेस्ट, नहाने का साबुन, विटामिन की गोलियां, सौंदर्य प्रसाधन प्रोडक्ट्स, केक और चॉकलेट वगैरह में भी इनका खूब यूज होता है।

देश में कई कंपनियां करती है पाम तेल का यूज
इंडोनेशिया ने पाम ऑयल का निर्यात बंद किया है जिससे खाद्य तेलों की कीमत में तो इजाफा होगा ही, शैंपू-साबुन, केक, बिस्कुट और चॉकलेट महंगे होने के संकेत भी मिल रहे हैं।इन कंपनियों ने तो पहले ही बता रखा है कि वो अपने प्रोडक्ट्स में पाम ऑयल का यूज करती हैं। जैसे एचयूएल, नेस्ले, प्रॉक्टर एंड गैम्बल और लॉरियल ने अपने उत्पादों में पाम तेल की मात्रा रखने के बारे में जानकारी दे रखी है। जाहिर है अब अगर पाम तेल की कमी होगी तो इसकी कीमतें बढ़ेंगी और ये कंपनियां भी अपने प्रोडक्ट्स के दाम बढ़ा सकती हैं। 

गुलकंद का सेवन, गर्मी से पा सकते हैं राहत

गुलकंद का सेवन, गर्मी से पा सकते हैं राहत

सरस्वती  उपाध्याय 
गर्मी से राहत पाने के लिए लोग तरह-तरह की चीजों का सेवन करते हैं। लेकिन क्या आपने कभी गुलकंद का सेवन किया है। बता दें कि गुलकंद का सेवन करके आप गर्मी से तो राहत पा ही सकते हैं साथ ही कई तरह की दिक्कतों से भी निजात पा सकते हैं। गुलकंद (Gulkand) का सेवन दूध के साथ भी किया जा सकता है और इसको आप सीधे तौर पर भी खा सकते हैं।
वैसे विटामिन्स और मिनरल्स भरपूर होने के कारण जहां दूध को प्रोटीन का बेस्ट सोर्स माना जाता है। वहीं गुलाब के फूलों से बना गुलकंद खाना भी सेहत के लिए काफी फायदेमंद होता है।इसलिए दूध के साथ गुलकंद का सेवन करने से इसके फायदे और भी ज्यादा बढ़ जाते हैं। आइये thehealthsite के अनुसार जानते हैं गुलकंद के फायदों के बारे में।
एसिडिटी से मिलेगी राहत
पेट में गैस, कब्ज और एसिडिटी से निजात पाने के लिए दूध के साथ गुलकंद का सेवन काफी कारगर नुस्खा होता है। दूध में गुलकंद मिलाकर पीने से पेट की सभी समस्याओं से छुटकारा पाया जा सकता है। ये गट बैक्टिरिया को बढ़ाने में मददगार है और आंतों की कार्य प्रणाली को प्रॉपर तरह से काम करने के लिए भी मदद करता है। आप गुलकंद को सीधे तौर पर भी खा सकते हैं।

एनर्जी देता है
गुलकंद का सेवन करने से आपका एनर्जी लेवल बूस्ट होता है क्योंकि इसमें चीनी की मात्रा काफी होती है। जिससे आप दिन भर स्फूर्ति का अनुभव करते हैं। इतना ही नहीं गुलकंद खाने से आंखों की रोशनी भी तेज होती है।
अच्छी नींद लाने में मददगार है
आजकल की बिजी दिनचर्या में काम के प्रेशर की वजह से तनाव होना काफी आम बात हो गई है। हालांकि गुलकंद की तासीर ठंडी होने के कारण इसका सेवन करने से दिमाग की नसों को आराम मिलने लगता है और आपका स्ट्रैस चुटकियों में गायब हो सकता है। जिससे अच्छी और सुकून भरी नींद आना काफी आसान हो जाता है।
पिम्पल्स से पाएं निजात
गर्मी के मौसम में धूप, धूल और मिट्टी की वजह से चेहरे पर पिम्पल्स होना काफी कॉमन प्राब्लम होती है। ऐसे में गुलकंद का सेवन करने से आपको पिम्पल्स से छुटकारा मिलने लगता है। दरअसल गुलकंद एंटी-बैक्टिरियल और एंटी-वायरल तत्वों से भरपूर होता है, जो पिम्पल्स या एक्ने मार्क्स को कम करने में मदद करता है।

अब कोका कोला में कोकीन मिलाने का मन

अब कोका कोला में कोकीन मिलाने का मन
अखिलेश पांडेय 
वाशिंगटन डीसी। माइक्रो ब्लॉगिंग साइट ट्विटर को खरीदने के बाद दुनिया के सबसे अमीर शख्स एलन मस्क सोशल मीडिया पर काफी सक्रिय हो गए हैं और उन्होंने एक चौंकाने वाला ट्वीट करके संकेत दिया है कि उनकी नजर अब कोका कोला को खरीदने पर है। ताकि वह इसमें एक बार फिर कोकीन मिला सकें।
यह तो हालांकि सिर्फ एलन मस्क ही जानते हैं कि उन्होंने यह ट्वीट मजाक में किया है या नहीं। टेस्ला के संस्थापक हालांकि अपने ट्विटर पर कभी-कभी हल्के-फुल्के मजाक करने के लिए जाने जाते हैं और फ्री स्पीच जैसे कई मुद्दों पर उनके ट्वीट अक्सर विभिन्न मुद्दों पर बहस छेड़ते रहते हैं।मस्क ने गुरुवार को ट्वीट किया कि वह बहुराष्ट्रीय पेय कंपनी को खरीदेंगे और उसमें फिर से कोकीन मिलाएंगे। उन्होंने ट्वीट कर कहा, “इसके बाद, मैं कोका-कोला खरीद रहा हूं, ताकि उसमें कोकीन मिला सकूं।उल्लेखनीय है कि कोका कोला एक कार्बोनेटेड शीतल पेय है। इसका मुख्यालय अटलांटा द कोका-कोला कंपनी नाम से है।

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