7 नवंबर से वाहनों का आवागमन शुरू, अनुमति
संदीप मिश्र
मिर्जापुर। लुंबिनी-दुद्धी मार्ग पर गंगा नदी पर बने शास्त्री पुल की मरम्मत और लोड टेस्टिंग की। रिपोर्ट आने के बाद जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन ने सात नवंबर से भारी वाहनों का आवागमन शुरू कराने की अनुमति दी है। पुल पर 18 चक्का वाहनों के आवागमन की अनुमति मिली है। 18 चक्का वाहन पर 34 टन तक का माल लदा होना चाहिए। इससे ऊपर अथवा ओवरलोड वाहनों का आवागमन नहीं होगा। पुल से भारी वाहनों का आवागमन होने से ट्रांसपोर्ट और क्रशर प्लांट व्यवसाय को संजीवनी मिलेगी।
शास्त्री पुल 1976 में बना था। पुल की आयु 50 वर्ष थी। जो पूरी हो गई है। पुल की तीन बार मरम्मत कराई जा चुकी है। वर्ष 2021 में चार करोड़ 62 लाख से पुल की मरम्मत कराई गई थी। इसमें पुल की बेयरिंग बदली गई। बीम ग्राउटिंग का कार्य हुआ। फुटपाथ रिपेयरिंग और रेलिंग की पेटिंग हुई। मरम्मत के बाद चार माह भी पुल नहीं चला। उसमें खराबी आने लगी। जिसके बाद नवंबर 2020 में पुल से खाली ट्रकों के आवागमन पर भी रोक लगा दी गई। सिर्फ छोटे वाहनों का संचालन हो रहा था। इसके बाद पुल की मरम्मत के लिए सात करोड़ 48 लाख रुपये का बजट मिला। जून 2023 से पुल की मरम्मत का कार्य शुरू हुआ। पांच माह बाद पुल की मरम्मत का कार्य पूरा हो गया है। इस बार पुल के 28 स्पान में कार्बन फाइबर रैपिंग, केबल ग्राउटिंग के कार्य किए गए हैं। इसके बाद 27 अक्तूबर को पुल की लोड टेस्टिंग की गई। लोड टेस्टिंग की रिपोर्ट सोमवार को आ गई। सेतु निगम के परियोजना प्रबंधक आरएस उपाध्याय ने बताया कि पुल की लोड टेस्टिंग रिपोर्ट में मानक के अनुसार यातायात सुरक्षित पाया गया। जिसते बाद जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन ने सात नवंबर से पुल रक यातायात प्रारंभ किए जाने का निर्देश जारी किया। पुल से ओवरलोड वाहनों का अवागमन नहीं होगा। सिर्फ 18 चक्का तक के वाहनों का ही आवागमन होगा। आरटीओ संजय तिवारी ने बताया कि 18 चक्का वाहन में मानक के अनुसार 34 टन माल लदा होना चाहिए। खाली ट्रक का वजन अलग है। सेतु निगम के परियोजना प्रबंधक आरएस उपाध्याय का कहना है कि शास्त्री पुल की मरम्मत और लोड टेस्टिंग के बाद 18 चक्का वाहनों को आने-जाने की अनुमति दे दी गई है। सात नवंबर से आवागमन शुरू हो सकेगा।