गुरुवार, 10 नवंबर 2022

10-10 प्रगतिशील किसानों को कई राज्यों में भेजेंगे

10-10 प्रगतिशील किसानों को कई राज्यों में भेजेंगे 

अकांशु उपाध्याय/पंकज कपूर 

नई दिल्ली/देहरादून। सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने कहा है कि सेब, डेयरी, भेड़ बकरी, मछली के 10-10 प्रगतिशील किसानों को अध्ययन के लिए कश्मीर, हिमाचल, गुजरात, गोवा/ आंध्र प्रदेश, राजस्थान, लेह लद्दाख भेजा जाएगा। ताकि किसान वहां का अध्ययन कर अपनी यहां और प्रगति कर सकें।

सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत आज बृहस्पतिवार को राज्य समेकित सहकारी विकास परियोजना के निदेशालय में www.ukcdp.com और MIS के उद्घाटन के बादअधिकारियों की समीक्षा बैठक में बोल रहे थे। उन्होंने कहकि हर जिले से प्रगतिशील किसान सेब के लिए कश्मीर, हिमाचल, डेयरी के लिए गुजरात मछली के लिए गोवा और आंध्रप्रदेश भेड़ बकरी के लिए राजस्थान और लेह लद्दाख अध्ययन के लिए जाएंगे। उन्होंने किसानों के चयन करने के लिए निबंधक सहकारिता को निर्देशित किया। इस अध्ययन का खर्चा राज्य समेकित सहकारी विकास परियोजना वहन करेगी।

उन्होंने कहा कि 2019 से राज्य समेकित सहकारी विकास परियोजना 4 विभागों द्वारा किसानों की आमदनी दोगुनी कर रही है। इसके अच्छे नतीजे अब सामने आ रहे हैं मंत्री डॉ रावत ने कहा कि परियोजना कोऑपरेटिव कलेक्टिव फार्मिंग भी कर रही है जौनपुर और चंपावत में सब्जी और अदरक की पैदावार पर किसान अच्छा कर रहे हैं।

उन्होंने डेयरी विभाग को निर्देश दिया है कि बद्री गाय पर विशेष रूप से फोकस किया जाए 100 करोड रुपए की बद्री गाय को बढ़ाने के लिए प्रस्ताव और प्रोजेक्ट बनाए जाएं परियोजना निदेशक डेयरी ने बताया कि गत वर्ष डेयरी को 22 करोड रुपए मिले थे इस वर्ष ₹13 करोड़ में से ₹3 करोड़ 26 लाख खर्च हो गए हैं। उल्लेखनीय है की बद्री की महानगरों में 2500 किलो बिक रहा है इसकी की बहुत डिमांड बढ़ी है।

अपर निबंधक सहकारिता श्री आनंद शुक्ला ने जानकारी दी कि, पिछले साल सहकारिता विभाग ने ₹35 खर्च किया गया है। इस साल ₹36 करोड़ में से ₹10 करोड़ अब तक खर्च हो गए हैं साइलेज के पर्वतीय क्षेत्र में 150 सेंटर बना दिए गए हैं मार्च तक 15 हजार मैट्रिक टन साइलेंट इन सेंटरों में पहुंच जाएगा।

मंत्री डॉ रावत ने भेड़ बकरी अधिकारियों को निर्देश दिए कि बकरी पालन और उनसे दूध निकालने पर विशेष ध्यान दिया जाय। मार्केट में ₹600 किलो बकरी का दूध बिक रहा है जिसे डेंगू बुखार के लिए लोग प्रयोग में कर रहे हैं। परियोजना निदेशक भेड़ बकरी डॉ अविनाश आनंद ने बताया कि 2 साल में ₹50 करोड़ उनके विभाग को आवंटित हुआ था जिसमें ₹ 36 करोड़ खर्च हो गया है।

मत्स्य की परियोजना निदेशक श्रीमती कल्पना हल्दिया ने बताया कि अब तक 4 करोड रुपए विभाग ने खर्च कर दिया है ट्राउट फिश पर पर्वतीय क्षेत्र में अधिक ध्यान दिया जा रहा है। मंत्री डॉ रावत ने बताया कि राज्य के 6 लाख किसानों को 0% ब्याज पर दीनदयाल किसान कल्याण ऋण योजना में 4 हज़ार करोड़ रुपये दिए गए हैं। जो अपने आप में बड़ा काम है उन्होंने कहा कि किसानों ने इस पैसे से अपनी आमदनी दोगुनी की है। मंत्री डॉ रावत ने कहा कि राज्य में सेब के 1000 नए बागान लगाए जाएंगे।

यूकेसीडीपी की वेबसाइट और एमआईएस का उद्घाटन एक क्लिक दबाकर सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने किया। उन्होंने वेबसाइट और एमआईएस को पूरी तरह से देखा और एक एक चीज के बारे में अधिकारियों से जानकारी हासिल की। सहकारिता विभाग के सचिव डॉ बीवीआरसी पुरुषोत्तम ने बताया कि वेबसाइट और एमआईएस में एमपैक्स तक को जोड़ा गया है। उन्होंने बताया वेबसाइट में समग्र रूप से परियोजना की डिटेल दी गई है। भविष्य में परियोजना क्या काम करने जा रही है और क्या काम वर्तमान में किए जा रहे हैं इसका संपूर्ण डाटा उपलब्ध है।

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने डिजिटल इंडिया को बढ़ावा दिया है ऐसे में सरकारी विभागों की वेबसाइटों का महत्व बढ़ जाता है। एक छाते के नीचे संपूर्ण जानकारियां वेबसाइट में मिल जाती हैं उत्तराखंड राज्य समेकित परियोजना – कोऑपरेटिव, भेड़ बकरी पालन , डेयरी और मत्स्य में काम कर रही है। किसानों की आमदनी 2019 से दोगुनी करने के लिए काम चल रहा है।

2022 में किन-किन किसानों की आमदनी दोगुनी हुई है और राज्य समेकित सहकारी विकास परियोजना से किसानों को क्या-क्या लाभ दिया जा रहा है उनके नाम सहित और संपूर्ण जानकारी इन वेबसाइट में मिल जाएगी।अमेरिका में बैठा हुआ व्यक्ति भी उत्तराखंड के विकास के बारे में जान सकेगा जो सहकारिता विभाग द्वारा कराया जा रहा है।

उत्तराखंड पहला राज्य है जहां पर्वतीय अंचलों में घसियारी योजना कोऑपरेटिव परियोजना सेक्टर द्वारा चलाई जा रही हैं। ताकि महिलाओं का सिर का बोझ कम हो सके, उन्हें आंगन में साइलेज मिल रहा है कहां साइलेज मिलेगा। कितना साइलेज मिल रहा है। क्या इसमें सब्सिडी है पशु इसके खाकर कितना दूध दे रहे हैं , गांव, और एम पैक्स के नाम, वैज्ञानिक ढंग से सारी रिपोर्ट और सारी जानकारियां वेबसाइट में मिल जाएंगी।वेबसाइट और एमआईएस पारदर्शिता का एक बड़ा उदाहरण है। किसी भी विभाग का वेबसाइट आईना होता है कोई भी व्यक्ति वेबसाइट से विभाग के बारे में घर बैठे जानकारी हासिल करता है और जानता है।

झनझनाहट: विटामिन-बी और विटामिन-ई की कमी 

झनझनाहट: विटामिन-बी और विटामिन-ई की कमी 

सरस्वती उपाध्याय 

हाथ और पैरों में झनझनाहट के कई कारण हो सकते हैं, जैसे विटामिन की कमी, डायबिटीज और शरीर में कॉलेस्ट्रोल का बढ़ना‌ लेकिन, आमतौर पर इस झनझनाहट का मुख्य कारण शरीर में विटामिन-बी और विटामिन-ई की कमी हो सकती है। इस कमी के कारण ही ऐसा महसूस होता है जैसे शरीर पर खासकर हाथ-पैरों पर चीटियां चढ़ रही हैं‌। इस स्थिति में ना हाथ हिलाए जाते हैं और ना ही पैर, साथ ही दर्द उठता है सो अलग।यहां जानिए इस दिक्कत को किस तरह दूर किया जा सकता है।

इस झनझनाहट को दूर करने के लिए डाइट में कुछ बदलाव करने के साथ ही जरूरी एहतियात बरते जा सकते हैं। निम्न वे टिप्स हैं जो हाथ-पैरों की सनसेशन को दूर करने में मददगार हैं।

मीट जैसे लीवर विटामिन बी का अच्छा स्त्रोत है

शाकाहारी लोगों के लिए स्प्राउट्स और वेजीटेबल ऑयल अच्छे ऑप्शन हैं।

सूरजमुखी का तेल और राजमा भी विटामिन बी की कमी पूरे करने के लिए खाए जा सकते हैं।

विटामिन ई की कमी पूरे करने के लिए खानपान में एवोकाडो को शामिल किया जा सकता है।

सूखे मेवों में भी अच्छी मात्रा में विटामिन ई पाया जाता है। खासकर बादाम विटामिन ई से भरपूर होता है।

इस झनझनाहट को दूर करने के लिए हाथ या पैरों से किसी भी तरह का प्रेशर हटाएं

हाथ-पैर मोड़कर बैठने पर झनझनाहट हो तो उन्हें सीधा करें

यहां-वहां चलने की कोशिश करें

हाथों में जब चींटी चढ़ने जैसा लगे तो मुट्ठी बंद करें और फिर खोलें। ऐसा कुछ देर करके देखें, आराम महसूस होगा।

पैरों की झनझनाहट में पंजों को आगे-पीछे करें। अगर ऑक्सीजन की कमी से झनझनाहट हो रही होगी तो इस मूवमेंट से ठीक हो जाएगी।

सिर को दाएं-बाएं घुमाने पर हाथों में हो रही झनझनाहट से राहत मिल सकती है‌।

झनझनाहट होने के कुछ देर भीतर ही नहाना हो तो गर्म पानी की बजाय ठंडे पानी से नहाएं गर्माहट दर्द बढ़ाने वाली साबित हो सकती है।

जूतों को चेक करें कि कहीं जूते टाइट होने की वजह से रक्त प्रवाह अवरुद्ध होकर झनझनाहट तो नहीं हो रही।

49 वर्ष की उम्र में भी बेहद खूबसूरत लगती है ऐश्वर्या 

49 वर्ष की उम्र में भी बेहद खूबसूरत लगती है ऐश्वर्या 

कविता गर्ग 

मुंबई। ऐश्वर्या राय इस दुनिया की सबसे खूबसूरत महिलाओं में से एक हैं और उन्‍हें देखकर हर कोई समझ जाता है कि उन्‍हें आज भी इतने सालों बाद भी विश्‍व सुंदरी कहा जाता है। हर कोई ऐश्वर्या की खूबसूरती का दीवाना है और उनका जलवा सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में फैला हुआ है। ऐश्‍वर्या 49 की हो चुकी हैं। लेकिन उन्‍हें देखकर आपको लगेगा कि उनकी खूबसूरती दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है। वहीं ऐश्वर्या एक बेटी की मां भी हैं और मां बनने के बाद अक्‍सर देखा जाता है कि औरते अपने ऊपर ध्‍यान नहीं देती हैं या उनका फिगर मेंटेन नहीं रहता है या अपनी केयर ना कर पाने की वजह से उनका चार्म कम होता जा रहा है लेकिन ऐश्वर्या के मामले में ऐसा नहीं है।

ऐश्वर्या उन मांओं में से एक हैं जो अपनी बेटी की परवरिश के साथ-साथ अपने करियर और हेल्‍थ को भी तवज्‍जो देती हैं। अगर आप भी ऐश्‍वर्या राय की तरह 40’s में भी फिट, यंग और हेल्‍दी दिखना चाहती हैं तो हम आपको उनकी लाइफ के कुछ राज बता रहे हैं। ऐश्‍वर्या के इन टिप्‍स को अपनाकर हर मां खुद को मेंटली और फिजिकली फिट और स्‍वस्‍थ रख सकती है।

अपनी ब्‍यूटी को मेंटेन रखने को लेकर ऐश्‍वर्या कहती हैं कि आपको हमेशा ढेर सारा पानी पीना चाहिए। स्किन और बालों के लिए विटामिन से भरपूर लेकिन सादा खाना खाएं। ऐश्‍वर्या कहती हैं कि वो हर मां और अपनी खुद की बेटी को भी यही सलाह देती हैं कि वो खुद रहे। इससे वो अंदर और बाहर दोनों तरफ से एक सुंदर इंसान बनेगी।

ऐश्‍वर्या अपनी मेंटल हेल्‍थ के लिए अरोमाथेरेपी पर बहुत विश्‍वास करती हैं। इससे नाक के स्‍मेल रिसेप्‍टर्स उत्तेजित होते हैं जो नर्वस सिस्‍टम से इमोशंस को कंट्रोल करने वाले दिमाग के लिंबिक सिस्‍टम को मैसेज पहुंचाते हैं।

ऐश्‍वर्या एसेंशियल ऑयल्‍स में चंदन को त्वचा के लिए बहुत अच्छा मानती हैं, कैमोमाइल या लैवेंडर को तनाव को दूर करने के लिए और नीलगिरी या लेमनग्रास इम्‍यूनिटी में सुधार करने के लिए है।

ऐश्‍वर्या मानती हैं कि रेड लिपस्टिक आपको किसी भी उम्र में अट्रैक्टिव बनाने का गुण रखती है। रेड लिपस्टिक लगाने के बाद आपको लोगों की अटेंशन मिलती है और अगर आप अपने पति को रिझाना चाहती हैं या बच्‍चे होने के बाद अपनी मैरिड लाइफ में प्‍यार को वापिस लाना चाहती हैं तो रेड लिपस्टिक को ट्राई कर सकती हैं।

जनपद में कोई पशु 'एलएसडी' बीमारी से ग्रसित नहीं

जनपद में कोई पशु 'एलएसडी' बीमारी से ग्रसित नहीं

भानु प्रताप उपाध्याय 

मुजफ्फरनगर। जनपद में पशुओं में भयानक रूप से फैली एलएसडी बीमारी पर प्रशासन ने पूर्ण रूप से नियत्रण पा लिया है। अब जनपद में कोई पशु इस बीमारी से ग्रसित नहीं रहा है। चिकित्साधिकारी डा. दिनेश कुमार ने बताया कि जनपद में एलएसडी बीमारी से कोई नया पशु ग्रसित नही पाया गया। पूर्व से ग्रसित पशुओं में से 14683 पशु स्वस्थ हो गये हैं। यह बीमारी एक संक्रामक रोग विषाणुजनित बीमारी है, अधिकांशत: यह बीमारी गोवंशीय पशुओं में पायी जाती है, रोग का संचारण, फैलाव, प्रसार पशुओं में मक्खी, चीचडी एवं मच्छरों के काटने से होता है।

इस बीमारी से प्रभावित पशुओं को बुखार होना, पूरे शरीर में जगह-जगह नोड्यूल, गांठों का उभरा हुआ दिखाई देना है। बीमारी से ग्रसित पशुओं में मृत्यु दर अनुमानित 1 से 5 प्रतिशत है। एलएसडी बीमारी से प्रभावित ग्रामों को छोड़कर आज तक कुल 248000 पशुओं में गोट पाक्स वैक्सीन का टीकाकरण किया गया। मुख्य पशु चिकित्साधिकारी ने बताया कि वर्तमान में बीमारी पर नियंत्रण है। सभी ग्रामवासी धैर्य बनाकर रखें, पैनिक होने की आवश्यकता नही है।

विरोध: भाकियू ने एसएसपी के घेराव का ऐलान किया

विरोध: भाकियू ने एसएसपी के घेराव का ऐलान किया

भानु प्रताप उपाध्याय 

मुजफ्फरनगर। भाकियू की युवा इकाई के जिलाध्यक्ष कपिल सोम की गिरफ्तारी के विरोध में आज भाकियू ने एसएसपी के घेराव का ऐलान किया है। भारतीय किसान यूनियन जिला मुजफ्फरनगर की एक बैठक जिला कार्यालय पर हुई। बैठक में किसानों की बिजली समस्या, गन्ना मूल्य भुगतान और राजस्व विभाग द्वारा किसानों को अनर्गल रूप से परेशान करने के साथ-साथ भारतीय किसान यूनियन के युवा जिला अध्यक्ष मुजफ्फरनगर कपिल सोम की गिरफ्तारी को लेकर भी गहन विचार-विमर्श हुआ।

विचार विमर्श के अनुसार निर्णय लिया गया कि रतनपुरी थाने का घेराव कर धरना प्रदर्शन करने पर प्रशासन द्वारा कपिल सोम के मामले में दिनांक 12 नवंबर तक का जो जांच कर समाधान का समय दिया हुआ है, यदि निष्पक्ष जांच कर समाधान नहीं किया गया तो 14 नवंबर को भारतीय किसान यूनियन जिला मुजफ्फरनगर द्वारा एसएसपी कार्यालय’ का घेराव किया जाएगा और यह घेराव अनिश्चितकालीन होगा।

बैठक के माध्यम से पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं द्वारा स्पष्ट रूप से चेताया गया कि जिला प्रशासन को चाहिए कि कपिल सोम के मामले में पक्ष और विपक्ष दोनों को बैठाकर अति शीघ्र मामले का निपटारा कराएं क्योंकि आज क्षेत्र और गांव के लोगों द्वारा यह बताया गया कि जिस वक्त घटना हुई कपिल सोम और उसका भाई उस विवाद की घटना में मौजूद नहीं थे। प्रशासन द्वारा कुछ लोगों के कहने पर एक तरफा गलत कार्यवाही की गई जिस कारण भाकियू कार्यकर्ताओं व क्षेत्रवासियों में आक्रोश व्याप्त है।

बैठक में नवनियुक्त जिला प्रभारी चौधरी विनय कुमार भी मौजूद रहे और संचालन चौधरी शक्ति सिंह जिला मीडिया प्रभारी ने किया। इस अवसर पर मुख्य रूप से जिला अध्यक्ष योगेश शर्मा, मंडल अध्यक्ष नवीन राठी, महिला विग जिला अध्यक्ष सोनिया सैनी, रजनी शर्मा, पश्चिमी उत्तर प्रदेश उपाध्यक्ष मांगेराम त्यागी, एनसीआर उपाध्यक्ष युवा सतेंद्र पुंडीर जिला प्रभारी मेरठ अशोक घटायन युवा मंडल अध्यक्ष विकास शर्मा नगर अध्यक्ष गुलबहार राव भारतवीर आर्य ओमप्रकाश शर्मा महकार सिंह अनुज पहलवान राजेंद्र बालियान शाहिद आलम बिट्टू प्रधान सचिन चौधरी राहुल अहलावत अंकुश प्रधान गुलाब चौधरी इमरान चौधरी मोमिन त्यागी प्रताप सिंह प्रधान हरिओम खाईखेड़ी देव अहलावत संजय त्यागी खाईखेड़ी विकास चौधरी विजेंद्र बालियान मानसिंह मलिक जोली मलिक संजीव पवार जोगिंदर पहलवान अमरजीत तोमर विपुल निरवाल कुकू शर्मा संदीप सोम परविंदर ढाका सत्येंद्र चौहान राजेंद्र सैनी रुस्तम मुनाजिर पहलवान महमूद त्यागी राजवीर सिंह साजिद कुरेशी जहांगीर मोहब्ब्त अली मंगता प्रधान खुड्डा मोनू ठाकुर तुषार शर्मा प्रमोद गुलिया आदि के साथ साथ सैकड़ों किसान व कार्यकर्ता मौजूद रहे।

'पाइल्स' को दूर करने में बेहद कारगर हैं घरेलू नुस्खे 

'पाइल्स' को दूर करने में बेहद कारगर हैं घरेलू नुस्खे 

सरस्वती उपाध्याय 

पाइल्स की बीमारी बहुत खतरनाक है। पाइल्स के इलाज तो कई हैं, लेकिन आराम मिल पाना मुश्किल होता है‌। अगर दिक्कत ज्यादा बढ़ जाए तो सर्जरी करवाना ही एक मात्र उपाय बचता है‌। सर्जरी के बाद भी बीमारी ठीक होने की कोई गारंटी नहीं है। ज्यादातर मामलो में सर्जरी के कुछ समय बाद पाइल्स की परेशानी दोबारा होने लगती है। कुछ घरेलू नुस्खे पाइल्स को दूर करने में बेहद कारगर हैं। सूरन (जिमीकंद) की सब्जी बवासीर की परेशानी को दूर करने में कारगर है‌।

पाइल्स की परेशानी कई वजहों से हो सकती है। पाइल्स का कारण ठीक से मल का त्याग न हो पाना या फिर कब्ज की दिक्कत हो सकता है। इसकी वजह से गुदा में मस्से हो जाते हैं और भयंकर दर्द की परेशानी होती है।

पाइल्स को दूर करने के वैसे तो कई घरेलू नुस्खे हैं लेकिन सूरन की सब्जी को खाने से ही इस गंभीर परेशानी से छुटकारा मिल जाता है। सूरन को जिमीकंद भी कहा जाता है। जिमीकंद खाने में बड़ा टेस्टी लगता है। ये एक जड़ वाली सब्जी है जो जमीन के भीतर ऊगती है। इस सब्जी को ऊगने में लगभग एक साल का वक्त लगता है। मिट्टी के भीतर लगी इस सब्जी में कई औषधीय गुण समाए हुए होते हैं। ये सब्जी पाइल्स की बीमारी को दूर कर सकती है।

जिमीकंद की सब्जी को खाने से बवासीर में आराम मिलता है‌। सूरन की सब्जी को लगातार 2 हफ्तों तक खाने से पाइल्स की दिक्कत में आराम मिलेगा। इसकी तासीर गर्म मानी जाती है इसलिए जिमीकंद खाने के बाद छाछ पीना फायदेमंद होगा।

जिमीकंद बड़ा कठोर होता है।इसको काटने के पहले हाथों पर सरसों का तेल लगाएं और फिर हाथों को नमक के पानी में धो लें। फिर सब्जी को काट लें। जिमीकंद के टुकड़ों को आग में सेककर या फिर उबालकर बनाया जाता है। नरम हो जाने के बाद आम सब्जियों की तरह ही फ्राई कर सूरन की सब्जी बनाई जाती है।हालांकि इसको पकने में बहुत समय लगता है। अगर पाइल्स के लिए सूरन की सब्जी बना रहे हैं तो उसमें तेल और मसाला बहुत कम डालना चाहिए।

आजम की याचिका खारिज, 3 साल की सजा बरकरार

आजम की याचिका खारिज, 3 साल की सजा बरकरार

संदीप मिश्र 

रामपुर समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता आजम खान की याचिका खारिज। 3 साल की सजा बरकरार, सेशन कोर्ट ने फैसला सुनाया। समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता आजम खान के खिलाफ रामपुर जिला कोर्ट का बड़ा आदेश आ गया है। सेशन कोर्ट ने सुनवाई के बाद उनकी अपील ख़ारिज कर दी। सुप्रीम कोर्ट की ओर से हुई सुनवाई  में आजम खान का पक्ष रखने के लिए हाई कोर्ट के वकीलों की टीम लखनऊ से रामपुर पहुंची थी। हालांकि, इसका फायदा आजम खान को नहीं मिल पाया।

रामपुर कोर्ट में आजम खान पर सुनवाई को उनके कैरियर से जोड़कर देखा जा रहा था। आखिरकार उन पर आया फैसला अब उनके भविष्य को निर्धारित कर दिया है। सेशन कोर्ट के फैसले के बाद रामपुर में उप चुनाव कराए जाएंगे। आजम खान की विधायकी रद्द ही रहेगी।

इंग्लैंड ने सेमीफाइनल में भारत को 10 विकेट से हराया 

इंग्लैंड ने सेमीफाइनल में भारत को 10 विकेट से हराया 

इकबाल अंसारी

नई दिल्ली/लंदन। इंग्लैंड ने सेमीफाइनल में भारत को 10 विकेट से हरा दिया है। उसने 169 रन के लक्ष्य को बिना विकेट गंवाए ही हासिल कर लिया। भारत ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 20 ओवर में छह विकेट पर 168 रन बनाए। जवाब इंग्लैंड की टीम ने 16 ओवर में बिना किसी नुकसान के 170 रन बना लिए। इंग्लैंड के लिए एलेक्स हेल्स ने 47 गेंद पर नाबाद 86 रन बनाए। कप्तान जोस बटलर ने 49 गेंद पर 80 रन की पारी खेली। भारत के छह में से चार गेंदबाजों ने 10 से ज्यादा की इकोनॉमी रेट से रन दिए।

रोहित शर्मा ने कहा, ”आज का दिन काफी निराशाजनक रहा। हमने अंतिम ओवरों में अच्छी बल्लेबाजी की। हम बेहतर गेंदबाजी नहीं कर सके। यह पूरी तरह नॉकआउट मैचों में दबाव झेलने का मामला था। सभी खिलाड़ी इस स्थिति को समझने के लिए काफी क्रिकेट खेल चुके हैं। कई खिलाड़ी आईपीएल के दौरान दबाव वाले मैच खेल चुके हैं। हम गेंदबाजी के दौरान दबाव में दिखे। उनके ओपनर (जोस बटलर और एलेक्स हेल्स) को इसका श्रेय देना होगा। दोनों ने शानदार बल्लेबाजी की। मुझे लगता है कि पहले ओवर से स्विंग मिल रही थी, लेकिन सही दिशा में हमने गेंदबाजी नहीं की। हमने पाकिस्तान के खिलाफ मैच में दबाव को झेला। बांग्लादेश के खिलाफ भी कुछ ऐसा हुआ था, लेकिन आज हम ऐसा नहीं कर सके।”

उपचुनाव के लिए यादव को उम्मीदवार बनाने का ऐलान

उपचुनाव के लिए यादव को उम्मीदवार बनाने का ऐलान

संदीप मिश्र 

लखनऊ। उत्तर प्रदेश की मैनपुरी लोकसभा सीट पर होने जा रहे उपचुनाव के लिए समाजवादी पार्टी ने अपना पिटारा खोलते हुए पार्टी उम्मीदवार के नाम का ऐलान कर दिया है। तमाम किंतु परंतु के बीच समाजवादी पार्टी की ओर से उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे अखिलेश यादव की पत्नी को उम्मीदवार बनाकर उन्हे इस सीट से इलेक्शन लड़ाने का ऐलान किया है।

बृहस्पतिवार को समाजवादी पार्टी की ओर से उत्तर प्रदेश की मैनपुरी लोकसभा सीट पर होने वाले उपचुनाव के लिए पार्टी सुप्रीमो अखिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव को अपना उम्मीदवार बनाने का ऐलान किया है। उत्तर प्रदेश की मैनपुरी लोकसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव के लिए समाजवादी पार्टी के उम्मीदवार के तौर पर कई अन्य नामों पर भी राजनीति के जानकार लोगों द्वारा अपने कयास लगाए जा रहे थे। 

पार्टी के संस्थापक रहे स्वर्गीय मुलायम सिंह यादव, जिनके निधन की वजह से मैनपुरी लोकसभा सीट पर उपचुनाव हो रहा है, उनके भाई शिवपाल यादव भी इस सीट के लिए तगड़े दावेदार के रूप में सामने आ रहे थे। लेकिन बृहस्पतिवार को समाजवादी पार्टी ने तमाम किंतु परंतु पर विराम लगाते हुए स्वर्गीय मुलायम सिंह यादव की पुत्रवधू डिंपल यादव को अपना उम्मीदवार बनाने का अब ऐलान कर अब मामले का पटाक्षेप कर दिया है।

तेज रफ्तार डंपर की चपेट में आया छात्र, मौंत

तेज रफ्तार डंपर की चपेट में आया छात्र, मौंत

संदीप मिश्र 

फिरोजाबाद। साइकिल पर सवार होकर स्कूल में पढ़ने जा रही कक्षा-6 की छात्रा की तेज रफ्तार डंपर की चपेट में आकर मौंत हो जाने के बाद इकट्ठा हुई भीड़ का गुस्सा बुरी तरह से भड़क गया। सूचना पर पहुंची पुलिस द्वारा डंडे फटकारने से भीड़ ने पथराव करते हुए उसे दौड़ा लिया। पुलिस पर पथराव किए जाने से मौके पर भगदड़ मच गई। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए कई उपद्रवियों को हिरासत में ले लिया है। सूचना पर पहुंचे एसपी सिटी, सीओ सिटी एवं अन्य अफसरों ने परिजनों को समझा-बुझाकर मामले को शांत कराया और मृतक छात्रा के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम को भेज दिया है।

बृहस्पतिवार को थाना रामगढ़ क्षेत्र के गांव नगला धनी निवासी सोनवीर की 12 वर्षीय बेटी दिव्या साइकिल पर सवार होकर रागी इंटर कॉलेज में शिक्षा ग्रहण करने के लिए जा रही थी। इसी दौरान तेजी से आए डंपर ने साइकिल सवार छात्रा को अपनी चपेट में लेकर उसे टक्कर मार दी। गंभीर रूप से घायल हुई छात्रा को आनन-फानन में सरकारी ट्रामा सेंटर पर ले जाया गया, जहां पर डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। छात्रा की मौत की जानकारी मिलते ही परिजन बुरी तरह से उत्तेजित हो गए। उधर कालेज की छात्राओं ने स्कूल के बाहर धरने पर बैठकर जाम लगा दिया।

सूचना मिलने के बाद मौके पर पुलिस ने जब लोगों को रास्ते से हटाने का प्रयास किया तो मौके पर बवाल हो गया। गुस्साए ग्रामीणों ने पुलिस के ऊपर पथराव कर दिया जिसकी चपेट में पुलिस की जीप भी आ गई। थाना प्रभारी रामगढ़ हरविंद्र मिश्रा पुलिस फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे, जब उन्होंने लाठियां फटकारते हुए लोगों को हटाने का प्रयास किया तो मौके पर भगदड़ के हालात बन गए। पुलिस के आलाधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर ग्रामीणों के साथ परिजनों को समझा-बुझाकर शांत किया। इसके बाद पुलिस ने छात्रा के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।

खतौली विधानसभा सीट पर 6 दिसंबर को उपचुनाव 

खतौली विधानसभा सीट पर 6 दिसंबर को उपचुनाव 

भानु प्रताप उपाध्याय 

मुजफ्फरनगर। मुजफ्फरनगर में भाजपा विधायक विक्रम सैनी की सदस्यता रद्द होने से खाली हुई खतौली विधानसभा सीट पर 6 दिसंबर को उपचुनाव होगा। जिसके लिए गुरुवार को अधिसूचना जारी कर दी गई। इसके साथ ही पहले दिन 6 लोगों ने नामांकन पत्र खरीदे। 17 नवंबर तक नामांकन पत्र एडीएम कोर्ट कार्यालय में जमा किये जा सकेंगे। एसडीएम खतौली जीत सिंह को रिटर्निंग अधिकारी बनाया गया है।

भाजपा विधायक की सदस्यता रद्द होने के बाद विधानसभा सचिवालय की और से अधिसूचना जारी कर खतौली विधानसभा सीट रिक्त घोषित कर दी गई थी। जिसके उपरांत चुनाव आयोग ने उप चुनाव का कार्यक्रम जारी किया था। जिला निर्वाचन अधिकारी चन्द्रभूषण सिंह ने बताया था कि निर्वाचन आयोग के आदेश के अनुसार 10 नवंबर को चुनाव के लिए अधिसूचना जारी की जाएगी। इसी दिन से नामांकन पत्रों की बिक्री शुरू करने की बात बताई गई थी। जिसके अनुसार गुरुवार से नाम निर्देशन पत्रों की बिक्री की गई।

रिटर्निंग अधिकारी के अनुसार गुरुवार को 6 नाम निर्देशन पत्रों की बिक्री की गई। जिनमं दूधाहेड़ी के यशपाल, रैदासपुरी के माधवराम, सैनी नगर के राकेश सैनी, निर्मल प्रताप और खेड़ी वीरान के रमेश चंद तथा यज्ञपाल शामिल हैं। खतौली विधानसभा उप चुनाव के मद्देनजर नामांकन पत्रों की बिक्री एवं नामांकन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। गुरुवार को पहले दिन रिटर्निंग अधिकारी कार्यालय तक पहुंचने से पहले तीन स्थानों पर सुरक्षा चेकिंग की गई। सर्वप्रथम कचहरी गेट फिर रिटर्निंग अधिकारी कार्यालय तक जाने वाली लाबी और उसके पश्चात रिटर्निंग अधिकारी कार्यालय में प्रवेश से पहले भी चेकिंग हुई। पुलिस, पीएसी और सीपीएफ तैनात की गई है।

प्रभावी: जीपीए ने एससी के निर्णय का स्वागत किया 

प्रभावी: जीपीए ने एससी के निर्णय का स्वागत किया 

अकांशु उपाध्याय/इकबाल अंसारी 

नई दिल्ली/गाजियाबाद। जीपीए ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश शिक्षा कमाई का जरिया नही को प्रभावी बताते हुए निर्णय का स्वागत किया है। गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन की अध्य्क्ष सीमा त्यागी ने कहा कि यह निर्णय ऐसे समय मे आया है, जब देश के अधिकतर राज्यो में शिक्षा का बढ़ता व्यवसाईकरण अपनी चरम सीमा पर है। जिसकी वजह से शिक्षा आम आदमी की पहुँच से दूर होकर एक विशेष वर्ग के लोगो के लिए सीमित होने का संदेश दे रही है। शिक्षा के बढ़ते व्यवसाईकरण पर लगाम लगाने के लिए केंद्र और राज्य सरकार चुप्पी साधे रखती है। सरकारो को देश के शिक्षण संस्थानों की फीस पर लगाम लगाने की चुप्पी का एक बड़ा कारण देश के बड़े-बड़े उधोगपतियों और नेताओं का पैसा प्रत्यक्ष अथवा अप्रत्यक्ष रूप से शिक्षण संस्थानों में निवेश करना भी हो सकता है।

देश के अधिकतर राज्यो में बड़े बड़े उधोगपतियों एवम व्यापारियों की शिक्षा के मंदिरों में घुसपैठ हो चुकी है। जिसके कारण देश मे शिक्षा का व्यापार तेजी से बढ़ रहा है। देश मे  निजी शिक्षण संस्थानों द्वारा अभिभावकों से फीस के नाम पर की जा रही मोटी उगाही के खिलाफ अभिभावको एवम पेरेंट्स एसोसिएशन द्वारा लगातार आवाज उठाई जा रही है। लेकिन निजी शिक्षण संस्थानों की फीस नियंत्रित करने के लिए केंद्र और राज्य सरकारे गंभीर नही है।

इसका एक बड़ा उदाहरण हम सभी ने कोरोना काल के समय मे देखा जब पेरेंट्स द्वारा कोरोना में ऑन लाइन फीस की निर्धारित करने की मांग देश के प्रधानमंत्री और राज्यो के  मुख्यमंत्रियों से की गई, लेकिन सरकार ऑन लाइन क्लास की फीस निर्धारित करने की जायज मांग पर भी टस से मस नही हुई और देश के अभिभावकों को लगभग 100 साल बाद आई विपदा में भी शिक्षा जिसको समाज सेवा कहा जाता है, के नाम पर निजी स्कूलों द्वारा लूटने के लिये अकेला छोड़ दिया गया जो यह अत्यंत चिंतनीय है की फीस नियंत्रण का जो निर्णय केंद्र सरकार को लेना चाहिए। आज उस निर्णय को सुप्रीम कोर्ट को लेने के लिए विवश होना पड़ा।

आपको जानकारी के लिए बताना जरूरी है कि सुप्रीम कोर्ट ने आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट के आंध्र प्रदेश के मेडिकल कॉलेजो में ट्यूशन फीस बढ़ाकर 24 लाख करने के राज्य सरकार के आदेश को रद्द करने के निर्णय को बरकरार रखते हुये कहा  कि शिक्षा कमाई का जरिया नही और ट्यूशन फीस हमेशा अफोर्डेबल यानी चुकाई जा सकने लायक होनी चाहिए यहां यह भी बताना जरूरी है कि हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ आंध्र प्रदेश सरकार और मेडिकल कॉलेज सुप्रीम कोर्ट पहुँचे थे जिस पर सुप्रीम कोर्ट द्वारा सख्त रुख अख्तियार करते हुये मेडिकल कॉलेज और आंध्र प्रदेश सरकार पर 5 लाख का जुर्माना भी लगाया साथ ही इस रकम को 6 हफ्ते के अंदर रजिस्ट्री में जमा कराने के आदेश दिए है।

गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन के सचिव अनिल सिंह ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का निर्णय शिक्षा कमाई का जरिया नही, भविष्य में शिक्षण संस्थानों द्वारा की जा रही लूट पर लगाम लगाने के लिए बहुत प्रभावी साबित हो सकता है। केंद्र और राज्य सरकार शिक्षा के बढ़ते व्यवसाईकरण पर रोक लगाने में असफल है। इसलिये सुप्रीम कोर्ट को देश की शिक्षा व्यवस्था को अपने आधीन लेकर कोर्ट के निर्णयों को राज्य  राज्य सरकारों द्वारा प्रभावी ढंग से लागू करने के लिये एक इम्पलीमेंटेशन बॉडी का गठन करना चाहिए। जिससे कि शिक्षा के बढ़ते व्यवसाईकरण पर रोक लग सके एवम शिक्षा  आम आदमी की पहुँच से दूर न जाने पाएं।

परिवारवाद तक सिमट कर रही सपा, कसा तंज 

परिवारवाद तक सिमट कर रही सपा, कसा तंज 

संदीप मिश्र 

लखनऊ। बस्ती लोकसभा क्षेत्र से सासंद एवं भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय मंत्री हरीश द्विवेदी ने तंज कसते हुए कहा कि समाजवादी पार्टी (सपा) परिवारवाद तक सिमट कर रह गई है। भाजपा नेता ने कहा कि अखिलेश यादव अब अपने पिता मुलायम सिंह यादव और चाचा शिवपाल यादव की बनायी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं। इसके बावजूद भी सपा कार्यकर्ता पूरी तरह से हताश और निराश है।

द्विवेदी ने गुरुवार को कहा कि सपा राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव परिवारवाद में टूट गये हैं उन्हें अपने ही परिवार के सदस्यों पर विश्वास नहीं है। पार्टी परिवारवाद में सिमट गयी है। अखिलेश कहते कुछ और हैं करते कुछ और हैं। वह अपने पिता की बनी बनाई पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष बन गये है और सपा को परिवारवाद में समेट दिये है। उन्होंने कहा कि अपने चाचा शिवपाल को ही पार्टी में नहीं ला पा रहे हैं। कार्यकर्ताओं को कहा स्थापित करेंगे। सपा की जनाधार समाप्त हो रहा है उनकी पार्टी के कार्यकर्ता भी अब पार्टी छोड़ रहे है।

कांग्रेस सरकार बनने पर पुरानी पेंशन योजना लागू होगी

कांग्रेस सरकार बनने पर पुरानी पेंशन योजना लागू होगी

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली कांग्रेस ने कहा है कि हिमाचल प्रदेश और गुजरात विधानसभा चुनाव के बाद पार्टी की सरकार बनने पर पुरानी पेंशन योजना लागू की जाएगी। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने गुरुवार को फेसबुक पोस्ट में कहा कि पेंशन ,देश सेवा करने वाले हर सरकारी कर्मचारी का बुढ़ापे का सहारा है। पेंशन पाना हर सरकारी कर्मचारी का हक है जिसे भाजपा सरकार उनसे छीन रही है लेकिन कांग्रेस की सरकार बनी तो पेंशन योजना को लागू किया जाएगा।

उन्होंने कहा “ पेंशन कर्मचारियों का हक, कांग्रेस बहाल करेगी पुरानी पेंशन स्कीम। पुरानी पेंशन को खत्म कर भाजपा ने देश के बुजुर्गों से उनकी आर्थिक सुरक्षा छीन ली। जो देशवासी जीवन भर देश की सेवा करते हैं, आखिर बुढ़ापे में वे कहां जाएं। अपना गुजर-बसर कैसे करें। जब कोई व्यक्ति सरकारी नौकरी में जाता है तो सोचता है कि जब वह रिटायर होगा तो उसे आर्थिक असुरक्षा का सामना नहीं करना पड़ेगा। पेंशन से उसका भरण-पोषण चलता रहेगा लेकिन भाजपा सिर्फ छीनना जानती है। हमारे जो सैनिक अपनी जान हथेली पर लेकर सरहदों पर देश की रक्षा करते हैं, उनकी भी आर्थिक सुरक्षा एक-एक करके छीनी जा रही है।”

उन्होंने कहा “ कांग्रेस मानती है कि देश के निर्माण में अपना योगदान देने वाले कर्मचारियों को पेंशन मिलनी चाहिए, ताकि वे बुढ़ापे में आत्म​निर्भर रह सकें। यह हर कर्मचारी का हक है। इसी को ध्यान में रखते हुए छत्तीसगढ़ और राजस्थान की कांग्रेस सरकारों ने पुरानी पेंशन स्कीम लागू कर दी। ” पार्टी का संकल्प है कि हिमाचल प्रदेश और गुजरात में भी सरकार बनते ही पुरानी पेंशन स्कीम लागू की जाएगी।"

घर में नजरबंद रखने के अनुरोध को मंजूर किया 

घर में नजरबंद रखने के अनुरोध को मंजूर किया 

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। एल्गार परिषद-माओवादी संबंध मामले में जेल में बंद सामाजिक कार्यकर्ता गौतम नवलखा को राहत देते हुए उच्चतम न्यायालय ने घर में नजरबंद रखने के उनके अनुरोध को बृहस्पतिवार को मंजूर कर लिया और कहा कि प्रथम दृष्टया उनकी चिकित्सीय रिपोर्ट खारिज करने की कोई वजह नहीं है। न्यायमूर्ति के एम जोसेफ और न्यायमूर्ति ऋषिकेश रॉय की पीठ ने कहा कि 70 वर्षीय नवलखा को घर में नजरबंद करने के आदेश को 48 घंटे के भीतर अमल में लाया जाए। इसके साथ ही अदालत ने कई शर्तें भी लगायीं।

पीठ ने कहा, मामले के निकट भविष्य में निस्तारण की ओर प्रगति करने के आसार नहीं हैं और आरोप तय नहीं किए जा रहे हैं। हमारा मानना है कि उन्हें एक महीने के लिए घर में नजरबंद करने की अनुमति दी जानी चाहिए। उच्चतम न्यायालय ने नवलखा को राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) को 2.4 लाख रुपये जमा कराने का भी निर्देश दिया। एनआईए ने पुलिस कर्मी उपलब्ध कराने के लिए यह खर्च आने का दावा किया था। न्यायालय ने यह भी कहा कि नवलखा को एक महीने के लिए घर में नजरबंद करने के दौरान कम्प्यूटर तथा इंटरनेट इस्तेमाल करने की अनुमति नहीं होगी।

पीठ ने कहा, याचिकाकर्ता घर में नजरबंद रहने के दौरान कम्प्यूटर, इंटरनेट या संचार के किसी अन्य उपकरण का इस्तेमाल नहीं करेंगे। हालांकि, उन्हें पुलिस की मौजूदगी में दिन में एक बार 10 मिनट के लिए पुलिसकर्मियों द्वारा उपलब्ध कराए मोबाइल फोन का इस्तेमाल करने की अनुमति होगी लेकिन बगैर इंटरनेट के।

शीर्ष न्यायालय ने यह भी कहा कि नवलखा को मुंबई छोड़ने की अनुमति नहीं दी जाएगी और वह घर में नजरबंद रहने के दौरान किसी भी तरीके से गवाहों को प्रभावित करने की कोशिश नहीं करेंगे। उसने कहा कि टेलीविजन देखने और अखबार पढ़ने की अनुमति दी जाएगी लेकिन ये इंटरनेट आधारित नहीं होने चाहिए। पीठ ने कहा, हम याचिकाकर्ता तथा साथियों से सभी शर्तों का ईमानदारी से पालन करने की अपेक्षा करते हैं। किसी भी उल्लंघन को गंभीरता से लिया जाएगा और आदेश को तत्काल प्रभाव से रद्द किया जा सकता है।

अमेरिका की जनता ने फिर साबित किया, हम कौन हैं

अमेरिका की जनता ने फिर साबित किया, हम कौन हैं

अखिलेश पांडेय 

वाशिंगटन डीसी। अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा कि मतदान के जरिए अमेरिका की जनता ने एक बार फिर साबित कर दिए कि हम कौन हैं। बाइडेन ने उनकी डेमोक्रेटिक पार्टी के मध्यावधि चुनाव में उम्मीद से बेहतर प्रदर्शन करने के बाद यह बयान दिया। रिपब्लिकन और डेमोक्रेटिक पार्टी 100 सदस्य-अमेरिकी सीनेट में 48-48 सीट पर है, जबकि प्रतिनिधि सभा में डेमोक्रेटिक पार्टी की 183 सीट के मुकाबले रिपब्लिकन पार्टी 207 सीट के साथ आगे है। रिपब्लिकन पार्टी के 218 का आंकड़ा पार करने की उम्मीद है, लेकिन मध्यावधि चुनाव में जीत हासिल करने के लिए 250 सीट पाने की उम्मीद बहुत कम है। कई दशकों में किसी भी मौजूदा राष्ट्रपति का मध्यावधि चुनाव में यह बेहतरीन प्रदर्शन है।

बाइडेन ने व्हाइट हाउस में एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि वह अपनी नीतियों पर कायम रहेंगे जो ‘‘अभी तक कामयाब’’ साबित हुई है। उन्होंने कहा, ‘‘ अभी तक पूरे परिणाम नहीं आए हैं… मीडिया व विशेषज्ञ रिपब्लिकन के बेहतरीन प्रदर्शन का पूर्वानुमान लगा रहे थे लेकिन ऐसा नहीं हुआ। मुझे पता है कि आप मेरे निरंतर आशावादी रवैये से कुछ नाराज थे, लेकिन मैं इस पूरी प्रक्रिया के दौरान खुश था। मुझे लगता है कि हम अच्छा करेंगे।’’ अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, ‘‘ किसी भी सीट पर हार दुखद है, कई अच्छे डेमोक्रेटिक उम्मीदवार नहीं जीते… हालांकि पिछले 40 साल में किसी भी डेमोक्रेटिक राष्ट्रपति के शासनकाल की तुलना में प्रतिनिधि सभा में हम कम सीट हारे.. आखिरी बार 1986 में मध्यावधि चुनाव में हमारा प्रदर्शन सबसे अच्छा रहा था।

अमेरिकी संसद भवन (कैपिटल हिल) में छह जनवरी को हुए हमले पर बाइडेन ने कहा कि गृहयुद्ध के बाद से ऐसा कभी कुछ नहीं हुआ। गौरतलब है कि पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने तीन नवंबर 2020 को हुए राष्ट्रपति चुनाव में हार स्वीकार नहीं की थी और उन्होंने चुनाव में धोखाधड़ी के आरोप लगाए थे। ट्रंप के इन आरोपों के बीच उनके समर्थकों ने छह जनवरी को संसद भवन परिसर में कथित तौर पर हिंसा की थी। बाइडन ने कहा, ‘‘ गृहयुद्ध के बाद से ऐसा कभी कुछ नहीं हुआ। मैं ज्यादा बढ़ा-चढ़ाकर बात नहीं करना चाहता, पर वास्तव में गृहयुद्ध (1861-1865) के बाद से ऐसा कभी कुछ नहीं हुआ।

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प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

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1. अंक-396, (वर्ष-05)

2. शुक्रवार, नवंबर 11, 2022

3. शक-1944, मार्गशीर्ष, कृष्ण-पक्ष, तिथि-तीज, विक्रमी सवंत-2079‌‌।

4. सूर्योदय प्रातः 07:02, सूर्यास्त: 05:36। 

5. न्‍यूनतम तापमान- 22 डी.सै., अधिकतम-33+ डी.सै.।

6. समाचार-पत्र में प्रकाशित समाचारों से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं है। सभी विवादों का न्‍याय क्षेत्र, गाजियाबाद न्यायालय होगा। सभी पद अवैतनिक है। 

7.स्वामी, मुद्रक, प्रकाशक, संपादक राधेश्याम व शिवांशु, (विशेष संपादक) श्रीराम व सरस्वती (सहायक संपादक) संरक्षण-अखिलेश पांडेय, ओमवीर सिंह, वीरसैन पवार, योगेश चौधरी आदि के द्वारा (डिजीटल सस्‍ंकरण) प्रकाशित। प्रकाशित समाचार, विज्ञापन एवं लेखोंं से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं हैं। पीआरबी एक्ट के अंतर्गत उत्तरदायी।

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