हरिओम उपाध्याय
फैजाबाद। जिले का नाम बदलकर अयोध्या करने के बाद अब इसके पड़ोसी जिले सुल्तानपुर का नाम भी जल्द भगवान राम के बेटे कुश के नाम पर ‘कुश भवनपुर रखा जा सकता है।
सूत्रों का कहना है कि नाम बदलने का प्रस्ताव उत्तर प्रदेश बोर्ड ऑफ रेवेन्यू द्वारा राज्य सरकार को भेज दिया गया है। इसकी मंजूरी के लिए अगली कैबिनेट में फैसला लिया जाएगा।
जिला गजेटियर में ऐतिहासिक रिकॉर्ड का हवाला देते हुए सुल्तानपुर जिला प्रशासन की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि शहर को साल 1300 में कुश भवनपुर के रूप में जाना जाता था। अलाउद्दीन खिलजी की सेना द्वारा आक्रमण किए जाने से पहले भर वंश यहां पर शासन करता था। खिलजी के आक्रमण के बाद इसका नाम बदलकर सुल्तानपुर कर दिया गया था।
इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट के मुताबिक सुल्तानपुर जिला मजिस्ट्रेट रवीश गुप्ता ने कहा कि कुछ महीने पहले जब हमने जिला गजेटियर के आधार पर रिकॉर्ड देखा तो पता चला कि लगभग साल 1300 में अलाउद्दीन खिलजी के शासनकाल के दौरान शहर को उसकी सेना ने तबाह कर दिया था। तब से इसे सुल्तानपुर के नाम से जाना जाता है। कुछ महीने पहले ही हमने सरकार को इसकी जानकारी दी थी
21 दिसंबर 2018 को लंभुआ से बीजेपी विधायक देवमणि द्विवेदी ने सुल्तानपुर का मुद्दा उठाया था। उन्होंने दावा किया था कि उन्हें कुछ ऐतिहासिक रिकॉर्ड मिले हैं, जो दिखाते हैं शहर को कुश से जुड़े विभिन्न नामों से जाना जाता था और सदन को सर्वसम्मति से कुश भवनपुर के नाम को मंजूरी देनी चाहिए।
उत्तर प्रदेश में कई जगहों के नाम बदलने के बाद दिल्ली में भी नाम बदलने का सिलसिला शुरू हो गया है। यहां गांव का नाम बदलने की मांग उठी है। दिल्ली के सफदरजंग एन्क्लेव से बीजेपी की पार्षद राधिका अबरोल ने शुक्रवार को प्रस्ताव दिया कि हुमायूंपुर गांव का नाम बदलकर हनुमानपुर किया जाना चाहिए।
प्रस्ताव में कहा गया है कि हुमायूंपुर गांव के लोगों की लंबे समय से यह मांग है कि इसका नाम बदलकर हनुमानपुर रख दिया जाए। पार्षद राधिका अबरोल ने कहा कि गांव के लोगों की मांग और भावनाओं को ध्यान में रखते हुए गांव का नाम बदलना जनहित में होगा। प्रस्ताव में यह भी कहा गया कि उचित कार्रवाई के लिए इसे निकाय संस्था की नामकरण समिति को भेजा जाएगा। इससे एक दिन पहले एसडीएमसी के महापौर मुकेश सूर्यन ने मोहम्मदपुर गांव का नाम बदलकर माधवपुरम करने को अग्रिम मंजूरी दी थी।