नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की सुरक्षा से स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) को हटा लिया है। हालांकि, डॉ. सिंह की जेड़-प्लस केटेगरी की सुरक्षा बरकरार रखी गई है।
गृह मंत्रालय से जुड़े सूत्रों ने डॉ. मनमोहन सिंह की सुरक्षा से एसपीजी को हटाए जाने की पुष्टि करते हुए कहा कि अब केवल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अलावा कांग्रेस की कार्यकारी अध्यक्ष सोनिया गांधी, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा को ही एसपीजी का सुरक्षा कवच मिल रहा है। अब मनमोहन सिंह की सुरक्षा का जिम्मा सीआरपीएफ के हवाले होगा, लेकिन सीआरपीएफ के आला अधिकारियों का कहना है कि उन्हें इस बात औपचारिक सूचना नहीं मिली है।बता दें कि एसपीजी का गठन 1985 में प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की 1984 में की उनके सुरक्षाकर्मियों द्वारा की गई हत्या के बाद किया गया था। 1988 में एसपीजी एक्ट पास किया गया, जिसमें केवल प्रधानमंत्री को ही एसपीजी सुरक्षा मुहैया कराने की बात कही गई थी। लेकिन 1989 में वीपी सिंह के प्रधानमंत्री बनने के बाद से राजीव गांधी की एसपीजी सुरक्षा तत्काल हटा ली गई थी।
1991 में राजीव गांधी की हत्या के बाद से एक्ट में संशोधन किया गया, और पूर्व प्रधानमंत्री और उनके परिजनों को भी 10 साल के लिए सुरक्षा देने का प्रावधान शामिल किया गया। एक्ट में 2003 में एक बार फिर से संशोधन किया गया। इस बार पूर्व प्रधानमंत्री और उनके निकट के परिजनों को पद से हटने के एक साल तक सुरक्षा देने और उसके बाद केंद्र सरकार के सुरक्षा स्थिति की आंकलन करने के बाद निर्णय लिया जाएगा।