गुरुवार, 5 जनवरी 2023

भारत: 'विकास' को बढ़ावा देने के लिए समझौता

भारत: 'विकास' को बढ़ावा देने के लिए समझौता

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) और माइक्रोसॉफ्ट ने भारत में स्‍पेस टेक्‍नोलॉजी स्टार्टअप के विकास को बढ़ावा देने के लिए आज एक समझौता किया जिसके तहत देश भर में टेक्‍नोलॉजी टूल्‍स और प्लेटफॉर्म के साथ स्‍पेस टेक स्टार्ट-अप को सशक्त बनाने के साथ ही उन्‍हें बाजार सपोर्ट और विस्‍तार करने के लिए मेन्‍टॉरशिप तथा एंटरप्राइज बनने में मदद किया जाएगा। यह साझेदारी भारत में सर्वाधिक संभावनाशील स्‍पेस टेक इनोवेटर्स और उद्यमियों की बाज़ार क्षमता का उपयोग करने के लिए इसरो के दृष्टिकोण को और मजबूती देगी। इस सहयोग के चलते, इसरो द्वारा चिह्नित स्पेस टेक स्टार्टअप्स को माइक्रोसॉफ्ट फॉर स्टार्टअप फाउंडर्स हब प्लेटफॉर्म से जोड़ा जाएगा, जो स्टार्टअप को उनकी यात्रा के हर चरण में यानि विचार (आइडिया) से लेकर यूनिकॉर्न बनने तक में समर्थन देता है।

माइक्रोसॉफ्ट फॉर स्‍टार्टअप फॉर फाउंडर्स हब के माध्‍यम से भारत में स्‍पेस-टेक स्‍टार्टअप्‍स के संस्‍थापकों को अपना व्‍यवासाय विकसित करने और उसे चलाने के लिए आवश्‍यक टैक्‍नोलॉजी, टूल्‍स और रिसोर्सेस तक मुक्‍त पहुंच प्राप्‍त होगी। इसमें एज्‍यूर पर कारोबार विकसित करने और उसका विस्‍तार करने, अपनी श्रेणी में सर्वश्रेष्‍ठ डेवलपर और गिटहब एंटरप्राइज, विजुअल स्टूडियो एंटरप्राइज और माइक्रोसॉफ्ट 365 सहित उत्पादकता टूल्‍स और पावर बीआई तथा डायनमिक्स 365 के साथ स्मार्ट एनालिटिक्स तक पहुंच बनाने के लिए तकनीकी सहायता शामिल है।

इसरो के अध्यक्ष एस सोमनाथ ने कहा कि माइक्रोसॉफ्ट के साथ हमारे गठबंधन से स्‍पेस टैक स्‍टार्टअप को, एआई, मशीन लर्निंग तथा डीप लर्निंग जैसे अत्‍याधुनिक साधनों की मदद से विभिन्‍न एप्‍लीकेशनों के लिए बड़ी मात्रा में सैटलाइट डेटा के विश्‍लेषण और प्रोसेसिंग में फायदा मिलेगा। माइक्रोसॉफ्ट फॉर स्‍टार्टअप फाउंडर्स हब राष्‍ट्रीय अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी परितंत्र को समर्थन देने के उद्देश्‍य से विभिन्‍न स्‍टार्टअप तथा टैक्‍नोलॉजी सॉल्‍यूशंस प्रदाताओं को एकजुट करने का उपयोगी मंच है। हम उद्यमियों की सहायता और उन्‍हें समर्थन देने के लिए मिल-जुलकर काम करने पर बेहद प्रसन्‍न हैं, और इससे कुल-मिलाकर भारतीय अर्थव्‍यवस्‍था को भी फायदा मिलेगा।

माइक्रोसॉफ्ट इंडिया के अध्यक्ष अनंत माहेश्‍वरी ने कहा कि रत में स्पेस टेक स्टार्टअप प्रौद्योगिकी की ताकत के साथ देश की अंतरिक्ष क्षमताओं को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। अंतरिक्ष में क्या संभव है, इस ट्रांसफॉर्मेशन को गति देने के लिए इसरो के साथ सहयोग करके हम सम्मानित महसूस कर रहे हैं। अपने टैक्‍नोलॉजी टूल्‍स, प्लेटफॉर्म और मेन्‍टॉरशिप के अवसरों के माध्यम से, हम अत्याधुनिक इनोवेशन को बढ़ावा देने और वैज्ञानिक खोज में तेजी लाने के लिए देश में स्‍पेस टेक स्‍टार्टअप्‍स को सशक्त बनाने के लिए गंभीरता से प्रतिबद्ध हैं।

आतंरिक शांति के लिए काम करें, फायदा होगा

आतंरिक शांति के लिए काम करें, फायदा होगा

इकबाल अंसारी 

तिरुवनंतपुरम। तिब्बती धर्म गुरु दलाई लामा ने कहा है कि अगर भारत और चीन के लोग ‘अहिंसा’ और ‘करुणा’ के मार्ग पर चलते हुए आतंरिक शांति के लिए काम करें तो पूरी दुनिया को इसका फायदा होगा। उन्होंने कहा, ‘‘भारत ने पिछले कई सालों में कई क्षेत्रों में प्रगति की है, खासतौर पर विज्ञान और प्रौद्योगिकी के संदर्भ में। बाहरी निरस्त्रीकरण आवश्यक है लेकिन आतंरिक निरस्त्रीकरण भी कम महत्वपूर्ण नहीं है।’’ तिब्बत के 87 वर्षीय आध्यात्मिक गुरु ने ‘मनोरमा ईयर बुक 2023’ के लिए लिखे लेख में कहा, ‘‘इस संदर्भ में मैं वास्तव में महसूस करता हूं कि अहिंसा और करुणा के खजाने में निहित शांतिपूर्ण समझ की अपनी महान परंपरा के कारण भारत अग्रणी भूमिका निभा सकता है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘ऐसा ज्ञान किसी एक धर्म से परे है और इसमें समकालीन समाज में अधिक एकीकृत और नैतिक रूप से आधारित तरीके को प्रोत्साहित करने की क्षमता है। इसलिए मैं सभी को ‘करुणा और अहिंसा’ के लिए प्रोत्साहित करता हूं।’’ वैश्विक शांति प्राप्त करने के लिए उन्होंने कहा कि लोगों को अपने मन को शांत करने की जरूरत है और यह भौतिक विकास एवं आनंद से अधिक महत्वपूर्ण है। दलाई लामा ने कहा कि मानव का स्वभाव करुणामयी होना चाहिए। उन्होंने कहा,‘‘करुणा मानव स्वभाव का चमत्कार है। जैसे ही हम जन्म लेते हैं, मां हमारा ख्याल रखती है। इसलिए उम्र के शुरुआती चरण में ही हम समझ जाते हैं कि करुणा सभी खुशियों की जड़ है।’’

महात्मा गांधी को ‘अहिंसा’ की प्रतिमूर्ति के तौर पर बताते हुए दलाई लामा ने कहा कि वह उनके आदर्शों से बहुत प्रभावित हैं जिनका डॉ.मार्टिन लूथर किंग और नेल्सन मंडेला ने भी अनुकरण किया। उन्होंने कहा, ‘‘ मेरे लिए वह (महात्मा गांधी) आज भी आदर्श राजनीतिज्ञ हैं जिन्होंने अपने व्यक्तिगत विचारों से ऊपर परोपकार को रखा और सभी महान आध्यात्मिक परंपराओं का सम्मान किया।’’ स्वयं को भारत में सबसे लंबे समय तक रहने वाले मेहमानों से एक बताते हुए दलाई लामा ने कहा कि कम्युनिस्ट चीन के उनके देश पर हमले के बाद वह वहां से भागे और छह दशक से भी अधिक समय तक भारत में रहे थे। उन्होंने तिब्बती शरणार्थियों का स्वागत करने और उनके बच्चों को स्कूलों और तिब्बत के अध्ययन केंद्र के भिक्षुओं को अपनी शिक्षा जारी रखने का अवसर देने के लिए भारत का आभार व्यक्त किया।

दलाई लामा ने कहा कि तिब्बती हमेशा से भारतीय विचारों से प्रभावित रहे हैं। उन्होंने कहा कि मानव होने के नाते वह मानवता के एकीकरण और विश्व की धार्मिक परंपराओं जिनका दर्शन भले अलग-अलग क्यों न हो, में सौहार्द्र को प्रोत्साहित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। उन्होंने कहा कि तिब्बती और दलाई लामा होने के नाते वह तिब्बती भाषा और संस्कृति को संरक्षित करने को लेकर प्रतिबद्ध हैं।

आखिर मुंबई में रोड शो करके आप क्या चाहते हैं ?

आखिर मुंबई में रोड शो करके आप क्या चाहते हैं ?

कविता गर्ग 

मुंबई। शिवसेना सांसद संजय राउत ने गुरुवार को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर निशाना साधते हुए कहा कि निवेशकों को लुभाने के लिए मुंबई में रोड शो करने की क्या जरूरत है। राउत ने कहा, “आखिर मुंबई में रोड शो करके आप क्या चाहते हैं। अगर आप मुंबई से उद्योगों को उत्तर प्रदेश ले जाने आए हैं, तो हम इसका विरोध करते हैं।” उन्होंने कहा कि निवेशकों को अपने राज्य में निवेश कराने के लिए प्रयासों पर कोई आपत्ति नहीं है, लेकिन यह राजनीति यहां नहीं होने दी जाएगी। उल्लेखनीय है कि आदित्यनाथ मुंबई के ताज होटल में देश के नामी बैंकों के आला अधिकारियों और उद्योगपतियों के साथ बैठक कर रहे हैं।

वह उत्तर प्रदेश में सरकार द्वारा विभिन्न क्षेत्रों में किए गए कार्यों के बारे में उद्योगपतियों और बैंक के अधिकारियों को जानकारी दे रहे हैं। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा इस कार्यक्रम को 'रोड शो' का नाम दिया गया है। इस कार्यक्रम के जरिए मुख्यमंत्री सभी उद्योगपतियों और बैंकों के अधिकारियों उत्तर प्रदेश में निवेश के रोड मैप के बारे में बताएंगे।

बाद में आदित्यनाथ ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि उनकी सरकार के दौरान उप्र में कोई सांप्रदायिक दंगे नहीं हुए। कानून व्यवस्था की स्थिति और महिलाओं की सुरक्षा के मामले सुधार हुआ है। लोगों को सरकार और प्रशासन पर भरोसा है। जाति और धर्म के आधार पर पक्षपात किए बिना पारदर्शी प्रक्रिया के माध्यम से 05 लाख से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरी दी गई है। राज्य सरकार ने केंद्र सरकार की सभी फ्लैगशिप योजनाओं को बिना किसी पक्षपात के लागू किया है। कोविड-19 महामारी के दौरान देश के विभिन्न हिस्सों में 40 लाख यात्री अपने मूल स्थानों को वापस चले गए।

'जमीन अतिक्रमण' मामलें में एससी का फैसला

'जमीन अतिक्रमण' मामलें में एससी का फैसला

अकांशु उपाध्याय/पंकज कपूर 

नई दिल्ली/देहरादून। उत्तराखंड के हल्द्वानी जमीन अतिक्रमण मामलें में सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुना दिया है। सुनवाई करते हुए जज ने कहा, "हम रेलवे और राज्य सरकार को नोटिस जारी कर रहे हैं। वहां और अधिक कब्जे पर रोक लगे। फिलहाल हम हाई कोर्ट के आदेश पर रोक लगा रहे हैं।" सुप्रीम कोर्ट ने उत्तराखंड के हल्द्वानी में करीब 50 हजार लोगों को बड़ी राहत दी है। सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के उस आदेश पर स्टे लगा दिया है, जिसमें रेलवे को सात दिन में अतिक्रमण हटाने का आदेश दिया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि 7 दिन में अतिक्रमण हटाने का फैसला सही नहीं है। सुनवाई के दौरान जस्टिस संजय कौल ने कहा कि इस मामले को मानवीय नजरिए से देखना चाहिए. जस्टिस कौल ने कहा कि मामले में समाधान की जरूरत है।

रेलवे के मुताबिक, उसकी 29 एकड़ से अधिक भूमि पर 4,365 अतिक्रमण हैं। न्यायमूर्ति एस के कौल और न्यायमूर्ति ए एस ओका की पीठ ने कहा कि यह एक ‘‘मानवीय मुद्दा’’ है और कोई यथोचित समाधान निकालने की जरूरत है। इसके बाद उच्चतम न्यायालय ने मामले की अगली सुनवाई सात फरवरी को नियत कर दी। उच्च न्यायालय ने 20 दिसंबर को एक सप्ताह का अग्रिम नोटिस जारी कर हल्द्वानी के बनभूलपुरा में रेलवे की भूमि पर हुए अतिक्रमण को हटाने का आदेश दिया था। इस पर विरोध जताते हुए हल्द्वानी के कुछ निवासियों ने उच्चतम न्यायालय का रुख किया था।

निवासियों ने अपनी याचिका में दलील दी कि उच्च न्यायालय ने इस तथ्य से अवगत होने के बावजूद विवादित आदेश पारित करने में गंभीर भूल की है कि याचिकाकर्ताओं सहित निवासियों को लेकर कुछ कार्यवाही जिला मजिस्ट्रेट के समक्ष लंबित है। बनभूलपुरा में रेलवे की कथित तौर पर अतिक्रमित 29 एकड़ से अधिक जमीन पर धार्मिक स्थल, स्कूल, कारोबारी प्रतिष्ठान और आवास हैं।

आयोग द्वारा बुलाई गई बैठक, शामिल होगी 'आरवीएम'

आयोग द्वारा बुलाई गई बैठक, शामिल होगी 'आरवीएम'

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बृहस्पतिवार को कहा कि वह घरेलू प्रवासी मतदाताओं के लिए ‘रिमोट इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन’ (आरवीएम) के शुरुआती मॉडल के प्रदर्शन के सिलसिले में निर्वाचन आयोग द्वारा बुलाई गई बैठक में शामिल होगी। निर्वाचन आयोग से जुड़े कामकाज के लिए गठित, भाजपा के निर्वाचन आयोग विभाग के प्रमुख सदस्य ओम पाठक ने पीटीआई-भाषा से बातचीत में कहा, ‘‘हम जा रहे हैं और पार्टी की तरफ से इसमें भागीदारी करेंगे।’’

उन्होंने कहा कि लोकतंत्र को मजबूत करने, इसे और अधिक समावेशी बनाने तथा घरेलू प्रवासियों के वोट के अधिकार की रक्षा के लिए निर्वाचन आयोग ने जो कदम उठाया है, वह स्वागत योग्य है। पाठक ने कहा, ‘‘लेकिन यह कैसे होगा, कब होगा और इसकी क्या प्रक्रिया होगी, यह चर्चा का विषय है। आयोग द्वारा बुलाई गई बैठक में हम जाएंगे।आयोग की ओर से किए जा रहे प्रदर्शन को देखने के बाद पार्टी इस बारे में अपना रुख स्पष्ट करेगी।’’ प्रमुख विपक्षी पार्टी कांग्रेस द्वारा निर्वाचन आयोग की इस कवायद पर सवाल उठाए जाने के बारे में भाजपा नेता ने कहा कि उन्हें इस बारे में कुछ नहीं कहना है क्योंकि यह उनकी समस्या है। उन्होंने कहा, ‘‘उनकी मर्जी है। वे जो चाहें, करें। हमारा निर्वाचन आयोग के कार्यकलापों और उसके द्वारा किए जा रहे चीजों के प्रबंधन में पूरा विश्वास है।

हम चाहें हारे या जीतें, यह निर्वाचन आयोग की वजह से नहीं होता है। यह हमारी अपनी वजह से होता है।’’ कांग्रेस ने आयोग की इस कवायद पर सवाल उठाते हुए दावा किया था कि इससे चुनाव प्रणाली में विश्वास कमतर होगा। पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने एक बयान में यह भी कहा कि निर्वाचन आयोग को सभी राजनीतिक दलों को साथ लेकर यह सुनिश्चित करना चाहिए कि चुनाव प्रणाली में पूरी पारदर्शिता के साथ विश्वास बहाल हो।

निर्वाचन आयोग ने चुनाव में मतदाताओं की भागीदारी बढ़ाने के मकसद से गत बृहस्पतिवार को एक बड़ा कदम उठाते हुए कहा कि उसने घरेलू प्रवासी मतदाताओं के लिए ‘रिमोट इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन’ का एक शुरुआती मॉडल तैयार किया है और इसके प्रदर्शन के लिए राजनीतिक दलों को 16 जनवरी को आमंत्रित किया गया है।

आयोग की यह पहल अगर कामयाब रहती है तो प्रवासी मतदाताओं को मतदान के लिए अपने गृह राज्य/नगर जाने की जरूरत नहीं होगी और वे जहां हैं, वहीं से मतदान कर सकेंगे। निर्वाचन आयोग ने कहा कि उसने मान्यताप्राप्त सभी आठ राष्ट्रीय दलों और 57 राज्य स्तरीय पार्टियों को शुरुआती मॉडल दिखाने के लिए 16 जनवरी को बुलाया है। इस मौके पर आयोग की तकनीकी विशेषज्ञ समिति के सदस्य भी मौजूद रहेंगे।

तैयारियों की समीक्षा के लिए पोर्ट ब्लेयर पहुंचेंगे सिंह 

तैयारियों की समीक्षा के लिए पोर्ट ब्लेयर पहुंचेंगे सिंह 

रोशनी पांडेय 

पोर्ट ब्लेयर। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह अंडमान एवं निकोबार कमांड (एएनसी) की परिचालन संबंधी तैयारियों की समीक्षा के लिए बृहस्पतिवार को पोर्ट ब्लेयर पहुंचेंगे। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि दो दिवसीय अंडमान दौरे के दौरान राजनाथ अंडमान एवं निकोबार कमांड के 16वें कमांडर-इन-चीफ (सीआईएनसीएएन) लेफ्टिनेंट जनरल अजय सिंह के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक करेंगे, ताकि उन्हें समग्र परिचालन स्थिति के बारे में जानकारी मिल सके।

केंद्रीय मंत्री का दोपहर करीब डेढ़ बजे पोर्ट ब्लेयर पहुंचने का कार्यक्रम है। अधिकारियों के अनुसार, राजनाथ के यात्रा कार्यक्रम में ग्रेट निकोबार द्वीप स्थित कैंपबेल बेल पर सैन्य निगरानी शामिल है, जहां पर नौसैनिक हवाई अड्डा आईएनएस बाज स्थित है। उन्होंने बताया कि चुनौतियों से निपटने की आईएनएस बाज की क्षमताओं का जायजा लेने के लिए रक्षा मंत्री ने खुद निजी तौर पर इस नौसैनिक हवाई अड्डा का दौरा करने की इच्छा जताई थी।

अधिकारियों के मुताबिक, राजनाथ अंडमान एवं निकोबार द्वीप पर और उसके आसपास तैनात जवानों से संवाद भी करेंगे। एक अधिकारी ने कहा, “रक्षा मंत्री कुछ अहम विकास परियोजनाओं की घोषणा कर सकते हैं, जिनमें कार निकोबार, कैंपबेल बे और शिबपुर (उत्तर अंडमान) में हवाई पट्टी का विस्तार शामिल है। इससे एएनसी की क्षमताओं को और मजबूती मिलेगी।” एएनसी सशस्त्र बलों की पहली त्रि-सेवा थिएटर कमान है, जिसकी स्थापना आठ अक्टूबर 2001 को की गई थी।

मेघालय: इस साल फरवरी में चुनाव होने की उम्मीद

मेघालय: इस साल फरवरी में चुनाव होने की उम्मीद

इकबाल अंसारी 

शिलोंग। मेघालय में इस साल फरवरी में 60 सदस्यों वाली विधान सभा के लिए चुनाव होने की उम्मीद है। इस बीच एक निर्वाचन अधिकारी ने गुरुवार को यह जानकारी दी कि राज्य में कुल 21,61,129 मतदाता हैं, जिनमें 10,92,326 महिला मतदाता और दो ट्रांसजेंडर (उभयलिंगी) मतदाता भी शामिल हैं। राज्य में 4,29,062 नए मतदाता विधानसभा चुनाव में पहली बार अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे।

मुख्य निर्वाचन अधिकारी फ्रेडरिक रॉय खारकोंगोर ने कहा कि 09 नवंबर, 2022 तक तैयार चुनावी मसौदा के मुताबिक राज्य में मतदाताओं की संख्या में 2.36 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। इसके अलावा 3844 सर्विस इलेक्टर भी हैं।उन्होंने यह भी बताया कि 13,848 मतदाताओं को मृत्यु या निवास स्थान बदलने जैसे कारणों से मतदाता सूची से हटा दिया गया है, जबकि 40,700 मतदाताओं के विवरण भी संशोधित गए है।

मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण (एसएसआर), 2023 के लिए मतदाता सूची आज प्रकाशित की जाएगी। एसएसआर-2023 की शुरुआत 09 नवंबर को मतदाता सूची के मसौदा प्रकाशन के साथ शुरू हुई थी। उन्होंने कहा, “कुल मिलाकर 63,763 नए मतदाताओं ने अभी-अभी संपन्न एसएसआर के दौरान फॉर्म 6 के माध्यम से नामांकन के लिए आवेदन किया है। दावों और आपत्तियों की हालांकि सुनवाई के बाद 49,915 मतदाताओं को सूची से जोड़ा गया है। 

राजनीति: पीएम मोदी ने अखिलेश पर निशाना साधा

राजनीति: पीएम मोदी ने अखिलेश पर निशाना साधा संदीप मिश्र  भदोही। भदोही के ऊंज में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोगों को संबोधित किया। इस दौरा...