गुरुवार, 17 दिसंबर 2020

एक धार्मिक उपदेशक, एक किसान का बलिदान

संत बाबा राम सिंह का होगा अंतिम संस्कार, किसानों के समर्थन में खुद को गोली मार की थी आत्महत्या
अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। कुंडली बॉर्डर पर किसान धरने में शामिल एक ग्रंथी ने खुद को गोली मार ली। किसान उन्हें जल्द ही पानीपत के पार्क अस्पताल में लेकर पहुंचे जहां चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया। ग्रंथी की पहचान करनाल के निसिंग कस्बे के गांव सिंगरा निवासी संत बाबा रामसिंह के रूप में हुई। बाबा राम सिंह वहां गुरुद्वारा नानकसर में ग्रंथी थे। वे किसान धरने में शामिल होने के लिए करनाल से आते जाते रहते थे। चार-पांच दिन पहले भी वे धरने में शामिल होने के लिए आए थे।
अंतिम संस्कार शुक्रवार को संत बाबा राम सिंह का शुक्रवार को अंतिम संस्कार किया जाएगा। इससे पहले बुधवार को करनाल के कल्पना चावला मेडिकल हॉस्पिटल में उनका पोस्टमार्टम हुआ। पोस्टमार्टम के बाद बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं की उपस्थिति में संत बाबा राम सिंह के शव को सिंगड़ा गांव ले जाया गया। हजारों की संख्या में श्रद्धालुओं ने नम आंखों से उन्हें श्रद्धांजलि दी। गुरुवार को भी बड़ी संख्या में श्रद्धालु अंतिम दर्शन करने पहुचेंगे। किसानों पर सरकार के कथित जुल्म के खिलाफ संत बाबा राम सिंह ने बुधवार को आत्महत्या कर ली थी। वो सिंघु बॉर्डर पर किसानों के धरने में शामिल होने आए थे। संत बाबा राम सिंह का सुसाइड नोट भी सामने आया। उन्होंने सुसाइड नोट में लिखा है। कि किसानों का दुख देखा। वो अपना हक लेने के लिए सड़कों पर हैं। बहुत दिल दुखा है। सरकार न्याय नहीं दे रही। जुल्म है। जुल्म करना पाप है। जुल्म सहना भी पाप है। संत बाबा राम सिंह आगे लिखते हैं। कि किसी ने किसानों के हक में और जुल्म के खिलाफ कुछ नहीं किया। कइयों ने सम्मान वापस किए। यह जुल्म के खिलाफ आवाज है। वाहेगुरु जी का खालसा, वाहेगुरु जी की फतेह। संत बाबा राम सिंह किसान होने के साथ धार्मिक उपदेशक भी थे। वो पिछले कुछ दिनों से दिल्ली में थे। और किसानों के समर्थन में आवाज उठा रहे थे। उन्होंने शिविर की भी व्यवस्था की थी। और कंबल भी बांटे थे। संत बाबा राम सिंह के अनुयायियों का कहना है। कि संत बाबा राम सिंह ने आत्महत्या नहीं की बल्कि किसानों के लिए शहादत दी है। 65 वर्षीय बाबा राम सिंह हरियाणा के करनाल के रहने वाले थे। बताया जाता है। कि हरियाणा और पंजाब के अलावा दुनियाभर में उनके लाखों की संख्या में अनुयायी हैं। वो कई सिख संगठनों में अलग-अलग पदों पर रह चुके हैं। संत बाबा रामसिंह का डेरा करनाल जिले में सिंगड़ा गांव में है। वो सिंगड़ा वाले बाबा जी के नाम से मशहूर थे। बाबा राम सिंह सिंगड़ा वाले डेरे के अलावा दुनिया के अलग-अलग देशों में प्रवचन करने के लिए जाते थे। बुधवार देर शाम को संत बाबा राम सिंह का पार्थिव शरीर करनाल आया कल्पना चावला राजकीय मेडिकल कॉलेज के मोर्चरी में देर शाम तक उनके पोस्टमार्टम को लेकर अनुयायियों और प्रशासन के बीच असमंजस की स्थिति बनी रही। लेकिन बाद में रात 11:00 बजे के बाद पोस्टमार्टम की प्रक्रिया हुई। बाद में भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढूनी, करनाल पहुंचे और उनके दर्शन किए। एक दिन पहले ही संत बाबा राम सिंह ने गुरनाम सिंह चढूनी से 45 मिनट तक मुलाकात की थी। इस दौरान उन्होंने किसानों के मुद्दे पर बात की थी। और उनकी स्थिति जानने का प्रयास किया।

ब्लड प्रेशर में खाने-पीने का रखें ध्यान, परहेज

 ब्लड प्रेशर जब भी 140/90 एमएमएच की ऊपरी सीमा रेखा को पार कर जाता है। तो उसे हाई ब्लड प्रेशर कहा जाता है। हाई ब्लड प्रेशर का अगर समय पर इलाज नहीं किया जाता है। तो यह हार्ट समस्याओं को पैदा कर सकता है। हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों को बहुत सी खाने पीने की चीजों से परहेज होता है।
कैफीन
हाई ब्लड प्रेशर के मरीज कैफीन वाली चीजों से दूर ही रहें तो बेहतर चाय, कॉफी और सोडा जैसे ड्रिंक नुकसानदेह साबित हो सकते हैं।
मसाले
अधिक मसाले वाला खाना ब्लड प्रेशर के मरीजों के लिए नुकसानदायक हो सकता है। खाने में इस्तेमाल होने वाला मसाला ब्लड प्रेशर की समस्या को और बढ़ा सकता है।
पैक फूड्स
ब्लड प्रेशर के रोगियों को पैक फूड्स से भी बचकर रहना चाहिए। डिब्बाबंद और पैक किए गए स्टॉक में सोडियम की मात्रा अधिक होती है। सोडियम हाई ब्लड प्रेशर की समस्या को बढ़ा सकता है।
शुगर
हाई ब्लड प्रेशर के रोगियों को शुगर या मीठी चीजों से बचना चाहिए।शुगर का अधिक सेवन करने से मोटापा बढ़ सकता है। जो हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों के लिए हानिकारक हो सकता है।
नमक
हाई ब्लड प्रेशर के मरीज अपने खाने में नमक का कम सेवन करनें हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों के लिए नमक का अधिक सेवन उच्च रक्तचाप और हार्ट समस्याओं का कारण बन सकता है।
अचार
भोजन को संरक्षित करने के लिए नमक की आवश्यकता होती है। नमक भोजन को जल्दी सड़ने से बचाकर उसे लंबे समय तक खाने योग्य बनाए रखता है। नमक वाली सरंक्षित चीजों का सेवन हाई ब्लड प्रेशर के रोगियों के लिए परेशानी का कारण हो सकता है।
अचार को लंबे समय तक सही रखने के लिए नमक का इस्तेमाल किया जाता है। इसलिए हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों को अचार के सेवन से भी बचना चाहिए।

रितिक के गाने पर सड़क पर नाचने लगे रणवीर

जब मुंबई के बिज़ी सड़क पर रितिक के गाने पर डांस करने लगे रणवीर सिंह
कविता गर्ग
मुंबई। रणवीर सिंह का एक पुराना वीडियो सोशल मीडिया पर एक बार फिर से वायरल हो रहा है। जिसमें वह रितिक रोशन के एक फेमस गाने पर जमकर डांस करते दिख रहे हैं। सड़क के बीचों-बीच डांस कर रहे रणवीर-रितिक और किसी ने उन्हें नहीं पहचाना। रणवीर अपनी गाड़ी से उतरते हैं और सड़क के बीचों-बीच म्यूजिक के लिए सेटअप करने के बाद वह डांस करने लगते हैं। इस मौके पर वह रितिक रोशन के करने वाले अवतार में नजर आ रहे हैं। उनके चेहरे पर ब्लैक मास्क है। जिस वजह से उन्हें पहचान पाना मुश्किल हो रहा। वीडियो में सड़क पर ट्रैफिक के बीच वह ऐसा क्यों गाने पर डांस कर रहे हैं।
बता दें कि रणवीर रितिक रोशन के बहुत बड़े फैन हैं। बता दें कि यह चैलेंज रितिक रोशन ने खुद रणवीर सिंह को दिया था। फिल्म च्बैंग बैंगज् के प्रमोशन के दौरान रितिक ने सोशल मीडिया पर रणवीर के लिए लिखा था। कि वह अपना कार से मुंबई के किसी भी मेन सड़क पर उतरें और अपने फैन्स के लिए पोज़ दें।
रितिक ने यह चैलेंज केवल रणवीर को नहीं बल्कि शाहरुख खान, प्रियंका चोपड़ा, अर्जुन कपूर, श्रद्धा कपूर और आमिर खान जैसे सितारों को भी दिया था। 

छोटी लड़कियों के साथ काम करते है बड़े अभिनेता

दीया मिर्जा बोलीं- अपना करियर बनाने के लिए छोटी लड़कियों के साथ काम करते हैं बूढ़े ऐक्टर्स
कविता गर्ग  
मुंबई। ब्यूटी रहीं ऐक्ट्रेस दीया मिर्जा काफी टैलंटेड हैं। और हमेशा खुलकर अपने विचार रखती हैं। दीया मिर्जा का कहना है, कि अब बॉलिवुड में महिलाओं को केंद्र में रखते हुए काफी काम किया जा रहा है और इसके लिए वह ओटीटी को जिम्मेदार मानती हैं। उनका यह भी कहना है कि बूढ़े ऐक्टर्स जानबूझकर छोटी उम्र की लड़कियों के साथ काम करते हैं।
फिल्म इंडस्ट्री में बढ़ा है, महिलाओं का प्रतिनिधित्व
हमारे सहयोगी के साथ हुई एक्सक्लूसिब बातचीत में दीया ने कहा, मुझे लगता है कि अब महिला किरदारों पर कहानियां और मौके खुलकर सामने आ रहे हैं। पहले के मुकाबले अब महिलाओं का प्रतिनिधित्व बढ़ा है। अब हमारे पास काफी महिलाएं डायरेक्टर, डायरेक्टर ऑफ फॉटोग्राफी और एडिटर के तौर पर काम कर रही हैं। जब मैंने काम करना शुरू किया था उसके मुकाबले यह संख्या अब काफी बढ़ चुकी है। मुझे लगता है कि ऐसा ओटीटी प्लैटफॉर्म्स के आने के कारण हुआ है। जहां महिलाओं के नजरिए को ध्यान में रखकर काम किया जा रहा है। और मैं इसके लिए शुक्रगुजार हूं।
बढ़ती उम्र की महिलाओं के लिए नहीं हैं कहानियां
अभी भी काफी उम्रदराज पुरुष फिल्मों में लीड रोल निभाते हैं। लेकिन महिलाओं के साथ ऐसा नहीं है। इस बारे में बात करते हुए दीया ने कहा, च्मुझे लगता है कि उम्रदराज महिलाओं को भी लीड रोल करने का मौका मिलेगा। लेकिन यह दुर्भाग्यपूर्ण सच है। कि ऐसी कहानियां उम्रदराज महिलाओं और किरदारों के बारे में नहीं लिखी जा रहीं जितनी पुरुषों के लिए लिखी जा रही हैं। यह देखना और भी ज्यादा दुर्भाग्यपूर्ण होता है। जबकि एक उम्रदराज आदमी कम उम्र के किरदार को निभाता नजर आता है।
नीना गुप्ता का दिया उदाहरण
इस बारे में आगे बात करते हुए दीया ने कहा, च्सुंदरता का पैमाना हमेशा उम्र से जोड़ा गया है। मुझे लगता है। कि जवान चेहरा दिखाने पर लोगों का रुझान ज्यादा है। फिर भी इससे इतर देखें तो नीना गुप्ता जी जैसी ऐक्ट्रेस भी हैं। वह इस बात को खुलकर कह चुकी हैं कि – मैं एक ऐक्टर हूं, मुझे अपना काम पसंद है। प्लीज मुझे काम दीजिए। शुक्र है। कि कुछ अच्छे फिल्मकारों ने उन्हें काम दिया और उन्होंने अपनी उम्र को हरा दिया। लेकिन बहुत सी अधेड़ हो रहीं ऐक्ट्रेस अभी भी स्ट्रगल कर रही हैं। क्योंकि उनके लिए कोई कहानी ही नहीं लिखी जा रही है। बॉलिवुड के पुरुषवादी चरित्र के बारे में बात करते हुए दीया ने कहा, च्यह इंडस्ट्री पुरुषों के वर्चस्व वाली है। बूढ़े ऐक्टर्स को जवान लड़कियों के ऑपोजिट काम करना पसंद होता है। ताकि वह अपना करियर आगे बढ़ा सकें। यह बिल्कुल अजीब है। कि 50 साल से ऊपर का आदमी किसी 19 साल की लड़की के साथ काम करता है। बता दें कि दीया मिर्जा पिछली बार तापसी पन्नू की फिल्म च्थप्पड़ज् में दिखाई दी थीं। अभी वह एक तेलुगू फिल्म च्वाइल्ड डॉगज् में काम कर रही हैं।

इटावा: जीर्णोद्धार कार्य का किया गया उद्घाटन

इटावा के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने पुलिस लाइन स्थित बाल उद्यान में हुए नवनिर्माण तथा जीर्णोद्धार कार्य का किया उद्घाटन

इटावा। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक इटावा आकाश तोमर द्वारा पुलिस सुधार कार्यक्रम के तहत पुलिस लाइन स्थित बच्चा पार्क के जीर्णोद्धार तथा सौदर्यीकरण का फीता काटकर उद्घाटन किया गया। इस मौके पर उपस्थित पुलिसकर्मियों के बच्चों के साथ वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक इटावा द्वारा आसमान में गुब्बारे छोड़े गए तथा बच्चों में टॉफी, बिस्किट आदि वितरित किए गए। जिसे पाकर बच्चे काफी प्रसन्न दिखाई दिए।

'2022' की तैयारियों में जुटे सीएम आदित्यनाथ

विधानसभा चुनाव 2022 की तैयारियों को लेकर सीएम योगी ने कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों को दी नई दिशा
हरिओम उपाध्याय
लखनऊ। प्रदेश में वर्ष 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर भाजपा संगठन के साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी गंभीर है। पिछले दिनों इलाहाबाद-झांसी खंड स्नातक चुनाव में भाजपा को सपा से मिली हार के बाद पहली बार प्रयागराज पहुंचे सीएम ने विधानसभा चुनाव 2022 को लेकर प्रयागराज मंडल के तकरीबन सभी जनप्रतिनिधि एवं संगठन के पदाधिकारियों को चेताया कि कार्यकर्ताओं के साथ वह सभी समन्वय बनाकर काम करें। यह वर्ष अब खत्म हो रहा है। ऐसे में चुनाव की तैयारियों को लेकर सिर्फ एक वर्ष का ही समय है।
इलाहाबाद-झांसी खंड स्नातक चुनाव में पार्टी प्रत्याशी डा. यज्ञदत्त शर्मा की हार की एक वजह यह भी आई कि पार्टी नेताओं के बीच इस चुनाव में समन्वय काफी कम था। अब विधानसभा चुनाव में यह गड़बड़ी न हो इस वजह से सीएम ने प्रयागराज के तीनों मंत्री डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य, नंद गोपाल गुप्ता नंदी, सिद्धार्थ नाथ सिंह एवं स्थानीय और पड़ोसी जिलों के सांसदों, विधायकों के साथ संगठन के पदाधिकारियों के साथ दो घंटे तक वार्ता की।

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया की कैकेयी से की तुलना

गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कैकेयी से की सोनिया गांधी की तुलना

इंदौर। मध्यप्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा अपने बयान को लेकर एक बार फिर विवाद में आ गए हैं। मिश्रा ने बिना नाम लिए कांग्रेस पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी पर निशान साधा है। और उनकी तुलना ‘कैकेयी’ से की है। मिश्रा ने कहा कि एक मां है। जो षड्यंत्रपूर्वक अपने बेटे को गद्दी दिलाना चाहती है। इसके अलावा ताश के पाटों का जिक्र करते हुए उन्होने कांग्रेस के 52 सांसदों का भी मज़ाक उड़ाया। इंदौर में संभागीय किसान सम्मेलन में मध्यप्रदेश के गृह मंत्री ने कहा मुझे व्हाट्सएप आया कि कैकई के बाद कौन सी माँ है। जो षड्यंत्र पूर्वक अपने बेटे को गद्दी दिलवाना चाहती है। वो बोला ताश की गड्डी में कितने पत्ते होते हैं। जवाब मिला 52 इस पार्टी के भी 52 सांसद हैं। मिश्रा ने आगे कहा मुझे एक व्हाट्सएप फॉरवर्ड मिला जिसमें कहा गया था। कि जापान में हर दिन स्कूल जाने वाले बच्चे को लेने के लिए ट्रेन रुकती है। वे नहीं जानते कि भारत में एक पार्टी एक बच्चे को प्रधानमंत्री बनाने के लिए काम कर रही है।
मिश्रा के इस बयान पर ट्विटर यूजर्स ने भी अपनी प्रतिकृया दी है। एक यूजर ने लिखा “ताश की गड्डी मे कितने जोकर है। जवाब मिला दो, आपकी पार्टी भी 2 सांसद से शुरू हुई थी। और 2 जोकर अभी भी है। आपकी गड्डी में। एक ने लिखा बेरोजगार अंधभक्त कहेंगे बहुत मज़ा आया कितना अच्छा जोक था। एक अन्य यूजर ने लिखा आपकी तो पूरी विचारधारा व्हाट्सएप पर आधारित है। कोई नई बात नहीं है।
मिश्रा ने कृषि कानूनों को लेकर भी कांग्रेस पर निशाना साधा है। मिश्रा ने अपने भाषण के दौरान आगे कांग्रेस पर कृषि कानूनों को लेकर गलतफहमी पैदा करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा दिल्ली में विरोध क्यों हो रहा है। अगर पुराने कृषि नियम सही होते तो इतने सालों तक भी किसानों पर कर्ज नहीं होता। नया कृषि कानून किसानों के उत्थान के लिए है।
उन्होंने कहा ऐसी चर्चा थी। कि कांग्रेस के लोग भूख हड़ताल पर जाएंगे। ये लोग गलतफहमी पैदा कर रहे हैं। यह पार्टी भारत के लोगों के खिलाफ है। वे हर आंदोलन के दौरान गलतफहमी पैदा करते हैं। बता दें केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ राजधानी दिल्ली से सटे बॉर्डर पर किसानों का आंदोलन पिछले 22 दिन से जारी है। किसान तीनों कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग पर अड़े हुए हैं।

कमल सरकार गिराने में मोदी की भी भूमिका

कमल नाथ सरकार गिराने में नरेंद्र मोदी की थी अहम भूमिका 

भोपाल। मध्य प्रदेश में इसी साल की शुरुआत में हुई राजनीतिक उथल-पुथल के बीच कांग्रेस की कमलनाथ सरकार विधायकों की बगावत के बाद गिर गई थी। तब इसका श्रेय केंद्र की राजनीति में न जाकर राज्य में ही रहने वाले सीएम शिवराज सिंह चौहान को दिया जा रहा था। हालांकि अब भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के बयान ने सरगर्मियां बढ़ा दी हैं। दरअसल, एक रैली के दौरान विजयवर्गीय ने कहा कमलनाथ की सरकार गिराने में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अहम भूमिका थी। और किसी की नहीं पर यह बात किसी को बताना नहीं। विजयवर्गीय ने इसी भाषण के दौरान कहा कि जब तक राज्य में कमलनाथ की सरकार थी। तब तक हमने उन्हें चैन से नहीं सोने दिया। यदि ऐसा कोई कार्यकर्ता था। भाजपा का जो कमलनाथ जी को सपनों में दिखाई देता था। तो वो नरोत्तम मिश्रा जी थे। विजयवर्गीय ने आगे कहा पर्दे के पीछे की बात कर रहा हूं आप किसी को मत बताना। मैंने आज तक किसी को नहीं बताई पहली बार इस मंच पर बता रहा हूं कि कमलनाथ सरकार को गिराने में किसी की महत्वपूर्ण भूमिका थी तो नरेंद्र मोदी जी की थी। धर्मेंद्र प्रधान जी की नहीं थी। पर ये बात किसी को बताना नहीं मैंने आजतक किसी को नहीं बताई। बता दें कि इसी साल की शुरुआत में ज्योतिरादित्य सिंधिया और सीएम कमलनाथ के बीच मतभेद नजर आने लगे थे। इसके बाद 22 विधायकों ने सिंधिया के समर्थन में कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था। और कमलनाथ सरकार अल्पमत में आ गई थी। 20 मार्च को खुद कमलनाथ ने पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद 23 मार्च को शिवराज सिंह चौहान मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी।
मध्यप्रदेश में उठापटक के लिए धर्मेंद्र प्रधान को माना जाता है। पर्दे के पीछे का खिलाड़ी बताया जाता है। कि जब मध्य प्रदेश में विधायकों ने बागी तेवर दिखाए थे। तभी केंद्रीय नेतृत्व ने पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान को अहम फैसले लेने का जिम्मा सौंपा था। 23 मार्च को सरकार बनने से पहले भी प्रधान ने ही विधायकों से बात की और शिवराज सिंह चौहान ने नाम पर सहमति बनवाने में अहम भूमिका निभाई थी।

ऑस्ट्रेलिया: भारत ने 6 विकेट पर बनाए 233 रन

एडिलेड। कप्तान विराट कोहली (74) की अर्धशतकीय पारी और चेतेश्वर पुजारा (43) की सधी हुई पारियों के बावजूद रिपीट बावजूद ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पहले टेस्ट क्रिकेट के पहले दिन गुरुवार को भारतीय पारी लड़खड़ा गयी और उसने दिन का खेल खत्म होने तक पहली पारी में 89 ओवर में छह विकेट पर 233 रन बनाए।

आंदोलन का समाधान निकालने में जुटी सरकार

अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। तीन कृषि कानूनों के खिलाफ राजधानी दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर चल रहे किसानों के आंदोलन के बीच केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बृहस्पतिवार को भाजपा मुख्यालय में केंद्रीय मंत्रियों नरेन्द्र सिंह तोमर, पीयूष गोयल, निर्मला सीतारमण सहित पार्टी के अन्य वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठक की। बैठक में पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव सी टी रवि, दुष्यंत गौतम, अरूण सिंह सहित अन्य पदाधिकारी भी मौजूद थे।

श्रीनगर: रात का तापमान -6.4 डिग्री सेल्सियस रहा

श्रीनगर। श्रीनगर में रात का तापमान शून्य से 6.4 डिग्री सेल्सियस नीचे चलने जाने से गुरुवार को विश्व प्रसिद्ध डल झील जम गई। शहर में आज नालों और नालियों सहित पानी के नल और अन्य जलाशयों का पानी भी जम गया। सुबह सूर्य दिखाई दिया। हालांकि बर्फीली हवाएं चलने के कारण लोग घरों के अंदर ही रहें।

मंत्रालय ने योगासन को खेल के रूप में मान्यता दी

अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। खेल मंत्रालय ने गुरूवार को योगासन को प्रतिस्पर्धी खेल के रूप में औपचारिक तौर पर मान्यता दे दी है। जिससे इसे सरकारी सहायता मिल सकेगी। खेल मंत्री किरेन रीजीजू और आयुष (आयुर्वेद, योग , नैचुरोपैथी, यूनानी, सिद्ध, होम्योपैथी) मंत्री श्रीपाद येस्सो नाईक ने एक कार्यक्रम के दौरान योगासन को प्रतिस्पर्धी खेल के रूप में मान्यता दी।

आप विधायकों ने कानून की प्रतियां फाड़ी, हंगामा

अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। नरेन्द्र मोदी सरकार के कृषि क्षेत्र से जुड़े तीन कानूनों का गुरुवार को दिल्ली विधानसभा में जमकर विरोध हुआ और सत्तारुढ़ आम आदमी पार्टी (आप) के विधायकों के सदन में कानून की प्रतियां फाड़ने से हंगामा हो गया। दिल्ली विधानसभा का आज एक दिन का विशेष सत्र बुलाया गया है। सत्र की शुरुआत में ही परिवहन और पर्यावरण मंत्री कैलाश गहलोत ने एक संकल्प पत्र पेश किया, जिसमें तीनों कृषि कानूनों को निरस्त करने की बात कही गई।

पीएसएलवी-सी50 का सफल प्रक्षेपण किया

श्रीहरिकोटा। संचार उपग्रह सीएमएस-01 को लेकर जा रहे ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान पीएसएलवी-सी50 का गुरुवार को सफल प्रक्षेपण किया गया। पीएसएलवी-सी50 ने 25 घंटों तक चली उल्टी गिनती के बाद आज दोपहर 03:4 बजे श्रीहरिकोटा स्थित सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र के दूसरे लांच पैड से उड़ान भरी।

कृषि कानून के समर्थन में आयोजित हुई रैली

रुद्रपुर। भाजपा हाईकमान के निर्देश पर कृषि कानून के समर्थन में रूद्रपुर में आयोजित विशाल रैली में बतौर मुख्य अतिथि पहंचे केंद्रीय शिक्षा एवं मानव संसाधन मंत्री डा.रमेश चन्द्र पोखरियाल ने विपक्ष पर जमकर हमला बोला और विपक्ष को ललकारते हुये कृषि बिल पर बहस की खुली चुनौती दे डाली। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा लाया गया कृषि बिल किसानों के हितों में है। विपक्ष किसानों को गुमराह कर अपनी रोटियां सेक रहा है। जो लोग विरोध प्रदर्शन कर रहे है,वह देश के लिये घातक है।

सीएम केजरीवाल ने सरकार पर साधा निशाना

अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। दिल्ली विधानसभा सत्र में नए कृषि कानूनों पर सीएम अरविंद केजरीवाल ने मोदी सरकार पर जमकर निशाना साधा। इस दौरान केजरीवाल ने कृषि कानूनों की कॉपी फाड़ी दी। उन्होंने कहा कि सरकार और अभी कितने किसानों की जान लेगी, अब तक करीब 20 से ज्यादा किसान इस आंदोलन में शहीद हो चुके है। एक-एक किसान भगत सिंह बनकर आंदोलन में बैठा है, अंग्रेजों से बदतर न बने सरकार।

सीएम खट्टर ने संत की मौत को बडी क्षति बताया

राणा ओबरॉय 
चंडीगढ़। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर ने सिख संत राम सिंह की मौत पर दुख व्यक्त करते हुए, इसे एक “अपूरणीय क्षति” करार दिया। पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने भी उनके निधन पर शोक व्यक्त किया है।केन्द्र के नए तीन कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के प्रदर्शन का समर्थन कर रहे संत राम सिंह (65) ने बुधवार को सिंघु बॉर्डर के पास खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली थी। पुलिस के मुताबिक उन्होंने पंजाबी में हस्तलिखित एक पत्र भी छोड़ा है, जिसमें लिखा है कि वह “किसानों का दर्द” सहन नहीं कर पा रहे हैं। पुलिस उस पत्र की जांच कर रही है।

खट्टर ने बताया कि संत राम सिंह की मौत देश और राज्य के संत समाज को एक अपूरणीय क्षति है। हरियाणा के मुख्यमंत्री ने ट्वीट किया कि उनका निधन उनके लिए भी एक अपूरणीय क्षति है। यह बेहद दुखद क्षण है। खट्टर ने कहा कि संत राम सिंह को वास्तविक श्रद्धांजलि उनके द्वारा दिखाए गए मानव कल्याण के मार्ग पर चलना होगा। वहीं पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने कहा कि वह संत के निधन से काफी दुखी हैं। उन्होंने ट्वीट किया, “करनाल के नानकसर सिंघरा वाले के संत राम सिंह जी द्वारा केन्द्र के कृषि कानूनों के खिलाफ सिंघु बॉर्डर पर आत्महत्या करने की खबर स्तब्ध करने वाली और बेहद दुखद है। दुख की इस घड़ी में उनके परिवार और समर्थकों के साथ मेरी दुआएं हैं।”

संत राम सिंह का शव बुधवार रात करनाल जिले सिंघरा गांव के नानकसर गुरुद्वारा ले जाया गया, जहां भारी संख्या में उनके समर्थक इकट्ठे हुए। हरियाणा भारतीय किसान यूनियन के प्रमुख गुरनाम सिंह ने बृहस्पतिवार को कहा कि संत राम सिंह एक महान व्यक्ति थे, जिन्होंने अपना जीवन मानव सेवा को समर्पित कर दिया।

उन्होंने कहा,  “एक पवित्र आत्मा होने के कारण, वह किसान विरोधी कानून के खिलाफ ठंड में पिछले कई दिनों से दिन-रात सड़कों पर रह रहे किसानों का दुख देख बेहद दुखी थे…. जिनमें (प्रदर्शन में) कई बुजुर्ग और महिलाएं भी शामिल हैं।” कांग्रेस के नेता राहुल गांधी, शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने भी उनके निधन शोक जताया।

राहुल संवैधानिक संस्थाओं का आदर नहीं करते

अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता प्रकाश जावड़ेकर ने कहा है कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी के मन में संवैधानिक संस्थाओं के प्रति कोई आदर नहीं है और यही वजह है कि उन्होंने बुधवार को रक्षा मामलों की संसदीय समिति की बैठक से बहिर्गमन किया।जावड़ेकर ने आरोप लगाया कि राहुल गांधी को इस बात का ज्ञान नहीं है कि समिति के सामने साल भर में कौन से विषय रखे जाएंगें, जबकि ये विषय बैठकों में चर्चा के बाद ही तय होते हैं। उन्होंने कहा कि पिछले डेढ़ साल में समिति की 14 बैठकें हुईं जिसमें सिर्फ दो बैठकों में वह उपस्थित रहे। उन्होंने कहा कि ‘जब विषय सुझाने का अवसर था तब राहुल गांधी और उनके साथियों ने कुछ नहीं कहा और अब भाजपा पर यह कहकर दोष मढ़ रहे हैं कि बैठक में महत्वपूर्ण विषय नहीं उठाए जा रहे हैं। स्थायी समिति की बैठक विरोध जताने या जनता के लिए भाषण देने का स्थान नहीं है।’

जावड़ेकर ने कहा कि प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह जी की सरकार के दौरान भी राहुल गांधी ने मंत्रिमंडल से मंजूर अध्यादेश की प्रति को सार्वजनिक तौर पर पत्रकार वार्ता में फाड़ दिया था। जिससे साबित होता है कि संविधान के प्रति उनकी कोई आस्था नहीं है। उन्होने स्थायी समिति की बैठक का बहिर्गमन करके एक बार फिर संवैधानिक व्यवस्थाओं का बहिष्कार किया है। उल्लेखनीय है कि कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और सासंद राहुल गांधी और कुछ अन्य सदस्यों ने बुधवार को रक्षा मामले की संसदीय समति की बैठक का बहिर्गमन करते हुए आरोप लगाया था कि राष्ट्रीय सुरक्षा के महत्वपूर्ण मुद्दों की बजाए सशस्त्र बलों की वर्दी पर चर्चा करके समय बर्बाद किया जा रहा है। श्री गांधी बैठक में राष्ट्रीय सुरक्षा और लद्दाख में तैनात सुरक्षा बलों को मज़बूत बनाने से संबंधित मसले उठाना चाहते थे।

किसानों को प्रदर्शन का अधिकार, बनेगी समिति

पालूराम  
नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने बृहस्पतिवार को कहा कि किसानों को अहिंसक तरीके से विरोध प्रदर्शन करने का अधिकार है। साथ ही न्यायालय ने कहा कि वह इन विवादास्पद कृषि कानूनों के संबंध में कृषि विशेषज्ञों, किसान यूनियनों के प्रतिनिधियों की एक निष्पक्ष तथा स्वतंत्र समिति गठित करने पर विचार कर रहा है। प्रधान न्यायाधीश एस ए बोबडे, न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना और न्यायमूर्ति वी रामासुब्रमणियन की पीठ ने कहा कि इस समिति में पी साइनाथ जैसे विशेषज्ञों और सरकार तथा किसान संगठनों के प्रतिनिधियों को शामिल किया जायेगा जो इन कानूनों को लेकर व्याप्त गतिरोध का हल खोजेंगे। पीठ ने कहा, ”हम मानते हैं कि किसानों को विरोध प्रदर्शन का अधिकार है लेकिन यह अहिंसक होना चाहिए।”

वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से सुनवाई के दौरान न्यायालय ने कहा कि विरोध प्रदर्शन का मकसद तभी हासिल किया जा सकेगा जब किसान और सरकार बातचीत करें और ”हम इसका अवसर प्रदान करना चाहते हैं।” इस मामले की सुनवाई शुरू होते ही पीठ ने स्पष्ट किया, ”हम कानून की वैधता पर आज फैसला नहीं करेंगे। हम सिर्फ विरोध प्रदर्शन और निर्बाध आवागमन के मुद्दे पर ही फैसला करेंगे।”

न्यायालय दिल्ली की सीमाओं पर लंबे समय से किसानों के आन्दोलन की वजह से आवागमन में हो रही दिक्कतों को लेकर दायर याचिकाओं पर सुनवाई कर रहा है। इन याचिकाओं में दिल्ली की सीमाओं से किसानों को हटाने का अनुरोध किया गया है।

'पड़ोस प्रथम' के तहत सात समझौतों पर हस्ताक्षर

नई दिल्ली/ढाका। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बांग्लादेश को ‘पड़ोस प्रथम’ नीति का प्रमुख स्तम्भ बताते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि बांग्लादेश के साथ संबंधों में मजबूती और गहराई लाना उनकी विशेष प्राथमिकता रही है तथा कोविड-19 के कठिन समय में दोनों देशों के बीच अच्छा सहयोग रहा है। मोदी ने बांग्लोदश की समकक्ष शेख हसीना के साथ ऑनलाइन शिखर वार्ता में यह बात कही।दोनों देशों के बीच तेजी से बढ़ते सहयोग के अनुरूप भारत और बांग्लादेश ने हाइड्रोकार्बन, कृषि, कपड़ा और सामुदायिक विकास जैसे विविध क्षेत्रों में सात समझौतों पर हस्ताक्षर किये। इसके साथ ही सीमापार चिलाहाटी-हल्दीबाड़ी रेल सम्पर्क को बहाल किया गया जो 1965 तक परिचालन में था। चिलाहाटी-हल्दीबाड़ी रेल सम्पर्क को बहाल करने से असम और पश्चिम बंगाल से बांग्लादेश के लिये सम्पर्क को बढ़ावा मिलने की उम्मीद है। यह कोलकाता से सिलीगुड़ी के बीच 1965 तक मुख्य ब्राडगेज सम्पर्क का एक हिस्सा था। मोदी और हसीना ने संयुक्त रूप से बांग्लादेश के संस्थापक मुजीबुर रहमान और महात्मा गांधी पर एक डिजिटल प्रदशर्नी का उद्घाटन किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि बांग्लादेश हमारी ‘पड़ोस प्रथम’ नीति का एक प्रमुख स्तम्भ है। बांग्लादेश के साथ संबंधों में मजबूती और गहराई लाना मेरे लिए पहले दिन से ही विशेष प्राथमिकता रही है। उन्होंने कहा कि यह बात सही है कि वैश्विक महामारी के कारण यह वर्ष चुनौतीपूर्ण रहा है। लेकिन संतोष की बात है कि इस कठिन समय में भारत और बांग्लादेश के बीच अच्छा सहयोग रहा। मोदी ने कहा कि चाहे वो दवाइयों या चिकित्सा उपकरण या फिर चिकित्सा पेशेवरों का एक साथ काम करने का विषय हो, हमारा सहयोग अच्छा रहा है। टीका के क्षेत्र में भी हमारे बीच अच्छा सहयोग चल रहा है। इस सिलसिले में हम आपकी आवश्यकताओं का भी विशेष ध्यान रखेंगे l

वहीं, बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने कहा कि भारत एक सच्चा दोस्त है। हसीना ने कहा कि मैं भारत के कोविड-19 से निपटने के तरीके की सराहना करना चाहती हूं, उम्मीद है कि वैश्विक अर्थव्यवस्था को बेहतर बनाने में भारत महत्वपूर्ण योगदान देगा। दूसरी ओर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भूमि सीमा कारोबार में बाधाओं को हमने कम किया। दोनों देशों के बीच सम्पर्क का विस्तार किया गया तथा नए साधनों को जोड़ा गया । यह सब हमारे संबंधों को और मजबूत करने के हमारे इरादों को दर्शाता है।

मोदी ने कहा कि यह मेरे लिए गर्व की बात है कि आज आपके साथ बंगबंधु के सम्मान में एक डाक टिकट का विमोचन, और बापू और बंगबंधु के ऊपर एक डिजिटल प्रदर्शनी का उद्घाटन करने का मौका मिल रहा है। मैं आशा करता हूँ कि बापू और बंगबंधु की प्रदर्शनी हमारे युवाओं को प्रेरणा देगी, इसमें विशेष खंड को कस्तुरबा गाँधी जी और पूजनीय बंगमाता जी को भी समर्पित किया गया है।

विरोध: पालिका अध्यक्ष आमरण अनशन पर बैठे

विरोध स्वरुप पालिकाध्यक्ष आमरण अनशन पर बैठे, पुलिस प्रशासन सतर्क
सितारगंज। नगर पालिका में चल रहे धरने के दौरान वार्ता करने पहुंची एसडीएम मुक्ता मिश्रा अन्य अधिकारियों को दोपहर डेढ़ बजे से सवा पांच बजे तक पालिका परिसर में ही बंद कर दिए जाने के आरोप मामले में नगर पालिका अध्यक्ष हरीश दूबे, 13 सभासदों, 19 नामजद समेत 70 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। पालिका अध्यक्ष ने मुकदमे को बेबुनियाद बताते हुए दमनकारी नीति अपनाने का आरोप लगाया है। उन्होंने समर्थकों के साथ पालिका में आमरण अनशन शुरू कर दिया है।विदित है कि विकास कार्यों के निपटने के बाद भी अनियमितता की जांच के नाम पर कई ठेकेदारों का भुगतान न होने से परेशान पालिका बोर्ड के अधिकांश सभासदों व नगर पालिका अध्यक्ष हरीश दूबे का कई दिनों से चला आ रहा धरना जारी था। आरोप है कि इस दौरान बुधवार की दोपहर बाद एसडीएम मुक्ता मिश्रा, पुलिस उपाधीक्षक, एसटीओ किरण सिंह माथुर व अन्य अधिकारी धरनारत सभासदों से बातचीत करने नगर पालिका परिसर पहुंची तो अधिकारियों के अंदर जाने के बाद आंदोलनकारियों ने नगर पालिका के मुख्य द्वार पर ताला जड़ दिया। इससे तमाम अधिकारी डेढ़ बजे से पांच बजकर दस मिनट तक अंदर ही बंधक बन कर रह गए। रिपोर्ट में कहा गया है कि इस दौरान आंदोलनकारी एसडीएम चोर है, प्रशासन मुर्दाबाद जैसे नारे भी लगा रहे थे। इससे सरकारी काम में बाधा आई।वरिष्ठ उप निरीक्षक सुधाकर जोशी ने नगर पालिका अध्यक्ष हरीश दूबे, वार्ड एक के सभासद अकरम बेग, वार्ड नंबर दो के सभासद पंकज रावत, वार्ड नंबर तीन के सभासद जहूर इस्लाम, वार्ड नंबर चार के सभासद जिलानी अंसारी, वार्ड पांच के मेंबर रवि रस्तोगी, वार्ड नंबर 6 के रहमत हुसैन, वार्ड सात के दीपक गुप्ता, वार्ड आठ के राधे श्याम, नौ नंबर वार्ड की सभासद उषा चौहान के पति नितिन चौहान, दस नंबर वार्ड की सभासद ऋतु गहतोड़ी के पति पंकज गहतोड़ी, वार्ड नंबर 11 के लक्षमण सिंह राणा, वार्ड नंबर 12 के सभासद मरगुब अंसारी, वार्ड 13 के सचिन गंगवार, यूथ कांग्रेस के अध्यक्ष इश्तयाक अंसारी, राजू रस्तोगी, आशु, ताबिर मलिक समेत 70 के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है। वहीं दूसरी ओर पालिका अध्यक्ष हरीश दुबे अपने समर्थकों के साथ आमरण अनशन पर डटे हुए हैं। पालिका परिसर में जनप्रतिनिधियों और अफसरों के बीच हुए गतिरोध के बाद पुलिस प्रशासन अलर्ट है। पालिका अध्यक्ष हरीश दुबे ने आरोप लगाया कि सुरक्षा की दृष्टि से पालिका का गेट बंद किया गया था। किसी भी अफसर को बंधक नहीं बनाया गया है अराजकत तत्वों से बचने के लिए पालिका प्रशासन ने एहतियात बरती है। उन्होंने मुकदमे के जरिए जानबूझकर प्रशासन पर दबाव डालने का आरोप लगाया है।

'अंतर्राष्ट्रीय नर्सिंग दिवस' को धूमधाम से मनाया

'अंतर्राष्ट्रीय नर्सिंग दिवस' को धूमधाम से मनाया  पंकज कपूर  देहरादून। रविवार को राजकीय दून मेडिकल कॉलेज परिसर देहराखास में राज्य के...