बुधवार, 1 अप्रैल 2020

रेलवे के 25 कर्मचारी क्वॉरेंटाइन भेजे

मुरादाबाद। जंक्शन के 12 और बरेली जंक्शन के 13 रेल कर्मियों को क्वारंटाइन में भेजा गया है। दरअसल एक युवक को कोरोना हुआ था, जिसके बाद युवक की मां और पत्नी भी कोरोना की चपेट में आ गए थे। युवक के पिता लोको पायलट हैं।


बरेली के कोरोना पॉजिटिव युवक के परिवार के पांच सदस्यों की रिपोर्ट भी पॉजिटिव आने से रेलवे में हड़कंप मच गया। संक्रमित युवक के पिता रेलवे में हैं। बताया गया है कि वे विभाग के 27 लोगों के संपर्क में आये जिसकी वजह से सभी लोगों को क्वारंटाइन कर दिया गया है। रेल प्रशासन ने रेल कर्मी की डयूटी के दौरान संपर्क में आए कर्मियों को मेडिकल टेस्ट कराने को कहा है। इसके बाद मुरादाबाबाद में 12 लोगों का मेडिकल टेस्ट कराया गया। सभी को रेलवे के रेस्ट रूम में क्वारंटाइन करके रखा गया है।


युवक नोएडा की सीज फायर कंपनी में काम करता था। 21 की शाम को बरेली अपने घर लौटा था। अगले दिन उसकी हालत बिगड़ने पर टेस्ट कराया गया जिसमें कोरोना के संक्रमण की पुष्टि हुई। इसके बाद युवक को क्वारंटाइन कर दिया गया। मगर तब तक पिता समेत घर के अन्य पांच सदस्यों की रिपोर्ट भी पॉजिटिव आ गई। हालांकि युवक का दो साल साल का बेटा इससे मुक्त है। युवक के पिता रेल कर्मचारी है और इस दौरान वे ड्यूटी पर भी गए, जिससे बरेली से मुरादाबाद तक हड़कंप मच गया।


विभाग का कहना है कि 25 मार्च को वह आला हजरत एक्सप्रेस से बरेली गए। वहां दफ्तर और बरेली स्टेशन पर कई लोगों के संपर्क में आए। मंगलवार को युवक के पिता समेत पांच सदस्यों में संक्रमण की पुष्टि से बरेली व मुरादाबाद में रेल कर्मियों की तलाश होने लगी। बरेली में सीसीटीवी खंगाले गए जबकि यहां लॉबी में उस दिन मौजूद सभी रेल कर्मियों का ब्योरा लिया गया। रेल प्रशासन ने बिना देर किए सभी की मेडिकल जांच कराने के आदेश दे दिया है। जानकारों की माने तो मुरादाबाद के 12 और बरेली में 13 लोगों को टेस्ट के बाद रेल विभाग ने क्वारंटाइन कर दिया है और दो कर्मियों से संपर्क किया जा रहा है।


मरकज में शामिल 157 को क्वॉरेंटाइन

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के द्वारा दिल्ली मरकज में शामिल उत्तर प्रदेश के सभी लोगों को क्वॉरेंटाइन करने का आदेश दिया। दिल्ली के निजामुद्दीन में तबलीगी मरकज में पहुंचे श्रद्धालुओं के द्वारा लापरवाही बरतने से कोरोनावायरस का उत्तर-प्रदेश के कई जिलों में  फैलने का खतरा बढ़ गया है।  जिसको नियंत्रित करने के लिए  सभी जिला अधिकारियों को एवं प्रशासनिक स्तर पर सभी प्रकार की सतर्कता बरतने के आदेश दिए हैं। उत्तर प्रदेश के 157 लोग ऐसे हैं जो उस मरकज में शामिल हुए थे। उनके नाम फोन नंबर और कहां के रहने वाले हैं। लिस्ट के द्वारा जो सरकार द्वारा जारी की गयी है। अगर आपके आसपास इनमे से कोई छिपा हो तो तुरन्त नजदीकी थाने मे सूचना दे।


मरकज से लौटे सभी 93 लोग संक्रमित

नई दिल्ली। दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित तबलीगी जमात के मरकज से लौटे लोगों के कोरोना पॉजिटिव होने के मामले लगातार सामने आ रहे हैं। यहां से लौटे अब तक 93 लोग कोरोना वायरस की चपेट में आ चुके हैं। सभी का सैंपल पॉजिटिव निकला है। इसमें से 45 तमिलनाडु, 9 अंडमान और 24 केस दिल्ली के हैं। वहीं, 303 ऐसे लोग हैं जिनमें कोरोना के लक्षण हैं।


इसके अलावा आंध्र प्रदेश से 4 और केस सामने आए हैं जिनकी ट्रैवल हिस्ट्री मरकज की रही है। विशाखापट्टनम से भी 21 केस सामने आए हैं। वहीं, सरकार ने अब तक 740 लोगों की पहचान की है जो तबलीगी जमात के मरकज में हिस्सा लेने आए थे। उधर, मरकज से लौटे 10 लोगों को गाजियाबाद के अस्पताल में भर्ती कराया गया है। ये सभी गाजियाबाद के थाना मसूरी इलाके के मसूरी कस्बे में मिले थे। मरकज से लौटे लोग देश के अलग-अलग हिस्से में मिल रहे हैं जो कोरोना की चपेट में आ चुके हैं। तेलंगाना में भी 15 लोगों का कोरोना का टेस्ट पॉजिटिव निकला है, जिसके बाद राज्य में मरीजों की संख्या 77 हो गई है।


जमात कार्यकर्ताओं की मेडिकल जांच


मरकज में रहने वाले जमात कार्यकर्ताओं को भी पुलिस ने मेडिकल स्क्रीनिंग के लिए अनुरोध किया। 29 मार्च तक, लगभग 162 जमात कार्यकर्ताओं को चिकित्सकीय रूप से जांचा गया और क्वारनटीन केंद्रों में स्थानांतरित कर दिया गया।


निजामुद्दीन मरकज मामले में 6 पर केस

नई दिल्ली। पुलिस सूत्रों के मुताबिक मरकज दिल्ली के चीफ मौलाना साद 28 तारीख से लापता हैं। उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।


निज़ामुद्दीन मरकज़ मामले के FIR में इन 6 लोगों का नाम शामिल- मौलाना साद, डॉ. ज़ीशान, मुफ्ती शहज़ाद, एम. सैफी, यूनुस और मोहम्मद सलमान है। मोहम्मद अशरफ का भी नाम निज़ामुद्दीन मरकज़ मामले के FIR में शामिल है। मरकज़ को आज सुबह लगभग 3:30 बजे खाली किया गया। यहां लगभग 2100 लोग थे। इस जगह को खाली करने में 5 दिन लगे।


 


जमातीयो के पर्यटक वीजा पर प्रतिबंध

नई दिल्ली। सरकार ने विदेशी तबलीगी जमातियों को पर्यटन वीजा देने पर प्रतिबंध लगा दिया है। एक अधिकारी ने बताया, “जिन लोगों के पास पर्यटन वीजा है और वे मिशनिरी गतिविधियों का प्रचार कर रहे है, उनके बारे में माना जाएगा कि उन्होंने वीजा शर्तों का उल्लंघन किया है।” पयर्टक वीजा पर आने वाले किसी भी विदेशी को तबलीगी गतिविधियां करने की इजाजत नहीं दी जाएगी।


गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने बताया कि विदेश मंत्रालय को सलाह दी गई है कि दूसरे देशों में भारतीय मिशनों से अनुरोध किया जा सकता है कि वे ऐसे विदेशी को पर्यटक वीजा देने से परहेज करें, जो तबलीगी गतिविधियों के लिए इसका उपयोग कर सकते हैं। गृह मंत्रालय ने विदेश मंत्रालय से कहा कि उसे ऐसे आवेदकों को पर्यटक वीजा देने से पहले उनके भारत में ठहरने, वापसी के टिकट और खर्चों के संबंध में जानकारी सुनिश्चित करनी चाहिये।


बता दें कि सरकार ने मंगलवार को कहा कि इस साल 1 जनवरी से देश में तबलीगी गतिविधियों के लिये 2100 विदेशी भारत आए और उनमें से सभी ने पहले दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित उसके मुख्यालय में आमद दर्ज कराई. निजामुद्दीन स्थित तबलीगी मुख्यालय से कोरोना वायरस के कई मामले सामने आए हैं। गृह मंत्रालय ने यह भी कहा कि कुल 303 तबलीगी कार्यकर्ताओं में कोविड-19 के लक्षण थे और उन्हें दिल्ली के विभिन्न अस्पतालों में भेजा गया है।


एक बयान में गृह मंत्रालय ने यह भी कहा कि अब तक तबलीगी जमात के 1,339 कार्यकर्ताओं को नरेला, सुल्तानपुरी और बक्करवाला पृथक केंद्रों के अलावा दिल्ली के एलएनजेपी, आरजीएसएस, जीटीबी, डीडीयू अस्पतालों के साथ ही एम्स, झज्जर (हरियाणा) भेजा गया है। बाकी लोगों की अभी कोविड-19 संक्रमण को लेकर चिकित्सा जांच की जा रही है। बयान में कहा गया कि एक आकलन के मुताबिक जनवरी के बाद से तबलीगी गतिविधियों के लिये करीब 2100 विदेशी भारत आए। गृह मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि 21 मार्च तक उनमें से लगभग 824 देश के विभिन्न हिस्सों में चले गए, 216 निजामुद्दीन मरकज में रह रहे हैं, जिनमें से कई कोरोना वायरस से संक्रमित मिले हैं।


अन्य लोग हो सकता है कि 24 मार्च को 21 दिन के देशव्यापी बंद की घोषणा से पहले ही देश से चले गए हों। यह बंद घोषणा के अगले दिन से प्रभावी हुआ था। तबलीगी जमात के देसी और विदेशी कार्यकर्ता वर्ष भर देश के अलग-अलग इलाकों में उपदेश देने या ‘चिल्ला’ के लिये दौरे पर रहते हैं। इंडोनेशिया, मलेशिया, थाईलैंड, नेपाल, म्यामां, बांग्लादेश, श्रीलंका और किर्गिस्तान समेत विभिन्न राष्ट्रों से लोग तबलीगी गतिविधियों के लिये आते हैं।


बयान में कहा गया कि ऐसे सभी विदेशी नागरिक सामान्य तौर पर अपने आने की सूचना सबसे पहले हजरत निजामुद्दीन स्थित बंगलेवाली मस्जिद में तबलीगी मरकज में देते हैं। यहां से उन्हें देश के विभिन्न हिस्सों में चिल्ला गतिविधियों के बारे में जानकारी दी जाती है. चिल्ला गतिविधियों का समन्वय सभी राज्यों में विभिन्न जिलों में जिला समन्वयकों द्वारा किया जाता है। जिनकी निगरानी का काम कुछ राज्यों में ‘प्रदेश अमीर’ के द्वारा किया जाता है।


इसमें कहा गया, “इसके साथ ही, 21 मार्च को देश के विभिन्न हिस्सों में करीब 824 विदेशी चिल्ला गतिविधियों में शामिल थे।” गृह मंत्रालय ने कहा कि बड़ी संख्या में भारतीय तबलीगी जमात कार्यकर्ता देश के विभिन्न हिस्सों में काम कर रहे हैं। मंत्रालय ने कहा कि 21 मार्च को 824 विदेशियों का विवरण सभी राज्य पुलिस बलों से साझा किया गया। जिससे उनकी पहचान हो सके और चिकित्सा जांच के बाद उन्हें पृथक रखा जा सके। इसके अलावा, 28 मार्च को सभी राज्यों की पुलिस से कहा गया है कि वे स्थानीय समन्वयक से सभी तबलीगी कार्यकर्ताओं के नामों की सूची तैयार करें, उनका पता लगाएं और चिकित्सा जांच के बाद उन्हें पृथक करें। बयान में कहा गया, “अब तक विभिन्न राज्यों में ऐसे 2,137 लोगों की पहचान हुई है।”


उन्हें पृथक किया गया है और उनकी जांच की जा रही है। यह प्रक्रिया अब भी चल रही है तथा ऐसे और लोगों की पहचान कर उनका पता लगाया जाएगा। मंत्रालय ने कहा, ‘’21 मार्च को हजरत निजामुद्दीन मरकज में करीब 1,746 लोग रह रहे थे। इनमें से 216 विदेशी थे और 1530 भारतीय।’’ मंत्रालय के मुताबिक 28 मार्च को गृह मंत्रालय की तरफ से सभी राज्यों के मुख्य सचिवों और पुलिस महानिदेशकों को विस्तृत परामर्श जारी किया गया था। यह परामर्श दिल्ली के पुलिस आयुक्त को भी भेजा गया था। खुफिया ब्यूरो के निदेशक द्वारा 29 मार्च को एक बार फिर राज्यों के पुलिस महानिदेशकों को यह परामर्श दिया गया कि वे अपने इलाकों में ऐसे सभी तबलीगी कार्यकर्ताओं की आवाजाही पर नजर रखें, उनके संपर्क में आने वालों पर भी नजर रखी जाए और उनकी चिकित्सा जांच के लिये कदम उठाए जाएं।


बयान में कहा गया कि कई राज्यों ने पहले ही यह करना शुरू कर दिया है। हजरत निजामुद्दीन मरकज में रह रहे तबलीगी जमातके सभी कार्यकर्ताओं की 26 मार्च से ही चिकित्सा जांच की जा रही है। अब तक 1203 तबलीगी जमात कार्यकर्ताओं की जांच हो चुकी है। मंत्रालय ने कहा कि आव्रजन ब्यूरो राज्यों से प्रभावित देशों से आए लोगों के बारे में जानकारी (एक फरवरी से) साझा कर रहा है। इसके अलावा आव्रजन ब्यूरो राज्यों के साथ छह मार्च से सभी अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डों पर आने वाले भारतीयों और विदेशियों की जानकारी साझा कर रहा है।


मरकज से नैनीताल पहुंचे 11 जमाती

नैनीताल। दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज की घटना के बाद उत्तराखंड सरकार के बाद नैनीताल पुलिस-प्रशासन हरकत में है। उत्तराखंड सरकार द्वारा मंगलवार को दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज में एक से 15 मार्च के बीच एक धार्मिक आयोजन में उत्तराखंड के भी कुछ लोगों के हिस्सा लेने की खबरों का संज्ञान लेते हुए सभी जिलों के जिलाधिकारियों और मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को ऐसे लोगों की पहचान करने के आदेश दिये गए हैं। वहीं अभिसूचना मुख्यालय उत्तराखंड देहरादून द्वारा 31 मार्च को प्रदेश के सभी जिलाधिकारियों, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों व पुलिस अधीक्षकों को भेजी गई गोपनीय रिपोर्ट के अनुसार नगर की मल्लीताल स्थित जामा मस्जिद में मरकज निजामुद्दीन दिल्ली से 13 से 20 मार्च तक 11 सदस्यीय जमात आई थी। इस जमात में नई दिल्ली के तीमारपुर, मदनपुर, इंद्रप्रस्थ कॉलोनी, पुरानी ईदगाह, मीर विहार, सहारनपुर यूपी आदि के 11 जमाती आए थे। नैनीताल में 12 लोग-मल्लीताल निवासी मो. वसीम व हामिद अली, हिना टूर एजेंसी मल्लीताल के मो. जुहैब, राशिद, काशिफ व दिलशाद, नईम मैकेनिक निवासी बसेरा होटल के पीछे मल्लीताल, तल्लीताल बूचड़खाना निवासी मो. बसी, सानिब और महबूब तथा हरिनगर निवासी शहनवाज इन जमातियों के संपर्क में आए हैं। इनके साथ ही पुलिस इनके संपर्क में आये लोगों की भी पड़ताल कर रही है। बुधवार को अब तक 46 लोगों को मल्लीताल कोतवाली पुलिस और 6 परिवार के 21 लोगों को तल्लीताल पुलिस यानी कुल 67 लोगों जांच के लिए बीडी पांडे जिला चिकित्सालय पहुंचा चुकी है। मल्लीताल कोतवाल अशोक कुमार सिंह ने बताया कि अभी भी ऐसे लोगों की तलाश की जा रही है। साथ ही यह अपील भी की जा रही है कि वह स्वयं भी अस्पताल जाकर अपनी जांच करवाएं। इधर जिला चिकित्सालय के प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक डा. केएस धामी ने बताया कि मरकज से संबंधित 44 लोगों को जिला चिकित्सालय के सूखाताल स्थित संस्थागत क्वारन्टाइन सेंटर में लाया गया है। इनमें से किसी में भी कोरोना के लक्षण नहीं मिले हैं। फिर भी इन्हें 14 दिन पूरे होने की अवधि के शेष बचे दिनों के लिए एकांतवास में रखा जाएगा। उन्होंने बताया कि यहां पहले रखे गए पांच में से तीन लोगों को घर भेज दिया गया है। इस प्रकार दो पुराने एवं 44 नये मिलाकर कुल 46 लोगों को एकांतवास में रखा गया है।
 
सम्बंधित क्षेत्रों को किया विसंक्रमित 
उधर नगर स्वास्थ्य निरीक्षक कुलदीप कुमार ने बताया कि सूखाताल, चीना बाबा, आवागढ़, हरिनगर आदि वार्डों में निजामुद्दीन मरकज से संबंधित सक्रियता के बाद बुधवार को दवा का छिड़काव कर सेनिटाइजेशन करवा दिया गया है। आगे मेट्रोपोल-रॉयल होटल क्षेत्र की बस्ती भी सेनिटाइजेशन कार्य कराया जाएगा।


सार्वजनिक सूचनाएं एवं विज्ञापन

सावधान रहें, सतर्कता बरतें।


लापरवाह इंस्पेक्टर दरोगा निलंबित

बृजेश केसरवानी


प्रयागराज। लापरवाह और वेईमानों के कृत्यों से सख्त नफरत रखने,उन्हें सजा देने में निःसंकोच सजा देने दृढ़ विश्वासी ,तेज तर्रार वरिष्ठ पुलिस कप्तान सत्यार्थ अनिरूद्ध पंकज वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रयागराज द्वारा अपने मातहतों को लापरवाही के आरोप में निलंबित कर लापरवाहों एवं वेइमानों को तत्काल सुधरने की चेतावनी दी है।
बता दें कोतवाली इंस्पेक्टर बच्चेलाल प्रसाद, चौकी इंचार्ज बहादुर गंज, मनीष सिंह और दो सिपाहियों को एसएसपी सत्यार्थ अनिरूद्ध पंकज ने तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया है।एसएसपी ने बताया  कि सोमवार सुबह साऊथ मलाका चौराहे के पास सरेराह दो युवतियों से छिनैती की कोशिश हुई थी। जिसमें क्षेत्रीय पुलिस की लापरवाही बरतने का मामला प्रकाश में आने पर इंस्पेक्टर, दरोगा और बीट के सिपाहियों के खिलाफ निलंबन की कार्रवाही की गई है।
वरिष्ठ पुलिस अधिकारी , प्रयगराज सत्यार्थ अनिरूद्ध पंकज ने यह कार्वाही कर बेइमानों, लापरवाहों को उनके कृत्यों में सुधार लाने की प्रेरणा / संदेश / चेतावनी भी दे डाली है। कप्तान की यह कार्यवाही, सुघरों अन्यथा कर्मदण्ड भुगतने की कहावत को चरिचार्थ कर रही है।



बिजली करंट से पति-पत्नी की मौत

 पत्‍नी को लगा करंट तो बचाने आए पति की भी मौत
मनसा। जिले की हरनाम कॉलोनी में कूलर में करंट आने से दंपति की मौत हो गई। दंपति पंजाब में मानसा के रहने वाले है। जानकारी के अनुसार हरनाम सिंह कॉलोनी में 25 वर्षीय मंगल सिंह मजदूरी का कार्य करता था। वह अपनी छह माह की बच्ची और पत्नी 24 वर्षीय पूनम के साथ रहता था। काफी सालों से हरनाम कॉलोनी में रहकर मजदूरी करते थे। रात को पूनम पानी पीने के लिए उठी। गर्मी अधिक होने के कारण अंदर कूलर लगा रखा था। जैसे ही पूनम बाहर निकली तो कूलर पर हाथ लग गया। जिससे उसे जोरदार करंट लगा। करंट लगते ही कूलर उसके ऊपर गिर गया।


पूनम ने शोर मचाया तो उसका पति मंगल उसे बचाने के लिए आ गया। पत्नी को बचाने के लिए जैसे ही उसने हाथ लगाया तो उसे भी करंट लग गया और मौके पर ही मौत हो गई। सुबह पड़ोसियों ने देखा कमरे के अंदर से बच्ची के रोने की आवाज आ रही थी।


पुलिस ने शवों का करवाया पोस्टमार्टम
पड़ोसी ने घर के अंदर गए तो देखा कि दंपति जमीन पर पड़े थे और उनकी मौत चुकी थी। पड़ोसियों ने बच्ची को संभाला और परिजनों को सूचना दी। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को नागरिक अस्पताल के शवगृह में रखवा दिया है। एएसआई जगदीश ने बताया कि दपंति पंजाब का रहने वाला है और सूचना दे दी है। फिलहाल पुलिस ने दोनों के शवों का पोस्टमार्टम करवा कर परिजनों के हवाले कर दिया है।


पुतिन ने संक्रमित डॉक्टर से मिलाया हाथ

पुतिन जिस डॉक्टर से हाथ मिलाया वही निकला कोरोना संक्रमित



मास्को। रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन तक भी कोरोना संक्रमण का खतरा पहुंच चुका है। ऐसा पता चला है कि एक ऐसा डॉक्टर कोरोना संक्रमित पाया गया है जो न सिर्फ कुछ दिन पहले पुतिन से मिला था बल्कि उनसे हाथ भी मिलाया था। ये डॉक्टर कोई और नहीं बल्कि मॉस्को के कोरोना वायरस अस्पताल के चीफ हैं और पुतिन ने पिछले दिनों इस अस्पताल का दौरा भी किया था।


क्रेमलिन ने बोला- राष्ट्रपति की सेहत ठीक है
हालांकि इस खबर के सामने आने के बाद क्रेमलिन ने एक बयान जारी कर राष्ट्रपति पुतिन की सेहत की जानकारी दी है और कहा है कि किसी तरह की चिंता की बात नहीं है। क्रेमलिन ने बताया कि राष्ट्रपति का स्वास्थ्य ठीक है। बता दें कि पिछले मंगलवार को डॉक्टर डेनिस प्रोत्सेनको ने पुतिन से उनके अस्पताल के निरीक्षण के दौरान मुलाकात की थी। हालांकि इस दौरान डॉक्टर ने रक्षात्मक सूट पहना हुआ था। लेकिन बाद में डॉक्टर और पुतिन बिना किसी सुरक्षा के बात करते और हाथ मिलाते देखे गए थे।


क्रेमलिन के प्रवक्ता देमित्री पेस्कोव ने रूस के समाचार संगठनों को बताया कि पुतिन नियमित रूप से जांच से गुजर रहे हैं और उनके स्वास्थ्य को लेकर कोई चिंता की बात नहीं है। पेस्कोव ने कहा, ‘सभी चीजें ठीक है। अब तक रूस में कोरोना वायरस से कुल 2,337 लोग संक्रमित हो चुके हैं और 17 लोगों की मौत हो चुकी है।


लॉकडाउन का दायरा बढ़ाया
रूस में एक ही दिन में कोरोना वायरस के सवार्धिक 500 मामले सामने आने के बाद इस महामारी के प्रकोप को रोकने के लिये मंगलवार को लॉकडाउन का दायरा बढ़ा दिया गया और साथ ही तीन महत्वपूर्ण कानूनों को मंजूरी दे दी गई। क्षेत्रफल के लिहाज से दुनिया के सबसे बड़े देश रूस के कुल 85 में से अब 40 से अधिक क्षेत्रों में लॉकडाउन लागू कर दिया गया है। इनमें पूर्व में चीन की सीमा से लगा प्रिमोर्स्की क्राई और पश्चिम में कालिनिनग्राद क्षेत्र भी शामिल हैं।


उधर संसद के निचले सदन स्टेट ड्यूमा ने मंगलवार को तीन मसौदा विधेयकों को मंजूरी दे दी, जिनमें कोरोना वायरस पृथकता नियमों का उल्लंघन करने वालों और झूठी खबरें फैलाने वालों को सात साल जेल की सजा का प्रावधान है। इससे पहले राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने सोमवार को कड़े कदमों को सही ठहराते हुए कहा था कि अगर पूरे देश में मनोरंजन स्थलों को बंद नहीं किया गया तो स्थानीय अधिकारियों के खिलाफ आपराधिक लापरवाही का मामला दर्ज किया जा सकता है।


जेब पर भारी पड़ेंगे कई बदलाव

नई दिल्ली। एक अप्रैल से नया फाइनेंशियल ईयर शुरू हो रहा है। नए वित्त वर्ष में कई नियम चेंज हो जाएंगे, जिनके बदलने से आपकी रोजमर्रा की जिंदगी पर असर होगा। टैक्स से लेकर गैस सिलेंडर और बैंकों के मर्जर तक सभी चीजों बड़ा फेरबदल होगा।


आइए आपको एक-एक कर बताते है की एक अप्रैल से क्या-क्या बदल रहा है।


(1) नया इनकम टैक्स सिस्टम होगा लागू
बजट 2020-21 में सरकार ने वैकल्पिक दरों और स्लैब के साथ एक नई आयकर व्यवस्था शुरू की, जो 1 अप्रैल से शुरू होने वाले नये वित्तीय वर्ष से प्रभावी हो जाएगी। नई कर व्यवस्था में कोई छूट और कटौती का लाभ नहीं मिलेगा। हालांकि नई कर व्यवस्था वैकल्पिक है यानी करदाता चाहे तो वह पुराने टैक्स स्लैब के हिसाब से भी आयकर अदा कर सकता है। वहीं नए कर प्रस्ताव के तहत 5 लाख रुपये सालाना आय वाले को कोई कर नहीं देना है। 5 से 7.5 लाख रुपये सालाना आय वालों के लिए टैक्स की दर 10%, 7.5 से 10 लाख रुपये की आय पर 15%, 10 लाख रुपये से 12.5 लाख रुपये पर 20%, 12.5 लाख रुपये से 15 लाख रुपये की आय पर 25% और 15 लाख रुपये से अधिक की आय पर 30% की दर से कर लगेगा।


(2) रिटायरमेंट के 15 साल बाद पूरी पेंशन का प्रावधान
छह लाख से ज्‍यादा ईपीएस पेंशनर्स के लिए अच्‍छी खबर है। 1 अप्रैल से EPS पेंशनर्स को ज्यादा पेंशन मिलेगी। सरकार ने रिटायरमेंट के 15 साल बाद पूरी पेंशन का प्रावधान बहाल कर दिया है। इस नियम को 2009 में वापस ले लिया गया था. श्रम मंत्रालय ने नए नियमों को अधिसूचित कर दिया है। इसके अलावा कर्मचारी भविष्‍य निधि (ईपीएफ) स्‍कीम के तहत पीएफ खाताधारकों के लिए पेंशन के कम्यूटेशन यानी एकमुश्त आंशिक निकासी का प्रावधान भी अमल में आ गया है। यह कदम खासतौर से उन ईपीएफओ पेंशनर्स के लिए फायदेमंद साबित होगा जो 26 सितंबर, 2008 से पहले रिटायर हुए हैं और पेंशन की आंशिक निकासी का विकल्‍प चुना है। कम्‍यूटेड पेंशन का विकल्‍प चुनने की तारीख से 15 साल बाद उन्‍हें पूरी पेंशन का फायदा दोबारा मिलने लगेगा।


(3) बैंकों का होगा मर्जर
नुकसान में चल रहे बैंकों का मर्जर हो गया है। देश में अब सरकारी बैंकों की संख्या घटकर 12 रह गई है। विलय के तहत ओरिएंटल बैंक ऑफ कामर् और यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया का विलय पंजाब नेशनल बैंक में, सिंडिकेट बैंक का केनरा बैंक में, आंध्रा बैंक और कॉरपोरेशन बैंक का यूनियन बैंक ऑफ इंडिया और इलाहबाद बैंक का इंडियन बैंक में विलय हो गया है। इस मर्जर के बाद सबसे ज्यादा असर ग्राहकों पर पड़ेगा क्योंकि खाताधारकों के बैंक अकाउंट नंबर से लेकर IFSC कोड तक सब बदल जायेगा।


(4) मोबाइल होगा महंगा
इसके अलावा मोबाइल कीमतों पर नई जीएसटी दरें लागू होंगी। 1 अप्रैल से मोबाइल खरीदने वाले ग्राहकों को ज्यादा पैसे खर्च करने होंगे क्योंकि 1 तारीख से मोबाइल पर 12 फीसदी की जगह 18 फीसदी की दर से टैक्स लगेगा।


(5) BOI ने ब्याज दरों में की बड़ी कटौती
बैंक ऑफ इंडिया ने रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा नीतिगत ब्याज दरों में कटौती का पूरा लाभ ग्राहकों को देने का फैसला किया है। BOI ने रविवार को एक्सटर्नल बेंचमार्क लेंडिंग रेट्स में 75 बेसिस प्वाइंट्स यानी 0.75 फीसदी की कटौती की है. इस कटौती के बाद एक्सटर्नल बेंचमार्क लेंडिंग रेट घरकर 7.25 फीसदी हो गया। लेंडर्स एक्सटर्नल बेंचमार्क लेंडिंग रेट RBI के रेपो रेट से लिंक्ड है। ब्याज दरों में यह कटौती 1 अप्रैल से प्रभावी होगी। बता दें कि 27 मार्च को रिजर्व बैंक ने रेपो रेट में 75 बेसिस प्वाइंट की कटौती किया था, जिसके बाद यह 4.4 फीसदी के स्तर पर आ गया था।


(6) विदेशी टूर पैकेज के लिए TCS
1 अप्रैल, 2020 से विदेशी टूर पैकेज खरीदना और विदेशों में कोई भी फंड खर्च करना महंगा हो जाएगा। अगर कोई विदेशी टूर पैकेज खरीदता है या विदेशी करेंसी एक्सचेंज कराता है तो 7 लाख रुपये से अधिक की रकम पर टैक्स कलेक्शन एट सोर्स (TCS) देना होगा। दरअसल, केंद्र सरकार ने आम बजट 2020 में सेक्शन 206C में संशोधन कर विदेशी टूर पैकेज और फंड पर 5 फीसदी TCS लगाने का प्रस्ताव दिया।


(7) खाना पकाना हो सकता है सस्ता, नेचुरल गैस की कीमतों पर फैसलाा संभव
1 अप्रैल से नेचुरल गैस कीमतों में बदलाव हो सकता है। ऐसा माना जा रहा है कि इस बार 1 अप्रैल को घरेलू गैस कीमतें में 25 से 30 फीसदी की कटौती हो सकती है। इस कटौती के बाद ये कीमतें तीन साल के निचले स्तर पर रह सकती हैं। इस बार 6 साल की सबसे बड़ी कटौती का अनुमान लगाया जा रहा है। आपको बता दें कि हर छह महीने में नेचुरल गैस की कीमतें तय होती है। अप्रैल और अक्टूबर में समीक्षा के बाद दाम तय किए जाते है। इससे घर में सप्लाई होने वाली पीएनजी और सीएनजी की कीमतों पर असर होता है।


थाईलैंड के राजा रानियां, सेल्फ आइसोलेट

कविता गर्ग


बैंकॉक। जहां एक तरफ ज्यादातर दुनिया सेल्फ आइसोलेशन में पड़े-पड़े परेशान हो रही है, वहीं कोई इसे जीवन को और रंगीन बनाने का अवसर समझ रहा है। सेल्फ आइसोलेशन हो तो ऐसा हो, जिसमें आप अपने देश से दूर कहीं किसी शानदार होटल को बुक कर अपनी उप-पत्नियों (ये राजा के हरम में शामिल होती हैं पर इन्हें पत्नी के अधिकार नहीं होते) के साथ सेल्फ आइसोलेशन में चले जाएं। थाईलैंड के राजा के तो यही हाल हैं। वे दक्षिणी जर्मनी के शानदार और भव्य होटल में अपनी 20 उप-पत्नियों के साथ सेल्फ आइसोलेट हैं।


पूरा होटल बुक किया : थाईलैंड के राजा महा वजीरालोंगकोरन, जिन्हें रामा ‘दशम’ के नाम से भी जाना जाता है, ने अपने हरम के साथ सेल्फ आइसोलेशन में जाने के लिए बवेरिया का पूरा शानदार होटल सोनेनबिचल बुक किया है। जर्मन टैब्लॉयड की रिपोर्ट के अनुसार 67 साल के थाई राजा ने स्थानीय जिला प्रशासन की आज्ञा लेने के बाद इस पूरे होटल को बुक कर लिया है। अभी तक इस बात की पुष्टि नहीं हो सकी है कि थाई राजा की चौथी पत्नी उनके साथ इस आइसोलेशन में हैं या नहीं। हालांकि थाई राजा ने कोरोना संक्रमण के डर से उनके साथ मौजूद शाही दल के 119 सदस्यों को वापस थाइलैंड भेज दिया है।


दूसरे घर की तरह है जर्मनी : थाई किंग के लिए जर्मनी दूसरे घर की तरह ही है, जहां वह अपना अधिकतर समय बिताते हैं। बता दें कि थाई राजा को फरवरी के बाद से अपने मूल देश में जनता के बीच नहीं देखा गया है।


थाई राजा के इस सेल्फ आइसोलेशन की खबर मलेशिया के राजा और रानी के सेल्फ क्वारंटाइन में जाने की रिपोर्ट के बाद आई है। रिपोर्ट के अनुसार मलेशिया के राजमहल के सात सदस्यों के कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद, राजा सुल्तान अब्दुलाह सुल्तान अहमद शाह और रानी तुनकू अजीजाह अमीनाह मैमुन्हा इंस्कांद्रिहा को सेल्फ क्वारंटाइन में रखा गया है। हालांकि दोनों के कोरोना परीक्षण निगेटिव आए हैं, लेकिन सावधानी बरतते हुए उन्हें 14 दिनों के लिए आइसोलेट किया गया है। इस बीच सातों संक्रमितों को इलाज के लिए अस्पताल भेज दिया गया है। मलेशिया में अभी तक 2000 लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि की जा चुकी है। जिनमें से 21 लोगों की मौत हो चुकी है।


लॉकडाउन का समर्थन कर रहे लोग : दुनिया की एक तिहाई से अधिक आबादी करीब तीन अरब लोग अब वायरस के प्रसार को धीमा करने में मदद करने के लिए लॉकडाउन का समर्थन कर रहे हैं। वहीं चीन ने वायरस फैलने के कारण कुछ 760 मिलियन लोगों को घरों में कैद कर दिया था।


कोरोनो ने अब अमेरिका ओर यूरोप के कई देशों को अपनी चपेट में ले लिया है। इस संक्रमण से सबसे ज्यादा इटली की हालत खराब है, जहां मौतों को आंकड़ा बढ़ता जा रहा है।


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