शनिवार, 4 जुलाई 2020

ब्रहामणो की निर्मम हत्या पर आक्रोश




















रजनीकांत अवस्थी
रायबरेली। कांग्रेस पार्टी के प्रदेश सचिव सुशील पासी ने प्रयागराज जिले के सोरांव इलाके में एक ही परिवार के पांच ब्राह्मणों की हुई निर्मम हत्या पर तीव्र आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा कि, इस अमानुषिक हत्याकांड ने यह साबित कर दिया है कि, प्रदेश में कानून व्यवस्था बुरी तरह ध्वस्त हो चुकी है और प्रदेश जंगलराज के हवाले है।

आपको बता दें कि, कांग्रेस पार्टी के प्रदेश सचिव सुशील पासी ने इलाहाबाद में हुई पांच ब्राह्मणों विमलेंद्र पांडेय 48, प्रिंस पांडेय 19, शिबू पांडेय 20, सोमा पांडेय 18 की हत्या की खबर मिलते ही कल साम मृतकों के परिजनों से मिलने इलाहाबाद पहुंचकर पीड़ित परिवार के आंसू पोछे, और शोक संवेदना व्यक्त करते हुए हर संभव मदद का आश्वासन दिया। उन्होंने जिला कांग्रेस के पदाधिकारियों के साथ गांव पहुंचकर अग्रिम रणजीत के लिए कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू को जानकारी दी।

 

कांग्रेस के प्रदेश सचिव श्री पासी ने स्थानीय जिला कमेटी के पदाधिकारियों को निर्देश दिया है कि, पूरे हत्याकांड की विस्तृत रिपोर्ट प्रदेश नेतृत्व को सौंपे। जिससे राज्यपाल से मुलाकात कर पूरी वस्तुस्थिति से अवगत कराया जा सके। कांग्रेस पार्टी के प्रदेश सचिव सुशील पासी ने मुख्यमंत्री से हत्याकाण्ड की सीबीआई जांच कराने और अपराधियों की तत्काल गिरफ्तारी सुनिश्चित करने और पीड़ित के परिजनों को कम से कम एक करोड़ रुपये की आर्थिक सहायता देने की मांग की है, और कहा है कि, इस जघन्य हत्याकाण्ड को लेकर प्रदेश कांग्रेस कमेटी राज्यव्यपी संघर्ष छेड़ेगी। भाजपा सरकार में आये दिन ब्राह्मणों की हत्याये और उत्पीड़न की घटनाओं में बेतहाशा वृद्धि हुई है और अब प्रदेश में हो रही ब्राह्मणों की निशंक हत्याओं को लेकर कांग्रेस पार्टी चुप नही बैठने वाली है।

 

 


 


 










  




 

 







 

 







 







 




 




 




 



 



 


 


 











 

 

 



 

 

 



 

 

 


 


 

 

 







 

 





 







 


 







 

 


 






सीएम खट्टर ने कई प्रस्तावों को मंजूरी दी





राणा ओबरॉय

चंडीगढ़। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने नगर पालिका, अम्बाला सदर में फायर स्टेशन के निर्माण के विकास कार्य को पूरा करने के लिए 13.38 करोड़ रुपये के विशेष अनुदान (स्पेशल ग्रांट) को मंजूरी प्रदान कर दी है। यह जानकारी आज यहां एक सरकारी प्रवक्ता ने दी।मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने गुरूग्राम जिले के दो गांवों में दो सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) के निर्माण के लिए मंजूरी प्रदान कर दी है। इस संबंध में जानकारी देते हुए एक सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि एक एसटीपी गांव धनकोट में और एक बजघेडा गांव में बनाया जाएगा। उन्होंने बताया कि गुरूग्राम के गांव धनकोट में 2 एमएलडी क्षमता के एसटीपी के निर्माण पर खर्च सरकार द्वारा किया जाएगा जबकि बजघेडा में बनाए जाने वाले एसटीपी के निर्माण का खर्च संबंधित ग्राम पंचायत द्वारा वहन किया जाएगा।प्रवक्ता ने बताया कि गुरूग्राम के गांव धनकोट में बनाए जाने वाले एसटीपी का निर्माण विकास एवं पंचायत विभाग के जमा कार्य के रूप में गुरूग्राम महानगर विकास प्राधिकरण द्वारा करवाया जाएगा जिस पर 785.16 लाख रूपए की राशि खर्च होगी। उन्होंने बताया कि हरियाणा ग्रामीण विकास योजना के अंतर्गत कार्य योजना के अनुसार यह कार्य 31 दिसंबर, 2020 को पूरा होगा।सीएम मनोहर लाल ने हरियाणा रोडवेज के कर्मचारियों द्वारा किलोमीटर स्कीम के खिलाफ की गई हड़ताल के समर्थन में अन्य विभागों के कच्चे/अनुबंध कर्मचारियों द्वारा 26 अक्तूबर, 2018 के सामूहिक अवकाश, 30 व 31 अक्तूबर, 2018 को आयोजित हड़ताल तथा 8 व 9 जनवरी, 2020 की राष्ट्रव्यापी हड़ताल अवधि को ‘‘लीव ऑफ काईंड डयू’ करने के एक प्रस्ताव को अपनी मंजूरी प्रदान कर दी है।

 

 



 



क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों में निकलींं भर्ती

नई दिल्ली। देश में क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों में बंपर भर्तियां निकाली गई है। बैंकों में ऑफिस असिस्टेंट एवं ऑफिसर्स के कुल 9638 पदों पर भर्ती के लिए आवेदन जारी किया गया है। इन पदों पर एक जुलाई से आवेदन की प्रक्रिया शुरु हो गई है। आवेदन की आखिरी तारीख 21 जुलाई 2020 है। इन पदों पर आवेदन के लिए आवेदन इंस्टीट्यूट ऑफ बैंकिंग पर्सोनेल सिलेक्शन यानि IBPS के ऑफिशियल पोर्टल जर जाकर आवेदन कर सकते हैं। आईबीपीएस ने 9638 ऑफिस असिस्टेंट (मल्टीपर्पज) एवं ऑफिसर्स (स्केल 1, 2 एवं 3) के पदों पर भर्ती के लिए नोटिफिकेशन (CRP RRBs IX) 30 जून 2020 को जारी किया है।


शैक्षणिक योग्यता
ऑफिस असिस्टेंट, ऑफिसर्स ( स्केल 1, 2 ) के लिए स्नातक पास होना अनिवार्य
ऑफिसर्स ( स्केल 3 ) के लिए अलग-अलग शैक्षणिक योग्यताएं और प्रोफेशनल योग्यताएं होनी चाहिए।


एमपी के 11 विभागों में पहुंचा संक्रमण





ग्वालियर। शहर में पहला संक्रमित मरीज 26 मार्च को चेतकपुरी निवासी मिला था। कोरोना की रफ्तार को रोकने के लिए लागू किए गए लॉकडाउन ने काफी हद तक कोरोना की रफ्तार पर ब्रेक लगा रखा था।


 अनलॉक-1 व 2 के शुरू होते ही प्रशासन ने शहरवासियों को इसमें राहत दी। इसका लोगों ने फायदा उठाया और जमकर लापरवाही बरती। इस कारण कोरोना ने रफ्तार पकड़ ली। एक दिन में 25-25 कोरोना पॉजीटिव मरीज सामने आ रहे हैं। अब कोरोना सरकारी कार्यालयों के अधिकारियों और कर्मचारियों के साथ शहर के छोड़े-बड़े कारोबारियों तक जा पहुंचा है। अब तक 11 विभागों में कोरोना पॉजीटिव मरीज मिल चुके हैं। शहर में मार्च महीने के अंतिम सप्ताह में दस्तक देने वाला कोरोना संक्रमण लॉकडाउन के दौरान दूसरे रेड जोन वाले इलाकों से शहर में आने वाले लोगों तक ही सीमित था।

लेकिन अनलॉक-1 में प्रशासन ने शहरवासियों को छूृट दी। छूट के साथ मॉनीटरिंग में बरती गई लापरवाी प्रशासन के लिए मुसिबत बन गई। अब कोरोना का डंक दूसरे शहरों से आने वाले कोरोना कैरियर्स तक ही सीमित नहीं होकर सरकारी कार्यालयों के अधिकारियों और कर्मचारियों के साथ शहर के छोड़े-बड़े कारोबारियों तक जा पहुंचा है। कोरोना की रफ्तार का आलम यह है कि कोरोना का डंक घरों से बाहर नहीं निकलने वाली महिलाओं, बुजुर्गों व बच्चों तक को शिकार बना रहा है। अब तक नगर निगम, पुलिस, एसएएफ, बीएसएफ, एयरफोर्स, टीचर, वन विभाग, डॉक्टर, डाकघर, बैंक और स्मार्ट सिटी के ऑफिस में कोरोना पॉजीटिव मरीज मिल चुके हैं।


नियमों का पालन नहीं करना पड़ा भारी


कोरोना संक्रमितों की संख्या में एकाएक बढ़ोत्तरी होने का कारण कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए बनाए गए नियमों की अवेहना करना ही लोगों को भारी पड़ता दिख रहा है। शहर में 80 फीसदी शहरवासी न तो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रहे हैं और न ही कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए चेहरे पर मास्क लगा रहे हैं। नियमों की अवहेलना करना ही शहरवासियों को भारी पड़ रहा है। जिसके चलते रोजाना ही संक्रमित मरीज सामने आ रहे हैं।


 सरकारी विभागों में फैल गया है सनसनी का माहौल

दरअसल ग्वालियर चंबल संभाग में जितने भी सरकारी ऑफिस है। वहां पर पिछले कई समय से विविन पत्रकार संस्थाओं के द्वारा लगातार साफ सफाई स्वच्छता को लेकर खबरें छापी जाती थी। जिसमें दिखाया जाता था कि वास्तव में ग्वालियर के जितने भी सरकारी विभाग है। वहां पर साफ सफाई का नितांत अभाव रहता है। वहां पर जो बाथरूम है वह बेहद गंदे रहते हैं और वहां पर अधिकारी वर्ग वास्तव में किसी भी प्रकार की स्वच्छता के लिए ध्यान नहीं देते थे। जब अखबार समाचार पत्रों और विभिन्न वेबसाइटों के द्वारा इस विषय पर लेख लिखे गए इस विषय पर कई बार अधिकारियों को जागरूक करने का प्रयास किया गया। फिर भी ग्वालियर चंबल संभाग के अधिकारी वर्ग इस विषय पर जागरूक ना हुए उन्होंने अपनी मुद्रा को जारी रखा और आज इसी का परिणाम है कि ग्वालियर चंबल संभाग में सरकारी विभागों में तेजी से फैल रहा है। क्योंकि वहां पर साफ सफाई बिल्कुल नहीं रहती है और किसी भी प्रकार की सोशल डिस्टेंसिंग का ध्यान नहीं रखा जाता है। अधिकारी सिर्फ और सिर्फ अपने विषय में सोचते हैं और कर्मचारी अधिकारियों के सामने घुटने टेकने पर मजबूर हो जाते हैं। इस प्रकार से वाली चंबल संभाग वास्तव में गहरी गफलत में चला जा रहा है।



 

 






 










  


बैंक पहुंचा संक्रमित, सील की शाखा

 










बेतिया। शहर में कोरोना संक्रमण की रोकथाम को लेकर किये जा रहे दावे में बड़ी लापरवाही सामने आयी है। दो दिन पहले आधा दर्जन व्यवसायिक घरानों, दो राजनीतिक परिवारों व प्राॅपर्टी डीलर के करीबी रहने वाले जिस युवक में कोरोना का संक्रमण मिलने पर उसे कोरेंटिन किया गया था, वह युवक कोरेंटिन तोड़ते हुए गुरुवार को पैसा निकालने हरिवाटिका स्थित बैंक ऑफ बड़ौदा की शाखा में जा पहुंचा।

मामला शुक्रवार को उजागर होने पर बैंक को सील कर दिया गया है। मैनेजर समेत सभी कर्मचारी होम कोरेंटिन किये गये हैं। उक्त युवक को जीएमसीएच में आइसोलेशन वार्ड में दाखिल करा दिया गया है। बैंक मैनेजर एके सुमन ने बताया कि शुक्रवार को उन्हें युवक के कोरोना पॉजिटिव होने की जानकारी मिली। इसके बाद उन्होंने इसकी सूचना प्रशासन को दी।

 

फिलहाल बैंक को कुछ दिनों के लिए बंद कर दिया गया है। नगर परिषद की टीम बैंक परिसर को सैनिटाइज करने में जुटी है। बैंक सूत्रों की माने तो गुरुवार को शाखा में पहुंचे युवक ने अच्छी खासी रकम निकाली थी। उस समय तक बैंक कर्मियों को उसके संक्रमित होने की जानकारी नहीं थी। चूंकि युवक शहर के राजनीतिक परिवार, व्यवसायिक घरानों और प्रॉपर्टी डीलर का करीबी है, ऐसे में बैंक के अधिकारियों व कर्मचारियों से उसकी अच्छी पहचान है। वह अक्सर लेनदेन के सिलसिले में बैंक जाया करता था।




 



 



 










  




 

 







 

 







 







 




 




 



 




एसओ तिवारी से एसटीएफ की पूछताछ

कानपुर। उत्तर प्रदेश के कानपुर में हुए शूटआउट में एक दिलचस्प मोड़ सामने आया है। गुरुवार और शुक्रवार की दरमियानी रात विकास दुबे और उसके गुर्गों ने पुलिस टीम पर फायर झोंक दिया था। इसमें एक सीओ और इंस्टपेक्टर समेत कुल 8 पुलिसकर्मियों की गोली लगने से मौत हो गई थी और 7 पुलिसकर्मी घायल हो गए थे। पुलिस की य​ह टीम हिस्ट्रीशीटर विकासदुबे को गिरफ्तार करने पहुंची थी। पुलिस टीम पर हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे और उसके गुर्गों की ओर से हुए हमले में चौबेपुर थानेदार की भूमिका संदिग्ध है। यूपी एसटीएफ ने चौबेपुर एसओ विनय तिवारी को इस मामले में ग्रिल करना शुरू किया है। सूत्रों की मानें तो हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे पर एफआईआर दर्ज करने के मामले में एसओ विनय तिवारी की भूमिका संदिग्ध पाई गई है।


चौबेपुर थानेदार विनय तिवारी विकास दुबे के खिलाफ आईपीसी की धारा 307 के तहत एफआईआर लिखने में आनाकानी बरत रहे थे। पीड़ित राहुल तिवारी ने सीओ देवेंद्र मिश्रा से इसकी शिकायत की थी, इसके बाद विकास दुबे पर मुकदमा दर्ज हुआ था। आपको बता दें कि इस शूटआउट में सीओ देवेंद्र मिश्रा शहीद हो गए। चौबेपुर थानेदार विनय तिवारी पर विकास दुबे के खिलाफ पुलिस कार्रवाई के बारे में मुखबिरी का शक है। सूत्रों के मुताबिक जब पुलिस टीम विकास दुबे को गिरफ्तार करने पहुंची थी तो थानेदार विनय तिवारी दबिश में सबसे पीछे चल रहा थे। सीओ देवेंद्र मिश्रा और थानेदार विनय तिवारी में पटरी नहीं थी। इसके चलते थानेदार पर हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे से सीओ देवेंद्र मिश्रा की मुखबिरी का शक है। शक के दायरे में आए चौबेपुर थानेदार विनय तिवारी से एसटीएफ पूछताछ कर रही है।


लद्दाख में सेना की 4 डिवीजन तैनात

 







अब तक पूर्वी लद्दाख में भारतीय सेना की कुल चार डिवीजन तैनात
मई से पहले एक डिवीजन सियाचिन से लेकर चुमुर तक के इलाके की करती थी निगरानी


नई दिल्ली,। लद्दाख सीमा पर चीन की तरफ से भारी संख्या में सैनिकों की तैनाती के जवाब मेंं भारतीय सेना ने एक और डिवीजन तैनात कर दी है। इस डिवीजन की तैनाती के बाद सिर्फ पूर्वी लद्दाख में भारतीय सेना की कुल चार डिवीजन हो गई हैं, जबकि मई से पहले इस इलाके में केवल एक डिवीजन तैनात थी। यह भारत की ओर से किसी भी सीमा पर सेना की अब तक की सबसे बड़ी तैनाती मानी जा रही है।


सूत्रों के मुताबिक उत्तर प्रदेश से ले जाई गई यह नई डिवीजन पूर्वी लद्दाख में तैनात रहेगी, जिसमें 15 से 20 हजार तक सैनिक होंगे। इसके साथ इस डिवीजन का तोपखाना भी लद्दाख ले जाया जाएगा। गलवान की घटना के बाद चीन ने धीरे-धीरे एलएसी पर अपने सैनिकों की तैनाती में जबरदस्त बढ़ोतरी की है। सीमा पर चीनी सैनिकों की तैनाती के जवाब में भारत ने भी टैंक, पैदल सेना के वाहनों और करीब 10 हजार अतिरिक्त सैनिकों की तैनाती की है। लद्दाख में चीन से लगती हुई 856 किमी. की सीमा काराकोरम पास से शुरू होकर दक्षिण लद्दाख में चुमुर तक जाती है। एलएसी के शुरुआती हिस्से यानी काराकोरम पास से लेकर दौलत बेग ओल्डी, डेपसांग प्लेन, गलवान घाटी, पेंगांग झील, डेमचौक, कोइल और चुमुर तक हर जगह से चीन घुसपैठ करने की कोशिश में है। इनमें से गलवान घाटी और पेंगांग झील के बाद सीमा विवाद का एक बड़ा मुद्दा डेपसांग प्लेन भी है। डेपसांग घाटी के पास ही भारतीय वायुसेना की हवाई पट्टी दौलत बेग ओल्डी भी है जिसे दुनिया की सबसे ऊंची एयर स्ट्रिप होने का खिताब हासिल है।


भारतीय सेना एलएसी पर विवादित इलाकों का कोई भी हिस्सा असुरक्षित नहीं छोड़ना चाहती है, इसीलिए चीनी सेना के जवाब में अपने सैनिकों की भी तैनाती बढ़ाती जा रही है। इससे पहले मई में तनाव शुरू होने के तुरंत बाद ही उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश से दो माउंटेन डिवीजनों को लद्दाख में तैनात किया गया था। परिस्थिति या वातावरण के अभ्‍यस्‍त इन सैनिकों की तैैनाती पूर्वी लद्दाख में उन जगहों पर की गई जहां वह मुस्तैदी के साथ चीनियों से मोर्चा संभाल सकते हैं। तनाव शुरू होने के दो महीने बाद चीन की तरफ से और ज्यादा सैनिकों, टैंकों और बख्तरबंद गाड़ियों की तैनाती के बाद ही भारतीय सेना ने भी लद्दाख में सैनिकों की तादाद बढ़ाई है।



 

 


 


 










  




 

 







 

 







 







 




 




 



 




इनाम घोषित, कोशिशें से और तेज की

कानपुर। यूपी पुलिस ने कानपुर एनकाउंटर के मुख्‍य आरोपी विकास दुबे पर पचास हजार के इनाम का ऐलान किया है। गुरुवार देर रात हुए इस एनकाउंटर में 8 पुलिसकर्मी शहीद हुए थे। इसके बाद से यूपी की योगी सरकार एक्शन मोड में है। शुक्रवार शाम सीएम योगी आदित्यनाथ कानपुर पहुंचे और घायल पुलिस कर्मियों से रीजेंसी अस्पताल में मुलाकात की।


कानपुर आईजी रेंज मोहित अग्रवाल ने शातिर बदमाश विकास दुबे पर इस इनाम का ऐलान करते हुए उसे दबोचने की कोशिशें और तेज कर दी हैं। इससे पहले विकास दुबे की गिरफ्तारी के लिए कानपुर देहात में उसके परिजन के यहां पुलिस ने ताबड़तोड़ छापेमारी की थी। लखनऊ में कृष्‍णा नगर में विकास दुबे के मकान पर भी पुलिस ने छापा मारा।


‘जहां अपराधियों की जगह है वहां पहुंचेंगे’
डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने बिल्हौर स्थित बिकरू गांव का निरीक्षण करने के बाद कहा कि दो अपराधी पुलिस मुठभेड़ में मारे गए हैं। बॉर्डर सील हैं और टीमें अपना काम कर रही हैं। लगातार सर्च ऑपरेशन हो रहे हैं, एसटीएफ की टीम भी लगी है। पुलिस जल्द ही मामले की तह तक पहुंचेगी और अपराधियों को उसी जगह पहुंचाएंगे जहां उन्हें होना चाहिए।


हिस्‍ट्रीशीटर है विकास दुबे
कानपुर में देर रात शातिर बदमाश विकास दुबे को पकड़ने गई पुलिस टीम पर हुई फायरिंग में आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए थे। यह घटना कानपुर में चौबेपुर थाना क्षेत्र के बिकरू गांव की है। डीजीपी हितेश चन्द्र अवस्थी ने बताया कि विकास दुबे कानपुर का हिस्ट्रीशीटर भी हैं इसके ऊपर कई मुकदमें दर्ज हैं। इस पर दबिश डालने के लिए पुलिस बिकरू गांव पहुंची जहां पर पुलिस को रोकने के लिए इन्होंने पहले से ही जेसीबी वगैरह लगा कर रास्ता रोक रखा था। पुलिस पार्टी के पहुंचते ही बदमाशों ने छतों से पुलिस टीम पर फायरिंग शुरू कर दी, जिसमें पुलिस के 8 जवान शहीद हो गए। विकास दुबे की लोकेशन पता लगाने के लिए इलेक्ट्रॉनिक सर्विलांस किया जा रहा है। पुलिस की टीमें लगातार जगह-जगह दबिश दे रही हैं।


दो बदमाश भी मारे गए
चौबेपुर में गुरुवार रात अपराधियों के साथ मुठभेड़ में एक पुलिस उपाधीक्षक समेत आठ पुलिसकर्मियों की मौत हो गई। इस घटना में पांच पुलिस कर्मी, एक होमगार्ड का जवान और एक आम नागरिक घायल हो गए। इसके बाद शुक्रवार सुबह मुठभेड़ में पुलिस ने दो बदमाशों को मार गिराया।


पुलिस के हथियार भी छीन लिए थे
पुलिस की ओर से जारी बयान के मुताबिक अपराधी ने गुरुवार रात को मुठभेड़ के बाद पुलिसकर्मियों के हथियार भी छीन ले गए, जिनमें एके 47 राइफल, एक इंसास राइफल, एक ग्लाक पिस्तौल तथा दो नाइन एमएम पिस्तौल शामिल हैं। पुलिस ने बताया कि शुक्रवार सुबह मारे गए दोनों अपराधियों में से एक के पास से पुलिस से लूटा गया एक हथियार बरामद कर लिया गया है। कुछ आरोपी अभी पुलिस की पकड़ से दूर हैं, जिनकी तलाश पुलिस के साथ एसटीएफ भी कर रही है।


यूपी में वायरस के 8451 सक्रिय मामले





















प्रदेश में कोरोना के 7,451 सक्रिय मामले, अब तक 17,597 मरीज इलाज से हुये ठीक


लखनऊ। प्रदेश में कोरो वायरस का प्रसार जारी है। अनलॉक टू में भी मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। बीते चौबीस घंटों में राज्य में संक्रमण के 982 नए मामले स्वास्थ्य महकमे को बड़ी चुनौती देते हुए सामने आए हैं। इससे पहले गुरुवार को 817 नए मामलों की पुष्टि हुई थी। अपर मुख्य सचिव, स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने शुक्रवार को बताया कि प्रदेश में कोरोना के सक्रिय मामलों की संख्या अब 75 जनपदों में 7,451 हो गई है। वहीं अब तक 17,597 लोग इलाज के बाद पूरी तरह ठीक होने के बाद घर भेजे जा चुके हैं। इसके अलावा अब तक प्रदेश में इस वायरस से 982 लोगों की मौत हो चुकी है।


प्रतिदिन होने वाली जांच संख्या पहली बार 27 हजार के पार


अपर मुख्य सचिव, स्वास्थ्य ने बताया कि प्रतिदिन की जाने वाले कोरोना नमूनों की जांच संख्या पहली बार 27 हजार के पार पहुंच गई। गुरुवार को रिकार्ड 27,565 कोरोना नमूनों की जांच की गई। इससे पहले बुधवार को 24,890, मंगलवार को 26,489, सोमवार को 21,414 और रविवार को 22,378 नमूनों की जांच की गई थी। वहीं अब तक प्रदेश में कुल 8,10,991 कोरोना नमूनों की जांच हो चुकी है।


7,467 लोग आइसोलेशन वार्ड में भर्ती


राज्य में इस समय 7,467 लोग आइसोलेशन वार्ड में भर्ती हैं। वहीं 4,509 लोग फैसिलिटी क्वारंटाइन में हैं। फैसिलिटी क्वारंटाइन में उन लोगों को रखा गया है जो कि कोरोना संक्रमितों के सम्पर्क में रहे हैं। हॉटस्पॉट में होने के कारण उनमें लक्षण नजर आये या जिनमें संक्रमण की सम्भावना होती है।


2,457 पूल के जरिए 13,870 नमूनों की हुई जांच


उन्होंने बताया कि गुरुवार को 2,457 पूल के जरिए 13,870 नमूनों की जांच की गई। इनमें 2,140 पूल के जरिए प्रति पूल पांच-पांच नमूनों की जांच की गई, जिसमें से 229 पूल की रिपोर्ट पॉजिटिव आई। वहीं 317 पूल के जरिए प्रति पूल दस-दस नमूनों की जांच की गई, जिसमें से 49 की रिपोर्ट पॉजिटिव आई।
इससे पहले बुधवार को 1,974 पूल के जरिए विभिन्न नमूनों की जांच की गई। वहीं मंगलवार को 2,096 पूल के जरिए 12,095 नमूनों की जांच की गई। इनमें 1,773 पूल के जरिए प्रति पूल पांच-पांच नमूनों की जांच की गई, जिसमें से 208 पूल की रिपोर्ट पॉजिटिव आई। वहीं 323 पूल के जरिए प्रति पूल दस-दस नमूनों की जांच की गई, जिसमें से 24 की रिपोर्ट पॉजिटिव आई।



 

 


 


 










  




 

 







 

 







 







 




 




 




 



 



 


 


 











 

 

 



 

 

 



 

 

 


 


 

 

 







 

 





 



 


 


 







 

 


 






अमेठीः 7 लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव

अमेठी। जिले में कोरोना की रफ्तार एक बार फिर तेज हो गई है। अब दरोगा, महिला कांस्टेबल और कलेक्ट्रेट कर्मी समेत सात लोगों की रिपोर्ट पाजिटिव मिली है। शुक्रवार को कलेक्ट्रेट को 24 घंटे के लिए सील कर सेनेटाइज किया गया है।


जिला प्रशासन के अनुसार कलेक्ट्रेट कर्मी (27 वर्ष), पुलिस लाइन में निवास कर रहे दरोगा (53 वर्ष) और महिला कांस्टेबल (27 वर्ष) की रिपोर्ट पाजिटिव आई है। इसके अलावा बताया गया है कि गौरीगंज क्षेत्र के एसीसी टिकरिया कालोनी निवासी तीन युवक और मुसाफिरखाना के वार्ड नंबर 9 के निवासी एक युवक की रिपोर्ट भी पॉजिटिव आई है। वहीं गौरीगंज स्थित कलेक्ट्रेट परिसर को सील कर उसे सेनेटाइज कराया जा रहा है। जिले में अब कोरोना पाजिटिव कुल मामले 290 हो गए हैं। जिसमे वर्तमान में एक्टिव केसो की संख्या 16 है और इलाज के उपरांत 273 मरीज अब तक डिस्चार्ज किए गए हैं। वही एक व्यक्ति की जिले में कोरोना से मौत भी हुई है।


4 राशियों को प्रभावित करेगा चंद्रग्रहण

नई दिल्ली। जल्द ही इस साल का तीसरा चंद्रग्रहण लगने जा रहा है | ये चंद्रग्रहण 5 जुलाई 2020 को लगेगा | हालाँकि ये चंद्रग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा | ये उपछाया चंद्रग्रहण होगा और ना ही इसका सूतक माना जायेगा | ज्योतिषीय गणना के अनुसार उपछाया चंद्रग्रहण होने के बावजूद भी ये चंद्रग्रहण राशियों पर प्रभाव डालने वाला है | इस वजह से कुछ राशियों की मुश्किलें बढ़ सकती है | आज हम आपको उन्ही राशियों के बारे में जानकारी देने जा रहे है |


मिथुन-ये चंद्रग्रहण आपके सातवे भाव में है | आपकी राशि इस ग्रहण से सबसे अधिक प्रभावित होने वाली है | दाम्पत्य जीवन में जीवनसाथी की तबियत बिगड़ सकती है | साथ ही व्यापार में साझदेरी के बिगड़ने की सम्भावना है, आपको बेहद सावधान रहने की आवश्यकता है |


कन्या-ये ग्रहण आपके चौथे भाव में लग रहा है | ये आपके कार्यक्षेत्र में आने वाली परेशानियों की वजह बन सकता है | माता जी की तबियत अचानक बिगड़ सकती है, जमीन जायदाद को लेकर आपको किसी बड़े नुकसान का सामना करना पड़ सकता है | ये ग्रहण आपके जीवन में परेशानियां लेकर आ रहा है, इसीलिए आपको सावधान रहने की जरूरत है |


वृश्चिक-चंद्रग्रहण आपके दूसरे भाव में लगने जा रहा है | बता दे दूसरा भाव धन का है, इसी वजह से आपको धन से जुडी किसी हानि का सामना करना पड़ सकता है | इसके अलावा आप किसी दुर्घटना के शिकार भी हो सकते है, इसीलिए बेहद सावधानी बरतने की जरूरत है |


मीन-ये ग्रहण आपके दसवे भाव में लगेगा | आपको कार्यक्षेत्र में किसी मुसीबत का सामना करना पड़ सकता है | पिताजी का स्वास्थ्य बिगड़ सकता है, इसीलिए उनकी सेहत को लेकर सतर्क रहे | घर-परिवार का माहौल आपको तनाव दे सकता है | ये ग्रहण आपके लिए कष्टकारी परिणाम लेकर आया है |


धोखाः 30 रुपए में कोरोना की दवाई

गाजीपुर। एक तरफ जहां पूरी दुनिया कोरोना महामारी से लड़ाई के लिए वैक्सीन बनाने की तरकीबें खोज रही है, वहीं कुछ लोग ऐसे भी हैं जो इस आपका दे वक्त में भी अवसर तलाश रहे हैं। उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में कुछ ऐसे लोग भी मिले हैं जो समाज में भ्रामक प्रचार-प्रसार के जरिए कोरोना का इलाज 30 रुपये से 50 रुपये में कर रहे हैं। इनका दावा है कि इस दवा के उपयोग से कोरोना नहीं होगा और जिनको संक्रमण हैं वह भी स्वस्थ हो जाएगा। हालांकि मामला खुलने के बाद प्रशासन कार्रवाई की बात कह रहा है।
जानकारी के मुताबिक, गाजीपुर जिले के बिरनो थाना क्षेत्र के बद्धुपुर गांव में ‘आन शोध संस्थान’ ने कोरोना से बचाव के लिए लोगों को दवा बेचा और दावा किया कि यह दवा होम्योपैथिक की आर्सेनिक एल्बम-30 नाम की दवा है जो कि कोरोना महामारी के लिए कारगर साबित हो रही है। ग्रामीणों के बीच इस दवा को 30 रुपए से 50 रुपए लेकर बेचा गया।


यूं खुला भेद
गांव के लोगों ने जब एनजीओ के कर्मचारियों से कोरोना की दवा के बारे जानकारी लेते हुए यह पूछा कि क्या कोरोना दवा बेचने के लिए संस्था के पास स्वास्थ विभाग या आयुष मंत्रालय का आदेश है, तो एनजीओ के कर्मचारी टाल-मटोल करने लगे। तब तक एनजीओ के कर्मचारी गांव के कई एक लोगों को कोरोना की कथित दवा दे चुके थे। ग्रामीणों ने कोरोना की कथित दवा बांटने वाले एनजीओ के खिलाफ जिला प्रशासन से कार्रवाई की मांग की है।


एनजीओ ने कहा- पूरे प्रदेश में बांट रहे दवा
हैरान करने वाली बात तो यह है कि जब इस मामले में दवा बांटने वाली संस्था के प्रतिनिधि आसिफ खान से बात की गई तो उन्होंने बताया कि संस्था कोरोना महामारी से बचाव के लिए सिर्फ गाजीपुर ही नहीं बल्कि प्रदेश के सभी जिलों में अपने कार्यकर्ताओं के जरिए दवा वितरण का कार्यक्रम संचालित कर रही है। आसिफ ने आगे बताया कि इस महामारी को देखते हुए लोगों में खासा भय व्याप्त है। इस दवा को लेकर लोगों की मिली जुली प्रतिक्रिया है। बताया जा रहा है कि यह एनजीओ का मुख्यालय लखनऊ है और वहीं से यह प्रदेश के सभी जनपदों में दवा वितरण का कार्यक्रम संचालित कर रही है। एनजीओ के प्रतिनिधि लाइसेंस होने की बात पर कोई स्पष्ट जवाब नहीं दे पाए ।


जिलाधिकारी ने कही जांच की बात
जब इस बारे में जिला अधिकारी ओमप्रकाश आर्य ने बताया कि उन्होंने इस संबंध में मुख्य चिकित्सा अधिकारी से बात कर संबंधित एनजीओ से आख्या लेने की बात कही है और अगर इस तरह का कोई मामला है जो कानून सम्मत नहीं है, तो तत्काल कार्रवाई की जाएगी


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