शुक्रवार, 26 नवंबर 2021

वेरिएंट: डब्ल्यूएचओ ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई

वेरिएंट: डब्ल्यूएचओ ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई 

अखिलेश पांडेय         वॉशिंगटन डीसी। दक्षिण अफ्रीका और बोत्सवाना में मिले कोरोना के नए वैरिएंट को लेकर खतरा बढ़ता जा रहा है। इसे देखते हुए डब्ल्यूएचओ ने शुक्रवार को इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है। ब्रिटिश साइंटिस्ट्स ने भी बोत्सवाना में मिले नए वैरिएंट को लेकर चेतावनी दी थी। इसमें 32 म्यूटेशन हो रहे हैं, जिस वजह से वैक्सीन भी इसके खिलाफ कारगर नहीं है। यह वैरिएंट अपने स्पाइक प्रोटीन में बदलाव कर काफी तेजी से फैल रहा है। भारत के लिए खतरे की बात यह है कि नया स्ट्रेन हॉन्गकॉन्ग तक पहुंच गया है।

दक्षिण अफ्रीका के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इंफेक्शियस डिजीज ने बताया- देश में इस वैरिएंट के अब तक 22 केस मिले हैं। वैज्ञानिकों ने इसे B.1.1.529 नाम दिया है। इसे वैरिएंट ऑफ सीरियस कंसर्न बताया है। डब्ल्यूएचओ में कोरोना मामले की तकनीकी प्रमुख डॉ. मारिया वान केरखोव ने कहा- हमें इस वैरिएंट के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं मिली है। मल्टीपल म्यूटेशन की वजह से वायरस के बिहेवियर में बदलाव हो रहा है और यह चिंता की बात है।

ब्रिटेन ने नए वैरिएंट के खतरे को देखते हुए अफ्रीका के 6 देशों से आने वाली फ्लाइट्स पर फिलहाल रोक लगा दिया है। इनमें दक्षिण अफ्रीका, नामीबिया, बोत्सवाना, जिंबाब्वे, लिसोथो और एसवाटिनी शामिल हैं। ब्रिटेन के हेल्थ सेक्रेटरी साजिद जाविद ने बताया- देश की हेल्थ एजेंसी नए वैरिएंट की जांच कर रही है। हमें और डेटा की जरूरत है, लेकिन हम सावधानी बरत रहे हैं। इन 6 अफ्रीकी देशों को रेड लिस्ट में डाला जाएगा और ब्रिटेन आने वाले यात्रियों को क्वारैंटाइन में रहना होगा।ब्रिटेन में 18 साल से ऊपर के लोगों से वैक्सीन लगवाने के लिए लगातार अपील की जा रही है।

साउथ अफ्रीका से हॉन्गकॉन्ग पहुंचे लोगों में भी इस वैरिएंट का संक्रमण पाया गया है। नया वैरिएंट सबसे पहले रीगल एयरपोर्ट होटल में ठहरे 2 लोगों में पाया गया। हॉन्गकॉन्ग के सेंटर फॉर हेल्थ प्रोटेक्शन (CHP) के मुताबिक जांच से पता चला है कि दोनों मामले B.1.1.529 वैरिएंट के ही हैं। पहले शख्स ने एयर वॉल्व वाला मास्क पहना था और इस मास्क की वजह से ही दूसरे शख्स में वायरस का संक्रमण पहुंचा।


पेट्रोल-डीजल से वाहनों की टंकियां फुल: सीमा

सुनील श्रीवास्तव        नई दिल्ली/ काठमांडू। भारत-नेपाल अंतरराष्ट्रीय सीमा खुलते ही अब चहल-पहल बढ़ने लगी है। भारतीय सैलानी नेपाल पहुंचकर सस्ते दाम में बिक रहे पेट्रोल और डीजल से वाहनों की टंकियां फुल करा रहे हैं। साथ ही, नेपाल से कॉस्मेटिक सामान की भी बढ़चढ़ कर खरीददारी कर रहे हैं। हालांकि अब तक अधिकतर लोगों को अंतरराष्ट्रीय सीमा पर सामान्य आवाजाही शुरू होने की जानकारी नही है। आने वाले दिनों में नेपाल में भारतीय सैलानियों की तादात में बढ़ोत्तरी की संभावनाएं लग रही हैं। सीमा खुलने से बॉर्डर से सटे भारतीय बाजारों के व्यापारियों ने भी राहत की सांस ली है। 

सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा वीडियो कोरोना के कारण भारत-नेपाल अंतरराष्ट्रीय सीमा करीब दो साल तब बंद रही। इसके चलते सीमा से सटे नेपाल के कंचनपुर और चम्पावत के टनकपुर बनबसा का व्यापारी काफी प्रभावित हो रहा था। हालांकि नेपाल सरकार ने करीब डेढ़ माह पूर्व ही भारतीयों के लिए सीमा खोल दी थी। लेकिन नेपाल में प्रवेश के लिए 72 घंटे पूर्व कराई गई कोरोना जांच रिपोर्ट अनिवार्य की गई थी। इससे भारतीय लोग नेपाल नहीं पहुंच पा रहे थे। दोनों ओर सीमा पर सामान्य आवाजाही की मांग लंबे समय से उठ रही थी। इसी को देखते हुए नेपाल प्रशासन ने तीन दिन पूर्व ही अंतरराष्ट्रीय सीमा पर सामान्य आवाजाही की अनुमति दे दी थी। 

कंचनपुर बाजार में रौनक लौटी हुई थी। हालांकि भीड़ अधिक नहीं थी लेकिन भारतीय सैलानी धड़ल्ले से नेपाल में प्रवेश कर रहे थे। इससे नेपाल के पेट्रोल पंप संचालक, होटल और कॉस्मेटिक व्यापारियों के चेहरे खिले हुए थे। साथ ही परिवहन कारोबारी भी बेहद खुश नजर आ रहे थे। कंचनपुर के पंपों में भारतीय मुद्रा के अनुसार गुरुवार को करीब 85 रुपये प्रति लीटर की दर से पेट्रोल, जबकि 73.75 रुपये लीटर की दर से डीजल बिक रहा था। इधर, चम्पावत में पेट्रोल 94.98 डीजल 88.25 की दर से बिक रहा है। बनबसा से महेंद्रनगर करीब आठ किमी दूरी पर स्थित है। उस पार पेट्रोल डीजल के दाम करीब 10 रुपये कम है। तमाम भारतीय सैलानी वाहनों में पेट्रोल भराने में जुटे हुए थे। पंप संचालकों ने मीडिया से वाहनों में ईंधन भराते समय फोटो खींचने से मनाही कर दी थी। उस वक्त कई भारतीय दोपहियां और चौपहियां वाहन ईंधन भराने पंप में पहुंचे हुए थे। पंप संचालकों ने बताया कि करीब एक सप्ताह पूर्व तक यहां पर पेट्रोल 82 जबकि डीजल करीब 72 रुपये की दर से बिक रहा था। 

भारत की तुलना में नेपाल में कॉस्मेटिक और ऊनी सामान काफी सस्ता है। नेपाल में ब्रांडेड कंपनियों का कॉस्मेटिक सामान सस्ता होने से वहां से भारत में तस्करी भी होती है। इसके अलावा भारतीय सैलानी नेपाल में जैकेट, स्वेटर, जूते और अन्य सामान की खरीददारी को पहुंचते हैं। भारत में शुल्क अधिक होने के कारण ये वस्तुएं महंगी हैं। व्यापार मंडल बनबसा के महामंत्री अभिषेक गोयल कहते हैं कि भारत-नेपाल सीमा पर सामान्य आवाजाही शुरू होने से व्यापारियों और आम लोगों ने राहत की सांस ली है। बनबसा के व्यापारियों का नेपाल में अच्छा खासा व्यापार होता है। सीमा बंद होने से तमाम परेशानियां उठानी पड़ रही थी। अब आने वाले दिनों में व्यापार में बढ़ोत्तरी की संभावना है।



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