बुधवार, 9 सितंबर 2020

बिजली बंद करने की अपीलः यादव

लखनऊ। विपक्षी दल बढ़ती बेरोजगारी को मुद्दा बनाते हुए भाजपा को घेरने में जुटे हैं। इसी कड़ी में समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने लोगों से आज रात 9 बजे 9 मिनट के लिए घरों की बिजली बंद करने की अपील की है।
अखिलेश ने बुधवार को युवाओं का आह्वान करते हुए ट्वीट किया, ‘मुट्ठियां जब बंध जाती हैं नवजवानों की, नींद उड़ जाती है ‘जुल्मी हुक्मरानों’ की। उन्होंने कहा​ कि आइए युवाओं व उनके परिवार की बेरोजगारी-बेकारी के इस अंधेरे में हम आज रात 9 बजे, 9 मिनट के लिए बत्तियां बुझाकर क्रांति की मशाल जलाएं, उनकी आवाज में आवाज मिलाएं।समाजवादी पार्टी लगातार बेरोजगारी, युवाओं के मुद्दे को लेकर सरकार पर हमलावर बनी हुई है। अखिलेश ईज ऑफ डूइंग बिजनेस रैंकिंग में उत्तर प्रदेश को देश में दूसरा स्थान मिलने पर भी सवाल उठा चुके हैं। उन्होंने अनियोजित लाॅकडाउन और गलत आर्थिक नीतियों की वजह से अर्थव्यवस्था के पटरी से उतरने का आरोप लगाया है। इस वजह से फैक्टरियों के बंद होने, मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर, विनिर्माण, संचार, होटल आदि व्यवसाय पूरी तरह से चौपट होने का आरोप लगाते हुए बेरोजगारी के मुद्दे पर सरकार को घेरा है।
नीट-जेईई परीक्षा के आयोजन को लेकर भी पार्टी ने प्रदेश में प्रदर्शन किया। इससे पहले पार्टी की युवा इकाई बढ़ती बेरोजगारी के विरोध में थाली बजाकर भी प्रदर्शन कर चुकी है। इसमें भाजपा के शासनकाल में प्रदेश में बेरोजगारी चरम पर होने और रोजगार नहीं मिलने के कारण नवजवानों में निराशा का भाव बढ़ने की बात कही गई। निजीकरण को लेकर भी सरकार पर निशाना साधा गया। 
अखिलेश यादव ने कहा है कि युवाओं ने युवा व छात्र विरोधी भाजपा सरकार के खिलाफ जगह-जगह संघर्ष छेड़ दिया है। युवाओं के गुस्से के तूफान से भाजपा के झूठे दावों के तम्बू उखड़ गये हैं। भाजपा के लोग युवा आक्रोश से बचने के लिए मुंह छिपाए बैठे हैं। सपा सरकार से युवाओं, छात्रों, परीक्षार्थियों व अभ्यर्थियों की समस्याओं के समयबद्ध समाधान के लिए ‘यूथ-चार्टर’ जारी करने की भी मांग कर चुकी है।               


खुद तय करें मालिक कौन ? 'विश्लेषण'



पिछले छह सात सालों में सत्तर सालों में जो कुछ भी नागरिकता के नाम पर हमें लड़ भिड़कर मिल पाया था वह सब बेहद क्रूर चालाकियों द्वारा हमसे छीन लिया गया है। जैसे कि हमारी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता, इस बारे में डा. कफील का उदाहरण सामने है। हमारे मीडिया का वह भरोसेमंद चरित्र जिसे अब भाँड़मंडली में बदल दिया गया है। हमारे न्यायालय, हमारी सी बी आई, जिसे पहले ये ही लोग तोता कहते थे, अब उस तोते को केन्द्रीय सरकार के मुखौटे में बदल दिया गया है। वे सारी नागरिकताएँ जिन पर हमें अपने आजाद नागरिक होने का गर्व और भरोसा था, वह सब भरोसाहीन कर दिया गया है।


इतना ही क्यों अब तो सांसदों से कोरोना के बहाने सवाल पूछने का हक भी छीन लिया गया गया है। याद करिए हमारा वह लाल किला, जिसे शाहजहाँ ने बनवाया था, अब किसी ठेकेदार के हवाले कर दिया गया है। हमारी वह रेल जो हमारे द्वारा चुकाए गए कर से बनी थी,उसके सारे विकास में हमारा पैसा लगा था, अब बेची जा रही है। जनता की संपत्ति को पूँजीपतियों के हवाले की जा रही है। जनता की कमाई से बनाई गईं इन राष्ट्रीय संपदाओं को प्राइवेट कंपनियों के हवाले कर हमें एक ऐसी व्यवस्था की ओर ले जाया जा रहा जिसमें हमारी सुविधाएं ही नहीं, हमारी नौकरियों के उन अधिकारों को भी छीना जा जा रहा जिनमें हमारे जीने और मरने को चंद पूँजीपति और उनके मैनेजर तय करेंगे। तब पेंशन भी मिलेगी या नहीं, हम अपने देश के स्वतंत्र अधिकार प्राप्त नागरिक रह भी पाएँगे या नहीं यह आप सोचें। एक ओर एक दो सालों तक सांसद रहकर आजीवन पेंशन कबाड़ेंगे दूसरी ओर तीस पैंतीस साल की सेवा कर चुकने के बाद भी पेंशन पाने का हक हमारा नहीं बचेगा।


सोचें कि इन सांसदों और मंत्रियों को क्या हमने यही कारनामे करने के लिए चुना और भेजा था या अपने अधूरे रहे सपनों को पूरा करने के लिए? यह कहते हुए बेहद पीड़ा महसूस कर रहा हूँ कि ये हमारे चुने हुए प्रतिनिधि हैं या हमारे देश और समाज के मालिक? और हम इनकी बेबस प्रजा।तय करिए कि मालिक हम हैं या हमारे ये प्रतिनिधि?


अफसोस इन दिनों मध्यवर्ग के सुविधाजीवी समूहों को भयानक आत्ममुग्धता घेरे हुए है। पेट भर खाने पीने ,ऐशो आराम से जीने को ही ये परमपुरुषार्थ मान बैठे हैं। अपना चेहरा ही इन्हें दुनिया का सबसे खूबसूरत चेहरा और सामाजिक सच समझ में आ रहा। और उधर हमसे हमारा स्वदेश और हमारी वे स्वाधीनताएँ छीनी जा रहीं जिन्हें पूज्य लोकमान्य तिलक ने हमारा जन्मसिद्ध अधिकार कहा था और हम बेखबर हैं।





(विजय बहादुर सिंह हिंदी के प्रसिद्ध लेखक हैं। ये उनके निजी विचार हैं।)               


'भूख हड़ताल' पर कर्मियों का टेंट उखाड़ा

अश्वनी उपाध्याय


गाजियबाद। कोरोना काल की फीस माफ करने व अन्य मांगों को लेकर गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन की अनिश्चित-कालीन भूख हड़ताल के आठवे दिन प्रशासन ने धरनास्थल पर लगाए गए टेंट को उखाड़ दिया। साथ ही विरोध कर रहे एसोसिएशन के पांच लोगों को हिरासत में ले लिया। इस दौरान एसोसिएशन की अध्यक्ष सीमा त्यागी ने प्रशासन पर तानाशाही रैवया अपनाने का आरोप लगाते हुए अभिभावकों से शांति बनाए रखने की अपील की है। सीमा त्यागी हालत बिगड़ने पर एक निजी अस्पताल में भर्ती हैं।


उल्लेखनीय है कि दो सितम्बर से कोरोना काल के दौरान की फीस माफी व अन्य मांगों को लेकर गाजियाबाद पैरेंटस एसोसिएशन की तीन महिला पदाधिकारी अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल पर हैं। लेकिन तीनों की तबीयत खराब होने पर उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। इसके बाद अनेक लोग धरने पर बैठ गए। बुधवार को आठवां दिन था। आज कुछ लोग वहां पहुंचे और जिला प्रशासन का आदेश बताते हुए उनसे धरना समाप्त करने को कहा लेकिन प्रदर्शकारी नहीं माने तो उनका टेंट जबरन हटा दिया गया और धरनारत लोगों को वहां से खदेड़ दिया गया।मौके पर पहुंची पुलिस एसोसिएशन के पांच लोगों को हिरासत में पुलिस लाइन ले गई। कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, आम आदमी पार्टी, कर्णी सेना समेत तमाम राजनीतिक दलों व समाज सेवी संगठनों ने धरना स्थल पर पहुंचकर अपना समर्थन देने की घोषणा की है। वहीं पदाधिकारी विवेक त्यागी ने कहा है कि भूख हड़ताल का आज आठवां दिन था लेकिन प्रशासन ने आंदोलन को खत्म करने की नीयत से धरना स्थल पर लगाए गए टेंट आदि को तोड़ दिया और सारा सामान नगर निगम के वाहन में रखकर ले गए। पांच लोगों को हिरासत में ले लिया है। त्यागी का कहना है कि प्रशासन का यह दमनात्मक रैवया है, जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। आंदोलन को समाप्त नहीं किया जाएगा बल्कि और मजबूती के साथ चलाया जाएगा।             


अगवा कर कैद में मासूम से सामूहिक रेप

गढवा। देश में लगातार रेप के मामले बढ़ते ही जा रहे है ,रोज़ाना कही न कही से ऐसी खबरें आती ही है। इसी बीच झारखंड के गढ़वा में एक नाबालिग लड़की के साथ रेप का मामला सामने आया है। बलात्कारी ने लड़की को रातभर अपने घर में कैद रखा। इस संबंध में विशुनपुरा थाना में अपनी शिकायत में नाबालिग लड़की ने बताया कि शनिवार 5 सितंबर की शाम खेत में घास लेने गई थी। इस दौरान गांव के ही रितेश सिंह उर्फ रीतू सिंह अपने दो साथियों के साथ उसे पकड़कर जंगल ले गया और उसके हाथ बांधे फिर बलात्कार किया।
पीड़िता ने पुलिस को बताया कि बताया कि इतना ही नहीं दरिंदों ने उसे अपने घर ले जाकर घर में रात भर बंद रखा। सुबह आरोपी के दादा ने पीड़ित के घर जाकर बताया कि तुम्हारी बेटी हमारे घर पर है। इसके बाद मेरे पिता जी मुझे आकर ले गए। मैंने अपने साथ हुई घटना की जानकारी अपने परिजनों को दी।



थाना प्रभारी चुनवा उरांव ने बताया कि पीड़िता की शिकायत के आधार पर मामला दर्ज कर लिया है। घटना में शामिल दो नाबालिग आरोपियों को हिरासत में लिया है लेकिन घटना का मुख्य आरोपी फरार है, उसकी तलाश की जा रही है। जिसकी गिरफ्तारी के लिए छापेमारी चल रही है। इस घटना से लड़की के घर में मातम का माहौल है परिवार से सभी लोग परेशान हैं। इस संबंध में दिलीप खलखो, एसडीपीओ, नगर उंटारी, गढ़वा ने बताया कि घटना में दो नाबालिग लोगों को गिरफ्तार कर जुबेनाइल कोर्ट रांची भेज दिया गया है, जबकि मुख्य अभियुक्त के खिलाफ छापेमारी जारी है। उसे जल्द ही पकड़ लिया जाएगा।


48 घंटे चला सहयोग सत्याग्रह आंदोलन

शशांक तिवारी की रिपोर्ट


लखनऊ। राज्य विद्युत परिषद जूनियर इंजीनियर संगठन उत्तर प्रदेश के केंद्रीय नेतृत्व के आवाहन पर पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के प्रस्तावित निजीकरण के विरोध तथा जूनियर इंजीनियर संवर्ग की न्यायोचित/ लंबित मांगों / समस्याओं के समाधान हेतु आज पूरे प्रदेश में संगठन के पदाधिकारी व सदस्य ( अवर अभियंता व प्रोन्नत अभियंता ) प्रातः 10:00 बजे से लगातार 48 घंटे तक सहयोग सत्याग्रह आंदोलन कर रहे हैं जिसमें आज झांसी जनपद में प्रत्येक अवर अभियंता व प्रोन्नत साथी अपने विद्युत उप केंद्र व कार्यालयों मैं अगले 48 घंटों तक लगातार कार्य कर रहे हैं व उपभोक्ताओं को बेहतर सेवा प्रदान करने व किसी शिकायत का तत्काल निस्तारण करने का पूरा प्रयास किया जा रहा है। आज देश में कोविड-19 के प्रकोप से ग्रसित होने के बावजूद अवर अभियंता , प्रोन्नत अभियंता कोविड-19 के भीषण संक्रमण होने से परवाह किए बिना प्रत्येक दिन क्षेत्रों में क्षमता से अधिक कार्य कर रहे हैं इसके बाद भी पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड का निजीकरण किए जाने का प्रयास व संवर्ग की न्यायोचित मांगों /समस्याओं का निस्तारण ऊर्जा प्रबंधन द्वारा नहीं किया जा रहा है इस प्रकार एक रचनात्मक आंदोलन करके संगठन द्वारा आम उपभोक्ताओं तक अपनी आवाज पहुंचानी है की हम विभाग की बेहतरी ओर बेहतर उपभोक्ता सेवा के लिए कार्य करते है किन्तु उसके बाद भी प्रबंधन अपनी गलत नीतियों व मैनेजमैन्ट के कारण विभाग में घाटा दिखाकर बिभाग को निजी घरानों को बेचने का जो प्रयास कर रहा है वह स्वीकार योग्य नहीं है । यदि ऊर्जा प्रबंधन /उत्तर प्रदेश शासन ने पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड का निजीकरण किए जाने हेतु प्रक्रियाधीन कार्रवाई पर तत्काल रोक नहीं लगाई तो संगठन आगामी दिनों में आंदोलन करने के लिए बाध्य होगा जिससे होने वाली किसी भी औद्योगिक अशांति की समस्त जिम्मेदारी ऊर्जा प्रबंधन व उत्तर प्रदेश शासन की होगी।             


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प्राधिकृत प्रकाशन विवरण




यूनिवर्सल एक्सप्रेस   (हिंदी-दैनिक)









 सितंबर 10, 2020, RNI.No.UPHIN/2014/57254


1. अंक-27 (साल-02)
2. बृहस्पतिवार, सितंबर 10, 2020
3. शक-1943, अश्विन, कृृष्ण-पक्ष, श्राद्ध पक्ष, तिथि- अष्टमी, विक्रमी संवत 2077।


4. सूर्योदय प्रातः 05:29, सूर्यास्त 07:09


5. न्‍यूनतम तापमान 23+ डी.सै.,अधिकतम-36+ डी.सै.।


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मंगलवार, 8 सितंबर 2020

90 वर्षीय वृद्ध महिला से दुष्कर्म-मारपीट

अकांशु उपाध्याय


नई दिल्ली। दिल्ली के छावला, नजफगढ़ इलाके से दिल दहला देने वाली घटना सामने आई जिसमें एक 90 वर्षीय बुजुर्ग महिला के साथ दुष्कर्म कर मारपीट की गई। पुलिस ने भारतीय दंड संहिता की धारा 376/323 के तहत प्राथमिकी दर्ज कर आरोपी सोनू (33) को गिरफ्तार कर लिया गया है। वह गांव रेवला खानपुर का रहने वाला है। पीड़ित महिला से मिलने के बाद दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालिवाल ने मंगलवार को कहा,“ छह महीने की बच्ची से लेकर 90 वर्ष की बुज़ुर्ग महिला तक कोई भी सुरक्षित नहीं है। इस उम्र में इन महिला को इस प्रकार की प्रताड़ना का सामना करना पड़ा। यह साफ दिखाता है कि इन घटनाओं को अंजाम देने वाले लोग इंसान नहीं जानवर हैं। मैं बुज़ुर्ग महिला से मिली हूं, इनको न्याय दिलवाने की जंग में हम इनके साथ कंधे से कंधा मिलाकर साथ चलेंगे। हर हाल में इस मामले में आरोपी को छह महीने में फांसी होनी ही चाहिए।”


दिल्ली महिला आयोग की टीम घटना की सूचना मिलने के वक्त से ही पीड़ित महिला के साथ है एवं उनकी मदद कर रही है। आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल और सदस्य वंदना सिंह ने शाम को महिला से उनके घर पर जाकर मुलाकात की।


उन्होंने कहा कि बुज़ुर्ग महिला के अनुसार शाम को करीब पांच बजे अपने घर के बाहर दूध वाले के इंतज़ार कर रही थी। उसी वक्त एक अनजान व्यक्ति ने उन्हें आकर कहा कि दूधवाला आज नहीं आया है और वो उन्हें दूध वाले के पास ले जाएगा। व्यक्ति बुज़ुर्ग महिला को लेकर रेवला खानपुर फार्म ले गया और वहां महिला के साथ जबरन दुष्कर्म किया। जब महिला ने अपना बचाव करना चाहा तो उनके साथ मारपीट भी की गई।


महिला दर्द में रोती रही और उस आदमी से रहम की भीख मांगती रही। उसे याद दिलाती रही की वो उसकी दादी के उमर की है पर उसने एक न सुनी। महिला की आवाज़ सुनकर गांव के कुछ लोगों को पता चल गया और उसकी मदद के लिए पहुंचे। लोगों ने आरोपी को धर-दबोचा और पुलिस को बुलाया। वहां से पीड़िता को अस्पताल ले जाया गया और मेडिकल जांच कराई गई। महिला की मेडिकल जांच रिपोर्ट में साफ़ तौर से उनके शरीर और गुप्त अंगों में चोटों की बात दर्ज है।                   


हटकेः पानी से बाहर आया 'विचित्र' जीव

लंदन। ब्रिटिश समुद्र तट पर विचित्र समुद्री जीव नजर आए। 47 साल के मार्टीन ग्रीन अपने परिवार के साथ छुट्टी पर थे, जब वे उत्तरी वेल्स में कैर्नारफॉन के तट पर थे तो उनको अजीबोगरीब चीज नजर आई। ग्रीन और उनके परिवार ने, पहली बार में, सोचा था कि यह सिर्फ एक अजीब दिखने वाला टुकड़ा था. स्कॉटिश सन की खबर के मुताबिक, जब उन्होंने पास जाकर देखा तो ड्रिफ्टवुड का टुकड़ा वास्तव में हज़ारों की संख्या में समुद्री जीवों के साथ कवर किया गया था।


उन्होंने फेसबुक पर जो फुटेज शेयर किया है, उसमें भयानक जीवों को उनके सफेद गोले से निकलते हुए देखा जा सकता है, जिसे उन्होंने “देखने के लिए मंत्रमुग्ध” बताया।         


यूपी में लॉकडाउन पूरी तरह हुआ खत्म

बृजेश केसरवानी


लखनऊ। उत्‍तर प्रदेश में लॉकडाउन अब पूरी तरह खत्‍म हो गया है। अब रविवार को भी दुकानें खुलेंगी। अब बाजारों की साप्‍ताहिक बंदी की पूर्व निर्धारित व्‍यवस्‍था ही लागू रहेगी। बाजार सुबह नौ बजे से रात नौ बजे तक खोले जाएंगे। अनलॉक व्यवस्था की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने इसके निर्देश अफसरों को दिए हैं। मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्रदेश में जो भी विकास की योजनाएं चल रही हैं, उन्हें गति दी जाए। मुख्‍यमंत्री ने कहा है कि कोरोना संक्रमण के प्रति लोगों को जागरूक करने के साथ ही आर्थिक गतिविधियों को तेजी से बढ़ाया जाना चाहिए।


होटल-रेस्‍टोरेंट भी खुलेंगे: उन्‍होंने कन्‍टेंनमेंट जोन को छोड़कर अन्‍य स्‍थानों पर सभी होटलों और रेस्‍टोरेंटों को शुरू कराने का भी निर्देश दिया। इसके साथ ही कहा कि इन गतिविधियों के संचालन में संक्रमण से सुरक्षा के सभी मानकों का पालन सुनिश्चित किया जाए। मुख्‍यमंत्री ने कहा कि कन्‍टेनमेंट जोन में सभी लोगों का कोविड-19 टेस्‍ट कराया जाए। 


तहसील दिवस और थाना दिवस भी होंगेे शुरू:  मुख्‍यमंत्री ने तहसील दिवस और थाना दिवस भी कोविड-19 गाइड लाइन के अनुसार संचालित करने का निर्देश दिया। इसके साथ ही उन्‍होंने अफसरों को निर्देश दिया कि वे सभी विभागाध्‍यक्षों और कार्यालयाध्‍यक्षों, कर्मचारियों की उपस्थिति की नियमित जांच करें। उन्‍होंने कहा कि 'ईज ऑफ लिविंग' की दिशा में भी कार्ययोजना बनाकर प्रयास किए जाने की आवश्‍यकता है। इससे लोगों के जीवन में परिवर्तन आएगा। 


जीएसटी कलेक्‍शन बढ़ाने का निर्देश: मुख्‍यमंत्री ने उत्‍तर प्रदेश में जीएसटी कलेक्‍शन बढ़ाने का भी निर्देश अफसरों को दिया है। उन्‍होंने किसानों की मदद के लिए जीरो बजट खेती के लिए ज्‍यादा से ज्‍यादा प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाने का भी निर्देश दिया। इसके साथ ही मुख्‍यमंत्री ने जोर देकर कहा कि 'मुख्‍यमंत्री निराश्रित और बेसहारा गोवंश सहभागिता योजना' के तहत  गौ आश्रय स्‍थलों से कुपोषित बच्‍चों के परिवार के लोगों को गाय उपलब्‍ध कराई जाए। उन्‍होंने नगर निकायों में अमृत योजना के कार्यों में तेजी लाने का भी निर्देश दिया। इसके साथ ही लोकनिर्माण विभाग के अधिकारियों को सड़कों को पूर्णतया गड्ढामुक्‍त बनाने का निर्देश दिया।             


मीडिया को अब ग्लोबल होने की जरूरत

अकाशुं उपाध्याय


नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि आज जब हम आत्मनिर्भर भारत की बात कर रहे हैं, जब लोकल के लिए वोकल होने की बात कर रहे हैं, तब हमारा मीडिया इस संकल्प को एक बड़े अभियान की शक्ल दे रहा है। हमें आत्मनिर्भर भारत के विजन को और व्यापक करने की जरूरत है


प्रधानमंत्री मोदी ने मंगलवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग से जयपुर में पत्रिका गेट का लोकार्पण करते हुए कहा, भारत के लोकल प्रोडक्ट्स ग्लोबल हो रहे हैं। भारत की आवाज भी अब ज्यादा ग्लोबल हो रही है। दुनिया भारत को अब और ज्यादा ध्यान से सुनती है। भारत की हर अंतरराष्ट्रीय मंचों पर मजबूत उपस्थिति है। ऐसे में भारतीय मीडिया को भी ग्लोबल होने की जरूरत है।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पत्रिका गेट को राजस्थान की संस्कृति को प्रतिबंबित करने वाला बताया। उन्होंने राजस्थान पत्रिका के गुलाब चंद्र कोठारी की पुस्तक ‘संवाद उपनिषद’ और ‘अक्षर यात्रा’ का विमोचन करते हुए कहा कि यह देश की भावी पीढ़ी को अतीत के साथ संवाद करने के लिए प्रेरित करता है। पुस्तकें साहित्य और संस्कृति के लिए अनुपम उपहार हैं। इस वर्चुअल कार्यक्रम में राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भी हिस्सा लिया।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस दौरान लेखन और साहित्य पर चर्चा करते हुए कहा, हमारे देश में तो लेखन का निरंतर विकास भारतीयता और राष्ट्रीयता के साथ हुआ है। स्वतंत्रता संग्राम के दौरान लगभग हर बड़ा नाम, कहीं न कहीं से लेखन से भी जुड़ा था। हमारे यहां बड़े-बड़े संत, बड़े-बड़े वैज्ञानिक भी लेखक और साहित्यकार रहे हैं।


प्रधानमंत्री ने कहा, किसी भी समाज में समाज का प्रबुद्ध वर्ग, समाज के लेखक या साहित्यकार ये पथप्रदर्शक की तरह होते हैं, समाज के शिक्षक होते हैं। स्कूली शिक्षा तो खत्म हो जाती है, लेकिन हमारे सीखने की प्रक्रिया पूरी उम्र चलती है, हर दिन चलती है। इसमें बड़ी अहम भूमिका पुस्तकों और लेखकों की भी है।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि कर्पूर चंद्र कुलिश ने भारतीयता और भारत सेवा के संकल्प को लेकर ही पत्रिका की परंपरा को शुरू किया था। पत्रकारिता में उनके योगदान को तो हम सब याद करते ही हैं, लेकिन कुलिश ने वेदों के ज्ञान को जिस तरह से समाज तक पहुंचाने का प्रयास किया, वो सचमुच अद्भुत था।               


दिल्ली में 2.0 तीव्रता का भूकंप, महसूस नहीं हुआ

दिल्ली में 2.0 तीव्रता का भूकंप, महसूस नहीं हुआ अकांशु उपाध्याय  नई दिल्ली। दबे पांव पहुंचे भूकंप ने धरती को हिलाते हुए पब्लिक को दहशत में ड...