मंगलवार, 13 जुलाई 2021

चीन में मूसलाधार बारिश से पांच लोगों की मौंत हुईं

बीजिंग। चीन के शन्शी प्रांत मेंमूसलाधार बारिश से पांच लोगों की मौत हो गई। जबकि 10 अन्य लापता हैं। प्रांतीय आपातकालीन प्रबंधन विभाग ने मंगलवार को यह जानकारी दी है।
विभाग ने बताया कि शिनझोउ शहर में शनिवार से रविवार तक हुई मूसलाधार बारिश से ताइहुआई और यांतौ टाउनशिप में बाढ़ आने से तीन लोगों की मौत हो गई और तीन घायल लोग हो गए। उन्होंने बताया कि रविवार को जिनचेंग शहर में 268 मिमी बारिश हुई। यहां दो लोगों की मौत हुई है। जबकि 10 अन्य लापता बताए गए है। बारिश से घरों को भी नुकसान पहुंचा है।

सड़क के किनारे बोल्डर से टकराएं 108 वाहन: यूपी

हरिओम उपाध्याय                    
हल्द्वानी। काठगोदाम-हेड़ाखान मार्ग पर आपातकालीन 108 वाहन अनियंत्रित होकर सड़क के किनारे बोल्डर से जा टकराएं। हादसे में वाहन पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया। घटना में चालक स्टीयरिंग और डैशबोर्ड के बीच बुरी तरह फंस गया। चालक करीब आधा घंटे तक वाहन में ही फंसा रहा। सूचना के बाद मौके पर पहुंची काठगोदाम पुलिस ने काफी मशक्कत कर डैशबोर्ड काटकर चालक को बाहर निकालकर अस्पताल पहुंचाया। बताया जा रहा है कि 108 वाहन का चालक कमल हेड़ाखान से हल्द्वानी गर्भवती महिला को ले जा रहा था। 
इस दौरान 108 वाहन अनियंत्रित होकर सड़क के किनारे बोल्डर से जा टकराया। सूचना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने सभी को निजी वाहन से अस्पताल को भेजा।  जबकि चालक मामूली घायल बताया जा रहा है। थाना प्रभारी विमल मिश्रा का कहना है कि क्रेन की मदद से 108 वाहन के अगले हिस्से को खींचकर चालक को निकाला गया, जो गाड़ी में ही फंस गया था। प्रथम दृष्टया वाहन का ब्रेक फेल होना बताया जा रहा है। ड्राइवर को मामूली चोटें आई हैं, जबकि गर्भवती महिला और तीमारदार सुरक्षित हैं।

पंचायत चुनाव में प्रशासकों ने जमकर खर्चा किया

बृजेश केशरवानी                     
कुशीनगर। उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में पंचायत चुनाव के दौरान ग्राम पंचायतों में तैनात प्रशासकों ने जमकर धन खर्च किया। जिले में 13 ग्राम पंचायतों में चार करोड़ 91 लाख एक हजार चार सौ 63 रुपये की धन निकासी हुई है। शासन के निर्देश पर इन ग्राम पंचायतों में खर्च हुए धन की जांच के लिये तीन सदस्यीय जांच टीम गठित कर दी गयी है। अधिकृत सूत्रों ने मंगलवार को बताया कि पंचायत चुनाव में तत्कालीन ग्राम पंचायतों के प्रधान के स्थान पर शासन के आदेश पर जिलाधिकारी ने एडीओ पंचायत को प्रशासक नियुक्त कर दिया था। एक जनवरी से 31 मई के बीच प्रशासकों ने ग्राम पंचायतों के धन को विकास कार्य के नाम पर खूब खर्च किया। जब यह आंकड़ा शासन के पास पहुंचा तो 25 लाख रुपये से अधिक धन खर्च करने वाली ग्राम पंचायतों में जांच कराने के निर्देश दिए गए।
खड्डा विकास खंड के ग्राम पंचायत कटाई भरपुरवा में 47 लाख 74 हजार 827 रुपये व सिसवा के गोपाल ग्राम पंचायत में 25 लाख 4 हजार 518 रुपये आहरित किया गया है, जो पूरे जिले में सर्वाधिक है। 11 अन्य ग्राम पंचायतों में भी 25 लाख से ऊपर की धनराशि निकासी हुई है। सीडीओ अनुज मलिक ने इन ग्राम पंचायतों की सूची के साथ डीडीओ, संबंधित विकास खंड के बीडीओ व डीआरडीए के अभियंता की तीन सदस्यों की टीम गठित कर धन निकासी के सापेक्ष हुए कार्य की जांच कर एक सप्ताह के अंदर रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं।
इस संबंध में बीडीओ खड्डा आनंद प्रकाश का कहना है की आदेश के क्रम में जांच शुरू कर दी गई है। रिपोर्ट शीघ्र ही प्रस्तुत कर दी जाएगी ।

गुन्नौर सीट से किस्मत आजमा सकते हैं चाचा-भतीजा

हरिओम उपाध्याय                  
इटावा। समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव के चाचा एवं प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (प्रसपा) प्रमुख शिवपाल सिंह यादव 2022 में होने वाले उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में संभल जिले की यादव बाहुल्य गुन्नौर सीट से किस्मत आजमा सकते हैं।
दरअसल, यहां जारी एक पोस्टर में शिवपाल सिंह यादव गुन्नौर की जनता से आशीर्वाद मांगते हुए दिख रहे हैं जिससे उनके इस सीट से चुनाव लड़ने की अटकलें तेज हो गयी हैं। पोस्टर में शिवपाल सिंह की ओर से साफ तौर पर लिखा गया है कि जैसे साल 2004 में नेता को आशीर्वाद मिला है। 
वैसे ही अपने लिए भी आशीर्वाद की चाहत रखते हैं।पोस्टर मे लिखा है " प्रिय क्षेत्रवासियो जैसा की आप भली भांति जानते है कि गुन्नौर से हमारा पारिवारिक रिश्ता रहा है। वर्ष 2004 के विधानसभा उपचुनाव मे नेता को नेतृत्व करने का मौका दिया। गुन्नौर विधानसभा के लोगो की जन आकांक्षाओ को देखते हुए हमने विधानसभा चुनाव 2022 मे गुन्नौर से लडने का निर्णय लिया है आशा करता हूंं। आप हमारा सम्मान बरकरार रखेगे। शिवपाल सिंह यादव गुन्नौर की जनता से अपना जुड़ाव भी बता रहे है। 2004 से अपना परिवारिक रिश्ता का भी शिवपाल जिक्र कर रहे है। अब ऐसे में सवाल खड़ा होता है कि शिवपाल विधानसभा चुनाव अपनी परंपरागत सीट जसवंतनगर से चुनाव लड़ेंगे या नही।
जसवंतनगर सीट से शिवपाल की जगह उनके पुत्र आदित्य यादव चुनाव लड़ सकते है। 1996 से शिवपाल सिंह यादव इटावा जिले की जसवंतनगर विधानसभा सीट से चुनाव जीतते आ रहे है। जसवंतनगर विधानसभा सीट मुलायम परिवार की पंरपरागत सीट मानी जाती है। वायरल पोस्टर आधिकारिक है या नही इस पर सवाल जरूर बनता है। गुन्नौर विधानसभा यादव बाहुल्य विधानसभा सीट है। फिलहाल इस सीट भाजपा के अजीत कुमार राजू एमएलए है। गुन्नौर विधानसभा 111 सीट से 2007 मे सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव चुनाव मैदान मे उतरे उनको जीत मिली और 54696 वोट हासिल हुए। जसवंतनगर इलाके के पीएसपी से प्रभावी नेताओ की बात को यकीन करे तो शिवपाल सिंह यादव अपने स्थान पर अपने बेटे आदित्य को चुनाव मैदान मे उतार सकते है इसलिए आदित्य की सक्रियता लगातार बनी हुई है ।शिवपाल सिंह यादव ने जसवंतनगर विधानसभा मे आने वाले चार ब्लाक प्रमुखो पर अपने प्रतिनिधियो की भी घोषणा सोमवार का कर दी है। जसवंतनगर ब्लाक से पूर्व ब्लाक प्रमुख अनुज यादव को अपना प्रतिनिधि बनाया है तो सैफई ब्लाक से अपने करीबी जिला पंचायत सदस्य डा.अरविंद यादव को प्रतिनिधि बनाया। इसी तरह से अपने बहनोई डा.अंजट सिंह को बसरेहर ब्लाक से प्रतिनिधि बनाया है जब कि ताखा से अपने बेहद करीबी ध्रुव कुमार यादव को अपना प्रतिनिधि बनाया है। इटावा के सीडीओ के नाम सोमवार को शिवपाल सिंह यादव की ओर से प्रतिनिधियो को लेकर लिखी गई चिठठी दोपहर बाद प्रचारित हुई। प्रतिनिधि बनाये जाने के बाद ही आदित्य यादव के जसवंतनगर से चुनाव लडने की चर्चाए जोर पकडे ही थी कि एकाएक शिवपाल सिंह यादव के गुन्नौर से चुनाव लडने की बात भी सामने आ गई है। वैसे शिवपाल के भतीजे सपा प्रमुख अखिलेश ने चाचा शिवपाल के लिए इटावा जिले की जसवंतनगर विधानसभा सीट को छोड़ने की बात कही थी। अखिलेश यादव ने इस बात को भी बोला था कि उनके दल से गठबंधन होगा दल का विलय नही होगा लेकिन अब ऐसा प्रतीत होता है कि एक नये राजनैतिक मिजाज की तस्वीर दिखाई देगी।

रेप के आरोपी बाबा को एम्स अस्पताल में भर्ती कराया

राणा ओबराय                     
रोहतक। दो महिलाओं के साथ बलात्कार किए जाने के आरोप में जेल की सजा काट रहे डेरा सच्चा सौदा के सुप्रीमो गुरमीत राम रहीम सिंह को दिल्ली के एम्स अस्पताल में भर्ती कराया गया है। एंडोस्कोपी के लिए एम्स में लाए गए राम रहीम को अस्पताल में कितने दिन तक निगरानी में रखा जाएगा इसका फैसला उसके स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए लिया जाएगा।
गलवार को दो महिला अनुयायियों के साथ बलात्कार किए जाने के आरोप में कारागार में उम्रकैद की सजा काट रहे डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह इंसा को बीमारी के चलते दिल्ली के एम्स अस्पताल में भर्ती कराया गया है। 
गुरमीत राम रहीम को एंडोस्कोपी के लिए एम्स में लाया गया है। एम्स के डॉक्टरों ने बताया है कि उसके स्वास्थ्य की जांच पड़ताल करने के बाद ही यह तय किया जाएगा कि राम रहीम को अस्पताल में कितने दिन तक निगरानी में रहना पड़ेगा। गौरतलब है कि इससे पहले 13 मई को भी जेल अधिकारियों की सलाह पर डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को रोहतक स्थित पीजीआईएमएस ले जाया गया था। उस समय जेल के डॉक्टरों ने कहा था कि डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख का रक्तचाप घट बढ़ रहा है। उल्लेखनीय है कि गुरमीत राम रहीम को अगस्त 2017 में सीबीआई की विशेष अदालत ने दो महिलाओं के साथ बलात्कार किए जाने के आरोप में 20 साल कैद की सजा सुनाई थी। इसके बाद वर्ष 2019 के जनवरी माह में एक अन्य अदालत ने राम रहीम और तीन अन्य लोगों को 16 वर्ष पहले हुए एक पत्रकार की हत्या के आरोप में उम्रकैद की सजा सुनाई थी।

विहिप ने बिल पर राज्य विधि आयोग को भेजा सुझाव

हरिओम उपाध्याय                    
लखनऊ। विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) ने उत्तर प्रदेश के जनसंख्या नियंत्रण बिल पर अपना सुझाव राज्य विधि आयोग को भेज दिया है। विहिप ने जनसंख्या स्थिरीकरण व ‘बच्चे दो ही अच्छे’ के प्रस्ताव पर अपनी सहमति जताते हुए सोमवार को दस सूत्रीय सुझाव का प्रपत्र आयोग को प्रेषित किया।
विहिप ने अपने सुझाव प्रपत्र में लिखा है कि राज्य विधि आयोग ने जनसंख्या नियंत्रण बिल का जो मसौदा तैयार किया है उसके प्रस्तावना में दी गयी जनसंख्या स्थिरीकरण और ‘बच्चे दो ही अच्छे’ के प्रस्ताव को जनसंख्या संतुलन के लिये आवश्यक मानते हुए परिषद ने अपनी सहमति दी है।
हालांकि विहिप ने प्रजनन दर को एक समय सीमा में 1.7 तक लाने के प्रस्ताव पर असहमति दर्शाते हुए उस पर पुनर्विचार करने की आवश्यकता बतायी है। परिषद का कहना है कि जनसंख्या का स्थिरीकरण तभी सम्भव है जब किसी महिला के पूरे प्रजनन काल में बच्चों का औसतन जन्म दर दो से थोड़ा अधिक रहे। इसके लिए संगठन ने सकल प्रजनन दर को 2.1 उचित माना है। तर्क दिया है कि इस प्रजनन दर औसतन दो बच्चे अपने माता-पिता का स्थान लेंगे, लेकिन इनमें से यदि किसी बच्चे का प्रजनन क्षमता प्राप्त करने से पहले ही निधन हो जाता है तो अतिरिक्त 0.1 जन्म दर उस कमी को संतुलित करने में सक्षम होगा। 
ऐसे में जनसंख्या स्थिरीकरण के लिये ‘दो बच्चे’ की नीति अच्छी है। वहीं बच्चों की संख्या दो से कम होने की स्थिति में एक अवधि के बाद जनसंख्या का संकुचन होने लगेगा, जिसके सामाजिक और आर्थिक परिणाम सकारात्मक नहीं होंगे। 
विहिप ने अपने सुझाव में ‘एक बच्चे’ की नीति का विरोध किया है। तर्क दिया है कि इस नीति के तहत बच्चा जब युवा होगा तो उसके पास देखभाल के लिए दो की संख्या में माता-पिता के अलावा चार दादा-दादी होंगे। विहिप का कहना है कि चीन ने वर्ष 1980 में ‘एक बच्चे’ की नीति अपनायी थी, लेकिन उन माता-पिता को इससे छूट दी थी, जो स्वयं अपने मां-बाप की इकलौती संतान थे। चीन ने तीन दशाब्दी बाद इस नीति को वापस भी ले लिया था। 
संगठन का मानना है कि उत्तर प्रदेश के संदर्भ में ‘एक बच्चे’ की नीति समाज के विभिन्न वर्गों में जनसंख्या असंतुलन की स्थिति पैदा करेगी। इस सम्बंध में संगठन का कहना है कि देश के कई राज्यों में जनसंख्या  असंतुलन की यह स्थिति वर्तमान में बरकरार है। असम और केरल में तो यह बड़ी ही भयावह स्थिति में है। 
विहिप ने अपने सुझाव प्रपत्र में लिखा है कि केरल और असम में हिन्दुओं की सकल जन्म दर 2.1 से कम है लेकिन मुस्लिमों की असम में सकल जन्म दर 3.16 और केरल में 2.33 है, जिससे दोनों राज्यों में एक समुदाय की जनसंख्या संकुचित हो रही है तो दूसरे समुदाय में बेतहासा वृद्धि की तरफ गतिमान है। 
गौरतलब है कि उप्र में जनसंख्या के स्थिरीकरण के लिये योगी सरकार ने विश्व जनसंख्या दिवस के मौके पर 11 जुलाई को नई जनसंख्या नीति जारी की। इससे एक दिन पहले राज्य विधि आयोग ने उत्तर प्रदेश जनसंख्या (नियंत्रण, स्थिरीकरण व कल्याण) विधेयक-2021 का ड्राफ्ट तैयार कर उसे अपनी वेबसाइट पर अपलोड कर दिया। आयोग ने इस विधेयक के ड्राफ्ट पर 19 जुलाई तक लोगों का सुझाव भी मांगा है। इसी क्रम में विहिप ने आज अपना सुझाव राज्य विधि आयोग के पास भेजा है। 

पेट्रोल की कीमतों में 28 पैसे प्रति लीटर की बढ़ोतरी

अकांशु उपाध्याय                 
नई दिल्ली। लगभग तीन महीनों बाद सोमवार को डीजल की कीमतों में मामूली कटौती देखने को मिली। जबकि पेट्रोल की कीमतों में इजाफा लगातार जारी रहा। सरकारी तेल कंपनियों ने सोमवार को पेट्रोल की कीमतों में 28 पैसे प्रति लीटर की भारी बढ़ोतरी की तो वहीं डीजल की कीमत में प्रति लीटर पर 16 पैसे की कटौती की। 
कंपनियों ने बीते शनिवार को भी पेट्रोल के दाम में 35 पैसे की बढ़ोतरी की थी। साथ ही डीजल की कीमत में भी हर लीटर पर 26 पैसे इजाफा किया गया था। 
अंतरराष्ट्रीय बाजार में देखें तो इन दिनों पेट्रोलियम ईंधन की मांग अब तक के उच्च स्तर पर है। इसीलिए कच्चे तेल का बाजार एक बार फिर से तेजी पर है। दिल्ली में सोमवार को  पेट्रोल 101.19 रुपये प्रति लीटर पर चला गया, जबकि डीजल 89.88 रुपये प्रति लीटर से घट कर 89.72 रुपये प्रति लीटर पर आ गया। तीन महीने के बाद डीजल के दामों में राहत 
सोमवार,  करीब तीन महीने बाद इसकी कीमतों में 16 पैसे प्रति लीटर की कटौती हुई है।  पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव के लिए अधिसूचना जारी होने के बाद सरकारी तेल कंपनियों ने 27 फरवरी 2021 को डीजल के दाम में 17 पैसे प्रति लीटर की बढ़ोतरी की। फिर दो महीने से भी ज्यादा समय तक इसके दाम में कोई बढ़ोतरी नहीं हुई। हालांकि, बीच में 15 अप्रैल को डीजल के दाम में 14 पैसे की मामूली कटौती हुई थी। लेकिन चुनाव खत्म होने के बाद से बीती 4 मई से डीजल के दामों में रुक-रुक कर बढ़ोतरी जारी रही। इस समय कच्चा तेल 75 डॉलर के करीब बना हुआ है। बीते शुक्रवार को कारोबार की समाप्ति पर ब्रेंट क्रूड 75.55 डॉलर प्रति बैरल पर था जो कि पिछले दिन के मुकाबले 1.43 डॉलर ज्यादा है। 
इसी तरह वहां यूएस वेस्ट टैक्सास इंटरमीडियएट या डब्ल्यूटीआई क्रूड भी 1.62 डॉलर चढ़ कर 74.56 डॉलर प्रति बैरल पर बंद हुआ था।

'मतदाता जागरूकता' अभियान रैली का आयोजन

'मतदाता जागरूकता' अभियान रैली का आयोजन   मतदान के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए स्कूली बच्चों ने निकाला रैली कौशाम्बी। एन डी कान...