गुरुवार, 23 जनवरी 2020

644 उग्रवादियों ने किया आत्मसमर्पण

गोहाटी। असम में आठ प्रतिबंधित संगठनों के 644 उग्रवादियों ने 177 हथियारों के साथ गुरुवार को आत्मसमर्पण किया। पुलिस ने बताया कि उल्फा (आई), एनडीएफबी, आरएनएलएफ, केएलओ, भाकपा (माओवादी), एनएसएलए, एडीएफ और एनएलएफबी के सदस्यों ने एक कार्यक्रम में असम के मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल की मौजूदगी में आत्मसमर्पण किया। पुलिस महानिदेशक ज्योति महंता ने पत्रकारों से कहा कि राज्य के लिए और असम पुलिस के लिए यह एक महत्वपूर्ण दिन है। आठ उग्रवादी समूहों के कुल 644 कार्यकर्ताओं और नेताओं ने आत्मसमर्पण किया है।


हिलेरी पर तुलसी के मानहानि का मामला

वाशिंगटन। अमेरिकी कांग्रेस में पहली हिंदू सांसद एवं देश के राष्ट्रपति पद के चुनाव में डेमोक्रेटिक उम्मीदवार बनने की दावेदार तुलसी गबार्ड ने अमेरिका की पूर्व विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन के खिलाफ मानहानि का मामला दर्ज कराया है। उन्होंने हिलेरी से 350 करोड़ रुपये (पांच करोड़ डॉलर) की क्षतिपूर्ति की मांग की है। गबार्ड ने आरोप लगाया है कि हिलेरी ने उन्हें 2020 में व्हाइट हाउस की दौड़ में रूसी पूंजी और रूसियों की पसंदीदा बताकर उनकी प्रतिष्ठा को ठेस पहुंचाई है। सदर्न डिस्ट्रिक्ट ऑफ न्यूयॉर्क में बुधवार को मामला दर्ज कराया गया। 38 वर्षीय गबार्ड ने कहा कि हिलेरी का मुझे रूसी पूंजी कहने का मकसद केवल मेरी प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाना और राष्ट्रपति चुनाव के लिए मेरी प्रचार मुहिम को पटरी से उतारना ही नहीं है, बल्कि इसका इरादा यथा स्थिति के खिलाफ बोलने की हिम्मत करने वाली हर आवाज को चुप कराना है। 72 वर्षीय क्लिंटन ने पिछले साल अक्टूबर में एक साक्षात्कार में कहा था कि रिपब्लिकन पार्टी राष्ट्रपति पद के चुनाव में डेमोक्रेटिक उम्मीदवार के एक दावेदार को तीसरी पार्टी के उम्मीदवार के तौर पर तैयार कर रही है। हालांकि उन्होंने गबार्ड का नाम नहीं लिया था लेकिन ऐसा माना जा रहा है कि हिलेरी ने उन्हें ही निशाना बनाकर यह बयान दिया था।


बीएसपी संग गिरफ्तार आतंकी का खुलासा

श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर के निलंबित डीएसपी के दविंदर सिंह के साथ गिरफ्तार किए गए हिजबुल मुजाहिद्दिन के आतंकवादी को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है। सुरक्षा एजेंसियों के अनुसार, डीएसपी (निलंबित) दविंदर सिंह के साथ पकड़ा गया हिजबुल का आंतकी पुलवामा में विस्फोटक पहुंचाने की फिराक में था, जिसके जरिए उसके ग्रुप ने 26 जनवरी को होने वाले गणतंत्र दिवस समारोह से पहले एक बड़े आतंकी हमले को अंजाम देने की योजना बनाई थी। यह जानकारी पिछले सप्ताह सुरक्षा एजेंसियों द्वारा साझा किए गए इनपुट के आधार पर रक्षा खुफिया एजेंसी (डीआईए) ने दी है। बता दें कि 11 जनवरी को डीएसपी दविंदर सिंह और अन्य दो के साथ यात्रा के दौरान आतंकी संगठन हिजबुल मुजाहिद्दिन का चीफ नवीद बाबू गिरफ्तार किया गया था। नवीद साउथ एंड सेंट्रल कश्मीर में हिजबुल मुजाहिद्दिन के ऑपरेशन की कमान संभालता था। इनपुट के मुताबिक, आतंकी नवीद बाबू हिजबुल मुजाहिद्दिन से जुड़े अपने साथियों तक विस्फोटक पहुंचाने वाला था। हिजबुल के ये आतंकी जडूरा में आतंकी हमला करने की फिराक में थे और पुलवामा के पास नीवा-पखेरपोरा सड़क पर आईईडी बिछाने की योजना थी। नवीद बाबू को आतंकियों की भर्ती करने वाला मास्टर बताया जा रहा है, और वह आईईडी का एक्सपर्ट है। बता दें कि पिछले साल सीआरपीएफ के काफिले पर कार बम से हमला किया गया था, जिसमें करीब 40 जवान शहीद हो गए थे। इसके बाद भारत ने पाकिस्तान में स्थित आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया था और एयर स्ट्राइक किया था। दरअसल, आतंकी रियाज़ निकू के बाद बाबू हिजबुल का दूसरा इन-कमांड है। उस पर पिछले साल असैन्य हत्याओं में शामिल होने और पुलिस अधिकारियों और सुरक्षा बलों से हथियार छीनने का भी आरोप है। चार आरोपियों दविंदर सिंह, हिज्बुल मुजाहिद्दीन के कमांडर नवीद मुश्ताक उर्फ नवीद बाबू, उसके साथियों आसिफ और इरफान मीर को ट्रांजिट रिमांड पर जम्मू लाई है। इन सबको गुरुवार को अदालत में पेश किया जाएगा। चारों को जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर काजीगुंड के निकट 18 जनवरी को गिरफ्तार किया गया था। इससे पहले राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) जो घाटी में आंतकी बाबू और अन्य आतंकवादी ऑपरेटरों के साथ दविंदर सिंह के संबंधों की जांच कर रही है, ने बुधवार को सिंह के श्रीनगर स्थित आवास पर छापा मारा। उससे बरामद दस्तावेजों की छानबीन हो रही है। गौरतलब है कि जम्मू-कश्मीर पुलिसक ने बीते गुरुवार को दविंदर सिंह को राष्ट्रीय राजमार्ग पर मीर बाजार में अन्य तीन के साथ गिरफ्तार किया था। इसके बाद दविंदर सिंह को सोमवार को निलंबित कर दिया गया। उस पर आरोप है कि उसने तीन आतंकवादियों को बादामी बाग छावनी इलाके में सेना की 16वीं कोर के मुख्यालय के पास अपने आवास पर आश्रय दिया था और आतंकियों को भगाने की फिराक में था। देवेंद्र सिंह के साथ ही उन आतंकवादियों को गिरफ्तार किया गया है।


शैनन के. दिपिका के लिए गाएगी गाना

बॉलीवुड के मशहूर पार्श्वगायक कुमार सानू ने नब्बे और 2000 के दशक में कई सुपरहिट गाने दिए हैं। कुमार सानू ने बॉलीवुड के कई नामचीन अभिनेताओं के लिए गाने गाए हैं, जिनमें मेगास्टार अमिताभ बच्चन से लेकर बॉलीवुड के तीनों खान और अक्षय कुमार, अजय देवगन, संजय दत्त, अनिल कपूर और गोविंदा जैसे कई कलाकार शामिल हैं।
अब कुमार सानू की बेटी शैनन के. एक गायिका के तौर पर अपनी पहचान बनाने में जुटी हुई हैं और उनका कहना है कि वह बॉलीवुड अभिनेत्री दीपिका पादुकोण के लिए गाना चाहती हैं।
शैनन ने कहा, मैं एक अभिनेत्री की आवाज बनना पसंद करूंगी, खासकर दीपिका पादुकोण, वह मेरी पसंदीदा अभिनेत्री हैं।
लॉस एंजेलिस में रह रहीं शैनन ने अपने संगीत के सफर की शुरुआत अंग्रेजी गानों के साथ की। उन्होंने कहा, मैं भारत में पली-बढ़ी नहीं हूं, तो तकनीकी रूप से अंग्रेजी मेरी पहली भाषा रही है और इसलिए मैंने अंग्रेजी में गाना शुरू किया। हिंदी में गाना गाने में सक्षम होने के लिए मेरे पिता ने मुझे थोड़ी-बहुत उर्दू सीखने की सलाह दी है, ताकि मैं शब्दों का उच्चारण बेहतर ढंग से कर पाऊं, नहीं तो मेरे भारतीय श्रोताओं को मेरे हिंदी लफ्जों को समझने में कठिनाई होगी।
शैनन ने सोनू निगम जैसे भारतीय कलाकारों के साथ गैर-फिल्मी गाने रिकॉर्ड किए हैं और इसके साथ ही हिमेश रेशमिया की आगामी फिल्म हैप्पी हार्डी एंड हीर के लिए भी उन्होंने रिकॉर्डिग की है।
इस बारे में शैनन ने कहा, मुझे जब मौका मिलेगा मैं हिंदी गाने गाना पसंद करूंगी। मुझे बॉलीवुड बहुत पसंद है, मुझे यहां की फिल्मों ने आकर्षित किया है। खर जब तक मौका मिलता है तब तक मैं अपने हिंदी उच्चारण पर काम करूंगी।


खाली पेट कसरत करती हैं हानि

खाली पेट एक्सर्साइज या वर्कआउट करना हेल्दी नहीं माना जाता। हालांकि इसे लेकर कई स्टडी आईं। किसी में कहा गया कि खाली पेट एक्सर्साइज हेल्दी है तो किसी में इसके नुकसान गिनाए गए। अब अगर खाकर एक्सर्साइज करना जरूरी माना जाता है, तो फिर यह जरूर पता होना चाहिए कि एक्सर्साइज या वर्कआउट से पहले क्या खाएं और क्या नहीं। कुछ चीजें ऐसी हैं जिन्हें वर्कआउट से पहले बिल्कुल भी नहीं खाना चाहिए। यहां ऐसी ही चीजों के बारे में बताया जा रहा है।
ऐवकाडोः ऐवकाडो सेहत के लिहाज से अच्छे माने जाते हैं। लेकिन वर्कआउट से पहले खाना थोड़ा नुकसान पहुंचा सकता है। दरअसल ऐवकाडो में फैट और फाइबर की अधिक मात्रा होती है। इस वजह से ऐवकाडो को पचने में काफी वक्त लगता है। इसे खाकर एक्सर्साइज करने से पेट में ऐंठन और दर्द हो सकता है।
नमक वाली चीजेंः एक्सर्साइज करने से पहले नमक वाली चीजें न खाने की सलाह दी जाती है क्योंकि इनसे डिहाईड्रेशन हो सकता है, जो बाद में सिरदर्द और पेट में ऐंठन का कारण बन सकता है। अगर फिर भी नमक वाली कोई चीज खाई है साथ में पहले ही 2-3 गिलास पानी पी लें। 
रिफाइन्ड शुगर और स्वीट बेवेरजः रिफाइन्ड शुगर और स्वीट बेवरेज भी वर्कआउट से पहले नहीं लेने चाहिए। इनकी वजह से शरीर में आलस आने लगता है और थकान महसूस होती है। ऐसी स्थिति में वर्कआउट या कुछ भी काम करना बहुत ही मुश्किल हो जाता है।
स्पाइसी और तला-भुनाःवर्कआउट करने से पहले स्पाइसी और तला-भुना खाने से भी बचना चाहिए। इन चीजों की वजह से सीने में जलन के साथ-साथ दर्द भी हो सकता है, जो आपके वर्कआउट को और भी मुश्किल बना सकता है। इसके अलावा क्रीम या चीज़ वाले प्रॉडक्ट्स भी खाने से बचें क्योंकि ये पचने में काफी लंबा वक्त लेते हैं और आपके वर्कआउट प्लान को खराब कर सकते हैं। 
बीन्स और ब्रोकलीः बीन्स, ब्रोकली और दूध के उत्पाद का सेवन भी एक्सर्साइज करने से पहले नहीं करना चाहिए, नहीं तो पेट में गैस हो सकती है। भले ही ये चीजें हेल्दी हैं, लेकिन इन्हें बेली ब्लॉटिंग फूड्स की कैटिगरी में शामिल किया जाता है। इसीलिए वर्कआउट से पहले इन्हें न खाएं।


चेहरे का लुक बिगाड़ते दाग-धब्बे

भले ही आपका रंग गोरा हो लेकिन चेहरे पर दाग-धब्बे आपका पूरा लुक बिगाड़ सकते हैं। खासतौर पर पिंपल्स और ऐक्ने के निशान के निशान लंबे वक्त तक नहीं जाते और आपका कॉन्फिडेंस लूज कर सकते हैं। 


त्वचा पर ऑइल इकठ्ठ होना या गंदगी पिंपल्स की सबसे बड़ी वजह है। इसके लिए स्किन की सफाई और हेल्दी डायट लेना जरूरी है। कई बार हॉर्मोनल चेंजज की वजह से भी यह समस्या हो जाती है। इन सब चीजों के लिए आपको डर्मेटॉलजिस्ट से मिल लेना चाहिए। वहीं अगर पिंपल्स के बाद चेहरे से निशान न जा रहे हों तो कुछ आसान तरीके अपना सकती हैं। 
नारियल तेलः नारियल तेल बालों के साथ स्किन के लिए भी काफी अच्छा होता है। इसमें ऐंटी-बैक्टीरियल तत्व होते हैं जो कि स्किन की हेल्थ के लिए अच्छे होते हैं। इसमें मौजूद ऐंटी-ऑक्सिडेंट्स पुरानी स्किन सेल्स तेजी से रिप्लेस करते हैं, जिससे दाग-धब्बे कम हो जाते हैं।


नारियल तेल अगर चेहरे पर लगाना है तो इसको असर दिखाने के लिए रातभर लगाकर छोड़ देना चाहिए। सुबह स्किन को धो लें। बेहतर रिजल्ट के लिए इसे हर रोज आजमाना चाहिए। आप चाहें तो नारियल तेल में नींबू की कुछ बूंदे भी मिला सकते हैं यह अच्छा ब्लीचिंग एजेंट होता है जो दाग-धब्बे कम करने में मदद करता है।


आचरण और गुणो का निर्माता चरित्र

मनुष्य के भीतर अनेक शक्तियाँ निहित है, उन सभी में सबसे सर्वोत्तम स्थान चरित्र का है | मनुष्य जिनसे अपने अन्दर अच्छे आचरण और गुणों का विकास करता है वह शक्ति चरित्र ही है | इसलिए चरित्र के सम्बन्ध में किसी ने यह उल्लेखनीय बात कही है कि, जिनके चरित्र से शील का आलोक प्रकट होता है, उनके लिए अग्नि शीतल हो जाती है, समुद्र नाली के समान हो जाता है, सुमेरु एक शिला तुल्य हो जाता है, सिंह मृग के सदृश्य हो जाता है, सर्प माला जैसा बन जाता है तथा विष अमृत के रूप में परिणित हो जाता है |


सद्चरित्रता के गुण अच्छे विचार, सद्भाव, उत्तम गुण, सद्प्रकृति, सदाचार व सुंदर विचार चरित्र के निर्माण में सहायक होते है | चरित्र के इन गुणों का बनना जन्म से ही प्रारम्भ होता है और जिसकी पहचान मनुष्य के आचार – विचार, रहन – सहन आदि से ही होता है | यह हमारे व्यवहार और कार्यों में झलकता है |


मनुष्य को जीवन जीने की कला सद्चरित्रता ही सिखाती है | अच्छा आचरण तथा चरित्र किसी व्यक्ति के व्यक्तित्व के लिए अत्यंत आवश्यक होते है | ये चरित्र ही है जो नि:स्वार्थ भाव, इमानदारी, धारणा, साहस, वफादारी और आदर जैसे गुणों के मिलेजुले रूप में व्यक्ति में दिखते है | चरित्रवान व्यक्ति में आत्मबल के साथ – साथ उच्चकोटि का धैर्य एवं विवेक निश्चित रूप से होता ही है |


मनुष्य के व्यक्तित्व की सबसे मजबूत पूंजी चरित्र ही हैं जिस को निरन्तर बनाये रहने पर अपना और अपने देश की भलाई है | यह तो एक ऐसा हीरा है जो हर एक पत्थर को घिस सकता है और यह भी सच है कि चरित्र स्वयं हीरा है जो कठिन परिस्थितियों में घिस – घिस कर चमकता है | चरित्र से बड़ी कोई शक्ति नहीं होती है क्योंकि सत्य, अहिंसा, सदाचार आदि नैतिक मूल्यों से चरित्र का निर्माण होता है | चरित्र मानव की वास्तविक शक्ति है |


चरित्र का उत्थान ही नैतिक मूल्यों की मजुषा एवं चारित्रिक उत्थान का मार्ग है | हमारे जीवन में चरित्र का क्या महत्व है इसको बताने के लिए पूर्व राष्ट्रपति शंकर दयाल शर्मा का यह महत्वपूर्ण कथन स्मरणीय है – “किसी शिक्षित चरित्रहीन व्यक्ति की अपेक्षा एक अशिक्षित चरित्रवान व्यक्ति समाज के लिए अधिक उपयोगी होता है |”


तात्पर्य यह है कि जीवन के समस्त गुणों, ऐश्वर्यों, समृद्धियों और वैभवों की आधारशिला सदाचार है | सच्चरित्रता है | वैदिक मंत्रों में हमारे ऋषियों ने इसीलिए भगवान से प्रार्थना की है कि – “असतो मा सद् गमय, तमसो मा ज्योतिर्गमय, मृत्योर्मा अमृत गमय |”


अर्थात हे ईश्वर मुझें असत्य से सत्य की ओर ले चलो, अंधकार से मुझें प्रकाश की ओर ले चलों | असत्य और अंधकार इनका सम्बन्ध मनुष्य की चरित्रहीनता अर्थात असत्य मार्ग से ही है | सच्चरित्र अपने शुभ कर्मों से इसी भूमि पर स्वर्ग का निर्माण करता है |


सद्चरित्र व्यक्ति में कुछ विशेषता होती हैं | वह हमेशा सद्ज्ञान एवं सत्संगति की ओर उन्मुख होता है | यह आवश्यक नहीं कि जो लोग शिक्षित नहीं हैं वे सदाचारी नहीं होंगे | यदि इस बात को सत्य मान लें तो कबीर के विषय में क्या कहेंगे, जिन्हें अक्षर ज्ञान ही नहीं था किन्तु उनके जैसा ज्ञानी और सद्चरित्र व्यक्ति कहा मिलेगा | हाँ, यह जरुर है कि साधारण लोगों के लिए शिक्षा सदाचार का मार्ग है |


शिक्षा से मनुष्य की बुद्धि के गवाक्ष खुलते हैं | और उन गवाक्षों से ज्ञान के प्रकाश की किरणें अन्दर प्रवेश करती हैं | जो सद्शिक्षा प्राप्त करते हैं वही सदाचारी होते होते हैं | पुस्तकों के अध्ययन मात्र से कोई सदाचारी नहीं बनता है | सदाचारी बनने के लिए उसे आत्मज्ञान की, आत्मचिंतन एवं निस्वार्थ भाव की, विवेक की आवश्यकता पड़ती है | अहंकारी व्यक्ति ढेर सारी पुस्तकें पढ़कर भी सदाचारी नहीं बन सकता और जैसे कि पहले कहा गया है कि निरक्षर व्यक्ति भी महान चरित्रवाला एवं महाज्ञानी हो सकता है लेकिन सच्चरित्र बनने के लिए साधारणतया मनुष्य को सुशिक्षा, सत्संगति तथा स्वानुभव की जरुरत होती है एक स्थान पर यह कहा गया है – “संसर्गजा: दोषगुणा भवन्ति |” अर्थात दोष और गुण संसर्ग से उत्पन्न होते हैं |


अत: सच्चरित्र बनने के लिए शिक्षा से अधिक आवश्यकता अच्छी संगति की है | सत्संगति नीच से नीच मनुष्य को उत्तम बना देती है | गोस्वामी जी के अनुसार –


“ सठ सुधरहिं सत्संगति पाई |
पारस परस कुधातु सुहाई |”


पारस पत्थर का स्पर्श करते ही लोहा भी सोना बन जाता है | इसी प्रकार दुष्ट मनुष्य भी सत्संगति पाकर सुधर जाते हैं | ठीक इसी तरह एक साधारण कीड़ा भी फूलों की संगति से बड़े – बड़े देवताओं और महापुरुषों के मस्तक पर चढ़ जाता है |


चरित्र के सम्बन्ध में अंग्रेज़ी की एक प्रचलित कहावत भी है कि “अगर मनुष्य का धन नष्ट हो गया, तो उसका कुछ भी नष्ट नहीं है और यदि उसका चरित्र नष्ट हो गया, तो उसका सबकुछ नष्ट हो गया |” चरित्र धन ही सबसे बड़ा धन है | यह धन शुद्दाचरण से ही मनुष्य को प्राप्त होता है, अच्छी संतान भी प्राप्त होती है और वह दीर्घजीवी होता है | चरित्र एक बढ़िया भाग्य निर्माण कर्ता भी है | एक श्लोक में कहा गया है –


“आचाराल्लभते आयु: आचारदीप्सिता प्रजा: |
आचाराल्लभते ख्याति, आचाराल्लभते धनम ||”


आदर्श महापुरुष श्रीराम की सच्चरित्रता आज किससे छिपी है ? भारत के लाखों नर – नारी आज भी उनके पवित्र चरित्र से अपने जीवन को उज्जवल बनाते हैं | महात्मा गांधी भी अपने चरित्र के कारण ही एक साधारण व्यक्तित्व से उठकर आज के युग के महापुरुष माने जाते हैं |


चरित्र का मनुष्य जीवन में बड़ा महत्व है | सच्चरित्रता से मनुष्य को अनेक लाभ होते हैं क्योंकि सच्चरित्रता किसी खास गुण का बोधक शब्द नहीं है | अनेक गुण सत्य, उदारता, विनम्रता, सुशीलता, सहानुभूतिपरता, विशिष्टता आदि जिस मनुष्य में होते है वह मनुष्य सच्चरित्र कहलाता है | उस मनुष्य की समाज में प्रतिष्ठा होती है और उसे आदर और सम्मान दिया जाता है | इस लोक में कीर्ति का पात्र बनता हुआ अन्त में स्वर्ग को प्राप्त करता है | सच्चरित्रता से मनुष्य अपनी आत्मा का संस्कार कर लेता है |


सच्चरित्रता से मनुष्य सुख और संतोष प्राप्त करता है तथा शांतिमय जीवन व्यतीत करता है लोग उसके आदर्श चरित्र पर चलकर अपना भविष्य बनाते हैं |


प्रत्येक मनुष्य का कर्तव्य होता है कि वह चरित्रवान बनें | चरित्र से ही मनुष्य समाज में इज्जत पाता है | अपनी आत्मा का कल्याण करता हुआ देश और समाज का भी भलाई करता है | सुख और समृद्धि का सोपान सच्चरित्रता है | सच्चरित्रता के अभाव में आज देश के समक्ष अनेक भयानक समस्याएं हैं | सबसे बड़ी और महत्वपूर्ण समस्या है, अपनी स्वतंत्रता की रक्षा | जो देशवासी भ्रष्ट चरित्र है वे नि:संदेह देश की रक्षा या देश का अभ्युत्थान नहीं कर सकते |


आचार्य हजारी प्रसाद द्विवेदी ने लिखा है –


“चरित्रबल हमारी प्रधान समस्या है | हमारे महान नेता महात्मा गाँधी ने कूटनीति चातुर्य को बड़ा नहीं समझा, बुद्धि विकास को बड़ा नहीं माना, चरित्रबल को ही महत्व दिया है | आज हमें सबसे अधिक इसी बात को सोचना है | यह चरित्र-बल भी केवल एक ही व्यक्ति का नहीं, समूचे देश का होना चाहिए |”


रूस में एक कहावत है – “हथौड़े की चोट शीशे को तोड़ देती है, लेकिन लोहे को फौलाद बनाती है |” इस बात में बहुत सच्चाई है | क्या हम शीशे के बने हैं या लोहे के ? हथौड़ा तो वही है | जिस प्रकार स्टील की क्वालिटी कार्बन से पहचानी जाती है, उसी प्रकार आदमी की क्वालिटी उसके चरित्र से पहचानी जाती है | सद्चरित्र व्यक्ति जब तक जीता है सर उठाकर जीता है, उसकी सद्चरित्रता ही उसकी सबसे बड़ी ताकत होती है | सबके लिए होता है अच्छे चरित्र का महत्व होता है |


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हैदराबाद ने जीता टॉस, बल्लेबाजी का फैसला किया  इकबाल अंसारी  हैदराबाद। इंड‍ियन प्रीम‍ियर लीग (IPL) 2024 सीजन में सनराइजर्स हैदराबाद (SRH) और...