गुरुवार, 9 जुलाई 2020

रेपिस्ट बुद्धा फाउंडेशन अध्यक्ष गिरफ्तार

रायपुर। राजधानी के नया रायपुर स्थित लार्ड बुद्धा फाउंडेशन के चेयरमेन हिमाद्रि बरुवा को रेप के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। हिमाद्रि पर उसी के फाउंडेशन में काम करने वाली एक महिला ने दुष्कर्म का आरोप लगाया है। इसकी शिकायत बीती रात महिला ने राखी थाना में की थी। जिसके बाद आरोपी की गिरफ्तारी हुई है |


राखी थाना पुलिस के मुताबिक लार्ड बुद्धा फाउंडेशन में काम कर रही एक महिला ने फाउंडेशन के चैयरमैन हिमाद्रि बरुवा पर दुष्कर्म करने का आरोप लगाया है। महिला का आरोप है कि वो पिछले 8 महीने से अपने झांसे में लेकर दुष्कर्म कर रहा था। बीती रात हिमाद्रि बरुवा के खिलाफ महिला राखी थाने में शिकायत दर्ज कराई थी।


ना मुआवजा ना मकान, सब सुनसान

शशांक तिवारी की रिपोर्ट


लखनऊ। अवध विहार योजना लखनऊ के ग्राम सेवई में रेलवे आर.ओ.वी.व लाइन के समानान्तर 18 मीटर चौड़ी रोड बनाई जा रही है। जिसमें सेवई गांव के लोगों का कहना है कि दिनांक 23/05/2020 को अभिशासी अभियंता कार्यालय से नोटिस दिया गया था। जिसमें कहा गया था। कि खसरा संख्या- 276 ग्राम सेवई में निर्माण संख्या-189 को तोड़ने से पूर्व उसकी लागत व उतनी ही भूमि दूसरी जगह परिषद की सड़क पर योजना में समायोजित करने का अनुरोध किया गया था एवं निर्माण संख्या-189 योजना के सेवई रेलवे समपार पर निर्माणधीन आर.ओ.बी.के मध्य आ रहा है। उक्त निर्माण को योजना में अन्यंत्र समायोजित किये जाने की बात कही गयी थी। 1 जून तक इस नोटिस में लिखे बातों का इंतजार किया गया पर न मुआवजा मिला न मकान इसके बाद न मुआवजा मिला न मकान इसके बाद 2 जून को ग्रामीणों ने अधिशासी अभियंता आवास कार्यालय में प्रार्थना पत्र देते हुए जो नोटिस में कहा गया था। उसकी याद दिलाते हुए मुआवजा व मकान के लिए प्रार्थना पत्र दिया उसके बाद वहां पर उत्तर प्रदेश आवास एवं विकास परिषद जेई मोहम्मद खुर्शीद एवं ओपी पांडेय एई मौके पर पुलिस बल के साथ पंहुचे और अपनी मनमानी से लोगो के घरों और दुकानों पर बुल्डोजर चलवाने लगे और जब लोगो ने विरोध किया तो धमकाने लगे पर उन्होंने एक न सुनी और उनके मकानों को ध्वस्त करा दिया। यहां पर बने 30 बर्ष पुराने मकानों को तोड़ दिए गए। गरीब बेसहारे लोग करते भी क्या क्योंकि न तो वो अधिकारियों से कुछ कह सकते न पुलिस फोर्स से । देश में कोरोना वायरस जैसी गंभीर बीमारी फैली हुई जिसको देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा भी था कि इस लॉक डाउन में किसी भी पीडित परिवारों के खिलाफ कोई करवाई नही की जाएगी उसके बावजूद भी इन अधिकारियों को मुख्यमंत्री के आदेशों को पालन करने से कोई मतलब नही मतलब है तो अपनी मनमानी से ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि अब आप ही एक सहारा है हमें मुआवजा दिलाया जाए जो कि नोटिस में दिया गया था। अन्यथा हम गरीब बेसहारा लोग आत्महत्या कर लेंगे। इस मौके पर बिंदेश्वरी, बंशी, मुन्ना, सुखदीन, मिसी लाल, सोहनलाल, रामरानी, कलावती, श्रीराम, शिवराम, पवन, सवोहन,सरबेश, सनी, करिश्मा,काजोल आदि ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से इसमें उचित कार्यवाही करने का आवाहन किया है।             


नाबालिग से गैंगरेप में तीन गिरफ्तार

ईसम सिंह की रिपोर्ट



यमुनानगर । यमुनानगर पुलिस ने बुधवार को जिले के यमुनानगर सदर पुलिस थाने के तहत 14 वर्षीय एक लड़की के साथ  सामूहिक बलात्कार करने वाले दो आरोपियों सहित तीन युवकों को राउंड-अप किया है। आरोपियों की पहचान यमुनानगर के शाहरुख और रिजवान के रूप में की गई है, जिन्हें गुरुवार को अदालत में पेश किया जाएगा।


घटना यमुनानगर सदर इलाके की एक कॉलोनी में हुई, जहां लड़की का परिवार आरोपी मकान मालिक रिजवान की संपत्ति पर किराएदार के रूप में रह रहा था। लड़की की मां की शिकायत पर, आरोपी शाहरुख और रिजवान के खिलाफ यौन अपराधों से बालकों के संरक्षण  अधिनियम और 376-डी ए  की धारा 6 के तहत मामला दर्ज किया गया। शिकायतकर्ता महिला ने पुलिस को बताया, ”मैं और मेरे पति एक प्लाईवुड फैक्ट्री में काम करते हैं और हम एक किराए के घर पर रहते हैं जो यमुनानगर की एक कॉलोनी में रिजवान का है। सोमवार को, हमारी 14 वर्षीय बेटी घर पर अकेली थी जब दोपहर के लगभग 2 बजे, हमारे मकान मालिक रिजवान और शाहरुख ने हमारे घर में घुसकर बलात्कार किया। लगभग 8 बजे, जब हम काम से घर लौटे, तो लड़की चुपचाप बैठी थी, और जब मैंने पूछताछ की तो उसने पूरे नतीजे का खुलासा किया।”


यमुनानगर महिला पुलिस एसएचओ सब-इंस्पेक्टर कुसुम बाला ने कहा कि आरोपी शाहरुख, रिजवान, मुस्तकीन को बुधवार को राउंड अप किया गया है । गिरफ्तार करने की कागजी कार्रवाई पूरी कर रहे हैं। उन्हें गुरुवार को जिला अदालत में पेश किया जाएगा। उन्होंने कहा कि मजिस्ट्रेट के समक्ष सीआरपीसी की धारा 164 (बयानों और बयानों की रिकॉर्डिंग) के तहत लड़की के बयान दर्ज किए गए हैं और आगे की जांच की जा रही है।              



हादसाः चांदनी एवं 15 बकरियों की मौत

सतपुली। रास्ट्रीय राजमार्ग 534 कोटद्वार पौडी के जगह जगह पर खड्डे होने से खस्ताहाल सड़क कारण में सतपुली के निकट चन्द्री बैन्ड पर सुबह 8.30 हरियाणा से आ रहा बकरियो से भरा ट्रक अचानक अनियंत्रित होकर दुर्घटनाग्रस्त हो गया जिसमें 15 बकरियो की मौत हो गयी ।


थानाध्यक्ष त्रिभुवन रौतेला ने बताया कि हरियाणा से आ रहा UP81BT 7566 ट्रक विकास मोहल्ला चन्द्रीबैन्ड के पास अनियंत्रित होकर सड़क मे ही पलट गया l जिसमे 130 बकरियों को हरियाणा हिसार से पौड़ी,पाबौ व चौबट्टाखाल ले जाया जा रहा था l ट्रक के पलटने से 15बकरियाँ की मौके पर ही मौत हो गई । ट्रक चालक मो सलीम पुत्र इमामी, निवासी बुलन्दशहर, हेल्पर संजय ओर बकरी मालिक लाल प्रभु को मामूली चोटे आयी है । दुर्घटना की सुचना मिलते ही थाना सतपुली पुलिस मौके पर पहुँची और पलटे हुए ट्रक को सीधा कर अपने गंतव्य के लिए भेज दिया ।              


5 बच्चों के डूबने से माहौल गमगीन

मोतिहारी। अंतर्गत चकिया थाना क्षेत्र से एक दुखद खबर आ रही है। यहां के फुलवरिया गांव में दाह संस्कार में गए 5 बच्चों की डूबने से मौत हो गई है। सभी के शव बरामद कर लिए गए हैं। बताया जा रहा है कि ये बच्चे बुधवार की शाम एक दाह संस्कार में शामिल होने वहां गए थे। स्नान करने के दौरान नदी की तेज धार में बह गए।मौके पर पहुंची ndrf की team भी इसमें मदद कर रही है। जैसे ही इसकी सूचना मिली, स्वजनों के चित्कार से पूरा गांव गमगीन हो गया। सबका का रो-रोकर बुरा हाल।डूबने वाले बच्चों में रामनाथ प्रसाद के पुत्र दीपक कुमार(18), शिवनाथ प्रसाद के पुत्र विशाल कुमार(12), विनोद भगत के पुत्र गोलू कुमार(13), रूपलाल ठाकुर के पुत्र रवि कुमार(13) एवं शम्भू प्रसाद के पुत्र आशिक कुमार(10) शामिल हैं। बताया जाता है कि नगर पंचायत क्षेत्र के वार्ड 2 स्थित फुलवरिया निवासी स्व योद्धा ठाकुर की पत्नी के दाह संस्कार के बाद सभी बच्चे स्नान कर रहे थे तब यह घटना हुई।              


वायरस से जुड़ा नया मामला, डॉ. हैरान

फारुख कुरेशी


नई दिल्ली। देश में पहली बार कोरोनावायरस का एक नया रूप सामने आया है। देश के सबसे बड़े अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) दिल्ली में भर्ती एक मरीज चार बार निगेटिव होने के बाद भी उसके शरीर में कोरोनावायरस के खिलाफ स्वास्थ्य मिला है। यह किसी व्यक्ति के शरीर में तब बन सकता है, जब वह कोरोनावायरस से आशंकित हो। लगभग पाँच से सात दिन के बनने में समय लगता है। यही कारण है कि रोगी के शरीर में संक्रमण के खिलाफ लड़ने का काम करता है।


दिल्ली एम्स के जीरिएटिक विभाग में एक महिला मरीज कई दिन से भर्ती थीं। 80 वर्षीय बुजुर्ग महिला को डायबिटीज, हाइपर सर्जरी के अलावा 15 दिन से कमजोरी की शिकायत थी। महिला में टी सेल्स की संख्या कम हो रही थी। डॉक्टरों ने संक्रमणपूर्ण होने के कारण 12 दिन में चार बार आरटी-पीसीआर के जरिये कोरोनावायरस की जांच की। लेकिन हैरानी की बात है कि एक भी जांच में संक्रमण की पुष्टि नहीं हो सकी। यह सभी जांच दिल्ली एम्स की एकमात्र सुविधाओं से लैस प्रयोगशाला में की गई थीं।


बार-बार रिपोर्ट निगेटिव आने और मरीज में लक्षण एक जैसे ही बरकरार रहने के कारण एक समय तक डॉ भीचेरा चला गया। हालांकि इसके बाद डॉक्टरों ने मरीज को निष्क्रिय मानते हुए ही उपचार किया और पांचवीं बार कैंसर की जांच की गई। इस जांच में मरीज के अंदर कोरोनावायरस की बीमारी पाई गई। हाल ही में यूके के वैज्ञानिकों ने जिस डेक्सामेथासोन दवा को कोविड उपचार में प्रभावी बताया था, उसे भारत में अनुमति मिलने के बाद महिला मरीज को एम्स के डॉक्टरों ने 10 दिन तक दी थी।


एम्स के डॉ। विजय गुर्जर ने बताया कि कोरोनावायरस को लेकर अब तक अलग-अलग थ्योरी सामने आ रहे हैं, लेकिन इसमें एक बात स्पष्ट हो चुकी है कि अगर किसी मरीज की रिपोर्ट निगेटिव है तो इसका मतलब यह नहीं है कि वह पॉजिटिव नहीं है। उन्होंने बताया कि 25 जून से लेकर सात जुलाई के बीच चार बार एम्स में आरटी-पीसीआर जांच की गई थी। जिसमें हर बार रिपोर्ट निगेटिव पाई गई। आरटी-पीसीआर जांच कोरोनावायरस का पता लगाने के लिए सबसे बेहतर जांच बताई जा रही है। लेकिन जब मरीज में संक्रमण का पता नहीं लगाया गया तो डॉक्टरों ने उन्हें पॉजिटिव ही मान लिया। इसी तरह की जांच में महिलाओं के मिलने से यह पुष्टि भी हो गई है कि लक्षणों के आधार पर संदिग्ध रोगी कोरोना अतिसंवेदनशीलता था।


डॉ। गुर्जर ने बताया कि वर्तमान में रोगी की सात जुलाई को रिपोर्ट निगेटिव मिलने और हालत पहले से बेहतर होने के साथ-साथ लक्षण न मिलने के कारण डिस्चार्ज कर दिया है। वह पहले से स्वस्थ हैं। ठीक इसी तरह कई लोगों में पॉजिटिव रिपोर्ट आने के बाद भी वह निगेटिव होते हैं। वायरस का कोई असर नहीं होता है।


डॉ। विजय गुर्जर का कहना है कि स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन का भी राजीव गांधी सुपर स्पेशलिटी अस्पताल में निगेटिव सैंपल आया था। अगले दिन वह पॉजिटिव मिले। वहीं दिल्ली पुलिस की शैली बंसल ने भी उपचार के दौरान दम तोड़ दिया था। उनमें कोरोनावायरस के लक्षण थे लेकिन रिपोर्ट निगेटिव था।


ऐसा ही एक मामला रोहतक निवासी जूनियर रेजीडेंट का है जिसका हाल ही में मृत्यु हुई है। उसमें वायरस के लक्षण होने के बाद भी रिपोर्ट निगेटिव आई, लेकिन इन लोगों को कोरोना राजकुमार का सम्मान नहीं मिला। जबकि हकीकत यह है कि रिपोर्ट के आधार पर कोरोना के स्वभाव होने या न होने की पुष्टि नहीं की जा सकती है, इसलिए दिशा-निर्देशों में सरकार को बदलाव करना चाहिए और उन्हें सम्मान देना चाहिए।              


24 घंटे में 24879 मामले, 487 मौतें

अकांशु उपाध्याय


नई दिल्ली। भारत में कोरोना वायरस के मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। आज पहली बार 24 घंटे में 25 हजार के करीब कोरोना के नए मामले सामने आए हैं। देश में संक्रमितों की संख्या अब पौने आठ लाख के करीब पहुंच गई है। स्वास्थ्य मंत्रालय के ताजा आंकड़ों के मुताबिक, देश में अबतक 7 लाख 67 हजार 297 लोग कोरोना से संक्रमित हो चुके हैं। इनमें से 21,129 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि चार लाख 76 हजार लोग ठीक भी हुए हैं। पिछले 24 घंटों में कोरोना वायरस के 24 हजार 879 नए मामले सामने आए और 487 मौत हुई।



कोरोना संक्रमितों की संख्या के हिसाब से भारत दुनिया का तीसरा सबसे प्रभावित देश है। अमेरिका, ब्राजील के बाद कोरोना महामारी से सबसे ज्यादा प्रभावित भारत है। लेकिन अगर प्रति 10 लाख आबादी पर संक्रमित मामलों और मृत्युदर की बात करें तो अन्य देशों की तुलना में भारत की स्थिति बहुत बेहतर है। भारत से अधिक मामले अमेरिका (3,158,726), ब्राजील (1,716,196) में हैं. देश में कोरोना मामले बढ़ने की रफ्तार भी दुनिया में तीसरे नंबर पर बनी हुई है।


आंकड़ों के मुताबिक, देश में इस वक्त 2 लाख 70 हजार कोरोना के एक्टिव केस हैं। सबसे ज्यादा एक्टिव केस महाराष्ट्र में हैं। महाराष्ट्र में 89 हजार से ज्यादा संक्रमितों का अस्पतालों में इलाज चल रहा है। इसके बाद दूसरे नंबर पर तमिलनाडु, तीसरे नंबर पर दिल्ली, चौथे नंबर पर गुजरात और पांचवे नंबर पर पश्चिम बंगाल है। इन पांच राज्यों में सबसे ज्यादा एक्टिव केस हैं। एक्टिव केस मामले में दुनिया में भारत का चौथा स्थान है। यानी कि भारत ऐसा चौथा देश है, जहां फिलहाल सबसे ज्यादा संक्रमितों का अस्पतालों में इलाज चल रहा है।


इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च के मुताबिक 8 जुलाई तक टेस्ट किए गए सैंपलों की कुल संख्या 1,07,40,832 है, जिसमें से 2,67,061 सैंपलों का कल टेस्ट किया गया है।


'मतदाता जागरूकता' अभियान रैली का आयोजन

'मतदाता जागरूकता' अभियान रैली का आयोजन   मतदान के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए स्कूली बच्चों ने निकाला रैली कौशाम्बी। एन डी कान...