अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। देश में झूठ और नफरत फैलाने वाले 7819 वेबसाइट लिंक और सोशल मीडिया खातों पर केंद्र की मोदी सरकार ने सख्त एक्शन लिया है। संसद के मानसून सत्र के दौरान लोकसभा में उठाए गए एक सवाल के जवाब में केंद्र सरकार ने पिछले तीन सालों में ब्लॉक कराए गए अकाउंट्स के बारे में सदन को अवगत कराया है।
दरअसल, कांग्रेस सांसद रवनीत सिंह ने सूचना प्रौद्यौगिकी मंत्री से सवाल किया था कि फेसबुक आदि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म समाज में हिंसा और नफरत को बढ़ावा दे रहे हैं। विगत तीन सालों में ऐसे सोशल मीडिया अकाउंट के खिलाफ क्या एक्शन लिया गया है? इलेक्ट्रॉनिकी और सूचना प्रौद्यौगिकी राज्यमंत्री संजय धोत्रे ने इस सवाल का लिखित जवाब देते हुए कहा कि इंटरनेट के बढ़ते उपयोग के साथ ही सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर हिंसा भड़काने वाली सामग्रियों की रिपोर्टिग बढ़ी है। इस वजह से इनके खिलाड़ कार्रवाई में भी तेजी आई है।
संजय धोत्रे ने कहा कि IT अधिनियम-2000 की धारा 69 (क) के फ्रेमवर्क के तहत एक प्रणाली मौजूद है। अधिनियम की धारा 69क सरकार को देश की संप्रभुता, राष्ट्र की सुरक्षा, विदेशी राष्ट्रों के साथ मैत्रीपूर्ण रिश्तों से संबंधित किसी अपराध को करने के लिए भड़काने से रोकने के लिए संबंधित सामग्री को ब्लॉक करने का अधिकार देती है।
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