सोमवार, 4 जनवरी 2021

हापुड़: दो पक्षों में निर्माण को लेकर हुआ खूनी संघर्ष

अतुल त्यागी, प्रवीण कुमार
हापुड़। मामला जनपद हके थाना धौलाना क्षेत्र के गांव पारपा का है। जहां दो पक्षों में नाली निर्माण को लेकर खूनी संघर्ष हो गया। दोनों पक्षों के लोगों में जमकर चले लाठी-डंडे और ईट पत्थर दोनों तरफ से आधा दर्जन के करीब लोग घायल सूचना मिलते ही मौके पर पुलिस पहुंची। घायलों को कराया पास के निजी अस्पताल में भर्ती वहीं थाना इंचार्ज राजपाल सिंह तोमर का कहना है। करीब 5 लोग घायल हुए हैं। जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

किस बात की सजा भुगत रहे गाजियाबाद के नागरिक ?

अश्वनी उपाध्याय 

गाजियाबाद। जनपद में रहने वाले अधिकांश नागरिक ऐसे हैं। जो रोजगार के सिलसिले में हर दिन गुरुग्राम या एनसीआर के अन्य शहरों में जाते हैं। लेकिन पिछले कुछ दिनों में कुछ ऐसी घटनाएँ घटित हुई हैं। जिनके कारण न चाहते हुए भी गाज़ियाबाद के निवासियों की जिंदगी कठिन दौर से गुजर रही है। यूपी गेट पर 28 नवंबर से कृषि कानूनों के विरोध में पंजाब से आए किसान धरने पर बैठे हैं। इस धरने से गाज़ियाबाद के किसानों का कोई लेना देना नहीं है। हम सभी जानते हैं कि गाज़ियाबाद में किसानों का मुद्दा कृषि सुधार कानून नहीं बल्कि कृषि करने वाली भूमि के बदले मिलने वाले मुआवजे की दर है। लेकिन फिर भी गाज़ियाबाद के नागरिकों को इस आंदोलन की सबसे ज्यादा मार पड़ रही है। कृषि सुधार कानून सोमवार को भी आंदोलन व शाम को हुई बारिश के कारण सीमाओं समेत अंदरूनी मार्गों पर जाम की स्थिति रही। हालांकि रविवार रात को ज्ञानी बॉर्डर से किसानों के हटने के बाद सोमवार को लोगों को कुछ राहत मिली। सोमवार को दिल्ली की सीमाओं को जोड़ने वाली सड़कें जाम रहीं। इससे वाहन चालकों को काफी परेशानी हुई। यूपी गेट पर राष्ट्रीय राजमार्ग-नौ, दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे और सर्विस रोड की दिल्ली जाने वाली लेनों पर किसानों का कब्जा है। वाहन चालक यहां से दिल्ली नहीं जा पा रहे हैं। लोग दिल्ली जाने के लिए वजीराबाद रोड व जीटी रोड का इस्तेमाल कर रहे हैं। आज भी वाहनों के दबाव के कारण दिल्ली की सीमाओं को जोड़ने वाली सड़कें जाम रहीं। लोगों ने वैकल्पिक मार्गों को इस्तेमाल किया। इस कारण साहिबाबाद की अंदरूनी सड़कों व वैकल्पिक मार्गों पर भी जाम की स्थिति बन गई। इसके चलते लोगों को खासी परेशानी उठानी पड़ी। उसके बाद कल सुबह से हो रही बारिश की वजह से सड़कों पर जगह-जगह जलभराव हो गया। इससे भी जाम लगा। पानी निकलने के बाद जाम की समस्या कम हुई। वहीं, वैशाली पुलिया की ओर से रोडवेज की बसें गुजरीं। इससे वैशाली सेक्टर-चार व पांच की मुख्य सड़क पर जाम लगा। जाम में फंसने की वजह से वाहन चालकों के समय व ईंधन की बर्बादी हुई। इससे हादसे का भी खतरा बना रहा। यातायात पुलिस अधीक्षक रामानंद कुशवाहा ने बताया कि किसान आंदोलन की वजह से रूट डायवर्जन किया गया है। हालांकि राष्ट्रीय राजमार्ग-नौ व दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे की दिल्ली से आने वाली लेनों पर यातायात सामान्य रहा। दिल्ली से कौशांबी, वैशाली, इंदिरापुरम, नोएडा, हापुड़, मेरठ आदि जगहों पर जाने वाले वाहन चालकों को कोई दिक्कत नहीं हुई।

मृतकों को 10 लाख रुपए मुआवजे का ऐलान

अश्वनी उपाध्याय 

गाजियाबाद। नगर निकाय में व्याप्त भ्रष्टाचार के चलते मुरादनगर में रविवार को श्मशान घाट पर हुए हादसे में मारे गए लोगों को परिजनों को योगी सरकार ने दस लाख रुपये मुआवजा देने का ऐलान किया है। परिजनों को योग्यता के आधार पर नौकरी का भी वादा किया गया है। वहीं घायलों का प्राइवेट अस्पताल में फ्री में इलाज को कहा गया है। बता दें कि आज सुबह से ही ग्रामीणों ने शव रखकर जाम लगा दिया था। वे मुख्यमंत्री को बुलाए जाने की मांग पर अड़े थे। इसके बाद अधिकारियों ने परिवार के साथ वार्ता की। लखनऊ से मिले निर्देश के बाद एडीएम सिटी शैलेंद्र सिंह ने मुआवजा देने का ऐलान किया। इस मामले में आज सुबह ईओ निहारिका सिंह, जेई सीपी सिंह, सुपरवाइजर आशीष को गिरफ़्तार किया गया, जबकि ठेकेदार अजय त्यागी को पकड़ने के लिए दबिश जारी है। आज सुबह मुरादनगर में मृतकों के परिजनों ने सड़क पर शव रखकर जाम लगा लिया। वहां सैकड़ों की संख्या में लोग जुट गए।  इसके बाद पुलिस प्रशासन ने उन्हें समझाना चाहा। इस पर लोग भड़क गए। पुलिस से कहा कि पहले हमें गोली मार दो फिर शव ले जाओ। मुरादनगर में मृतकों के परिजनों के प्रदर्शन के चलते मेरठ तिराहे से मुरादनगर तक भीषण जाम लग गया है। यह जाम मेरठ की सीमा तक पहुंच गया। जाम के चलते राजनगर एक्सटेंशन से मुरादनगर की तरफ जाने वाले वाहनों पर पाबंदी लगा दी गई है। इसी के चलते रूट डायवर्जन किया गया।


पौधे लगाकर महीने ₹30 हजार कमा रही है गृहिणी

अश्वनी उपाध्याय 

गाजियाबाद। जब भी बात खेती की होती है तो ज़्यादातर लोगों को लगता है, कि इस पेशे में लाभ तभी होगा जब अधिक जमीन पर खेती की जाए। अधिकांश लोगों की यही राय होती है कि कम जगह में खेती करके या फिर बागवानी करके कोई मुनाफा नहीं कमाया जा सकता है। लेकिन यह सोच बिल्कुल गलत है। क्योंकि आज बहुत से लोग आँगन, छत और बालकनी में बागवानी कर रहे हैं। वह न सिर्फ अपने घर के लिए साग-सब्ज़ियाँ उगा रहे हैं बल्कि इससे अच्छा मुनाफा भी कमा रहे हैं। आज हम आपको एक ऐसी ही कहानी सुनाने जा रहा है। यह कहानी है केरल के एर्नाकुलम में रहने वाली एक गृहिणी सुमी श्यामराज की। सुमी अपने घर की छत पर ओरनामेंटल पौधे उगाती हैं और इसी से वह महीने में 30 हज़ार रुपये से ज्यादा कमा रहीं हैं। सुमी ने बताया, “लॉकडाउन के शुरूआती दिनों में, मेरा ओरनामेंटल प्लांट्स का बिज़नेस करने का कोई इरादा नहीं था। लेकिन जिस दुकान पर मेरे पति काम करते थे जब वह बंद हो गई तो मुझे पौधे बेचने का ख्याल आया।” सुमी के पास थाईलैंड से मंगवाई हुई ओरनामेंटल पौधों की दुर्लभ किस्में हैं। इन्हीं ओरनामेंटल पौधों में से एक एपिसिया ने सुमी को कमर्शियल तौर पर आगे बढ़ने का रास्ता दिखाया। 32 वर्षीया सुमी कहतीं हैं, “मुझे अभी भी वह दिन याद है जब मैंने अपने फेसबुक पेज – सुमीज़ गार्डन में एपिसिया पौधे की तस्वीर साझा की थी। भारत के विभिन्न हिस्सों के लोगों ने पौधे के बारे में पूछताछ करना शुरू कर दिया और कई लोगों ने मेरी पोस्ट के एक सप्ताह के भीतर ही इसके लिए ऑर्डर कर दिए। मुझे उत्तर प्रदेश से ज्यादा ऑर्डर मिले और फिर कुछ कर्नाटक में बेंगलुरु, और बाकी कोयम्बटूर से आए।” वह कहतीं हैं कि उन्हें अभी भी विश्वास नहीं होता है कि वह ओरनामेंटल पौधों से महीने के 30 हज़ार रुपये कमा लेती हैं। उनके गार्डन में 30 रुपये से लेकर 1,000 रुपये तक के पौधे हैं जिनमें से उन्हें एपिसिया के सबसे ज्यादा ऑर्डर मिलते हैं। उनके पास इसकी 80 किस्में हैं। एपिसिया के अलावा, लोग बेगोनिया, फिलोडेंड्रोन और पेपेरोमिया के ऑर्डर देते हैं। इस साल मार्च में अपना व्यवसाय शुरू करने के बाद, सुमी कहतीं हैं कि उन्हें खुद पर गर्व है। उन्होंने अपने पति श्यामराज को भी उनके सपोर्ट के लिए धन्यवाद दिया। “तीन महीने के लिए मेरे पति के पास नौकरी नहीं थी, लेकिन उन्होंने मेरी हर तरह से मदद की। हमारे 2 साल के बच्चे की देखभाल करने से लेकर मेरे टैरेस गार्डन के काम में मदद करने तक, वह हमेशा मेरे साथ रहते थे,” उन्होंने बताया। आगे वह कहतीं हैं कि सालों पहले उनके पास घर पर गाय, बकरियां और मुर्गियां थीं लेकिन तब उन्हें सफलता नहीं मिली। बाढ़ और अन्य परिस्थितियों के कारण उन्हें अपना पशुधन बेचना पड़ा। सुमी को ऑर्डर फेसबुक के माध्यम से मिलते हैं। एक बार जब उन्हें ऑर्डर मिल जाता है तो वह पौधे पैक करतीं हैं और ग्राहकों को पौधे भेजती हैं। “पौधों को भेजने से पहले छोटे कप में पोषित किया जाता है, और मैं एक दिन में लगभग 10 नए पौधे लगाती हूँ। मैं अपने ग्राहकों को फंगल स्प्रे खरीदने की सलाह भी देती हूँ,” सुमी बतातीं हैं। वह ओरनामेंटल पौधों के ग्राहकों को सलाह देतीं हैं कि पौधों को शुरूआत में कम से कम एक घंटा खुले में रखें ताकि ये सामान्य तापमान पर सहज हो जाएं। इसके बाद इन्हें लगाया जा सकता है और इसमें नियमित तौर पर पानी दें। “हर किसी को जीवन में कुछ करने का सपना होता है। मुझे पौधों से संबंधित कुछ करना था। अब मैं वही कर रही हूँ जो मुझे सबसे ज्यादा पसंद है। मैं सभी गृहिणियों से कहना चाहूँगी कि अपने आप को या अपनी प्रतिभा को कम मत समझिए,” उन्होंने कहा। वह अपने टैरेस गार्डन को और बढ़ाना चाहतीं हैं और ज्यादा किस्म के बेगोनिया, लेमन वाइन और क्रीपर लगाना चाहतीं हैं।लॉकडाउन से पहले भी सुमी अपने छोटे से गार्डन में उगायीं सब्जियों से कुछ पैसे कमातीं थीं। वह बतातीं हैं कि उनके एक पड़ोसी ने बागवानी के प्रति उनकी रूचि देखकर उन्हें अपनी ज़मीन खेती के लिए दी थी। मात्र 30 सेंट की इस ज़मीन पर टमाटर, गोभी, गाजर, भिंडी सहित सब्जियों की अलग-अलग किस्में वह उगातीं थीं। सब्जियां तैयार होने के बाद वह व्हाट्सएप ग्रुप में इन्हें पोस्ट करतीं थीं और फिर उन्हें ऑर्डर मिलते थे। सुमी को एडथला कृषि भवन से कृषकश्री पुरस्कार भी मिला है और वह अन्य गृहिणियों को भी घर पर ओरनामेंटल पौधे उगाने के लिए प्रेरित करतीं हैं।

निगम से साहिबाबाद तक सुरंग बनाने का ठेका

अश्वनी उपाध्याय 

गाजियाबाद। वास्तविक नियंत्रण रेखा की वजह से भारत और चीन के संबंधों में बीते कुछ समय से तनाव की स्थिति बनी हुई है। हालात यहां तक पहुंच गए थे कि चीनी कंपनियों के ठेके तक रद्द कर दिए गए थे। लेकिन न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, एक चीनी कंपनी को दिल्ली-मेरठ रैपिड रेल परियोजना के कुछ हिस्सों के काम के लिए ठेका दिया गया है। नेशनल कैपिटल रीजन ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (NCRTC) ने दिल्ली-मेरठ RRTS परियोजना के न्यू अशोक नगर से साहिबाबाद तक के 5.6 किलोमीटर के भूमिगत स्ट्रेच के निर्माण के लिए एक चीनी कंपनी, शंघाई टनल इंजीनियरिंग कंपनी लिमिटेड को ठेका दिया है। देश के पहले क्षेत्रीय रैपिड रेल ट्रांजिट सिस्टम (आरआरटीएस) को निष्पादित करने वाली एनसीआरटीसी ने कहा कि निर्धारित प्रक्रिया और दिशानिर्देशों के बाद ही ठेका दिया गया है। कंपनी ने कहा, “कई एजेंसियों द्वारा इसके लिए बोली लगाई गई थी। इसके लिए विभिन्न स्तरों पर स्वीकृति लेनी होती है। इस बोली को निर्धारित प्रक्रिया और दिशानिर्देशों के बाद ही इजाजत दी गई थी।” एनसीआरटीसी के एक प्रवक्ता ने कहा, “अब 82 किलोमीटर लंबे दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ कॉरिडोर के सभी सिविल वर्क टेंडर को जारी किया जा चुका है। इस परियोजना को समय पर पूरा करने के लिए निर्माण कार्य जारी है।” आपको बता दें कि 82-किलोमीटर लंबे दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ आरआरटीएस कॉरिडोर को एशियाई विकास बैंक (एडीबी) की आर्थइक मदद से तैयार किया जा रहा है। एडीबी के दिशानिर्देशों के अनुसार, बैंक के सभी सदस्य देशों को बिना किसी भेदभाव के बोली प्रक्रिया में भाग लेने की अनुमति देनी है। दैनिक हिंदुस्तान के अनुसार एनसीआरटीसी ने 9 नवंबर, 2019 को न्यू अशोक नगर से दिल्ली गाजियाबाद मेरठ आरआरटीएस कॉरिडोर के साहिबाबाद तक सुरंग के निर्माण के लिए बोलियां आमंत्रित की थीं। पांच कंपनियों ने इसके लिए बोली लगाई। ये सभी इसके लिए योग्य थे। एडीबी से तकनीकी बोली मूल्यांकन पर एनओसी प्राप्त करने के बाद बोलियां खोली गईं। पांच कंपनियों में से, शंघाई टनल इंजीनियरिंग कंपनी लिमिटेड सभी मापदंडों पर योग्य पाने के बाद ठेका दिया गया। पिछले साल सितंबर में केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय ने आरआरटीएस ट्रेन के पहले लुक का अनावरण किया था, जिसका डिज़ाइन दिल्ली के प्रतिष्ठित लोटस टेम्पल से प्रेरित है। यह दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ कॉरिडोर पर 180 किलोमीटर प्रति घंटे की गति प्राप्त कर सकता है। मंत्रालय के अनुसार, स्टेनलेस स्टील बॉडी वाली यह ट्रेनें काफी हल्की और पूरी तरह से वातानुकूलित होंगी। दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ कॉरिडोर देश में लागू होने वाला पहला आरआरटीएस कॉरिडोर है। अधिकारियों ने कहा कि सड़क मार्ग से दिल्ली से मेरठ जाने का समय मौजूदा तीन-चार घंटे से कम हो जाएगा।

बरेली: रेल संपत्ति चुराने वाले 3 लोग गिरफ्तार किए

बरेली: रेल संपत्ति चुराने वाले तीन लोग गिरफ्तार

बरेली। पूर्वोत्तर रेलवे के इज्जत नगर मंडल में लगातार चोरियों की घटनाएं बढ़ती जा रही है। जनरेटर चोरी का मामला शांत नहीं हुआ तब तक सोलर पैनल और बैटरी चोरी का एक नया मामला सामने आ गया। मुखबिर की सूचना पर न्यू मॉडल रेलवे कॉलोनी में लगे सोलर पैनल और बैटरी चुराने वाले तीन चोरों को सीआइबी ने गिरफ्तार किया है। तीनों को रेल धाराओं में मुकदमा दर्ज कर 14 दिनों के लिए जेल भेज दिया गया है।
आरपीएफ के मुताबिक रेलवे की न्यू रेलवे मॉडल कॉलोनी में कई सोलर पैनल लगे हैं। जिन्हें पीलीभीत के विक्रमपुर के रहने वाले कुलदीप कुमार, संदीप कुमार, और कमलेश ने रविवार रात चोरी कर लिया। सूचना मिली तो छापेमारी की गई, जिसमें तीनों के पास से एक सोलर पैनल, बैटरी और सोलर पैनल को गिराने वाली रस्सी और ऑटो भी बरामद किए गए हैं। फिलहाल तीनों को 14 दिनों के लिए जेल भेज दिया गया है।

विधायकों के मामले में सुनवाई फरवरी तक स्थगित

गोवा कांग्रेस के बागी विधायकों के मामले में सुनवाई फरवरी तक स्थगित
अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली/ पणजी। उच्चतम न्यायालय ने गोवा में कांग्रेस के 10 बागी विधायकों को अयोग्य ठहराये जाने संबंधी याचिका की सुनवाई फरवरी तक के लिए सोमवार को स्थगित कर दी। गोवा कांग्रेस अध्यक्ष गिरीश चोडणकर ने इन बागी विधायकों को दल-बदल कानून के तहत अयोग्य ठहराये जाने के मामले में विधानसभा अध्यक्ष को दिशानिर्देश जारी करने की मांग की है।
चोडणकर की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने मुख्य न्यायाधीश शरद अरविंद बोबडे, न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना और न्यायमूर्ति वी रमासुब्रमण्यम की खंडपीठ के समक्ष दलील दी कि भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए कांग्रेस के बागी विधायकों को अयोग्य ठहराये जाने संबंधी याचिका 2019 में दायर की गयी थी। और करीब डेढ साल बीत जाने के बाद भी गोवा विधानसभा अध्यक्ष ने कोई फैसला नहीं किया है।
सिब्बल ने कहा कि 11 अगस्त 2020 को याचिका की सुनवाई दो सप्ताह बाद करने का सुप्रीम कोर्ट रजिस्ट्री को निर्देश जाने के बाद भी याचिका लंबे समय तक सूचीबद्ध नहीं की गयी। विधानसभा अध्यक्ष की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने सिब्बल की इस दलील का पुरजोर विरोध किया। इस बीच खंडपीठ ने कहा कि याचिका सूचीबद्ध नहीं होने के पीछे कोई निहित स्वार्थ नहीं है। न्यायालय ने मामले की सुनवाई फरवरी तक के लिए स्थगित कर दी।

पंजाब किंग्स ने जीता टॉस, गेंदबाजी का फैसला

पंजाब किंग्स ने जीता टॉस, गेंदबाजी का फैसला  इकबाल अंसारी  चेन्नई। इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) 2024 सीजन में चेन्नई सुपर किंग्स (CSK) और पं...