शुक्रवार, 6 सितंबर 2019

मंदिर के साथ मस्जिद भी आबाद रखी

नालंदा। हिन्दूओं का गांव है। यहां कोई मुस्लिम नहीं रहता है। यहां 100 साल पुरानी मस्जिद है। मस्जिद से 5 वक़्त की अज़ान होती है। मस्जिद को रोज़ाना धोया जाता है। वीरान पड़ी इस मस्जिद को आबाद गांव करनेवाला हिन्दू समुदाय है। हर रोज़ पांचों वक़्त की अज़ान होती है। गांव के हिन्दूओं को अज़ान नहीं आता तो वह टेप रिकार्डर से, पेन ड्राइव से या फिर मोबाइल पर अज़ान की रिकार्डिंग चलाते हैं।


ये मस्जिद बिहार के नालंदा ज़िले के मारी गांव में स्‍थित है, मस्जिद की ऊंची-ऊंची मीनारें हैं। यहां रहने वाले मुसलमानों ने 100 साल पहले मस्जिद बनवाई थी। कुछ 1947 के बंटवारे में पाकिस्तान चले गए तो कुछ रोजी रोज़गार के चक्कर में शहरों को पलायन कर गए। मस्जिद वीरान थी। लेकिन हिन्दूओं ने मंदिर के साथ-साथ मस्जिद को आबाद रखा है।गांव में जब किसी हिन्दू की शादी होती है तो वह मस्जिद जाकर इबादत करता है। समाज में ऐसी खबरों को फैलाया जाना चाहिए। ये ख़बर ना सिर्फ़ मन को अंदर तक सुकून देती हैं। बल्कि इस बात का हौसला देती हैं समाज में बाप-दादा की गंगा-जमुनी तहज़ीब की विरासत ज़िदा है। मेरा उस गांव के हर हिन्दू को लाख-लाख सलाम। सलाम इसलिए नहीं की उन्होंने मस्जिद को आबाद रखा है। बल्कि सलाम इसलिए इस मुल्क़ की आत्मा को ज़िदा रखा है। भारत की एकता में अनेकता और अखंडता का समप्रभुत्व स्थापित किया है।


अप्रिय खबर मिल सकती है:वृश्चिक

राशिफल


वृष-कार्यस्थल पर परिवर्तन संभव है। योजना फलीभूत होगी। घर-परिवार की चिंता बनी रहेगी। कारोबार से लाभ होगा। नौकरी में जवाबदारी बढ़ सकती है। घर-बाहर सभी ओर से सफलता प्राप्त होगी। प्रमाद न करें।


मिथुन-पूजा-पाठ में मन लगेगा। किसी संत-महात्मा का आशीर्वाद मिल सकता है। राजकीय बाधा दूर होकर लाभ की स्थिति निर्मित होगी। पुराना रोग परेशानी का कारण बन सकता है। वाणी पर नियंत्रण रखें। धन प्राप्ति सुगम होगी। प्रमाद न करें।


कर्क-चोट व दुर्घटना से बचें। शारीरिक हानि हो सकती है। दूसरों के झगड़ों में न पड़ें। जोखिम व जमानत के कार्य टालें। कारोबार ठीक चलेगा। नौकरी में कलह हो सकती है। निवेश इत्यादि में जल्दबाजी न करें। आय बनी रहेगी।


सिंह-विवाह के उम्मीदवारों को विवाह का प्रस्ताव मिल सकता है। घर-परिवार की चिंता रहेगी। राजकीय सहयोग प्राप्त होगा। लाभ के अवसर अवसर हाथ आएंगे। समय की अनुकूलता का लाभ लें। धन प्राप्ति सुगम होगी। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी।


कन्या-भाइयों का सहयोग प्राप्त होगा। शत्रुओं का पराभव होगा। संपत्ति के बड़े सौदे बड़ा लाभ दे सकते हैं। रोजगार में वृद्धि होगी। नए काम मिल सकते हैं। व्यापार-व्यवसाय अच्‍छा चलेगा। चिंता तथा तनाव में कमी होगी। प्रमाद न करें।


तुला-किसी आनंदोत्सव में भाग लेने का अवसर प्राप्त होगा। परिवार के सदस्यों तथा मित्रों के साथ समय सुखद व्यतीत होगा। संगीत‍ व चि‍त्रकारी आदि के कार्य सफल तथा पूर्ण होंगे। एकाग्रता बनी रहेगी। अध्ययन में मन लगेगा। धनार्जन होगा।


वृश्चिक-बुरी खबर मिल सकती है। दौड़धूप अधिक रहेगी। वाणी में हल्के शब्दों के इस्तेमाल से बचें। लेन-देन में जल्दबाजी न करें। लाभ का प्रतिशत कम रहेगा। दूसरों की अपेक्षा बढ़ेगी। नौकरी में कार्यभार रहेगा। स्वास्थ्‍य का पाया कमजोर रहेगा।


धनु-मेहनत का फल पूरा-पूरा प्राप्त होगा। रिश्तेदारों तथा मित्रों का सहयोग करने का अवसर प्राप्त होगा। सामाजिक प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। कारोबार मनोनुकूल चलेगा। निवेश शुभ रहेगा। पारिवारिक सुख-शांति बनी रहेगी। प्रसन्नता रहेगी।


मकर-माता के स्वास्थ्य की चिंता रहेगी। खर्च होगा। शरीर के ऊपरी हिस्से में कष्ट संभव है। अच्छी खबर प्राप्त होगी। आत्मसम्मान बना रहेगा। जोखिम उठाने का साहस कर पाएंगे। भूले-बिसरे साथियों से मुलाकात होगी।


कुंभ-भेंट व उपहार की प्राप्ति होगी। बेरोजगारी दूर करने के प्रयास सफल रहेंगे। पार्टनरों से मतभेद दूर होकर सहयोग मिलेगा। यात्रा मनोनुकूल रहेगी। शेयर मार्केट व म्युचुअल फंड लाभ देंगे। स्वास्थ्य का ध्यान रखें। कष्ट संभव है।


मीन-अप्रत्याशित बड़े खर्च सामने आएंगे। व्यवस्था में मुश्किल होगी। कानूनी अड़चन आ सकती है। लापरवाही न करें। वाणी पर नियंत्रण रखें। लेन-देन में जल्दबाजी न करें। व्यापार-व्यवसाय की गति धीमी रहेगी। धैर्य रखें।


नीला और हरे रंग का मोर (विविध)

मोर को कार्तिकेय (मुरुगन) का वाहन माना जाता है। प्रख्यात खग मोर अथवा मयूर एक पक्षी है। जिसका मूलस्थान दक्षिणी और दक्षिणपूर्वी एशिया में है। ये ज़्यादातर खुले वनों में वन्यपक्षी की तरह रहते हैं। नीला मोर भारत और श्रीलंका का राष्ट्रीय पक्षी है। नर की एक ख़ूबसूरत और रंग-बिरंगी फरों से बनी पूँछ होती है, जिसे वो खोलकर प्रणय निवेदन के लिए नाचता है! विशेष रूप से बसन्त और बारिश के मौसम में। मोर की मादा मोरनी कहलाती है। जावाई मोर हरे रंग का होता है।


बरसात के मौसम में काली घटा छाने पर जब यह पक्षी पंख फैला कर नाचता है तो ऐसा लगता मानो इसने हीरों से जरी शाही पोशाक पहनी हुई हो; इसीलिए मोर को पक्षियों का राजा कहा जाता है। पक्षियों का राजा होने के कारण ही प्रकृति ने इसके सिर पर ताज जैसी कलंगी लगायी है। मोर के अद्भुत सौंदर्य के कारण ही भारत सरकार ने 26 जनवरी,1963 को इसे राष्ट्रीय पक्षी घोषित किया। हमारे पड़ोसी देश म्यांमार का राष्ट्रीय पक्षी भी मोर ही है। 'फैसियानिडाई' परिवार के सदस्य मोर का वैज्ञानिक नाम 'पावो क्रिस्टेटस' है। अंग्रेजी भाषा में इसे 'ब्ल्यू पीफॉउल' अथवा 'पीकॉक' कहते हैं। संस्कृत भाषा में यह मयूर के नाम से जाना जाता है। मोर भारत तथा श्रीलंका में बहुतायत में पाया जाता है। मोर मूलतः वन्य पक्षी है, लेकिन भोजन की तलाश इसे कई बार मानव आबादी तक ले आती है।


मोर प्रारम्भ से ही मनुष्य के आकर्षण का केन्द्र रहा है। अनेक धार्मिक कथाओं में मोर को उच्च कोटी का दर्जा दिया गया है। हिन्दू धर्म में मोर को मार कर खाना महापाप समझा जाता है। भगवान् श्रीकृष्ण के मुकुट में लगा मोर का पंख इस पक्षी के महत्त्व को दर्शाता है। महाकवि कालिदास ने महाकाव्य 'मेघदूत' में मोर को राष्ट्रीय पक्षी से भी अधिक ऊँचा स्थान दिया है। राजा-महाराजाओं को भी मोर बहुत पसंद रहा है। प्रसिद्ध सम्राट चंद्रगुप्त मौर्य के राज्य में जो सिक्के चलते थे, उनके एक तरफ मोर बना होता था। मुगल बादशाह शाहजहाँ जिस तख्त पर बैठते थे, उसकी संरचना मोर जैसी थी। दो मोरों के मध्य बादशाह की गद्दी थी तथा पीछे पंख फैलाये मोर। हीरों-पन्नों से जरे इस तख्त का नाम तख्त-ए-ताऊस' रखा गया। अरबी भाषा में मोर को 'ताऊस' कहते हैं।


नर मोर की लम्बाई लगभग 215 सेंटीमीटर तथा ऊँचाई लगभग 50 सेंटीमीटर होती है। मादा मोर की लम्बाई लगभग 95 सेंटीमीटर ही होती है। नर और मादा मोर की पहचान करना बहुत आसान है। नर के सिर पर बड़ी कलंगी तथा मादा के सिर पर छोटी कलंगी होती है। नर मोर की छोटी-सी पूँछ पर लम्बे व सजावटी पंखों का एक गुच्छा होता है। मोर के इन पंखों की संख्या 150 के लगभग होती है। मादा पक्षी के ये सजावटी पंख नहीं होते। वर्षा ऋतु में मोर जब पूरी मस्ती में नाचता है तो उसके कुछ पंख टूट जाते हैं। वैसे भी वर्ष में एक बार अगस्त के महीने में मोर के सभी पंख झड़ जाते हैं। ग्रीष्म-काल के आने से पहले ये पंख फिर से निकल आते हैं। मुख्यतः मोर नीले रंग में पाया जाता है, परन्तु यह सफेद, हरे, व जामुनी रंग का भी होता है। इसकी उम्र 25 से 30 वर्ष तक होती है। मोरनी घोंसला नहीं बनाती, यह जमीन पर ही सुरक्षित स्थान पर अंडे देती है।


किरणों की असाधारण आवृत्तीयां

स्पेक्ट्रम के विभिन्न विभागों में सुविधा के लिए साधारणत: तरंगदैघ्य के भिन्न-भिन्न एकक प्रयुक्त होते हैं। रेडियो प्रसारण में 1 मीटर को एकक माना जाता है, तथा रेडियो के सूक्ष्म तरंग विभाग में एक मिलीमीटर को एकक माना जाता है। अवरक्त वर्णक्रम के लिए 10-4 सें.मी. का एकक प्रचलित है तथा दृश्य प्रकाश के लिए इससे भी छोटे 10-8 सें.मी. के एकक की आवश्यकता होती है। 10-4 सें. मी. के एकक को म्यू और दृश्य प्रकाश के एकक (10-8 सें.मी.) को 'आंगस्त्रम' कहते हैं। प्रारंभ में एक्सरे के लिए भी आंगस्त्रम उपयोग में लाया जाता था, किंतु एक्सरे वर्णक्रम में अधिक आविष्कार होने पर इस एकक से भी सूक्ष्म एकक की आवश्यकता होने लगी। अत: एक्सरे के लिए तथा गामा किरणों के लिए ज़ीगब्ह्रा ने एक नए एकक का उपयोग किया, जिसे एक्सरे एकक कहते हैं। यह 10-11 सें. मी. के बराबर होता है। विद्युतचुंबकीय सिद्धांत की दृष्टि से एक्सरे और गामा किरणों में कोई भेद नहीं है; एक्सरे प्रयोगशालाओं में उत्पन्न किए जा सकते हैं और गामा किरणें रेडियोधर्मी पदार्थो से प्राप्त होती हैं (हाल में अति प्रचंड विद्युद्विभव से गामा किरणों के तरंगदैर्घ्या के समान सूक्ष्म तरंगदैर्घ्या के एक्सरे का उत्पादन प्रयोगशाला में हो चुका है)। विद्युच्चुंबकीय वर्णक्रम में अत्यंत स्वल्प तरंगदैर्घ्या का विभाग एक्सरे तथा गामा किरणों का है। तरंगदैर्घ्य आवृत्तियों का प्रतिलोमानुपाती होने के कारण एक्सरे और गामा किरणों की आवृत्तियाँ अन्य विद्युच्चुंबकीय विकिरणों से बहुत अधिक होती है।


यमाचार्य नचिकेता वार्ता-कर्तव्यवाद

गतांक से...


माता-पिता को कर्तव्य का पालन करना चाहिए। मोह का पालन करना चाहिए और मैं मोह में उनकी संपदा को एकत्रित करना चाहिए। वेद का ऋषि कहता है यह मोह-ममता में सारा संसार नष्ट हो जाता है। देखो ऋषिवर ने यही कहा, अपने पिता से कहा, हे पुत्र! तुम मोह में आते हो और सुखी हो। तुम्हें मेरा मोह है मैंने इसका सहयोग दिया है। माता नहीं कह रही है। माता मोक्ष की पगडंडी के लिए अपने में रत हो रही है और आप शोकातुर होकर के नारकिक जीवन बना रहे हैं। संस्कारों की उपलब्धियों को जन्म दे रहे हैं। मेरे पुत्रों शाक्यल मुनि ने जब यह कहा। उन्होंने कहा मुझे मोह है और होना ही चाहिए। क्योंकि मोह से मेरा जन्म हुआ है और मोह में ही मेरा शरीर पूर्ण हो जाएगा। शाक्यल मुनि ने यह कहा तो मुनि, वह श्वेतकेतु उनकी माता, श्वेतकेतु की पत्नी साक्‍लय की माता ने कहा 'पुत्रों भवा संभावाम्‌ वाचन्‍नमम्‌ ब्रहम शोकम्‌ ब्रहम वाचोदेवा:' यह कह करके कि तुम्हारा जीवन महान बने। आशीर्वाद देकर के माता और पिता ने वहां से गमन किया। देखो अपने में चिंतन करने लगे । रात्रि जब काल आया तो विचार करने लगे कि मेरी प्यारी माता कितनी प्रिय है । उदार है वह जानते हुए भी मुझे कहती है। 'पुत्रों भवितामम ब्रह्म आदित्य' तुम अपने में आयुष्मान बनकर के जीवन को व्यतीत करने में लगे रहे।'साक्‍लय सम्‍भवा ब्रहम हिरणाक्षम्‌ वृहे' और हिरणी के बालक से मोह-ममता मे मानो परिणीत रहे। बेटा, देखो मोह की आभा में मानव को विशेष नहीं जाना चाहिए। वेद के वाक्य और वेद के ऋषि मुनियों ने यह कहा क्या मानव को 'ममता ब्रम्हदेव' मानव को अपने कर्तव्य का पालन करना चाहिए। माता पालन करती है अपने कर्तव्यवाद में रहती है। बेटा  कर्तव्यवाद ही मानव को महान बनाता है। कर्तव्यवादी विशेषकर संसार में सूर्य प्रातकाल मे किसी से स्वार्थ नहीं चाहता, प्रकाश देता रहता है। प्रकाश नाना प्रकार की किरणे देता रहता है। वह प्रत्येक प्राणी को प्रकाश देता है। उनका भोजन प्रदान कराता रहता है। चंद्रमा,ग्रह ,नक्षत्र सब निरंतर  कर्तव्य में लिप्त रहते हैं और अपने कर्तव्य में वयाप्‍त रहते हैं। उसी से अणुकेतु को प्रदान करता रहता है। वह कर्तव्य अपने मे रहता है। विश्राम अमृतवाणी उसमें विस्मित हो जाता है। विश्राम करने लगता है मेरे को प्रत्येक मानव को प्रभु का ध्यान करना चाहिए। आज का वाक्य अब यहीं समाप्त होता है। वेदों का पठन-पाठन निरंतर जारी रहेगा।


प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण
september 07, 2019 RNI.No.UPHIN/2014/57254
1.अंक-35 (साल-01)
2.शनिवार,07सितबंर 2019
3.शक-1941,भादप्रद शुक्‍लपक्ष नवमी,विक्रमी संवत 2076
4. सूर्योदय प्रातः 5:56,सूर्यास्त 6:44
5.न्‍यूनतम तापमान -26 डी.सै.,अधिकतम-34+ डी.सै., हवा की गति धीमी रहेगी, उमस बनी रहेगी।
6. समाचार पत्र में प्रकाशित समाचारों से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं है! सभी विवादों का न्‍याय क्षेत्र, गाजियाबाद न्यायालय होगा।
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गुरुवार, 5 सितंबर 2019

जन आशीर्वाद यात्रा में 80 विधानसभा

फतेहाबाद। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल की जन आशीर्वाद यात्रा प्रदेश के 80 विधानसभा क्षेत्रों को कवर करते हुए जिला व टोहाना विधानसभा क्षेत्र के गांव सनियाना में पहुंची। यात्रा के 81वें विधानसभा क्षेत्र गांव सनियाना में पहुंचने पर मुख्यमंत्री मनोहर लाल का भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं ने गर्मजोशी से स्वागत किया। यात्रा का अनेक गांवों में कार्यकर्ताओं व जन प्रतिनिधियों ने स्वागत किया। मुख्यमंत्री ने जनता और कार्यकर्ताओं पर फूल बरसाए और आशीर्वाद मांगा।
अपने स्वागत से गदगद मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने अपने संबोधन में कहा कि जितना प्यार और आशीर्वाद हरियाणा की जनता ने हमें पांच साल में दिया है, उससे दौगुना प्यार और आशीर्वाद लेने के लिए वे जनता के बीच आएं है। उन्होंने जनता से वायदा किया कि जितने काम पांच सालों में किए है, आगामी पांच वर्षों में उससे दौगुने विकास कार्य करके दिखाएंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि 2014 में हरियाणा की जनता ने पांच साल के लिए हमें आशीर्वाद दिया था। इस आशीर्वाद के मिलने के बाद हमने कभी पीछे मुडक़र नहीं देखा और इन पांच सालों में पूरे हरियाणा प्रदेश को परिवार की तरह मानकर सेवा की है। अनेक ऐतिहासिक निर्णय लिए गए है और गरीबों के कल्याण के लिए अनेक कदम उठाए है।


मुख्यमंत्री ने लोगों से सीधा संवाद करते हुए पूछा कि क्या वे उनके काम से संतुष्ट और राजी है, इस पर जनता ने बड़ी गर्मजोशी और उत्साह के साथ मुख्यमंत्री कर हां में हां मिलाते हुए कहा कि वे पूर्णरूप से सरकार द्वारा किए गए कार्यों से संतुष्ट है। मुख्यमंत्री ने इसी जोश को रखते हुए जनता से अगले पांच साल के लिए आशीर्वाद मांगा और कहा कि वे 75 प्लस के लक्ष्य को ध्यान में रखकर उन्हें मौका दें। इस पर लोगों ने मुख्यमंत्री को उत्साह के साथ कहा कि जनता उन्हें 85 पार सीटें देकर सत्ता सौंपेगी। उन्होंने सभी लोगों से आह्वान किया कि अगले डेढ़ महिने तक हर किसी व्यक्ति से संपर्क करें और फिर से भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनाएं। उन्होंने कहा कि वे सेवा का लाइसेंस रिन्यू करवाने आए है। जनता एक बार फिर से उन्हें सेवा का मौका देंगी तो वे विकास की गति को और अधिक तेजी से बढ़ाएंगे।


भारतीय जनता पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष एवं टोहाना के विधायक सुभाष बराला ने मुख्यमंत्री मनोहर लाल का टोहाना विधानसभा क्षेत्र में पहुंचने पर स्वागत करते हुए कहा कि हरियाणा के आज तक के इतिहास में सबसे लोकप्रिय मुख्यमंत्री का स्वागत करते हुए उन्हें बहुत खुशी हो रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा 18 अगस्त को शुरू की गई जन आशीर्वाद आज प्रदेश के 80 विधानसभा क्षेत्र कवर करते हुए 81वें विधानसभा क्षेत्र टोहाना में पहुंची है, इसका लोग गर्मजोशी और उत्साह के साथ स्वागत कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने हर वर्ग के कल्याण के लिए योजना लागू की है। हमारा इलाका खेती पर आधारित है। मुख्यमंत्री ने किसानों के कल्याण के लिए विभिन्न योजनाएं लागू की है। किसान के खेत में टेल तक पानी पहुंचाने के लिए माइनरों की रि-मॉडलिंग  की दुरूस्त किया गया है। सारे खाले पक्के किए गए है। खालों की लंबाई जहां पहले 24 फीट होती थी, अब इनकी लंबाई को 40 फीट तक बढ़ाया गया है। प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि खेतों की ढाणियों में जाने वाले रास्तों को भी पक्का करवाने का काम शुरू किया गया है। उन्होंने कहा कि इसके अलावा प्रदेश सरकार ने 24 घंटे बिजली आपूर्ति देने पर काम किया।
इस मौके पर करनाल के सांसद संजय भाटिया, सिरसा लोकसभा क्षेत्र की सांसद सुनीता दुग्गल, भाजपा प्रदेश सचिव जवाहर सैनी, भाजपा जिलाध्यक्ष वेद फुलां, फतेहाबाद के पूर्व विधायक बलवान सिंह दौलतपुरिया, रतिया के पूर्व विधायक प्रो. रविंद्र बलियाला, सरपंच हरप्रीत कौर, पार्षद अजय मेहता, बलिवंद्र सिंह आदि ने मुख्यमंत्री का फतेहाबाद पहुंचने पर स्वागत किया।


बुखार के नशे में मरीज ने मचाया उत्पात

तुषार सक्सेना-ब्यूरो चीफ 



बुखार के नशे में सीएससी में मरीज का उत्पात
वार्ड बॉय से की मारपीट पुलिस मौके पर 


रामपुर। आपने अक्सर मरीजों को अपना इलाज कराते देखा होगा। अब आप उत्तर प्रदेश के रामपुर की ऐसी तस्वीर देखिए सोचने पर आप भी अमादा हो जाएंगे। ताजा मामला तहसील शाहबाद के सीएससी से सामने आया है। जहां ओमकार को अचानक से तेज बुखार चढ़ गया। परिवार के लोग आनन-फानन में ओमकार को लेकर शाहबाद सीएससी पहुंचे। जहां डॉक्टर ने देखकर वार्डबॉय से कहां इसके इंजेक्शन लगा दो। इंजेक्शन लगा रहे थे इतनी देर में ओमकार ने वार्ड बॉय और मरीज को पीटना शुरू कर दिया और अपना उत्पात मचाना शुरू कर दिया। डॉक्टर ने सूचना पुलिस को दी पुलिस भी तुरंत मौके पर पहुंच गई। पुलिस के सामने भी ओमकार ने उत्पात मचाना नहीं छोड़ा। आखिरकार परिवार के लोगों ने ओमकार के ऊपर तीन बाल्टी पानी डाल गया। जब कर ओमकार नॉर्मल हुआ डॉक्टर ने ओमकार का ट्रीटमेंट शुरू हुआ। तस्वीरों में साफ देखा जा सकता है ओमकार किस तरीके से अपना उत्पात मचा रहा है। पुलिस मौके पर मौजूद है। ड्यूटी पर तैनात डॉक्टर ने बताया एक मरीज आया था। जिसको तेज बुखार था देखने के बाद हमने कहा वार्ड बॉय से मरीज को इंजेक्शन लगा दो इतनी देर में मरीज ने वार्ड बॉय से मारपीट शुरू कर दी मरीजों से भी मारपीट शूरू कर दी। जिस को लेकर सुचना हमने  पुलिस दी।


असंतुष्ट नेताओ के द्वारा किया गया विद्रोह

राणा ओबराय


सिरसा। हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी में बदलाव के बाद जहां नवनियुक्त प्रदेशाध्यक्ष कुमारी शैलजा के समर्थक जहां मिठाईयां बाटंकर खुशियां मना रहे हैं वहीं निवर्तमान अध्यक्ष अशोक तंवर के समर्थक नाराज नजर आ रहे हैं। गुस्साए अशेाक तंवर समर्थक एक महिला व कुछ युवकों ने आज सुबह जिला कांग्रेस कार्यालय सचिव संगीत कुमार की सरे-राह धुनाई कर दीl वहीं पार्टी कार्यालय में घुसने के लिए मुख्य द्वार पर पथराव किया। पुलिस कार्यालय सचिव के बयान लेने के बाद मामले की तहकीकात कर रही है। सूचना पाकर आज नवनिर्वाचित प्रदेशाध्यक्ष कुमारी शैलजा ने कार्यालय सचिव संगीत कुमार से दूरभाष पर बात कर घटना बारे जानकारी ली। सिरसा में जिला कांग्रेस कार्यालय पर पथराव के बाद बिखरे ईंट-पत्थर। जिला कांग्रेस कार्यालय के स्थाई सचिव संगीत कुमार ने मीडिया को बताया कि आज सुबह वह घर से आकर कार्यालय में पूजा पाठ करने के बाद मुख्य द्वार बंद कर बाहर ही निकला था कि एक औरत व कुछ युवक आए और मुख्य द्वार पर पथराव कर दिया। इस दौरान उन्होंने ताला तोड़कर अंदर घुसने का भी प्रयास किया। इसी दौरान संगीत कुमार मौके पर पहुंचा तो कार्यालय में जबरन घुसने का प्रयास कर रही महिला व युवकों ने गाली-गलौच करते हुए अशोक तंवर का फोटो कार्यालय से हटाने पर विरोध दर्ज करवाते हुए पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्षा सोनिया गांधी,प्रदेशाध्यक्ष कुमारी शैलजा,पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा को लेकर अपशब्द प्रयोग करते हुए यकायक उसकी पिटाई करनी आरम्भ कर दी। मुख्य सड़क पर कांग्रेस पार्टी कार्यालय सचिव की सरे राह पिटाई होते देख वहां लोगों का हुजुम उमड गया।


अवैध वसूली करते दो को किया गिरफ्तार

अकरम सैफी


सरकारी योजनाओं के नाम पर अवैध वसूली करते दो युवकों को पुलिस ने धर दबोचा


गाजियाबाद। लोनी थाना ट्रॉनिका सिटी क्षेत्र के अंतर्गत राधे श्याम पार्क आजाद एनक्लेव पूजा कॉलोनी पुलिस ने दो सरकारी योजनाओं के नाम पर अवैध वसूली करते पब्लिक ने दबोचा पुलिस को 100 नंबर सूचना देकर की शिकायत मौके पर पहुंची,पीआरबी4783सवार महिपाल सिंह पायलट एवं मनोज राठी सिपाही द्वारा दोनों शातिर युवकों को थाना ट्रॉनिका सिटी में छोड़ा गया। स्थानीय निवासियों ने बताया कि बच्चों की पढ़ाई के दौरान स्कूल के फार्म भरवा कर बच्चों के परिजनों से ₹50से ₹300अवैध वसूली कर रहे थे ।जिसकी सूचना आज क्षेत्रवासियों ने पुलिस से की महिलाओं को जब इन पर शक हुआ जब उन्होंने इन दोनों के आईडेंटिकार्ड मांगे और इनके पास कोई भी आइडेंटी प्रूफ महिलाओं को नहीं मिला। इसी बात को लेकर महिलाओं में हड़कंप मच गया। आनन-फानन में देवेंद्र नामक युवक ने100नंबर कॉल कर पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने तत्काल प्रभाव से दोनों अभियुक्तों को धर दबोचा वहीं थाना ट्रॉनिका सिटी प्रभारी सुभाष सिंह ने बताया कि दोनों के पास से कुछ रजिस्टर जिसमें महिलाओं सहित युवकों के और मासूम बच्चों के फोटो लगे हुए हैं। जिनके आगे नाम व एड्रेस एवं मोबाइल नंबर लिखकर उनसे पैसे लेकर अवैध वसूली कर रहे थे। पुलिस ने दस्तावेजों को जप्त कर जांच कर रही है।


त्याग क्यों नहीं करती,धौलपुर की महारानी

सीएम गहलोत के रहमो-करम पर पूर्व सीएम वसुंधरा राजे रह सकेंगी सरकारी बंगले में। हाईकोर्ट के आदेश के बाद आखिर नैतिकता के आधार पर सरकारी सुविधा और बंगले का त्याग क्यों नहीं करती धौलपुर घराने की महारानी। गहलोत के बयान पर अब घनश्याम तिवारी क्या कहेंगे?

नई दिल्‍ली। सुपीम कोर्ट के बाद राजस्थान हाईकोर्ट ने भी आदेश दिया है कि पूर्व मुख्यमंत्री सरकारी सुविधा और बंगले का अधिकारी नहीं  है। ऐसी व्यवस्था समाज में असमानता का भाव पैदा करती है। हाईकोर्ट के इस आदेश के बाद राजस्थान की पूर्व सीएम और भाजपा की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष श्रीमती वसुंधरा राजे को जयपुर में सिविल लाइंस स्थित सरकारी बंगला संख्या 13 खाली करना पड़ेगा। लेकिन  कांग्रेस सरकार के मौजूदा सीएम अशोक गहलोत ने कहा है कि यह जरूरी नहीं कि वसुंधरा राजे से बंगला खाली करवाया जाए। राजे इस समय विधायक हैं और उनकी वरिष्ठता को देखते हुए बंगला संख्या 13 ही आवंटित किया जा सकता है। हाईकोर्ट के आदेश के बाद गहलोत ने जिस तरह की प्रतिक्रिया दी है उससे प्रतीत होता है कि राजे अपने पसंदीदा बंगले में ही रहेंगी। असल में वसुंधरा राजे ने भी मुख्यमंत्री रहते हुए अशोक गहलोत को पूर्व मुख्यमंत्री के नाते सिविल लाइन के बंगले में ही टिकाए रखा था। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद भी राजे ने गहलोत से बंगला खाली नहीं करवाया। जबकि गहलोत ने नैतिकता दिखाते हुए तब की भाजपा सरकार को बंगला खाली करने के संबंध में पत्र भी लिखा था। जब वसुंधरा राजे सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद गहलोत को बंगला दें सकती है तो हाईकोर्ट के आदेश के बाद अशोक गहलोत, वसुंधरा राजे को ऑबलाइज क्यों नहीं कर सकते? आखिर राजनीति में रिश्ते भी तो मायने रखते हैं। असल में असमंजस की स्थिति तो अब पूर्व मंत्री घनश्याम तिवाड़ी के सामने होगी। मुख्यमंत्री के पद पर रहते हुए जब राजे बंगला संख्या 13 पर अवैध कब्जा किया था, तब भाजपा विधायक होते हुए भी तिवाड़ी ने विधानसभा में राजे की कड़ी आलोचना की थी। प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बनने पर तिवाड़ी कांग्रेस में शामिल हो गए। अब जब सीएम गहलोत ही वसुंधरा को उसी बंगले में बनाए रखना चाहते हैं तो फिर तिवाड़ी क्या कहेंगे? 
नैतिकता के आधार पर बंगला खाली क्यों नहीं?:
सब जानते हैं कि वसुंधरा राजे कोई साधारण और गरीब राजनीतिज्ञ नहीं है। अशोक गहलोत को तो पूर्व मुख्यमंत्री के नाते जयपुर में मुफ्त में बंगले की जरूरत थी, लेकिन वसुंधरा राजे तो खानदानी रईस हैं। धौलपुर राज घराने की धौलपुर से लेकर दिल्ली तक की अरबों रुपए की सम्पत्तियों की वसुंधरा राजे और उनके एक मात्र सांसद पुत्र दुष्यंत सिंह ही मालिक हैं। यानि वसुंधरा राजे को अशोक गहलोत की तरह मुफ्त का बंगला और सरकारी सुविधाओं की दरकार नहीं है। राजे आर्थिक दृष्टि से इतनी मजबूत हैं कि जयपुर में रहने के लिए बंगले का इंतजाम कर सकती हैं। सवाल अशोक गहलोत के रहमो करम का नहीं है, सवाल वसुंधरा की नैतिकता का भी है। जब हाईकोर्ट ने वसुंधरा सरकार के विधेयक के कई प्रस्तावों को रद्द कर पूर्व मुख्यमंत्रियों की सुविधाओं पर रोक लगा दी है तो वसुंधरा राजे नैतिकता के आधार पर सरकारी सुविधाओं और बंगले का त्याग क्यों नहीं करती हैं?
एस.पी.मित्तल


सीएम ने जनसभा कर, मतदाताओं से संवाद किया

सीएम ने जनसभा कर, मतदाताओं से संवाद किया  संदीप मिश्र  बरेली। बरेली के आंवला में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को सुभाष इंटर कॉलेज ग्...