शनिवार, 15 मई 2021

वायरस के खिलाफ जंग में 5 अन्य वैक्सीन: भारत

सुनील श्रीवास्तव  
नई दिल्ली। कोरोना वायरस के खिलाफ अब देश निर्णायक लड़ाई लडने के मूड में आ गया है। भारत इस साल दिसंबर तक देश में कोरोना वायरस के खिलाफ जंग में करीब 2 अरब से अधिक वैक्सीन की खुराकें उपलब्ध होने की उम्मीद कर रहा है। देश में भले ही अभी 2 वैक्सीन से टीकारण अभियान चल रहा है, मगर सीरम की कोविशील्ड और भारत बायोटेक की कोवैक्सीन के अलावा आने वाले कुछ समय में और भी वैक्सीन उपलब्ध हो जाएंगी, जिस पर फिलहाल काम चल रहा है। सरकार ने 8 वैक्सीन की संभावित लिस्ट पेश की है, जिसमें कोविशील्ड, कोवैक्सीन और स्पूतनिक-वी (अगले सप्ताह से उपलब्ध) भी शामिल हैं और इनसे ही देश में टीकाकरण चल रहा है। वी.के. पॉल के मुताबिक, अगस्त से दिसम्बर तक टीके की 216 करोड़ खुराक का उत्पादन होने का अनुमान है, जिसमें से कोविशील्ड की 75 करोड़ खुराक जबकि कोवैक्सीन की 55 करोड़ खुराक शामिल होगी। इसके अलावा, बायोलॉजिकल ई द्वारा 30 करोड़ खुराक, जायड्स कैडिला 5 करोड़, सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा नोवावैक्स की 20 करोड़ खुराक और भारत बायोटेक द्वारा उसकी नेजल वैक्सीन की 10 करोड़ खुराकें जबकि जेनोवा 6 करोड़ खुराक और स्पूतनिक ङ्क 15.6 करोड़ खुराक उपलब्ध कराएगी।
नीति आयोग के सदस्य वी के पॉल ने कहा कि रूसी वैक्सीन स्पूतनिक-वी अगले सप्ताह भारत के बाजारों में उपलब्ध हो जाएगी। सरकार आने वाले समय में इन तीन वैक्सीन के अलावा जिन पांच वैक्सीन के तैयार होने की उम्मीद कर रही है, उनमें से चार वैक्सीन मेड इन इंडिया है। 
बायोलॉजिकल ई सबयूनिट वैक्सीन रू यह एक सबयूनिट वैक्सीन है जो परीक्षण के तीसरे चरण में है। इस वैक्सीन को पहले और दूसरे चरण के ट्रायल में सुरक्षित पाया गया है। सरकार इस वैक्सीन को लेकर काफी आशान्वित है। केंद्र को अगस्त से दिसंबर के बीच इस टीके की 30 करोड़ खुराक मिलने की उम्मीद है, बशर्ते उसे इसकी अनुमति मिल जाए।
जायड्स कैडिला डीएनए वैक्सीन रू जायड्स कैडिला की यह वैक्सीन अपने तीसरे चरण के ट्रायल में है और कंपनी जल्द ही इसके लाइसेंस के लिए भारत में अप्लाई करेगी। यह तीन खुराकों वाली वैक्सीन है। सरकार को दिसंबर तक जायड्स कैडिला वैक्सीन की 5 करोड़ खुराक मिलने की उम्मीद है।
नोवावैक्स अथवा कोवावैक्स रू कोविशील्ड बनाने वाली कंपनी सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ही इस वैक्सीन का भारत में उत्पादन करेगी। इस वैक्सीन को अमेरिकी कंपनी नोवावैक्स ने विकसित किया है। 
भारत बायोटेक की नेजल वैक्सीन रू भारत बायोटेक नाक से दी जाने वाली नेजल वैक्सीन पर काम कर रही है। यह वैक्सीन एक खुराक की होगी और सूई मुक्त होगी, जिसे भारत बायोटेक विकसित कर रहा है। फिलहाल, इस वैक्सीन के पहले और दूसरे चरण का ट्रायल हो रहा है। वीके पॉल ने कहा कि कंपनी ने काम करना शुरू कर दिया है और डेटा भी कंपनी से आया है। जेनोवा एमआरएनए वैक्सीन : पुणे की जेनोवा बायोफार्मास्युटिकल्स कंपनी यह मैसेंजर आरएनए वैक्सीन को विकसित कर रही है। 

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

Thank you, for a message universal express.

पायलट ने फ्लाइट अटेंडेंट को प्रपोज किया

पायलट ने फ्लाइट अटेंडेंट को प्रपोज किया  अखिलेश पांडेय  वारसॉ। अक्सर लोग अपने प्यार का इजहार किसी खास जगह पर करने का सोचते हैं। ताकि वो पल ज...