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मंगलवार, 8 जून 2021

बिहार: लॉकडाउन को समाप्त करने की घोषणा की

अविनाश श्रीवास्तव                   
पटना। बिहार में कोरोना संक्रमण के मामले में आई कमी को देखते हुए राज्य सरकार ने लॉकडाउन को समाप्त करने की घोषणा कर दी है। हालांकि शाम 7:00 बजे से सुबह 5:00 बजे तक रात्रि कर्फ्यू लगाने के आदेश जारी किए हैं।मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंगलवार को उच्चाधिकारियों के साथ बैठक की। इसके तुरंत बाद खुद सोशल नेटवर्किंग साइट पर ट्वीट कर लॉकडाउन समाप्त किए जाने की जानकारी दी। 
उन्होंने कहा, “लाॅकडाउन से कोरोना संक्रमण में कमी आई है। अतः लाॅकडाउन खत्म करते हुये शाम 7ः00 बजे से सुबह 5ः00 बजे तक रात्रि कर्फ्यू जारी रहेगा। 50 प्रतिशत उपस्थिति के साथ सरकारी एवं निजी कार्यालय 4ः00 बजे अपराह्न तक खुलेंगे। दुकान खुलने की अवधि 5ः00 बजे अपराह्न तक बढेंगी।बिहार के मुख्यमंत्री ने आगे ट्वीट कर कहा कि,”आनलाईन शिक्षण कार्य किये जा सकेंगे। निजी वाहन चलने की अनुमति रहेगी। यह व्यवस्था अगले एक सप्ताह तक रहेगी। उन्होंने कहा कि लोगों को अभी भी भीड़भाड़ से बचने की आवश्यकता है।

सोमवार, 31 मई 2021

लॉकडाउन को 8 जून तक बढ़ाने का निर्णय लिया

अविनाश श्रीवास्तव  
पटना। बिहार सरकार ने कोरोना वायरस संक्रमण के मद्देनजर राज्य में पहले से लागू लॉकडाउन की अवधि आठ जून तक के लिए बढा दी है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोमवार को ट्वीट किया, ‘‘कोरोना वायरस संक्रमण को देखते हुए लॉकडाउन को एक सप्ताह अर्थात 8 जून, 2021 तक बढ़ाने का निर्णय लिया गया है। परन्तु व्यापार के लिए अतिरिक्त छूट दी जा रही है। सभी लोग मास्क पहनें और सामाजिक दूरी बनाए रखें।’’
राज्य में संक्रमण के बढ़ते मामलों के मद्देनजर मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में चार मई को हुई आपदा प्रबंधन समूह की बैठक में 05 से 15 मई तक लॉकडाउन लगाने का निर्णय लिया गया था, जिसे बाद में बढ़ाकर 25 मई और फिर 31 मई तक कर दिया गया था। बिहार में कोरोना वायरस संक्रमण के कारण रविवार को और 52 लोगों की मौत होने के साथ ही राज्य में संक्रमण से मरने वालों की संख्या 5104 हो गयी है। प्रदेश में वर्तमान में कोविड-19 के उपचाराधीन मरीजों की संख्या 18,377 है और अभी तक राज्य में कुल 7,05,648 लोगों के संक्रमित होने की पुष्टि हुई है।

रविवार, 30 मई 2021

जल्ल़ाद: सनकी पति ने पत्नी-बच्चों को जिंदा जलाया

अविनाश श्रीवास्तव                  
पटना। बिहार के बेगूसराय जिले के गढपुरा थाना क्षेत्र के गढहाडा में एक सनकी पति ने पत्नी और बच्चों को जिंदा जला दिया। इसमें दो की घटनास्थल पर मौत हो गई। जबकि तीन की हालत नाजुक बनी हुई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार इस घटना में 17 वर्षीय पुत्री आसमां खातून और 60 वर्षीय पत्नी सलेखा खातून की मौत हो गई। तीन की हालत नाजुक बनी हुई है। घायलों की पहचान सालेखा खातून की 45 वर्षीय पुत्री सनीमा खातून, सनीमा खातून की 15 वर्षीय पुत्री यासमीन सहित 8 वर्षीय पुत्र मोहम्मद फारुख के रूप में की गई है। मो. मुख्तार ने इस घटना को अंजाम दिया है। घायल पीड़िता ने बताया कि पिछले 4 साल से घर में विवाद चल रहा था। विवाद के बाद पूरे परिवार को लेकर अपने मायके में रहकर गुजर-बसर कर रही थी। शनिवार की शाम भी पिता ने मोबाइल पर जान से मारने की धमकी दी थी। इस धमकी को उसके पिता ने हकीकत में बदल दिया। अपने भाई और भतीजा के साथ उसके पिता घर आए और दरवाजे को बाहर से बंद कर तेल छिडककर आग लगा दी। घर में बंद सभी चीखते-चिल्लाते रहे और इस दौरान मां और बहन की आग में झुलसकर मौत हो गई। फिलहाल पुलिस पूरे मामले की छानबीन कर रही है। गढहरा थाने के पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शवों को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए बेगूसराय सदर अस्पताल भेज दिया है।

सोमवार, 24 मई 2021

1 जून तक लाॅकडाउन जारी रखने का निर्णय लिया

अविनाश श्रीवास्तव  
पटना। बिहार सरकार ने कोरोना वैश्विक महामारी को फैलने से रोकने के लिए लगाए गए लॉकडाउन को एक जून तक बढ़ा दिया है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोमवार को क्राइसिस मैनेजमेंट ग्रुप (सीएमजी) की बैठक के तुरंत बाद खुद सोशल नेटवर्किंग साइट ट्विटर पर ट्वीट कर इसकी जानकारी दी।
उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण को देखते हुए 5 मई 2021 से तीन सप्ताह के लिए लाॅकडाउन लगाया गया था। आज फिर से सहयोगी मंत्रीगण एवं पदाधिकारियों के साथ स्थिति की समीक्षा की गई। नीतीश कुमार ने कहा कि लाॅकडाउन का अच्छा प्रभाव पड़ा है और कोरोना संक्रमण में कमी दिख रही है। इसलिए बिहार में 25 मई के आगे एक सप्ताह के लिए अर्थात 1 जून, 2021 तक लाॅकडाउन जारी रखने का निर्णय लिया गया है।

शुक्रवार, 21 मई 2021

लालू की दूसरी बेटी रोहिणी राजनीति में सक्रिय हुई

अविनाश श्रीवास्तव  

पटना। राष्ट्रीय जनता दल के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव की बेटी मीसा भारती के बाद उनकी एक और पुत्री रोहिणी आचार्य बिहार की राजनीति में काफी सक्रियता दिखा रही हैं। हाल के दिनों में उन्‍होंने ट्विटर पर अपनी सक्रियता काफी बढ़ा दी है। ऐसे तो उनका यह अकाउंट वैसे तो नवंबर 2017 से है। लेकिन इस पर राजनीतिक सक्रियता पिछले कुछ महीनों से अधिक है। पहले पिता लालू प्रसाद की रिहाई के लिए ट्विटर पर रोजा रखने का ऐलान, फिर एक के बाद एक बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी पर ताबड़तोड़ हमले। स्पष्ट है कि रोहिणी के इस ट्वटिर हैंडल से ज्‍यादातर टिप्‍पणियां पूरी तरह राजनीतिक होती हैं। 'सुशील मोदी को थूर देंगे', हाल में ही रोहिणी का ट्विटर पर दिए गए इस बयान ने काफी सुर्खियां बटोरीं।

रोहिणी आचार्य का यह ट्विटर अकाउंट फिलहाल अनवेरिफाइड है। इस अकाउंट पर रोहिणी की जो प्रोफाइल तस्‍वीर लगी है, उसमें खुद के अलावा उन्‍होंने अपने पिता लालू यादव और छोटे भाई तेजस्‍वी यादव की तस्‍वीर लगा रखी है। उनकी प्रोफाइल तस्‍वीर के साथ जो बैज लगा है, उसमें 'युवा संकल्‍प, तेजस्‍वी विकल्‍प' लिखा हुआ है। यानी यह साफ है कि तेजस्वी यादव को आगे रखकर ही उनकी राजनीति आगे बढ़ने वाली है. सवाल यह है कि आखिर तेजस्वी के साथ उनकी पॉलिटिक्स किस रास्ते आगे बढ़ सकती है।
लालू परिवार के छठे सदस्य की राजनीति में होगी एंट्री!
बता दें कि लालू फैमिली में कई सदस्य पहले से राजनीति में बेहद सक्रिय हैं। स्वयं लालू प्रसाद यादव एवं पूर्व सीएम राबड़ी देवी के अलावा बड़ी बेटी मीसा भारती, बड़ा बेटा तेज प्रताप यादव और छोटा बेटा तेजस्वी यादव बिहार की सियासत को साध रहे हैं। अब लालू परिवार की छठी सदस्य भी राजनीति में आने को आतुर हैं। हालांकि, लालू परिवार में भी गाहे-बगाहे सियासी खटपट की बातें सामने आती रहती हैं। तेजप्रताप-तेजस्वी के बीच खींचतान के साथ ही मीसा भारती की महत्वाकांक्षा भी कई बार जाहिर हो चुकी है। अब रोहिणी कि ख्वाहिश के साथ राजनीति में एंट्री कर रही हैं, यह देखना दिलचस्प होगा। 
पहली बार राजनीतिक सुर्खियों में आईं रोहिणी।
रोहिणी के राजनीति में आने की चर्चा इसलिए भी तेज है, क्योंकि सबसे पहले उनका नाम खुलकर तब सामने आया था जब वर्ष 2016 में तेजस्वी यादव बिहार के डिप्टी सीएम थे। उसी दौर में तेजस्वी का नाम बेनामी संपत्ति मामले में सामने आया था। उस वक्त यह खबर भी सामने आई थी कि लालू परिवार तेजस्वी को हटाने पर विचार कर रहा है और उनकी जगह रोहिणी आचार्य को उपमुख्यमंत्री बनाया जा सकता है। इसकी वजह यह भी थी कि तब मीसा भारती और उनके पति शैलेश कुमार का भी नाम इसी मामले में आया था। जाहिर है ऐसे में मीसा भारती के नाम की चर्चा हो भी नहीं सकती थी। लालू की रिहाई को रोजा रखने का ऐलान कर चर्चा में आईं।
हालांकि तब भी आधिकारिक तौर पर रोहिणी का नाम सामने नहीं आया था। इसके बाद नीतीश कुमार ने राजद का साथ छोड़ा और भाजपा के साथ सरकार बन गई। तब रोहिणी पर हो रही चर्चा भी वहीं थम गई। हाल में चारा घोटाले में जेल जाने के बाद से लालू यादव की बेटी रोहिणी ने अपनी सक्रियता ट्विटर पर दिखाई और अपने पिता लालू प्रसाद यादव की रिहाई के लिए आवाज बुलंद करती रहीं। सबसे अधिक चर्चा तब हुई जब उन्होंने पिता की रिहाई के लिए रोजा रखने का ऐलान किया। इसके बाद तो वह अक्सर बिहार से संबंधित हर मुद्दे पर अपनी राय रखती हैं।
डॉ रोहिणी आचार्य के निशाने पर अक्सर रहते हैं ये नेता
रोहिणी के ट्विटर अकाउंट को देखें तो उनके निशाने पर न सिर्फ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बल्कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी रहते हैं। गृहमंत्री अमित शाह के अलावा उन्होंने सुशील मोदी पर भी बेहद तीखी टिप्पणियां की हैं। बक्‍सर में गंगा में मिलीं लाशों को लेकर एक्‍ट्रेस कंगना रानौत को भी उन्होंने आंख की अंधी और दिमाग के पैदल बताया था। विशेष तौर पर नजर देने की बात यह भी है कि लालू की बड़ी बेटी व राज्‍यसभा सांसद मीसा भारती उतनी सक्रिय नहीं दिख रही हैं और न ही उनका ट्विटर अकाउंट ही ज्यादा एक्टिव है।

गुरुवार, 20 मई 2021

बिहार: ग्राम पंचायतों का कार्यकाल बढ़ाने की मांग

अविनाश श्रीवास्तव   
पटना। बिहार में कोरोना महामारी के बीच पंचायत चुनाव कराना संभव नहीं दिख रहा है। अगले महीने 15 जून को पंचायत प्रतिनिधियों का कार्यकाल खत्म हो रहा है। ऐसे में नीतीश सरकार 15 जून के बाद पंचायतों के संचालन की जिम्मेदारी अफसरों को देने की तैयारी कर रही है। लेकिन बिहार के नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने इसका विरोध किया है। तेजस्वी ने 15 जून के बाद भी पंचायतों के संचालन की जिम्मेदारी मौजूदा निर्वाचित प्रतिनिधियों को देने की वकालत की है। तेजस्वी ने कहा है कि अगर निर्वाचित पंचायत प्रतिनिधियों की जगह प्रशासनिक अधिकारी पंचायतों का जिम्मा सम्भालेंगे तो भ्रष्टाचार और तानाशाही बढ़ेगी। 
गुरूवार को बिहार के नेता प्रतिवाक्ष तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर लिखा कि "सरकार से माँग है कि कोरोना महामारी के आलोक में पंचायत चुनाव स्थगित होने के कारण आगामी चुनाव तक त्रिस्तरीय पंचायती प्रतिनिधियों का वैकल्पिक तौर पर कार्यकाल विस्तारित किया जाए, जिससे की पंचायत स्तर पर कोरोना प्रबंधन के साथ-साथ विकास कार्यों का बेहतर समन्वय के साथ क्रियान्वयन हो सके।" उन्होंने आगे लिखा कि "पंचायत लोकतंत्र की बुनियादी इकाई है। अगर निर्वाचित पंचायत प्रतिनिधियों की जगह प्रशासनिक अधिकारी पंचायतों का जिम्मा सम्भालेंगे तो यह भ्रष्टाचार व तानाशाही बढ़ाएगा। अब गॉंव स्तर पर भी सरकारी अफ़सर फाइल देखने लगेंगे तो गरीब की सुनवाई नहीं होगी। लोकतंत्र के लिए चुने हुए लोग जरुरी हैं। "नीतीश सरकार पर हमला बोलते हुए तेजस्वी ने कहा की "बिहार पहले से ही नीतीश सरकार की तानशाही और लोकतंत्र की हत्या से परेशान है। अब कम से कम पंचायत और वार्ड स्तर पर तो इस अलोकतांत्रिक रवैये, तानाशाही और संगठित भ्रष्टाचार को फैलाने से परहेज़ किजीए।" गौरतलब हो कि मौजूदा जन प्रतिनिधियों का कार्यकाल बढ़ाने को लेकर बिहार के राजनीतिक दलों का अलग-अलग मत है। भाजपा, जेडीयू और हम के बीच भी इस मुद्दे पर आपसी मतभेद है।

भाजपा के मुख्य प्रवक्ता राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि निर्वाचित प्रतिनिधियों को पूूरा पांच साल काम करने का मौका मिला है। उन्होंने अपना काम पूरा कर लिया होगा। अगर कुछ बच गया है तो उसे सरकार अपने स्तर से पूरा कर लेगी। उधर जदयू के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा ने कहा कि हम सबके सामने कोरोना से निबटने की बड़ी चुनौती है। पंचायतों का कार्यकाल 15 जून तक है। समय आने पर राज्य सरकार उचित निर्णय लेगी। जबकि सत्तारूढ़ हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा का रुख थोड़ा अलग है। वह कार्यकाल में विस्तार के पक्ष में है।


पिटाई के बाद मुंडन, काला मुंह कर गांव में घुमाया

अविनाश श्रीवास्तव   
समस्तीपुर। लोगों ने कानून को हाथ में लेकर प्रेमी युगल को सजा दी। ग्रामीणों ने दोनों के पेड़ में बांध दिया फिर शुरू हुआ बेरहम भीड़ इंसाफ। ग्रामीणों ने प्रेमी के चेहरे पर कालिख और चुना लगाने के बाद उसका मुंडन कराया। इस दौरान कई ग्रामीणों ने प्रेमी-युगल की पिटाई भी की।
मिली जानकारी के मुताबिक आरोपी युवक गांव की एक महिला को लेकर फरार हो गया था जिसकी सूचना पर ग्रामीणों ने उसकी काफी खोजबीन की। तब दोनों को दूसरे गांव से पकड़ा गया। जिसके बाद ग्रामीणों ने उनकी जमकर पिटाई की। दोनों को पेड़ में बांध दिया गया। प्रेमी के चेहरे पर कालिख और चुना लगाया दिया गया। इससे भी नहीं मन भरा तब प्रेमी का सिर मुंडन करा दिया। इस पूरी घटना के दौरान किसी ने वीडियो बना लिया और उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। घटना के संबंध में पूछे जाने पर बिथान थाने की पुलिस ने अपनी अनभिज्ञता जाहिर की। पुलिस ने कहा कि यदि पीड़ित युवक के द्वारा लिखित शिकायत की जाती है तो मामले की जांच की जाएगी और दोषी लोगों पर कार्रवाई की जाएगी।

बुधवार, 19 मई 2021

बिहार: कोरोना से 600 से अधिक शिक्षकों की मौत

अविनाश श्रीवास्तव   
पटना। कोरोना संक्रमण से आये दिन किसी ना किसी शिक्षक की मौत हो रही है। पटना जिले की बात करें तो अभी तक 35 शिक्षकों की मौत कोरोना से हो चुकी है। यह स्थिति सूबे के सभी 38 जिलों की है। सभी जिलों में कोरोना से मरने वाले शिक्षकों की संख्या 600  से अधिक है।पटना जिला शिक्षा कार्यालय के अलावा कई जिला शिक्षा कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार अभी तक छह सौ से अधिक शिक्षक कोरोना की चपेट में आ चुके हैं। 
वहीं, कई शिक्षक अभी भी कोरोना संक्रमित होकर हास्पीटल में गंभीर स्थिति में हैं। ज्यादातर शिक्षकों का परिवार आर्थिक तंगी से गुजर रहा है। शिक्षक तो दुनिया से चले गये, लेकिन इनके परिवार की स्थिति बहुत ही दयनीय है। कई शिक्षक का तो पूरा का पूरा परिवार ही कोरोना की चपेट में अब भी है। इनके पास इलाज के लिए पैसे नहीं हैं। 
जमीन गिरवी रख कर करवाया इलाज 

प्राथमिक विद्यालय चरिहानी गौनाहा पश्चिम चंपारण के शिक्षक मृत्युंजय पांडेय की मृत्यु कोरोना से हो गयी है। उनकी पत्नी पूनम देवी ने बताया कि जमीन गिरवी रख कर इलाज करवा रहे थे। वहीं उत्क्रमित मध्य विद्यालय बुढ़नीचक बाढ़ में सहायक शिक्षक राजकुमार राय की मृत्यु 21 अप्रैल को कोरोना से हो गई। पत्नी शारदा ने बताया कि 15 दिन हास्पीटल में भरती रखा। 80 हजार खर्च हुआ। शादी का जेवर गिरवी रखा है। फिर भी नहीं बच पाए।

केस-1

संतोष कुमार की उम्र 36 साल है। 2014 में नवसृजित प्राथमिक विद्यालय नरायनपुर बिंद नालंदा में नियोजन हुआ था। नौ मई को संतोष कुमार की मृत्यु कोरोना संक्रमण से हो गयी। पत्नी की हालत खराब है। चार साल का बेटा और दो साल की बेटी है। पिछले साल संतोष कुमार के पिता और माता दोनों की मृत्यु हो गयी थी। घर में कोई कमाने वाला नहीं है। पत्नी नीरू ने बताया कि नालंदा में किराये के मकान में रहते हैं।

केस-2

कमला सिन्हा 31 साल के थे। मध्य विद्यालय देवमाहा धनरूआ में सहायक शिक्षक के पद पर 2014 में नियोजन हुआ था। 24 अप्रैल को कोरोना संक्रमण से मृत्यु हो गयी। दो छोटे बच्चे हैं। आर्थिक स्थिति पहले से ही कमजोर थी। घर में कमाने वाले केवल कमला सिन्हा ही थे। पत्नी ने बताया कि छह महीने से उधार पर राशन पानी खरीद रहे थे।

आपदा राहत के तहत चार लाख का विशेष अनुदान

शिक्षकों की हो रही मौत पर तमाम शिक्षक संघ विशेष अनुदान देने की मांग कर रहे हैं। टीईटी एसटीईटी उत्तीर्ण नियोजित शिक्षक संघ के प्रदेश प्रवक्ता अश्विनी पांडेय ने बताया कि जिन शिक्षकों की जान कोरोना संक्रमण से जा रही है, उनके परिजन को ईपीएफ एवं आपदा राहत के तहत चार लाख की विशेष अनुग्रह राशि दी जाय, जिससे उन परिवार का भरण पोषण हो सके। वहीं, बिहार माध्यमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष केदारनाथ पांडेय ने भी दिवंगत शिक्षकों को विशेष अनुग्रह राशि देने की मांग की है।

मंगलवार, 18 मई 2021

बिहार: जमुई में एक साथ 22 लोग संक्रमित पाए गएं

अविनाश श्रीवास्तव              

जमुई। ब‍िहार के जमुई के गांवों में लगातार बढ़ रहे कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या यह बताती है कि सरकार की गाइडलाइन का उल्लंघन करते हुए विभिन्न तरह का आयोजन संक्रमण फैलने का कारण बन रहा है। इसका ताजा उदाहरण है, जमुई जिले के लक्ष्मीपुर प्रखंड इलाके का दिग्घी गांव है। जहां जांच के बाद रविवार को आई रिपोर्ट में एक साथ 22 लोग संक्रमित पाए गए हैं। जबकि एक संक्रमित शख्स की मौत इलाज के दौरान पटना में हो चुकी है। बताया जा रहा है क‍ि जिस संक्रमित शख्स विद्याभूषण उर्फ ललन मंडल की मौत हुई है। उसके बेटे छोटू की शादी बीते 26 अप्रेल को हुई थी। शादी में उस परिवार के अलावा आसपास के लोग बढ़-चढ़कर शामिल हुए थे। शादी के कुछ ही दिनों के बाद घर के मुखिया की तबीयत बिगड़ने लगी फिर इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। इसकी मौत के बाद जब उस टोले में कोरोना जांच करवाई गई। जहां एक साथ 22 पॉजिटिव मरीज मिले है। इसके बाद इलाके का मेन बाजार दिग्घी की सड़कें सुनसान है और दुकानें भी नहीं खुलती।

रविवार, 16 मई 2021

आक्रोश बढा, तेजस्वी यादव लापता के पोस्टर लगाए

अविनाश श्रीवास्तव   

पटना। बिहार में भी कोरोना वायरस तेज़ी से बढ़ रहा है। इस कोरोना काल के चलते बाकी के राज्यों की ही तरह यहां भी ऑक्सीजन की कमी हो रही है। मरीज़ों को अस्पतालों में बेड नहीं मिल रहे, दवाओं की कालाबाजारी भी हो रही है, ऐसे समय मे लोगों के बीच उनके क्षेत्र के प्रतिनिधि नहीं होने पर लोगों में आक्रोश देखें को मिला। लोगों ने विधायक तेजस्वी यादव के लापता होने के पोस्टर्स लगा दिए।

जानकारी के अनुसार, कोरोना महामारी में अपने क्षेत्र की मुसीबातों का जायज़ा लेने विधायक नहीं पहुंचे जिसके बाद स्थानीय लोगों ने आक्रोश में आकर राघोपुर के विधायक और नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के लापता होने के पोस्टर लगाकर विरोध करना शुरू कर दिया है। तेजस्वी यादव के साथ हाजीपुर के सांसद और लोजपा नेता पशुपति पारस के भी संसदीय क्षेत्र में नहीं रहने पर लोगों ने पोस्टर लगाकर विरोध जाहिर किया।

पोस्टर में विधायक के लापता होने की लिखी बात-
पोस्टर में लिखा गया है कि चुनाव जीतने के बाद दोनों माननीय अपने-अपने क्षेत्र से लापता हैं। कोरोनाकाल में भी इन लोगों को क्षेत्र की जनता का हाल-चाल पूछने की चिंता नहीं है। इन लोगों को यहां की जनता खोज रही है, जिन भाइयों को यह दोनों माननीय मिल जाए उन्हें 5100 रुपए इनाम दिया जाएगा। स्थानीय लोगों द्वारा चिपकाये गए पोस्टर के बाद सियासत शुरू हो गई है।

बीजेपी प्रवक्ता राम सागर सिंह ने साधा निशाना-
बीजेपी प्रवक्ता राम सागर सिंह का कहना है कि, जब भी बिहार में समस्या आती है, तेजस्वी यादव का गायब होना नई बात नहीं है। तेजस्वी सिर्फ ट्वीट करना जानते हैं। उन्हें अपने क्षेत्र के लोगों को कोई फिक्र नहीं है। यही कारण है कि ऐसे संवेदनशील मौके पर भी वो जनता से दूर हैं।

आरजेडी नेता ने किया बचाव-
क्षेत्र में तेजस्वी के पोस्टर चिपके होने की बात पर आरजेडी नेता मृत्युंजय तिवारी बच्छाव करते दिखे उन्होंने कहा कि, तेजस्वी यादव ने अपने सभी विधायकों को लोगों को मदद करने के लिए कहा है और सभी मदद के लिए जुटे हुए हैं। तेजस्वी अपने क्षेत्र के सभी लोगों का ख्याल रखे हुए हैं। हर कमी को पूरा कर रहे हैं।

पूर्व सांसद-विधायक का कोरोना संक्रमण से निधन

अविनाश श्रीवास्तव  
पटना। पूर्व विधायक एवं पूर्व राज्यसभा सांसद विजय सिंह यादव के निधन से राजनितिक गलियारों में शोक की लहर है। पूर्व सांसद विजय सिंह यादव के निधन पर बीजेपी ने शोक जताया है। बीजेपी ने ट्विटर पर इस बात की जानकारी दी है। बिहार बीजेपी ने ट्वीट कर लिखा कि "पूर्व सांसद विजय सिंह यादव जी को बिहार भाजपा परिवार की ओर से विनम्र श्रद्धांजलि। उनके निधन से सामाजिक और राजनैतिक जगत को गहरा आघात लगा है। भगवान से उनकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना करते हैं" पूर्व सांसद और दानापुर के नेता विजय सिंह यादव ने रविवार सुबह दम तोड़ दिया। वे पिछले कई दिनों से बीमार चल रहे थे। दानापुर के ही एक नर्सिंग होम में उन्हें भर्ती कराया गया था। रविवार सुबह कोरोना से जंग हार गए। पिछले साल उनके छोटे भाई राजकिशोर यादव की भी कोरोना से मौत हो गई थी। भाजपा नेता विजय सिंह यादव के निधन के बाद दानापुर में कार्यकर्ताओं के बीच शोक की लहर है।

पूर्व राज्यसभा सांसद एवं पूर्व विधायक विजय सिंह यादव के निधन पर हम के राष्ट्रीय अध्यक्ष जीतन राम मांझी ने भी शोक जताया है। उन्होंने कहा कि विजय सिंह यादव जी के निधन से राजनीतिक एवं सामाजिक रूप से अपूरणीय क्षति हुई है। ईश्वर उनके आत्मा को शांति और परिजनों को दुख सहन करने की शक्ति प्रदान करें। पूर्व सांसद विजय सिंह यादव साल 1996 में पहली बार भाजपा से दानापुर के विधायक चुने गए। इसके बाद विजय सिंह यादव 2000 में राज्यसभा के लिए बतौर सांसद चुने गए। तब से लगातार राजनीतिक में यह सक्रिय रहे हैं। वे भाजपा के अलावा राजद और कांग्रेस में भी रह चुके थे। पूर्व मुख्यमंत्री और राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद के भी कभी करीबी माने जाते थे।

गुरुवार, 13 मई 2021

अगले 10 दिनों तक लॉकडाउन बढ़ाया, संक्रमण

पटना। बिहार में कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए लगाए गए लॉकडाउन को अगले 10 दिनों तक के लिए बढ़ा दिया गया है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने गुरुवार को अपने मंत्रिमंडल के सहयोगियों और वरिष्ठ पदाधिकारियों के साथ राज्य में जारी लॉकडाउन की स्थिति की समीक्षा के बाद इसे अगले 10 दिनों तक बढ़ाने का फैसला लिया है। नीतीश कुमार ने खुद सोशल नेटवर्किंग साइट ट्विटर पर ट्वीट कर इसकी जानकारी दी है। नीतीश कुमार ने ट्वीट कर कहा कि आज सहयोगी मंत्रीगण एवं पदाधिकारियों के साथ बिहार में लागू लॉकडाउन की स्थिति की समीक्षा की गयी। लॉकडाउन का सकारात्मक प्रभाव दिख रहा है। अतः बिहार में अगले 10 दिनों अर्थात 16 से 25 मई, 2021 तक लॉकडाउन को विस्तारित करने का निर्णय लिया गया है।

बुधवार, 12 मई 2021

बिहार में गंगा से शव निकाले जाने का सिलसिला जारी

अविनाश श्रीवास्तव          

पटना। बिहार के बक्सर जिले में गंगा नदी में कई शव तैरते दिखे, जिसके बाद हड़कंप मच गया। उसके बाद यूपी के गाजीपुर में भी गंगा में शव उफनाते दिखे। शवों के इस तरह नदी में बहकर आने पर कोर्ट ने भी संज्ञान लिया। जिसके बाद बिहार में गंगा से शव निकाले जाने का सिलसिला जारी है। बिहार सरकार के मुताबिक बक्सर जिले में गंगा से अबतक कुल 73 शव निकाले जा चुके हैं। माना जा रहा है कि ये कोरोना वायरस  से मरने वालों के शव हैं। संभावना जताई जा रही है कि संभवतः अंतिम संस्कार नहीं करके ये शव गंगा नदी में प्रवाहित किए गए। शवों को निकालने के बाद चौसा गांव के महादेव घाट पर जेसीबी से खुदाई कर शव दफनाए जा रहे हैं। बिहार के जल संसाधन मंत्री संजय कुमार झा ने शवों के गंगा नदी में मिलने की चर्चा करते हुए कहा कि 4-5 दिन पुराने क्षत-विक्षत ये शव पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश से बहकर बिहार आए हैं, ये बिहार के नहीं हैं।उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को इतनी संख्या में शव बरामद होने और नदी में उन्हें प्रवाहित किए जाने से तकलीफ पहुंची है। क्योंकि वह गंगा नदी की स्वच्छता और निर्बाध प्रवाह को लेकर हमेशा चिंतित रहे हैं।

रविवार, 9 मई 2021

लालू की तबीयत बिगड़ी, ऑक्सीजन लेवल गिरा

अविनाश श्रीवास्तव   
पटना। आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव से जुड़े इस वक्त की बड़ी खबर सामने आ रही है। लालू यादव की तबीयत बिगड़ गई है। उनका ऑक्सीजन लेवल नीचे चला गया है, जिसके कारण वह आज की वर्चुअल मीटिंग में बहुत लंबा संबोधन नहीं करेंगे। तेजस्वी यादव ने खुद वर्चुअल मीटिंग के दौरान सबसे पहले इस बात की जानकारी दी हैआपको बता दें कि तकरीबन 3 साल 5 महीने यानि 41 महीने बाद रविवार को लालू प्रसाद यादव बिहार की राजनीति में एंट्री किये हैं। दोपहर दो बजे लालू प्रसाद यादव अपनी पार्टी के नेताओं के साथ वर्चुअल बैठक कर रहे हैं. इस बैठक में बिहार में आरजेडी के विधायक, विधान पार्षदों के साथ साथ पिछले विधानसभा चुनाव के प्रत्याशी मौजूद हैं। लेकिन राजद नेताओं और कार्यकर्ताओं के लिए बुरी खबर ये है कि आरजेडी सुप्रीमो की तबीयत फिर से ख़राब हो गई है। उनका ऑक्सीजन लेवल नीचे गिरा है, जिसके कारण वह बैठक में ज्यादा देर तक संबोधित नहीं करेंगे। तेजस्वी यादव ने खुद इसकी जानकारी दी है।
बैठक में राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने कहा कि "कोरोना काल में लाखों-लाख लोगों की मृत्यु हुई है। चारों तरफ इसी को लेकर तबाही मची हुई है। ऐसे समय में आपका फर्ज बनता है कि अपने क्षेत्र में जाकर अपनी जनता की सेवा करें। सेवा के साथ-साथ लोगों को जागरूक भी करें. मैं तो बीमार हूँ। नहीं जा रहे हैं कहीं भी। डॉक्टर छुट्टी नहीं दे रहें।" इतना कहकर लालू ने सबको "नमस्कार" कह अपना संबोधन खत्म किया।
आपको बता दें कि लालू प्रसाद यादव की बैठक को लेकर आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने सभी विधायक-विधान पार्षदों के साथ साथ पिछले चुनाव में प्रत्याशी रहे नेताओं को निर्देश जारी किया था। नेताओं को कहा गया था कि समय से पहले सभी नेता वर्चुअल तरीके से जुड़े जायें। सब अपने घऱ से ही सेल फोन के जरिये जुड़े। ये सुनिश्चित कर लें कि बैठक के दौरान मोबाइल कैमरे के फ्रेम में कोई दूसरा आदमी न हो। ऐसा न हो कि विधायक-विधान पार्षद या उम्मीदवार के साथ उनके परिवार का आदमी भी बैठा हो। सब ध्यान से राष्ट्रीय अध्यक्ष की बात सुनें। जिन्हें बोलने के लिए कहा जाये सिर्फ वही बोलें।

लालू प्रसाद यादव की इस बैठक नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव के साथ साथ प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह भी मौजदू हैं। इससे पहले जगदानंद ने बताया कि लालू प्रसाद यादव की ये कोई सिय़ासी बैठक नहीं है। बल्कि कोरोना महामारी के वक्त पार्टी के नेता कैसे लोगों की मदद करें वे ये दिशा निर्देश देंगे। जगदानंद ने बताया कि लालू प्रसाद से  बेहतर तरीके से बिहार के गरीबों के दर्द को समझने वाला कोई दूसरा नेता नहीं है। लालू ये बतायेंगे कि गरीबों की मदद कैसे करनी है।


कोरोना के खिलाफ जंग में सरकार का साथ दें

अविनाश श्रीवास्तव   
पटना। बिहार के मुख्यमंत्री ने लोगों से मदद की अपील की है। उन्होंने कहा है कि कोरोना के खिलाफ इस जंग में सरकार का साथ देना है। सीएम ने बिहारवासियों से आह्वान किया कि आइए संकल्प लेते हैं कि हम सब मिलकर इस जंग को जीतेंगे।मुख्यमंत्री ने कोरोना के इस संकट में एक के बाद एक तीन ट्वीट्स कर लोगों को साथ आने की अपील की।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना के इस संकट काल में सरकार सभी जरूरी कदम उठा रही है। इस आपदा से निपटने में बेहद धैर्य, अनुशासन और हिम्मत के साथ काम करने वाले चिकित्सकों, नर्सों, सफाई कर्मियों, प्रशासन और पुलिस के लोगों सहित सभी कोरोना योद्धाओं का हम पूरे बिहार परिवार की तरफ आभार व्यक्त करते हैं। सीएम ने अपने दूसरे ट्वीट में कहा कि इस आपदा में अनेक सामाजिक संगठनों के प्रतिनिधिगण मानवता की सेवा कर रहे हैं। युवा साथी जनता की सेवा के लिए विशेष रूप से सक्रिय हैं और सोशल मीडिया का सकारात्मक प्रयोग कर रहे हैं, जो सराहनीय है। ऐसे सभी लोगों का भी हम बिहार परिवार की तरफ से धन्यवाद करते हैं।
जंग में सरकार का साथ देना है-सीएम

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आगे कहा कि कोरोना की पहली लहर के दौरान बिहार ने बहुत दृढ़ता और साहस के साथ ये लड़ाई लड़ी। इस बार भी कोरोना गाइडलाइंस का पालन करते हुए हमें अपने को और अपनों को बचाना है। कोरोना के खिलाफ इस जंग में सरकार का साथ देना है। आइए संकल्प लेते हैं कि हम सब मिलकर इस जंग को जीतेंगे।

शनिवार, 8 मई 2021

जेडीयू नेता तनवीर अख्तर की कोरोना से मौत हुईं

अविनाश श्रीवास्तव   
पटना। जनता दल यूनाइटेड के नेता और विधान पार्षद तनवीर अख्तर की कोरोना से मौत हो गई है। कुछ दिनों से पटना के एक अस्पताल में भर्ती थे जहां आज उन्होंने अंतिम सांस ली। बता दे तनवीर अख्तर जेडीयू अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के प्रदेश के इंचार्ज थे। एमएलसी तनवीर अख्तर विधानसभा कोटे से 2016 में एमएलसी बने थे और उनका कार्यकाल जुलाई 2022 तक था।
बता दें, जदयू नेता तनवीर अख्तर गया जिला के रहने वाले थे। पहले ये कांग्रेस पार्टी से जुड़े थे। कांग्रेस से ही 2016 में एमएलसी चुने गए थे। मार्च 2018 में जब अशोक चौधरी कांग्रेस छोड़ जदयू में शामिल हुए थे तो उनमें से एक एमएलसी तनवीर अख्तर भी थे। ये जेएनयू छात्र संघ के अध्यक्ष भी रह चुके थे। इसके अलावे बिहार कांग्रेस में भी ये कई पदों पर अपनी सेवा दे चुके थे।

शुक्रवार, 7 मई 2021

भारतीय सेना ने 2 फील्ड अस्पतालों को पटना पहुंचाया

 अविनाश श्रीवास्तव                    
 पटना। बिहार में बढ़ते कोविड केसों को देखते हुए भारतीय सेना ने नॉर्थ ईस्ट के 2 फील्ड अस्पतालों को हवाई जहाज से पटना पहुंचा दिया है। इनमें चिकित्सा विशेषज्ञ, चिकित्सा अधिकारी, नर्सिंग और सहायक कर्मचारी हैं जो 100 आईसीयू बेड सहित ईएसआई, पटना में 500 बेड वाले अस्पताल की स्थापना में सहयोग देंगे।अगले दो दिनों में भारतीय सेना यहां हवाई मार्ग से और सुविधाएं बढ़ाएगी। 
सेना के प्रवक्ता ने बताया कि भारतीय सेना ने बिहार में कोविड मामलों की वृद्धि को देखते हुए राज्य सरकार की सहायता के लिए उत्तर-पूर्व के दो फील्ड अस्पताल हवाई जहाज से पटना पहुंचा दिए हैं। इन फील्ड अस्पतालों में चिकित्सा विशेषज्ञ, चिकित्सा अधिकारी, नर्सिंग और सहायक कर्मचारी शामिल हैं। यह मेडिकल टीम ईएसआई पटना में 100 आईसीयू बेड सहित 500 बेड वाले अस्पताल की स्थापना में सहयोग करेगी। अस्पताल में मेडिकल स्टाफ की ताकत बढ़ाने के लिए अतिरिक्त विशेषज्ञ, चिकित्सा अधिकारी, नर्सिंग स्टाफ के साथ-साथ प्रशिक्षित इन्फैंट्री बैटलफील्ड नर्सिंग असिस्टेंट को अगले दो दिनों में हवाई मार्ग से भेजा जा सकता है।
 ​प्रवक्ता का कहना है कि भारतीय सेना राष्ट्रीय स्तर पर कोविड रिस्पांस में सबसे आगे रही है। एक ओर सेना ने अपने सैन्य बल को कोविड से बचाए रखा है। पूर्व सैनिकों और उनके आश्रितों को चिकित्सा देखभाल सुनिश्चित की है। सेना ने सिविल अधिकारियों की सहायता के लिए दिल्ली, अहमदाबाद, लखनऊ, वाराणसी और पटना के उन पांच कोविड अस्पतालों में काफी चिकित्सा संसाधन भी तैनात किए हैं। जो इन शहरों में या तो पहले से कार्यरत हैं या स्थापित होने की प्रक्रिया में हैं। इसीलिए एक महानिदेशक रैंक के अधिकारी के तहत विशेष कोविड प्रबंधन प्रकोष्ठ की स्थापना की गई है। जो सीधे वाइस चीफ ऑफ आर्मी स्टाफ को रिपोर्ट करेंगे।
 इससे दिल्ली समेत देश भर में कोविड मामलों में बेहद तेज़ी से हो रही वृद्धि को कम करने के लिए रीयल टाइम प्रतिक्रियाओं के समन्वय में अधिक दक्षता आएगी। दिल्ली में परीक्षण, सैन्य अस्पतालों में प्रवेश और महत्वपूर्ण चिकित्सा उपकरणों के परिवहन आदि के रूप में नागरिक प्रशासन को सहायता पहले से ही प्रदान की जा रही है। भारतीय सेना कोविड महामारी से लड़ने में राष्ट्रीय प्रयासों में शामिल होने के लिए प्रतिबद्ध है।

गुरुवार, 6 मई 2021

बिहार में बरसात की संभावना, येलो अलर्ट जारी

अविनाश श्रीवास्तव   
पटना। बिहार में मौसम का मिजाज बदला हुआ है। पश्चिम चंपारण के कुछ भागों में तेज हवा के साथ बारिश हुई है। जिसे देखते हुए मौसम विज्ञान केंद्र राज्य के सभी जिलों के येलो अलर्ट जारी कर सात मई तक सचेत रहने को कहा है। साथ ही मौसम विज्ञान केंद्र पटना के फेसबुक पेज और ट्विटर हैंडल के माध्यम से भी मौसम खराब होने की स्थिति में विभिन्न जिलों के लिए अलर्ट जारी किया जा रहा है।
आपकों बता दें कि कालवैशाखी की सक्रियता से बिहार में मौसम का मिजाज इन दिनों बदला हुआ है। तेज आंधी-पानी के साथ आकाशीय बिजली गिरने की घटनाएं बढ़ी हैं। सूबे में कई जगहों पर ओले गिरने की भी सूचना है। हवा की रफ्तार अधिकतम 30 से 40 किमी प्रतिघंटे रहने की वजह से जनजीवन पर इसका असर पड़ा है। पिछले 24 घंटों में उत्तर बिहार में विभिन्न जगहों पर आंधी पानी की तीव्रता थोड़ी अधिक रही। गौनाहा में 30 मिमी, त्रिवेणी में 20 मिमी, माधोपुर, फारबिसगंज और बगहा में 10 मिमी बारिश हुई। पश्चिमी चंपारण के कुछ भागों में भी तेज हवा के साथ बारिश हुई। जिसे देखते हुए मौसम विज्ञान केंद्र पटना ने अलर्ट जारी किया है।

बिहार ग्राम पंचायत प्रशासनिक अधिकारी के हवाले

अविनाश श्रीवास्तव 
पटना। बिहार में पंचायतें अब प्रशासनिक अधिकारियों के हवाले की जाएगी। कैबिनेट की मंजूरी के बाद इसे लागू किया जाएगा। 15 जून के बाद बिहार की त्रिस्तरीय पंचायतों का कामकाज जनप्रतिनिधियं के बजाए पूरी तरह अधिकारियों के हवाले होगा। 15 जून के बाद व्यवस्था में बदलाव किया जाएगा। वार्ड से लेकर ग्राम पंचायत, पंचायती समिति और जिला परिषद तक की विकास योजनाएं बनाने और मंजूर करने का अधिकार प्रखंड से लेकर जिलों के अफसरों को देने की तैयारी की जा रही है। विकास योजनाओं की तकनीकी और प्रशासनिक स्वीकृति का अधिकार बीडीओ, डीडीसी और डीएम को सौंपने की तैयारी पंचायती राज विभाग कर रहा है। कैबिनेट की मंजूरी के बाद इसे लागू कर दिया जाएगा।सरकार की तैयारियों को देख यह कहा जा सकता है कि 15 जून से पहले त्रिस्तरीय पंचायतों में चुनाव कराने के प्रस्ताव को राज्य निर्वाचन आयोग ने ठंडे बस्ते में डाल दिया है। पहले तो ईवीएम विवाद और फिर रही सही कसर को कोरोना ने पूरी कर दी। तेजी से बढ़ रहे संक्रमण ने आयोग की तैयारी पर पानी फेर दिया है। ऐसे में सरकार के पास अब विकल्प के रूप मेें पंचायती राज कानून-2006 में संशोधन ही बचा है। 2006 मेें पंचायती राज अधिनियम बनाने के दौरान विशेषज्ञों को यह अहसास भी नहीं था कि कभी चुनाव टालने की नौबत आएगी। ऐसे में पंचायती राज संस्थाओं के अधिकार दिए जाने के बारे में अधिनियम में कोई उल्लेख नहीं है। लिहाजा वैकल्पिक व्यवस्था करने के लिए सरकार को अध्यादेश लाना होगा। हालांकि विचार इसपर भी किया जा सकता है कि पंचायती संस्थाओं के कार्यकाल का विस्तार किया जाए। इस चुनाव को लेकर पंचायती राज मंत्री सम्राट चौधरी का कहना है कि चुनाव कब होंगे, इसका फैसला आयोग करेगा। राज्य सरकार फंड और अन्य इंतजाम करती है। सरकार वह काम कर चुकी है, लेकिन वर्तमान परिवेश में चुनाव कराना संभव नहीं लग रहा है। कोरोना से स्थिति दिन पर दिन बिगड़ती जा रही है ऐसे में इस पर ग्रहण लगता नजर आ रहा है। 


जिसके तहत पंचायती राज विभाग कानून में संशोधन का मसौदा तैयार किया जा रहा है। चुनाव पर विचार करने के लिए आयोग ने 21 अप्रैल को 15 दिनों का समय लिया था। आयोग को उम्मीद थी कि कोरोना संक्रमण की रफ्तार कम हो जाएगी लेकिन समय सीमा समाप्त होने के बाद कोरोना की रफ्तार कम होने के बदले बढ़ती जा रही है। ऐसे में यह तय है कि जून के पहले सप्ताह में मानसून का प्रवेश के कारण आयोग के लिए चुनाव करना संभव नहीं होगा।


बुधवार, 5 मई 2021

आप से नहीं संभल रहा, दायित्व सेना को सौंपे: एचसी

 अविनाश श्रीवास्तव  
पटना। देशभर समेत बिहार में भी कोरोनावायरस को लेकर हालात बिगड़ते जा रहे हैं। राज्य में हर दिन संक्रमितों का आंकड़ा बढ़ रहा है। वहीं कई पीड़ित लोग ऑक्सीजन और बेड की कमी से जूझ रहे हैं। बिहार में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच पटना हाई कोर्ट ने राज्य सरकार को फटकार लगाई है। कोर्ट ने राज्य सरकार से पूछा है कि अगर आप से स्थिति नहीं संभल रही है तो क्या कोविड का प्रबंधन सेना को सौंप देना चाहिए? अदालत ने कहा कि बार-बार आदेश देने के बावजूद स्थिति में कोई सुधार नहीं हो रहा है। कोर्ट ने यहां तक कह डाला कि ये शर्म की बात है कि हमारे बार-बार आदेश देने के बाद भी लोग मर रहे हैं। इस बीच राज्य में ना तो सरकारी अस्पताल और न निजी अस्पताल में लोगों को बेड मिल रहा है और जो भर्ती हैं उन्हें पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन भी नहीं मिल रहा है।

पायलट ने फ्लाइट अटेंडेंट को प्रपोज किया

पायलट ने फ्लाइट अटेंडेंट को प्रपोज किया  अखिलेश पांडेय  वारसॉ। अक्सर लोग अपने प्यार का इजहार किसी खास जगह पर करने का सोचते हैं। ताकि वो पल ज...