शनिवार, 4 जून 2022

2 सड़क हादसों में 3 बच्चों सहित 7 की मौत

2 सड़क हादसों में 3 बच्चों सहित 7 की मौत
मनोज सिंह ठाकुर  
खंडवा। मध्य प्रदेश के खंडवा और सिंगरौली जिलों में दो अलग-अलग सड़क हादसों में तीन बच्चों सहित सात लोगों की मौत हो गई, जबकि 16 अन्य घायल हो गए। पुलिस ने शनिवार को यह जानकारी दी। हरसूद के अनुविभागीय अधिकारी पुलिस (एसडीओपी) रविंद्र वास्कले ने बताया कि खंडवा जिला मुख्यालय से करीब 60 किलोमीटर दूर खंडवा-बैतूल राजमार्ग पर खिरकिया-खालवा के बीच धनोरा गांव में शुक्रवार रात 35 लोगों से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉली पलट गई, जिससे उसमें सवार पांच लोगों की मौत हो गई।
उन्होंने बताया कि मृतकों में तीन महिलाएं और दो बच्चे शामिल हैं, जिनकी पहचान सुंदरबाई, गुनई बाई, शिलू बाई, सरमार सिंह व निखिल के रूप में की गई है। वास्कले के मुताबिक, इस हादसे में 15 लोग घायल भी हुए हैं, जिनमें से छह की हालत गंभीर है और उनका इलाज खंडवा जिला अस्पताल में चल रहा है। वहीं, बाकी घायलों को खिरकिया के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती किया गया है। वास्कले के अनुसार, हादसे के समय ये लोग हरदा में आयोजित एक कार्यक्रम में शामिल होने के बाद अपने गांव मेढ़ापानी लौट रहे थे।वहीं, माडा पुलिस थाने के प्रभारी नागेंद्र सिंह ने बताया कि सिंगरौली जिला मुख्यालय से तकरीबन 50 किलोमीटर दूर अमराहवा गांव में शुक्रवार शाम एक तेज रफ्तार डंपर ने मोटरसाइकिल को टक्कर मार दी, जिससे उस पर सवार पुलेश्वर वैश्य और उसके पांच वर्षीय भांजे की मौके पर ही मौत हो गई। सिंह के मुताबिक, इस हादसे में पुलेश्वर वैश्य की बहन घायल हुई है और उसे एक अस्पताल में भर्ती कराया गया है। उन्होंने बताया कि पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज कर डंपर को जब्त कर लिया है।


भेदभाव पूर्ण कार्रवाई, आंदोलन की चेतावनी दी

भेदभाव पूर्ण कार्रवाई, आंदोलन की चेतावनी दी
मनोज सिंह ठाकुर  
भोपाल। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने देवास जिले की खातेगांव पुलिस पर भेदभावपूर्ण कार्रवाई करने का आरोप लगाते हुए आंदोलन की चेतावनी दी है। पूर्व मुख्यमंत्री सिंह ने ट्वीट के जरिए कहा कि रामदेव काकोड़िया नाम के आदिवासी व्यक्ति के साथ सत्तारूढ़ दल भाजपा से जुड़े कुछ लोगों ने थाने में थाना प्रभारी के संरक्षण में मारपीट की। इस मामले में दोषियों को बचाया जा रहा है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि देवास पुलिस इस मामले में अपना वादा पूरा नहीं करती है, तो इस मामले में वे स्वयं आंदोलनकारियों का समर्थन कर मैदान में उतरेंगे।

पीएम 'मिट्टी बचाओ आंदोलन’ को संबोधित करेंगे

पीएम 'मिट्टी बचाओ आंदोलन’ को संबोधित करेंगे
अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पांच जून को विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर राष्ट्रीय राजधानी में ‘मिट्टी बचाओ आंदोलन’ से जुड़े एक कार्यक्रम को संबोधित करेंगे। प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने शनिवार को यह जानकारी दी। पीएमओ ने एक बयान जारी कर कहा कि ‘मिट्टी बचाओ आंदोलन’ एक वैश्विक पहल है, जिसका मकसद लोगों को मिट्टी की बिगड़ती सेहत के बारे में जागरूक करना और इसमें सुधार लाने के प्रयासों को बढ़ावा देना है।
बयान के मुताबिक, ‘मिट्टी बचाओ आंदोलन’ की शुरुआत इस साल मार्च में सद्गुरु जग्गी वासुदेव ने की थी, जो 27 देशों से होकर गुजरने वाली 100 दिनों की मोटरसाइकिल यात्रा पर हैं। बयान में बताया गया है कि पांच जून, 2022 को उनकी यात्रा का 75वां दिन होगा। इसमें कहा गया है कि कार्यक्रम में मोदी की भागीदारी भारत में मिट्टी की सेहत में सुधार को लेकर साझा चिंताओं और प्रतिबद्धताओं को प्रतिबिंबित करेगी।

भारतीय वैज्ञानिक का डूडल बनाकर याद किया

भारतीय वैज्ञानिक का डूडल बनाकर याद किया

डॉक्टर सुभाषचंद्र गहलोत   
नई दिल्ली/वाशिंगटन डीसी। सर्च इंजन गूगल ने आज भारत के प्रसिद्ध वैज्ञानिक एवं गणितज्ञ सत्येंद्र नाथ बोस को उनके क्वांटम फॉर्मूलेशन अलबर्ट आइंस्टीन को भेजे जाने के दिन (चार जून) को उनका डूडल बनाकर याद किया। सत्येंद्र नाथ बोस का जन्म एक जनवरी 1894 को कोलकाता में हुआ था। उन्हें 1920 के दशक में क्वांटम मैकेनिक्स के फील्ड में उनके शोध के लिए जाना जाता है। आज ही के दिन यानी चार जून 1924 को बोस ने अल्बर्ट आइंस्टीन को क्वांटम फॉर्मूलेशन भेजा था।
उन्होंने हिग्स बोसोन यानी गाड पार्टिकल की खोज की गई थी। उन्हें बोस-आइंस्टीन स्टेटिस्टिक और बोस-आइंस्टीन केंडेनसेंट सिद्धांत के लिए भी जाना जाता है। भारत सरकार ने 1954 में उनको देश के दूसरे सबसे बड़े नागरिक सम्‍मान पद्मविभूषण से सम्मानित किया था।

लोक कल्याण नाम रखने से नहीं होता भला: राहुल

लोक कल्याण नाम रखने से नहीं होता भला: राहुल

अखिलेश पांडेय    
नई दिल्ली। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के घर का पता लोक कल्याण मार्ग है, लेकिन  मोदी को समझना चाहिए कि पता ‘लोक कल्याण’ रखने से लोगों का भला नहीं होता है। राहुल गांधी ने ट्वीट किया “घर का पता ‘लोक कल्याण मार्ग’ रख लेने से लोगों का कल्याण नहीं होता।
प्रधानमंत्री ने साढ़े 6 करोड़ कर्मचारियों के वर्तमान और उनके भविष्य को बर्बाद करने के लिए ‘महंगाई बढ़ाओ, कमाई घटाओ’ मॉडल को लागू किया है।” कांग्रेस नेता ने इसके साथ ही एक अखबार की खबर के साथ छपे आंकड़े को भी पोस्ट किया है, जिसमें कहा गया है कि कर्मचारी भविष्य निधि की दर 40 साल में सबसे निचले स्तर पर है।

घर के मंदिर में नहीं रखी जाती 'शनिदेव' की मूर्ति

घर के मंदिर में नहीं रखी जाती 'शनिदेव' की मूर्ति

सरस्वती उपाध्याय    
भगवान की पूजा के लिए लोग अपने घरों में सभी देवी-देवताओं की मूर्ति रखते हैं। लेकिन घर में शनि देव की मूर्ति नहीं रखी जाती है। आखिर क्या है इसके पीछे की वजह आइए जानें। जैसा के हम सभी लोग जानते है कि शनिवार का दिन भगवान शनि को समर्पित होता है।
इस दिन शनि देव की पूजा की जाती है। मान्यता है कि अगर किसी व्यक्ति के कुंडली में शनि की साढ़े साती या महादशा चल रही है तो इस दिन पूजा-पाठ करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है। लेकिन इसके बावजूद भी शनिदेव की मूर्ति को घर में रखने पर पाबंदी है। 
आइए जानें कि आखिर ऐसी क्या वजह है ?
जिसके कारण शनिदेव की मूर्ति को घर के मंदिर में नहीं रखा जाता।
शास्त्रो में कुछ देवी- देवताओं की तस्वीर लगाना वर्जित माना गया है। इन्हीं में से शनिदेव की मूर्ति घर पर लगाना वर्जित माना गया है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार शनि देव को श्राप मिला था कि वह जिसे भी देखेंगे, उसका अनिष्ट यानी बुरा हो जाएगा। यही वजह है कि शनिदेव (Shani Dev) की दृष्टि सीधे तौर पर हमारे जीवन पर ना पड़े इसलिए शनिदेव की तस्वीर या मूर्ति को घर के मंदिर में रखना सही नहीं माना जाता।
कैसे करें शनि देव की मूर्ति पूजा
शनिवार के दिन पूजा के दौरान लाल रंग या लाल फूल का भी प्रयोग न करें क्योंकि लाल रंग मंगल का परिचायक है और मंगल शनि के शत्रु ग्रह हैं।
इस दिन नीले या काले रंगों का ही प्रयोग करना चाहिए। शनि देव की पूजा में हमेशा लोहे के बर्तनों का प्रयोग करना चाहिए।
भूलकर भी शनि देव की पूजा में तांबे के बर्तनों का प्रयोग नहीं करना चाहिए, क्योंकि तांबा का संबंध सूर्यदेव से है और सूर्यपुत्र होने के बावजूद शनि देव सूर्य के परम शत्रु हैं।
पूजा करते समय कभी भी उनकी मूर्ति के सीधे सामने खड़े होकर उनके दर्शन नहीं करने चाहिए।
शनि देव के दर्शन हमेशा मूर्ति के दाएं या बाईं ओर खड़े होकर करना चाहिए।
मंदिर में पूजा करते वक्त शनि देव की आंखों में आंखें डालकर दर्शन नहीं करना चाहिए।
शनि देव की दृष्टि से बचने के लिए बेहतर है कि शनि देव की मूर्ति की बजाय उनके शिला रूप के दर्शन करें।
कृपा पाने के लिए पीपल के पेड़ की पूजा करें, शनिवार को सरसों के तेल का दीपक जलाएं।
शनि देव को तेल अर्पित करते वक्त इस बात का ध्यान रखा जाता है कि तेल इधर-उधर ना गिरे या फिर उस तेल को गरीबों में दान करें।
शनि देव को प्रसन्न करने के लिए काली वस्तुओं का दान करें। इसमें आप काले कपड़े, चमड़े के जूते-चप्पल काले तिल, काली उड़द और सरसों का तेल आदि चीजों का दान कर सकते हैं।

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण  

1. अंक-239, (वर्ष-05)
2. रविवार, जून 5, 2022
3. शक-1944, ज्येष्ठ, शुक्ल-पक्ष, तिथि-षष्ठी, विक्रमी सवंत-2079।
4. सूर्योदय प्रातः 05:33, सूर्यास्त: 07:09।
5. न्‍यूनतम तापमान- 25 डी.सै., अधिकतम-43+ डी.सै.। उत्तर भारत में बरसात की संभावना।
6. समाचार-पत्र में प्रकाशित समाचारों से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं है। सभी विवादों का न्‍याय क्षेत्र, गाजियाबाद न्यायालय होगा। सभी पद अवैतनिक है।
7.स्वामी, मुद्रक, प्रकाशक, संपादक राधेश्याम व शिवांशु, (विशेष संपादक) श्रीराम व सरस्वती (सहायक संपादक) संरक्षण-अखिलेश पांडेय, ओमवीर सिंह, वीरसेन पवार, योगेश चौधरी आदि के द्वारा (डिजीटल सस्‍ंकरण) प्रकाशित। प्रकाशित समाचार, विज्ञापन एवं लेखोंं से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं हैं। पीआरबी एक्ट के अंतर्गत उत्तरदायी।
8. संपर्क व व्यवसायिक कार्यालय- चैंबर नं. 27, प्रथम तल, रामेश्वर पार्क, लोनी, गाजियाबाद उ.प्र.-201102।
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डीएम ने विभागीय अधिकारियों के साथ बैठक की

डीएम ने विभागीय अधिकारियों के साथ बैठक की पंकज कपूर  नैनीताल/हल्द्वानी। उच्च न्यायालय उत्तराखंड द्वारा दिए गए निर्देशों के क्रम में नैनीताल ...