मंगलवार, 8 जून 2021

नाखून बदले-बदले दिखने लगे तो हो जाएं सावधान

नॉर्विच। नाखून की सजावट के लिए महिलाएं तमाम जतन करती हैं। क्या आपको पता है, सुंदर दिखने वाले नाखून आपके शरीर का राज बता देते हैं। अगर आपके नाखून कुछ बदले-बदले से दिख रहे हो तो बेहद होशियार हो जाइए। समझ लें कि ‘‘कोविड नाखून’’ बीमारी से आप घिर चुके हैं। कोरोना संक्रमण से पूरी दुनिया में जूझ रही हैं। कोविड-19 के मुख्य लक्षण बुखार, खांसी, थकान और स्वाद तथा गंध के एहसास में कमी हैं। त्वचा में भी कोविड-19 के लक्षण देखे गए हैं। लेकिन शरीर का एक और हिस्सा है। 
जहां वायरस का प्रभाव पड़ता है और वह हैं आपके नाखून। वासिलियोस वासिलीऊ, यूनिवर्सिटी ऑफ ईस्ट एंग्लिया, यूनिवर्सिटी ऑफ ईस्ट एंग्लिया और यूनिवर्सिटी ऑफ ईस्ट एंग्लिया नॉर्विच की ओर से केस स्टडी के बाद यह बात कही गई है।स्टडी के मुताबिक कई मरीजों के नाखून में बदलाव देखने को मिला है। कोविड-19 संक्रमण के बाद, कुछ रोगियों के नाखूनों का रंग फीका पड़ जाता है या कई सप्ताह बाद उनका आकार बदलने लगता है – इसे ‘‘कोविड नाखून’’ कहा जाता है। नाखूनों के आधार पर लाल रंग की अर्ध-चंद्र की आकृति बनना है। ऐसा लगता है कि यह कोविड से जुड़ी नाखून की अन्य शिकायतों से पहले ही मौजूद था, रोगियों ने कोविड संक्रमण का पता लगने के दो सप्ताह से भी कम समय में इसे देखा है।
नाखून पर इस तरह की लाल अर्ध-चंद्र आकृति आम तौर पर दुर्लभ होती हैं, और पहले नाखून के आधार के इतने करीब नहीं देखी गई हैं। इसलिए इस आकृति का इस तरह दिखना विशेष रूप से कोविड-19 के संक्रमण का एक संकेत हो सकता है। स्टडी के मुताबिक, नाखून पर यह अर्ध-चंद्र क्यों बनता है, इसका एक संभावित कारण वायरस से जुड़ी रक्त वाहिका में क्षति हो सकती है। या फिर यह वायरस के खिलाफ प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया के कारण हो सकता है जिससे रक्त के छोटे थक्के जमते हैं और नाखून का रंग फीका हो सकता है।रोगी यदि लक्षणमुक्त है तो महत्वपूर्ण रूप से, इन निशानों के बारे में चिंता करने की कोई बात नहीं है – हालांकि यह स्पष्ट नहीं है कि वे कितने समय तक रहते हैं। रिपोर्ट किए गए मामलों में यह कुछ में एक सप्ताह तो कुछ में चार सप्ताह रहे।
कुछ रोगियों ने अपने हाथों और पैरों की उंगलियों के नाखूनों के आधार में नए अलग तरह की रेखाएं भी देखीं जो अमूमन कोविड-19 संक्रमण के चार सप्ताह या उससे अधिक समय बाद दिखाई देती हैं। सामान्यत: ये रेखाएं तब होती हैं जब किसी तरह के शारीरिक तनाव, जैसे संक्रमण, कुपोषण या कीमोथेरेपी आदि के दुष्प्रभाव के कारण नाखून की बढ़वार में अस्थायी रुकावट होती है। अब यह कोविड-19 के कारण भी हो सकते हैं।
नाखून औसतन हर महीने 2 मिमी से 5 मिमी के बीच बढ़ते हैं, शारीरिक तनाव होने के चार से पांच सप्ताह बाद ये रेखाएँ ध्यान देने योग्य हो जाती हैं – जैसे-जैसे नाखून बढ़ता है, इनका पता चलता है। इसलिए तनावपूर्ण घटना के समय का अनुमान यह देखकर लगाया जा सकता है कि यह रेखाएँ नाखून के आधार से कितनी दूर हैं। 
इन रेखाओं के लिए कोई विशिष्ट उपचार नहीं है, क्योंकि समस्या का समाधान होने पर यह ठीक होने हैं। वर्तमान में, उपलब्ध साक्ष्य बताते हैं कि कोविड-19 संक्रमण की गंभीरता और नाखूनों में होने वाले परिवर्तन के प्रकार या समय सीमा के बीच कोई संबंध नहीं है। अन्य असामान्य निष्कर्ष उपरोक्त तथ्य कोविड संक्रमण के कारण नाखून में होने वाले दो सामान्य परिवर्तन से जुड़े हैं, लेकिन शोधकर्ताओं ने कुछ अन्य असामान्य घटनाओं को भी दर्ज किया।

‘बी द मिरेकल’ पहल के तहत जरूरतमंदों को भोजन

कविता गर्ग                
मुंबई। अभिनेत्री राशि खन्ना कोरोना संकट के समय ‘बी द मिरेकल’ पहल से जुड़ गई हैं। जिसके तहत जरूरतमंद लोगों को भोजन पहुंचाया जाएगा। कोरोना संकट के समय यह जरूरी है कि हम सभी आगे बढ़ कर जरूरतमंदों की हर संभव मदद करने की कोशिश करें। राशि खन्ना उन गरीब परिवारों की सहायता करेंगी जिनपर इस महामारी ने लॉकडाउन के चलते गहरा प्रभाव छोड़ा है। राशी संकट की इस घड़ी में जरूरतमंद लोगों की सक्रिय रूप से मदद करने के लिए काम कर रही है।वह कोरोना के इस समय में उन लोगों की मदद करने के लिए अथक प्रयास कर रही है।
जिन्होंने अपनी आजीविका खो दी है। राशी इस काम को बिना किसी को जताए चुपचाप सेवा करने में लगी हुई हैं। बी द मिरेकल के साथ-साथ राशी रोटी बैंक जैसे संस्थाओं और स्वयंसेवकों के साथ जुड़ी हैं। जो उन जानवरों की मदद कर रहे हैं। जिन्हें विशेष रूप से लॉकडाउन के दौरान बिना भोजन या पानी के छोड़ दिया गया था। साथ ही, वे कुछ वृद्धाश्रम की सेवा में तत्पर हैं।राशी खन्ना का मानना है कि ,“महामारी से पीड़ित लोगों की दशा दिल दहला देने वाली है। बी द मिरेकल के जरिए मैं लोगों की हर मुमकिन मदद करने की कोशिश कर रही हूं। 
मैं सौभाग्यशाली हूं कि मुझे एक ऐसी टीम का साथ मिला है जो इतनी बहादुर हैं, कि इस महामारी में भी घर से बाहर निकलकर लोगों की समस्याओं को सामने ला रही हैं। कई परिवार भुखमरी के कगार पर हैं जो हकीकत में बहुत ही बुरे समय से गुज़र रहे हैं।
मैं चाहती हुं कि लोग दिल खोलकर डोनेशन करें, तिनका तिनका भी मायने रखता है। यह एक अत्यधिक राशि होना जरूरी नहीं है। हमें इस बात का एहसास होना चाहिए कि हम सब इस समय एक साथ हैं और केवल एक साथ रहकर ही हम इस कठिन समय को पार कर सकते हैं। और साथ में हम किसी के भी जीवन में चमत्कार ला सकते हैं।

यूपी के सभी जिलों में कोरोना कर्फ्यू समाप्त किया

हरिओम उपाध्याय                  
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के सभी जिलों में कोरोना कर्फ्यू मंगलवार को समाप्त कर दिया गया। अपर मुख्य सचिव सूचना नवनीत सहगल ने बताया कि बुधवार नौ जून से पूरे प्रदेश के सभी 75 जिलों में केवल शाम सात से सुबह सात बजे तक नाइट कर्फ्यू जारी रहेगा।उन्होंने कहा कि अब प्रदेश के सभी जिले कोरोना कर्फ्यू से बाहर हो गए हैं। उन्होंने बताया कि यह फैसला मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई एक उच्च स्तरीय बैठक में लिया गया। सहगल ने बताया कि प्रदेश के सभी जिलों में कोरोना वायरस के उपचाराधीन मामले कम हुए हैं और अब प्रदेश में कुल 14 हजार लोगों का इलाज चल रहा है।

महात्मा गांधी की पड़पोती को 7 वर्ष की कैद, जुर्म

जोहानिसबर्ग। डरबन की एक अदालत ने महात्मा गांधी की पड़पोती को 60 लाख रैंड की धोखाधड़ी और जालसाजी के जुर्म में सात वर्ष की कैद की सजा सुनायी है। आशीष लता रामगोबिन (56) को सोमवार को अदालत ने यह सजा सुनाई। उन पर उद्योगपति एसआर महाराज के साथ धोखाधड़ी करने का आरोप था। महाराज ने उन्हें कथित रूप से भारत से एक ऐसी खेप के आयात और सीमाशुल्क कर के समाशोधन के लिए 62 लाख रैंड दिये थे, जिसका कोई अस्तित्व नहीं था। इसमें उन्हें लाभ का एक हिस्सा देने का वादा किया गया था।
लता रामगोबिन जानी मानी मानवाधिकार कार्यकर्ता इला गांधी और दिवंगत मेवा रामगोबिंद की संतान हैं। वर्ष 2015 में जब लता रामगोबिन के खिलाफ सुनवाई शुरू हुई थी तब राष्ट्रीय अभियोजन प्राधिकरण (एनपीए) के ब्रिगेडियर हंगवानी मूलौदजी ने कहा था कि उन्होंने संभावित निवेशकों को यकीन दिलाने के लिए कथित रूप से फर्जी चालान और दस्तावेज दिये थे कि भारत से लिनेन के तीन कंटेनर आ रहे हैं। उस वक्त लता रामगोबिन को 50,000 रैंड की जमानत राशि पर रिहा कर दिया गया था। 
सोमवार को सुनवाई के दौरान अदालत को सूचित किया गया कि लता रामगोबिन ने ‘न्यू अफ्रीका अलायंस फुटवेयर डिस्ट्रीब्यूटर्स’ के निदेशक महाराज से अगस्त 2015 में मुलाकात की थी। कंपनी कपड़ों, लिनेन और जूते-चप्पलों का आयात, निर्माण और बिक्री करती है। महाराज की कंपनी लाभांश के आधार पर अन्य कंपनियों को वित्तीय मदद भी मुहैया कराती है। लता रामगोबिन ने महाराज से कहा था कि उन्होंने ‘साउथ अफ्रीकन हॉस्पिटल ग्रुप नेट केयर’ के लिए लिनेन के तीन कंटेनर मंगाये हैं। रामगोबिन के परिवार और नेट केयर के दस्तावेज के कारण महाराज ने कर्ज के लिए उनसे लिखित समझौत कर लिया। लेकिन बाद में जब उन्हें फर्जीवाड़े का पता चला तो उन्होंने लता के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज कराया।

विश्व: 37.34 लाख से अधिक लोगों की मौंत, संक्रमण

वाशिंगटन डीसी। दुनियाभर में कोरोना वायरस (कोविड-19) का प्रकोप जारी है। अब तक इससे 17.35 करोड़ से अधिक लोग संक्रमित हो चुके हैं। जबकि 37.34 लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो गई है। संक्रमित मामलों की बात करें तो अमेरिका पहले, भारत दूसरे और ब्राजील तीसरे स्थान पर है। अमेरिका की जॉन हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी के विज्ञान एवं इंजीनियरिंग केंद्र (सीएसएसई) की ओर से जारी ताजा आंकड़ों के अनुसार दुनिया के 192 देशों एवं क्षेत्रों में संक्रमितों की संख्या बढ़कर 17 करोड़ 35 लाख 41 हजार 613 हो गयी है। जबकि 37 लाख 34 हजार 768 लोगों की इस संक्रमण के कारण मौत हो चुकी है। विश्व में महाशक्ति माने जाने वाले अमेरिका में कोरोना वायरस की रफ्तार थोड़ी धीमी पड़ी है। हालांकि यहां संक्रमितों की संख्या तीन करोड़ 33 लाख 77 हजार 632 हो गयी है और 5,97,946 लाख से अधिक लोगों की इस संक्रमण से मौत हो गयी है।

दुनिया में कोरोना संक्रमितों के मामले में भारत दूसरे स्थान पर और मृतकों के मामले में तीसरे स्थान पर है। पिछले 24 घंटों में 86,498 नये मामले आने के साथ ही संक्रमितों का आंकड़ा बढ़कर दो करोड़ 89 लाख 96 हजार 473 हो गया। इस दौरान एक लाख 82 हजार 282 मरीज स्वस्थ हुए हैं। जिसे मिलाकर देश में अब तक दो करोड़ 73 लाख 41 हजार 462 लोग इस महामारी को मात दे चुके हैं। सक्रिय मामले 97,907 और घट कर अब 13 लाख तीन हजार 702 रह गये हैं। इस दौरान 2123 और मरीज अपनी जान गंवा बैठे और इस बीमारी से मरने वालों की कुल संख्या बढ़कर तीन लाख 51 हजार 309 हो गयी है। ब्राजील संक्रमितों के मामले में अब तीसरे स्थान पर है। इस देश में कोरोना संक्रमण के मामले फिर से बढ़ रहे हैं और अभी तक इससे 1.69 करोड़ से ज्यादा लोग प्रभावित हुए हैं। जबकि 4.74 लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। ब्राजील कोरोना से मौतों के मामले में विश्व में दूसरे स्थान पर है। संक्रमण के मामले में फ्रांस चौथे स्थान पर है जहां कोरोना वायरस से अब तक 57.75 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं। जबकि 1.10 लाख से अधिक मरीजों की मौत हो चुकी है।

कोरोना प्रभावितों के मामले में तुर्की रूस से आगे निकल गया है और यहां कोरोना वायरस से संक्रमितों की संख्या 52.93 लाख हो गयी है और 48,255 मरीजों की मौत हो चुकी है। रूस में कोरोना संक्रमितों की संख्या 50.76 लाख से अधिक हो गई है और इसके संक्रमण से 1.22 लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। ब्रिटेन में कोरोना वायरस प्रभावितों की कुल संख्या 45.38 लाख से अधिक हो गयी है और 1.28 लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। मृतकों के मामले में ब्रिटेन पांचवें स्थान पर है। इटली में कोरोना प्रभावितों की संख्या 42.33 लाख से अधिक हो गयी है और 1.26 लाख से अधिक लाेगों की जान जा चुकी है। कोरोना से प्रभावित होने के मामले में अर्जेंटीना ने जर्मनी को पीछे छोड़ दिया है। अर्जेंटीना में संक्रमितों की संख्या बढ़कर 39.77 लाख से अधिक हो गयी है तथा मृतकों की संख्या 81,946 है। जर्मनी में वायरस की चपेट में आने वालों की संख्या 37.10 लाख से अधिक हो गई है और 89,390 लोगों की मौत हो चुकी है।

स्पेन में इस महामारी से 37.07 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं और 80,236 लोगों की मौत हो चुकी है। कोलंबिया में कोरोना वायरस से 35.93 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं और 92,496 लोगों ने जान गंवाई है। इस बीच ईरान ने पोलैंड को पीछे छोड़ते हुए आगे निकल गया है। ईरान में संक्रमितों की संख्या बढ़कर 29.71 लाख से ज्यादा हो गयी है तथा मृतकों का आंकड़ा 81,183 पहुंच गया है। पोलैंड में कोरोना से 28.75 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं और इस महामारी से 74,160 लोग जान गंवा चुके हैं। मैक्सिको में कोरोना से 24.34 लाख से अधिक लोग संक्रमित हुए हैं और यह देश मृतकों के मामले विश्व में चौथे स्थान पर है जहां अभी तक इस वायरस के संक्रमण से करीब 2.28 लाख लोगों की मौत हो चुकी है। यूक्रेन में संक्रमितों की संख्या 22.74 लाख से अधिक है और 53,295 लोग अपनी जान गंवा बैठे हैं। पेरू में संक्रमितों की संख्या 19.83 लाख के पार पहुंच गयी है, जबकि 1.86 लाख से अधिक लोगों की जान जा चुकी है।

इंडोनेशिया में भी कोरोना संक्रमण के मामले 18.63 लाख के पार पहुंच गये हैं जबकि 51,803 लोगों की मौत हो चुकी है। दक्षिण अफ्रीका में कोरोना वायरस से 16.99 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुये हैं और 57,063 लोगों की मौत हो चुकी है। नीदरलैंड में कोरोना से अब तक 16.91 लाख से अधिक लोग संक्रमित हुए हैं और यहां इस महामारी से 17,957 लोगों की मौत हो चुकी है। चेक गणराज्य में कोरोना से अब तक 16.63 लाख से अधिक लोग प्रभावित हो चुके हैं और यहां इस महामारी से 30,164 लोग जान गंवा चुके हैं। पड़ोसी देश पाकिस्तान में अब तक कोरोना से 9.33 लाख से अधिक लोग संक्रमित हुए हैं और 21,323 मरीजों की मौत हो चुकी है। अन्य पड़ोसी देश बंगलादेश में भी कोरोना वायरस का प्रकोप जारी है जहां 8.12 लाख लोग संक्रमित हुए हैं और 12,869 मरीजों की मौत हो चुकी है। इसके अलावा दुनिया के अन्य देशों में भी कोरोना वायरस के संक्रमण से स्थिति खराब है।

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प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण 

1. अंक-297 (साल-02)
2. बुधवार, जून 09, 2021
3. शक-1984, ज्येठ, कृष्ण-पक्ष, तिथि- पूर्णिमा, विक्रमी सवंत-2078।
4. सूर्योदय प्रातः 05:45, सूर्यास्त 07:13।
5. न्‍यूनतम तापमान -24 डी.सै., अधिकतम-41+ डी.सै.।
6.समाचार-पत्र में प्रकाशित समाचारों से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं है। सभी विवादों का न्‍याय क्षेत्र, गाजियाबाद न्यायालय होगा। सभी पद अवैतनिक है।
7.स्वामी, प्रकाशक, संपादक राधेश्याम के द्वारा (डिजीटल सस्‍ंकरण) प्रकाशित। प्रकाशित समाचार, विज्ञापन एवं लेखोंं से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं हैं। पीआरबी एक्ट के अंतर्गत उत्तरदायी।
8.संपादकीय कार्यालय- 263 सरस्वती विहार, लोनी, गाजियाबाद उ.प्र.-201102।
9.संपर्क एवं व्यावसायिक कार्यालय-डी-60,100 फुटा रोड बलराम नगर, लोनी,गाजियाबाद उ.प्र.-20110
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