बुधवार, 19 अगस्त 2020

दुनिया में मृतक संख्या-7.9 लाख पार

दुनिया भर में कोरोना का कहर जारी है। इस महामारी से अभी तक 2.21 करोड़ से ज्यादा लोग संक्रमित हो चुके हैं, जबकि 7.9 लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। कोरोना वायरस से सबसे ज्यादा तबाही अमेरिका, ब्राजील और भारत में हुई है।


भारत में अब तक संक्रमण के मामलों की कुल संख्या 27,67,273 पहुंच गई है। इसके अलावा 52,889 लोग इस महामारी से जान गंवा चुके हैं। हालांकि इससे ठीक होने वाले लोगों की संख्या 20,37,870 पहुंच गई है, ये सभी मरीज ठीक होकर घर पहुंच चुके हैं। भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (ICMR) के मुताबिक कल यानी 18 अगस्त तक कोरोना वायरस के लिए कुल 3,17,42,782 सैंपल टेस्ट किए गए, जिनमें से 8,01,518 सैंपल की टेस्टिंग कल की गई।भारत के अलावा अमेरिका में 5,481,557 लोग और ब्राजील में 3,407,354 लोग इस महामारी के चपेट में आ चुके है। अमेरिका में 1.71 लाख संक्रमितों की जान गई है और ब्राजील में कोरोना से मरने वालों का आंकड़ा 1 लाख को पार कर गया है।               


जनपद में कोरोना संक्रमित संख्या-156

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। देश में कोरोना वायरस संक्रमितों की संख्या 27 लाख के पार पहुंच गई है। साथ ही देश में अनलॉक की प्रक्रिया भी शुरु हो गई है। अनलॉक की प्रक्रिया में आपको थोड़ी सतर्कता बरतने की जरुरत है आपको अपने आसपास कोरोना की क्या स्थिति है। इसके बारे में पता होना जरुरी है। यहां जानें अपने जिले गाजियाबाद, हापुड़ और नोएडा का हाल। 


गाजियाबाद के लोनी के सरकारी चिकित्सक और जिला एमएमजी अस्पताल की नर्स समेत 156 कोरोना संक्रमित हो गए हैं। इनमें दो गर्भवती महिला, एक 90 साल के बुजुर्ग और एक सात साल का बच्चा भी शामिल है। साहिबाबाद के विधायक के बड़े भाई भी संक्रमित होने के बाद कौशांबी के यशोदा अस्पताल में भर्ती हो गए हैं। सीएमओ कार्यालय के केंद्रीय दवा स्टोर में कार्यरत फार्मासिस्ट व उसका बेटा भी संक्रमित है। मंगलवार को प्रशासन द्वारा जारी की गई रिपोर्ट के मुताबिक ठीक होने पर 163 मरीजों की अस्पतालों से छुट्टी कर दी गई है। जिले में अब सक्रिय मरीजों की संख्या 1071 है। करीब 23 मरीजों को होम आइसोलेशन की अनुमति दी गई है। 14 पहले से ही निजी अस्पतालों में भर्ती हैं। स्वस्थ होने वालों का आंकड़ा 5652 पर पहुंच गया है।                        


दिल्ली में संक्रमितों की संख्या 1,54,741

नई दिल्ली। दिल्ली में कोविड-19 के 1,374 नए मामले सामने आए जिससे बुधवार को संक्रमित लोगों की संख्या बढ़कर 1,54,741 हो गई। शहर में इस संक्रमण से मरने वालों की संख्या बढ़कर 4,22,9 हो गई। स्वास्थ्य विभाग के बुलेटिन के अनुसार पिछले 24 घंटे में कोविड-19 के 12 और मरीजों की मौत हो गई। 
शहर में कुल संक्रमित लोगों की संख्या अब 1,54,471 हो गई है। यहां स्वस्थ होने की दर 90.11 फीसदी और संक्रमण दर 6.77 फीसदी है। संक्रमण का पता लगाने के लिए मंगलवार को 20,276 जांच की गईं और सोमवार को 14,988 जांच हुई थीं। पिछले 24 घंटे में 5419 आरटी-पीसीआर, सीबीएनएएटी और ट्रूनेट परीक्षण तथा 14857 रैपिड एंटीजन जांच की गई है। राष्ट्रीय राजधानी में अब तक 13,37,374 जांच हुई हैं जबकि प्रति दस लाख पर जांच की संख्या 70,388 हो गई है। बुलेटिन में बताया गया कि दिल्ली में वर्तमान में 11,068 मरीजों का इलाज चल रहा है। वहीं पिछले 24 घंटे में 1,146 लोग या तो स्वस्थ हुए, शहर से बाहर गए या फिर उन्हें अस्पतालों से छुट्टी मिल गई। ऐसे मरीजों की कुल संख्या 1,39,447 है। दिल्ली में फिलहाल 557 कोविड-19 निषिद्ध क्षेत्र हैं।                           


संक्रमण काबू करने के लिए मजिस्ट्रेट तैनात

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। कोरोना वायरस संक्रमण की रोकथाम के लिए गाजियाबाद जिले में 51 मजिस्ट्रेट तैनात किए गए हैं। हर थानावार चार-चार मजिस्ट्रेट रिपोर्ट तैयार करेंगे। आशा, एएनएम और बीएलए की ओर से डोर-टू-डोर किए जा रहे सर्वे की मॉनिटरिंग और रिपोर्टिंग पर नजर रखेंगे।


जिले में ज्यादा से ज्यादा जांच करने के लिए कई टीमें अलग-अलग रूप में काम कर रही हैं। यह टीम अपनी-अपनी रिपोर्ट अलग-अलग अधिकारी को रही हैं, जिसके कारण रिपोर्ट में एक समानता नहीं आ पा रही है। इसके लिए अब प्रशासन की ओर से इन सभी कार्य के लिए प्रतिदिन थानावार सर्वे टीम की मॉनिटरिंग करेंगे और उसकी रिपोर्ट प्राप्त करने के लिए मजिस्ट्रेट तैनात कर दिए गए हैं। सभी थाननों के लिए कुल 51 मजिस्ट्रेट लगाए गए हैं।                   


जनपद में तगड़ी बारिश, घरों तक पानी

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। दिल्ली से सटे गाजियाबाद में मूसलाधार बारिश ने बुधवार को गर्मी से तो राहत दिलाई, लेकिन जलभराव ने जिले वासियों के लिए आफत खड़ी कर दी। सड़कों से लेकर घरों तक पानी भर गया। अंडरपास पानी से लबालब हो गए। गोशाला अंडरपास में पानी भरने पर आवाजाही प्रभावित होने के कारण लाइनपार का इलाका पुराने शहर से घंटों कटा रहा। कई लोग हादसे का शिकार होने से बचे। घुटने तक पानी भरा होने की वजह से सड़क और नाले की सीमा का लोगों को अंदाजा नहीं लग पाया। इस बारिश ने नगर निगम और नगर पालिकाओं की नाला सफाई की हकीकत सामने लाकर रख दी। बारिश के कारण जीटी रोड, मेरठ रोड, हापुड़ रोड पर जाम की स्थिति बनी रही।


सुबह 6.30 बजे से जिले में बूंदाबादी शुरू हुई। करीब 8.30 बजे बारिश तेज हो गई। ये वक्त ऑफिस और कामकाज पर जाने का होता है। बारिश की वजह से लोग घरों में अटक गए। सुबह 11.15 बजे तक बारिश चलती रही। सवा दो घंटे के अंतराल में गली, मोहल्ले और सड़कें पानी में डूब गईं। निचले इलाकों में घरों में पानी भर गया। लोग बाल्टी और बर्तन से पानी घरों से बाहर फेंकते नजर आए। सिस हिंडन क्षेत्र में हिंडन रिवर मेट्रो स्टेशन के पास और लाइनपार क्षेत्र में गोशाला पानी से लबालब भर गया। नंदग्राम, पटेलनगर, वाल्मीकि कुंज, संजयनगर, गोविंदपुरम, नेहरूनगर, लोहियानगर, सिहानी, सुदामापुरी, क्रिश्चियन नगर बागू, सेन विहार, राहुल विहार, प्रताप विहार, अकबरपुर-बहरामपुर, बम्हैटा, मानसरोवर कॉलोनी, हिंडन विहार, कैला भट्ठा, इस्लाम नगर समेत विभिन्न इलाकों में जलभराव से लोगों को दिक्कत हुई।                     


महिला ने पति समेत बच्चों की कुर्बानी दी

नागपुर। महाराष्ट्र के नागपुर में एक महिला डॉक्टर के अपने पति और बच्चों की हत्या के बाद खुदकुशी करने का मामला सामने आया है। पुलिस के मुताबिक, मंगलवार को कथित तौर पर अपने पति और दो नाबालिग बच्चों की हत्या के बाद 41 साल की एक डॉक्टर ने आत्महत्या कर ली। पुलिस ने बताया कि कोराडी इलाके के ओम नगर स्थित अपने घर में डॉ सुषमा राणे, इंजीनियरिंग कॉलेज में प्रोफेसर उनके 42 साल के पति धीरज, उनके 11 और पांच साल के दो बच्चे मृत पाए गए।कोराडी पुलिस स्टेशन के एक अधिकारी ने बताया कि धीरज और बच्चों के शव मेन बेडरूम के बिस्तर पर पाए गए, जबकि डॉक्टर का शव छत के पंखे से लटका मिला। अधिकारी ने कहा कि साथ में रहने वाली मृतक की 60 साल की बूढ़ी चाची ने कमरे का दरवाजा खटखटाया और उन्हें कोई जवाब नहीं मिला, तब मामला सामने आया। उन्होंने कहा कि पुलिस ने घटनास्थल से दो सीरिंज और एक सुसाइड नोट बरामद किया है, जिसमें सुषमा ने कथित रूप से कहा है कि उसने यह कदम इसलिए उठाया क्योंकि वह खुश नहीं थी।                  


महाराष्ट्र में रोजाना हो रही 300-400 मौतें

सबसे ज्यादा मृत्यु दर वाले गुजरात को पीछे छोड़ सकता है महाराष्ट्र


महाराष्ट्र में अब हर दिन कोरोना से 300-400 के बीच मौतें हो रही हैं


मुंबई। कोरोना महामारी अपने साथ कई तरह के रहस्य भी लाई है। इन्हीं तमाम रहस्यों में से एक ये भी है कि भारत में किसी और राज्य की अपेक्षा महाराष्ट्र में ज्यादा लोगों की मौत क्यों हो रही है। महाराष्ट्र में संक्रमण की दर भी काफी ज्यादा रही जिसके कई कारण हैं। महामारी के शुरुआती दिनों में यहां अंतरराष्ट्रीय और घरेलू आवाजाही काफी ज्यादा रहने संक्रमण तेज फैला। दूसरे, सघन आबादी में रह रहे निम्न आय वर्ग के लोगों के लिए आइसोलेशन बहुत मुश्किल रहा। लेकिन ये सवाल उठता है कि महाराष्ट्र ऐसा राज्य है जहां पर अपेक्षाकृत बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं हैं, फिर भी यहां कोरोना की मृत्यु दर इतनी ज्यादा क्यों है?                     


 सुभाष सिंह चौहान     


72 घंटे में मिल जाएगी उद्योग की अनुमति

बीजेपी भारती


लखनऊ। यूपी में औद्योगिक क्रांति लाने के लिए कैबिनेट ने नए एमएसएमई एक्ट को मंजूरी दे दी है। इस एक्ट के मंजूर होने से अब उद्योग लगाने के लिए आवेदन करने के महज 72 घंटे के अंदर ही उद्योग लगाने की स्वीकृति दी जाएगी। इसके बाद उद्योग से संबंधित अन्य विभागीय अनुमति लेने के लिए उद्यमी को 900 दिन का समय मिलेगा।


विभागीय अनुमति के लिए उद्यमी निवेश मित्र पोर्टल पर आवेदन करेगा, जहां से अनुमति से संबंधित समस्त प्रक्रिया सरकार की नजरों से होकर गुजरेगी।
इस नये एक्ट का नाम उत्तर प्रदेश सूक्ष्म, लघु एवं मद्यम उद्यम (अवस्थापना एवं संचालन) अधिनियम-2020 रखा गया है। आयुक्त एवं निदेशक उद्योग की अध्यक्षता में राज्यस्तरीय नोडल एजेंसी तथा जिलाधिकारी की अध्यक्षता में जिलों में जिला स्तरीय नोडल एजेंसी गठित होगी। जिला स्तरीय नोडल एजेंसी आवेदन के 72 घंटे के अंदर संबंधित विभागों से विचार-विमर्श कर अनुमति प्रदान करेगी।  नए एक्ट में यह व्यवस्था दी गई है कि उद्यमी इकाई की स्थापना के लिए जिला उद्योग केंद्र में आवेदन करेगा, जहां से उसे 72 घंटे के अंदर उद्योग लगाने के लिए स्वीकृति पत्र दे दिया जाएगा। इसके बाद उद्यमी को अगले 900 दिनों तक किसी भी अनुमति की जरूरत नहीं होगी, वह एकाग्र होकर अपने उद्योग को बढ़ाने का काम कर सकेगा। सरकार इस नये एक्ट के माध्यम से राज्य में अधिक से अधिक एमएसएमई उद्योग की स्थापना कर बड़ी तादाद में रोजगार सृजन करना चाहती है।                    


यूपी में दरोगा के 9534 पदों पर भर्ती


लखनऊ। प्रदेश पुलिस का बेड़ा और मजबूत किया जा रहा है। दिसंबर से जनवरी के बीच दरोगा के 9534 पदों पर सीधी भर्ती की तैयारी है। पहले 6130 पदों पर भर्ती होनी थी। इनमें सिविल पुलिस के सब इंस्पेक्टर के 5623, पीएसी के प्लाटून कमांडर के 484 व अग्निशमन सेवा में 23 पद थे। इन्हें बढ़ाकर 9534 कर दिया गया है। 


पुलिस भर्ती व प्रोन्नति बोर्ड के अध्यक्ष आरके विश्वकर्मा के अनुसार लिखित परीक्षा के आयोजन के लिए टेंडर आमंत्रित किए गए हैं। शेष औपचारिकताएं शुरू की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण की वजह से समय लग गया। स्थितियों को देखते हुए परीक्षा की तिथि तय की जाएगी। इसके अलावा पुलिस में एएसआई (मिनिस्टीरियल) के 1300 पदों पर भर्ती होनी है। इसकी प्रक्रिया भी दिसंबर से जनवरी के बीच पूरी की जाएगी।                         


बीजेपी भारती



 

यूपी में शुरू हुआ खाद वितरण घोटाला

लखनऊ। यूपी में खाद की कमी और वितरण में गड़बड़ी के आरोप लगाते हुए शि‍कायतें दिल्ली के रसायन एवं उर्वरक मंत्रालय तक पहुंच रही थीं। भरपूर स्टॉक देने के बाद भी उर्वरक का संकट क्यों हुआ, इसकी पड़ताल के लिए केंद्रीय खाद एवं रसायन मंत्रालय ने एक वित्तीय वर्ष के दौरान सबसे अधि‍क खाद लेने वाले प्रत्येक जिले के टॉप 20 किसानों की सूची बनाई और इसे अपने पोर्टल पर लोड कर दिया। मंत्रालय ने सभी जिलों के जिलाधि‍कारियों को इन किसानों द्वारा खरीदे गए उर्वरक की जांच कर रिपोर्ट देने को कहा। जिलाधि‍कारियों ने पोर्टल से सूची लेकर जब जांच कराई तो पूरी गड़बड़ी सामने आ गई. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के गृह जिले गोरखपुर में 23,252 क्विंटल का खाद घोटाला उजागर हुआ है।घोटालेबाजों ने नियमों का माखौल उड़ाते हुए फर्जी और काल्पनिक नामों पर बिना आधार कार्ड के खाद की बिक्री कर दी।                         


बीजेपी विधायकों ने योगी पर उठाए सवाल

कई विधायकों ने योगी सरकार पर सवाल खड़े किए हैं


योगी सरकार पर विधायकों ने पक्षपात का आरोप लगाया


लखनऊ। उत्तर प्रदेश में योगी सरकार की कार्यप्रणाली पर योगी के सिपहसालार ही अब सवालिया निशान उठाने लगे हैं। कोई विधायक खुलेआम बयानबाजी कर रहा है तो कोई ट्विटर और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपनी नाराजगी जाहिर कर रहा है। ऐसा नहीं है कि किसी एक विधायक ने अपनी सत्ताधारी सरकार की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान उठाया हो। ऐसे कई विधायक हैं जिन्होंने पिछले दिनों उत्तर प्रदेश की योगी सरकार पर सवाल खड़े किए। लखीमपुर में हर्ष फायरिंग में हुई मौत के मामले में एक इंस्पेक्टर द्वारा सानू खान नाम के एक आरोपी को बचाने का मामला सुर्खियों में आया तो इस घटना को संज्ञान में लेते हुए योगी के गढ़ गोरखपुर के सदर विधायक डॉक्टर राधा मोहन दास अग्रवाल ने ट्वीट कर पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाए। उसके कुछ घंटे बाद उत्तर प्रदेश के डीजीपी का कॉल विधायक राधा मोहन दास के पास आया और उस कॉल के बाद दोबारा राधा मोहन दास अग्रवाल ने ट्वीट किया कि मामला डीजीपी के संज्ञान में है, देखना है कि कार्रवाई में क्या प्रगति होती है।           


देश में बारिश का कहर, प्रशासन अलर्ट



नई दिल्ली। मानसून के आने के साथ देशभर में भारी बारिश का दौर जारी है। पिछले 24 घंटे में गोवा, गुजरात, पूर्वी मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, हिमाचल प्रदेश, तटीय कर्नाटक और असम में हल्की से मध्यम भारी बारिश हुई। मौसम एजेंसियों के मुताबिक, देशभर में अब तक बारिश सामान्य से 4 फीसदी ज्यादा है। देशभर के कई हिस्सों में जलाशय, नदियां और तालाब पानी से लबालब भर चुके हैं। कई राज्यों में भारी बारिश का सितम जारी है। देशभर में नदियां उफान पर हैं। मौसम एजेंसियों के मुताबिक 19 अगस्त के आसपास उत्तरी बंगाल की खाड़ी में कम दबाव का क्षेत्र बनेगा। इसके बाद 20 अगस्त से फिर भारी बारिश शुरू हो जाएगी। एजेंसियों ने 11 राज्यों मध्यप्रदेश, राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, तेलंगाना,  पश्चिम बंगाल, गोवा, कर्नाटक, उत्तराखंड और हिमाचल में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग के मुताबिक तेलंगाना में अब तक सामान्य से 38 फीसदी ज्यादा यानी 683.9 मिमी बारिश हो चुकी है। मौसम विभाग के अनुसार 31 राज्यों में सामान्य से ज्यादा बारिश हुई है। 17 राज्य तो ऐसे हैं, जहां सोमवार को सामान्य से 50 फीसदी ज्यादा बारिश हुई। एक जून से अब तक की बात करें तो देश में सामान्य से चार फीसदी ज्यादा बारिश हो चुकी है। भारत में 18 अगस्त तक 612.1 मिमी बारिश होनी चाहिए थी जबकि 639 मिमी बारिश हो चुकी है। गुजरात में मंगलवार को 525 फीसदी ज्यादा बारिश हुई। महाराष्ट्र, गोवा में भी सामान्य से कहीं ज्यादा बारिश दर्ज की गई है। एक जून से 18 अगस्त तक आंकड़ों पर नजर डालें तो अब तक 10 राज्यों में सामान्य से ज्यादा बारिश हुई है। 21 राज्य ऐसे हैं, जहां सामान्य बारिश हुई। जबकि छह राज्यों में अभी तक सामान्य से कम बारिश दर्ज की गई है। 


महाराष्ट्र में 16 फीसदी ज्यादा बारिश 
मौसम विभाग के मुताबिक महाराष्ट्र में इस मानसून जून से अब तक सामान्य औसत से लगभग 16 प्रतिशत अधिक बारिश हुई है। राज्य में एक जून से 17 अगस्त तक 826.7 मिलीमीटर बारिश हुई। पिछले मानसून में इस अवधि के दौरान 713.7 मिलीमीटर बारिश हुई थी। राज्य के 36 में से छह जिलों में एक जून के बाद बड़े पैमाने पर अधिक वर्षा हुई है जबकि यवतमाल, गोंदिया और अकोला में कम वर्षा हुई।मध्यप्रदेश में हो सकती है बाढ़ जैसी स्थिति  
मौसम विभाग के मुताबिक बुधवार को बंगाल की खाड़ी में लो प्रेशर एरिया बनता दिख रहा है। इस वजह से अगले 4-5 दिन भारी बारिश हो सकती है। खासतौर से मध्यप्रदेश में बहुत भारी बारिश की चेतावनी है। अनुमान है कि मध्यप्रदेश में 20 सेंटीमीटर तक बारिश हो सकती है। मौसम विभाग ने आपदा प्रबंधन विभाग को भी सतर्क रहने को कहा है। दिल्ली में हो रही बारिशः दिल्ली-एनसीआर के कई इलाकों में तेज बारिश ने मौसम सुहाना बना दिया है। आज सुबह से दिल्ली, गाजियाबाद, गुरुग्राम आदि इलाकों में हो रही बारिश से सड़कों पर जलजमाव की समस्या भी हो गई है। हरियाणा के आधे से ज्यादा जिलों और दिल्ली व यूपी के कुछ जिलों में मानसून सक्रिय हो गया है। अगले 48 से 72 घंटों में प्रदेश के उत्तरी, पूर्वी और दक्षिण के कुछ जिलों में भारी बारिश होने की बात कही गई थी।                     



हिमाचल में मामलों की संख्या 4,175

शिमला। हिमाचल प्रदेश में बुधवार को कोविड-19 के 13 नए मामले सामने आए, जिससे राज्य में कोरोना वायरस के मामलों की कुल संख्या 4,175 हो गई। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। विशेष सचिव (स्वास्थ्य) निपुण जिंदल ने कहा कि राज्य में कोरोना वायरस के 1,313 मरीज उपचाराधीन हैं, जबकि 2,797 मरीज अब तक संक्रमण से उबर चुके हैं। कोविड-19 के कारण राज्य में 18 मरीजों की मौत हो गई है और 40 राज्य से बाहर चले गए हैं। जिंदल ने बताया कि राज्य में सामने आए 13 नये मामलों में से छह सोलन से, तीन चंबा से और दो-दो मामले ऊना और कांगड़ा से आये हैं। इस बीच, सोमवार को 77 मरीज ठीक हुए हैं। चंबा में 21, सिरमौर में 17, मंडी में 12, ऊना में नौ, हमीरपुर में आठ, शिमला में चार और कांगड़ा और बिलासपुर में तीन-तीन लोगों को ठीक होने के बाद अस्पतालों से छुट्टी दे दी गई।                      


केरल में वायरस से ठीक हुए बड़े 'बुजुर्ग'

अकाशुं उपाध्याय


तिरूवनंतपुरम। देश में भले ही कोरोना वायरस संक्रमण के केस बढ़ रहे हों, लेकिन इसके साथ ही संक्रमण से ठीक होने वाले लोगों की रफ्तार भी बढ़ रही है। इनमें हर उम्र के लोग शामिल हैं। इन्‍हीं में से एक हैं केरल के पुरक्‍कट वीटिल फरीद. वह 103 साल के हैं। उन्‍होंने कोरोना संक्रमण को मात दी तो अस्‍पतान ने उन्‍हें अच्‍छे से घर विदा किया। फरीद केरल के अलूवा में रहते हैं। 20 दिन पहले उनकी कोरोना वायरस संक्रमण जांच पॉजिटिव आई थी। इसके बाद उन्‍हें कोच्चि के सरकारी मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल में भर्ती किया गया था। अब वह वहां से पूरी तरह से स्‍वस्‍थ्‍य होने के बाद घर चले गए हैं।                                 


मेघालय में संक्रमित संख्या 1,454 हुई

शिलांंग। आज बुधवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 36 नए मामले सामने आने के साथ ही राज्य में संक्रमित लोगों की संख्या बढ़कर 1,454 तक पहुंच गई। नए मामलों में 20 सुरक्षाकर्मी भी शामिल हैं। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। स्वास्थ्य सेवा निदेशक अमन वार ने कहा कि संक्रमण के नए मामलों में से पूर्वी खासी हिल्स में 24, पश्चिमी गारो में सात, री-भोई में तीन और पूर्वी जंतिया हिल्स और दक्षिण पश्चिमी गारो हिल्स में एक-एक मामला सामने आया। उन्होंने कहा, '' नए मरीजों में सीमा सुरक्षा बल के 13 कर्मी और अन्य सशस्त्र बलों के सात कर्मचारी भी शामिल हैं।'' निदेशक के मुताबिक, चार लोगों को संक्रमणमुक्त होने के बाद अस्पताल से छुट्टी दे दी गई, जिसके साथ ही अब तक 683 लोग स्वस्थ हो चुके हैं। राज्य में अब तक छह मरीजों की इस घातक वायरस के कारण मौत हो चुकी है। उन्होंने कहा कि मेघालय में फिलहाल 765 मरीज उपचाराधीन हैं। राज्य में अब तक 43,870 नमूनों की जांच की जा चुकी है।                                


झारखंड में कोरोना ने तोड़े सभी रिकॉर्ड

रांची। झारखंड में कोरोना वायरस संक्रमण के नए मामले लगातार सामने आ रहे हैं। बुधवार को कोरोना वायरस ने प्रदेश में अब तक के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए। 19 अगस्‍त को राज्य में 1266 नए कोरोना संक्रमित मरीज मिले हैं। इसके साथ ही झारखंड में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या 25 हजार के पार हो गई है। जानकारी के मुताबिक, मंगलवार को सबसे ज्यदा रांची और पूर्वी सिंहभूम जिले में कोरोना मरीज मिले हैं। पूर्वी सिंहभूम में 360 तो रांची जिले में 426 पॉजिटिव केस मिले हैं।                                     


धूल और मलबे के बीच से गुजरेगी 'पृथ्वी'



धूल के गुबार और मलबे से भरे रास्ते से कोई भी गुज़रना नहीं चाहेगा। लेकिन कभी-कभी ऐसा कर के आप अचम्भे में पड़ सकते हैं। अगस्त के मध्य में अपनी धुरी पर घूमती पृथ्वी ब्रह्मांडीय मलबे और धूल के बीच से हो कर गुज़रेगी और इस दौरान आसमान रोशनी से जगमगा उठेगा। आसमान में उल्का पिंडों की बौछार, यानी शूटिंग स्टार की शानदार प्रदर्शन देखने का ये अहम मौक़ा होगा और अगर आपकी किस्मत ने साथ दिया तो आपको फायर-बॉल भी दिखेगा।





क्या है परसिड्स? स्विफ्ट-टर्टल नाम का धूमकेतु पृथ्वी की तरह सूरज के चारों तरफ चक्कर काटता है, लेकिन ये चक्कर काटते वक़्त एक ख़ास तरह का एंगल बनाता है। लंदन के ग्रीनविच में मौजूद रॉयल म्यूज़ियम से जुड़े खगोल विज्ञानी एडवर्ड ब्लूमर कहते हैं, "हर साल सूरज के चारों तरफ घूमती हुई पृथ्वी इस धूमकेतु की कक्षा से हो कर जाती है और इस दौरान वो इसके मलबे और धूल की गवाह बनती है।




बर्फ के टुकड़ों, धूल, चावल के दाने के जितने पत्थर के टुकड़ों से भरा ये ब्रह्मांडीय मलबा पृथ्वी के वायुमंडल की ऊपरी परत में प्रवेश करते हैं। ब्लूमर कहते हैं, "वायुमंडल में प्रवेश करते ही ये टुकड़े घर्षण के कारण जलने लगते हैं, भले ही कुछ सेकंड के लिए ये नज़ारा अद्भुत होता है। वो कहते हैं, "परसिड्स उल्का पिंड का बौछार इसलिए ख़ास है क्योंकि ये तय समय पर होता है। जुलाई के आख़िर से ही ये दिखवने लगता है और अगस्त में मध्य में अपने पीक पर पहुंचता है। आप इसे बिना किसी ख़ास चश्मे के आंखों से देख सकते हैं और आप लगातार कई दिनों तक रात के आकाश में इसका मज़ा ले सकते हैं। क्या पता किस रात आपको कुछ ख़ास रोशनी का जलवा दिख जाए। ब्लूमर कहते हैं कि कभी-कभी धूमकेतु का कोई बड़ा हिस्सा भी आपको दिख सकता है और "अगर आप लकी हुए तो आपको फायर बॉल भी दिख सकता है। वो कहते हैं कि दो साल की कोशिशों के बाद वो फायर बॉल की एक झलक पाने में कामयाब हुए थे।




लेकिन उल्का पिंडों को देखने के लिए इतना उत्साह?





ब्लूमर कहते हैं, "बिल्कुल होना ही चाहिए। घर की बत्तियां बुझाइए और कहीं खुले में जा कर इसका आनंद लीजिए।परसिड्स प्राकृति की आतिशबाज़ी की तरह है, और ये आतिशबाज़ी अपने आप में शानदार होती है और कभी-कभी घंटे भर में आपको सौ तक उल्का पिंड दिखते हैं। ये उल्का पिंड 215,000 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से धरती के वायुमंडल में प्रवेश करते हैं लेकिन फिर भी ये धरतीवासियों के लिए किसी तरह का ख़तरा नहीं हैं। ब्लूमर कहते हैं, "खुद के लिए थोड़ा वक्त निकालिए, एक खुली जगह पर चीदर बिछाइए और आसमान को निहारिए।आतिशबाज़ी का ये नज़ारा आपका तनाव भी कम कर देगा।





परसिड्स का मज़ा कैसे लें?




खगोल विज्ञानी एडवर्ड ब्लूमर कहते हैं- आसमान में पूर्व और उत्तर पूर्व की तरफ देखें। अगर आप नक्षत्रों को जानते हैं तो कैसियोपिया नक्षत्र के नज़दीक परसिड्स को ढूंढें। अगर आप इसे नहीं ढूंढ पातो इसके लिए मोबाइल एप की मदद लें।





कोरोना महामारी से पहले तारे देखना थोड़ा आसान था, लेकिन अब भी सोशल डिस्टेन्सिंग का पालन करते हुए आप ऐसा कर सकते हैं। जहां से आप आकाश देखना चाहते हैं उस जगह की तलाश शाम से ही कर लें। वहां चादर बिछाएं और आराम से रात होने का इंतज़ार करें। आसपास लाइटें हों तो बंद कर दें, अपने मोबाइल फ़ोन को भी बंद करे या फिर लाइट पॉल्यूशन करने वाली कोई और चीज़ आसपास हो तो उसे बंद करें। अब प्रकृति के अद्भुत नज़ार का आनंद लें। आपको घंटे भर में क़रीब सौ उल्का पिंड तो दिखेंगे ही, हो सकता है कि आपको फायर बॉल भी दिख जाए।


परसिड्स का नाम क्यों है ख़ास?





ब्लूमर बताते हैं, "उल्का पिंड की ये बौछार परसियस नक्षत्र से आती दिखती है इस कारण इसे परसिड्स कहते हैं। लेकिन इस तरह की बौछार पहले भी कई अलग-अलग संस्कृतियों में देखी गई है। कैथोलिक परंपरा में रोम शहर के सात अहम चर्च अधिकारियों में से एक लॉरेन्टियस की याद में इसे 'टीयर्स ऑफ़ सेंट लॉरेन्स' यानी संत लॉरेन्स के आंसू कहा गया है। 258 ईस्वी में रोमन्स ने जिन ईसाईयों को मार दिया था उनमें से एक संत लॉरेन्टियस भी थे। कहा जाता है कि 10 अगस्त को इस संत को मारने के लिए उन्हें ज़िंदा आग के ऊपर रख दिया गया था। भूमध्यसागरीय इलाक़ों में प्रचलित लोककथाओं की मानें तो साल के इस दौरान दिखने वाले उल्का पिंड उसी आग के निशान हैं जो आसमान में बिखरते दिखते हैं। लेकिन रोमन से पहले पर्शिया, बेबीलोन, मिस्र, कोरिया और जापान में ऐसे सही खगोलीय रिकॉर्ड मिले हैं जो उल्का पिंडों की बौछार के बारे में विस्तार से बताते हैं। माना जाता है कि परसिड्स के नज़ारे का सबसे पहला उल्लेख चीन के हान राजवंश के दौर में मिलता है। 36 ईस्वी के उस दौर खगोल शास्त्रियों ने लिखा था कि पूरी रात आकाश में "सौ से अधिक उल्का पिंड देखे गए थे।               




जमीर इजराइल को स्वीकार नहीं करेगा



इस्लामाबाद। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान ख़ान ने इसराइल के साथ द्विपक्षीय रिश्ते स्थापित करने की किसी भी संभावना होने से इनकार किया है। उन्होंने कहा कि उनका ज़मीर कभी इसराइल को स्वीकार नहीं कर सकता। हाल ही में इसराइल और संयुक्त अरब अमीरात के बीच ऐतिहासिक समझौते के संदर्भ में उन्होंने यह बात की। दोनों देशों ने सामान्य द्विपक्षीय रिश्ते बहाल कर दिए हैं।






पाकिस्तान के एक निजी चैनल 'दुनिया' को दिए इंटरव्यू में इमरान ख़ान ने इसराइल को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में कहा, "इसराइल पर हमारा रुख़ एकदम साफ़ है। पाकिस्तान इसराइल को मान्यता नहीं दे सकता। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने कहा, "क़ायद-ए-आज़म मोहम्मद अली जिन्ना ने 1948 में साफ़ कर दिया था कि हम इसराइल को तब तक तस्लीम नहीं कर सकते जब तक कि फ़लस्तीनियों को उनका हक़ नहीं मिलता। फ़लस्तीनियों की टू नेशन थ्योरी थी कि उन्हें उनका देश मिले। यह फ़ैसला होने से पहले ही अगर हम इसराइल को स्वीकार कर लेते हैं तो कश्मीर की भी ऐसी ही स्थिति है, हमें वो मुद्दा भी छोड़ देना चाहिए। इसलिए पाकिस्तान कभी इसराइल को स्वीकार कर नहीं कर सकता।






इमरान ख़ान ने कहा, "इंसान अल्लाह को जवाबदेह है। आप जब इसराइल और फ़लस्तीन की बात करते हैं, तो सोचना चाहिए कि हम अल्लाह को क्या जवाब देंगे। जिन लोगों पर हर क़िस्म की ज़्यादतियां हुई हैं, जिनके सारे हक़ छीन लिए गए, क्या हम उनको यूं ही बेसहारा छोड़ सकते हैं? मेरा तो ज़मीर ऐसा करने के लिए कभी नहीं मानेगा। मैं इसे कभी स्वीकार नहीं कर सकता।             




शिक्षा मंत्रालय को राष्ट्रपति की मंजूरी मिली



नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने मानव संसाधन विकास मंत्रालय का नाम बदलकर शिक्षा मंत्रालय करने को मंजूरी दे दी है। यह जानकारी एक आधिकारिक अधिसूचना में दी गयी है। नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) के मसौदे में मंत्रालय का नाम बदलने समेत कई अहम सिफारिशें की गई थीं। पिछले ही महीने केंद्रीय मंत्रिमंडल ने इस नीति को मंजूरी दी थी। सोमवार रात प्रकाशित गजट अधिसूचना में कहा गया है कि राष्ट्रपति ने मानव संसाधन विकास मंत्रालय का नाम बदलकर शिक्षा मंत्रालय करने को मंजूरी दे दी है। अधिसूचना के अनुसार, अब मानव संसाधन विकास मंत्रालय के स्थान पर शिक्षा मंत्रालय लिखा जाएगा। शिक्षा मंत्रालय का नाम 1985 में तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी के कार्यकाल में बदलकर मानव संसाधन विकास मंत्रालय कर दिया गया था। इसके अगले साल एनईपी लायी गई थी और उसे 1992 में संशोधित किया गया था। पी वी नरसिम्हा राव, राजीव गांधी मंत्रिमंडल में पहले मानव संसाधन विकास मंत्री बने थे।               



बिना संसद चलें, देश कैसे चल रहा है ?

मोदी सरकार बिना संसद चलाए देश कैसे चला रही है? - पूर्व जज जस्टिस एपी शाह


नई दिल्ली। कोविड महामारी के समय हमारी संसद न सिर्फ़ बंद रही बल्कि उसने लोगों का नेतृत्व भी नहीं किया। मनमाने तरीक़े से काम करने की सरकार को अब छूट मिल गई है। उनके ख़िलाफ़ सवाल उठाने का कोई भी संस्थागत तरीक़ा अब नहीं बचा है। ये कहना है पूर्व जज जस्टिस एपी शाह का जिन्होंने रविवार यानी 16 अगस्त से शुरू हुए छह दिवसीय जनता संसद में ये बातें कही।


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देश के कई सामाजिक संगठनों और एकेडमिशियन ने इस कार्यक्रम का आयोजन किया है। इसमें लोग ऑनलाइन हिस्सा ले सकते हैं। कोरोना महामारी की वजह से संसद के बजट सत्र की अवधि कम कर दी गई है। संसदीय समिति दो महीने से काम नहीं कर रही और संसद का मॉनसून सत्र भी जुलाई के मध्य से शुरू होना चाहिए था लेकिन नहीं हो सका है। इस कार्यक्रम के आयोजकों का मानना है कि कोरोना महामारी की वजह से चूंकि संसद नहीं चल रही है इसलिए सरकार से जवाबदेही मांगना कठिन हो गया है। इस मक़सद से ही वर्चुअल जनता संसद का आयोजन किया गया है। जनता संसद के उद्घाटन सत्र में जस्टिस एपी शाह, सामाजिक कार्यकर्ता सैयदा हमीद, सोनी सोरी और गुजरात से विधायक जिग्नेश मेवानी ने हिस्सा लिया।


ऑनलाइन क्यों नहीं चल सकती संसद?


जस्टिस एपी शाह ने इस मौक़े पर कहा, "संसद का बजट सत्र जनवरी में हुआ था। उसके बाद कोविड के कारण यह फ़ैसला लिया गया कि संसद को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित किया जाएगा लेकिन इस संकट के वक़्त भी कई दूसरे देशों में हमने संसद को काम करते देखा है। कनाडा और ब्रिटेन जैसे देशों की संसद ने अपने काम करने के तरीक़ों में बदलाव करते हुए वीडियो कॉन्फ्रेंस के ज़रिए सत्र आयोजित किए हैं। कुछ देशों में इंटरनेट के माध्यम से वोट करके यह भी निश्चित किया गया है कि संसद की कार्यवाही चलती रहे।


"फ़्रांस, इटली, और चिली जैसे देशों में संसद की कार्यवाही चलाई गई है। स्पेन जैसा देश जहाँ पर महामारी का असर ज़्यादा है, वहाँ संसद की कार्यवाही जारी है। मालदीव में एक सॉफ़्टवेयर की मदद से वीडियो कॉन्फ़्रेंसिंग कर संसद का काम चल रहा है। वहाँ के स्पीकर ने कहा है कि संसद अपने लोगों का प्रतिनिधित्व करना कभी ख़त्म नहीं कर सकती फिर चाहे महामारी का वक़्त ही क्यों न हो।         


प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

यूनिवर्सल एक्सप्रेस   (हिंदी-दैनिक)



 अगस्त 20, 2020, RNI.No.UPHIN/2014/57254


1. अंक-06 (साल-02)
2. बृहस्पतिवार, अगस्त 20, 2020
3. शक-1943, भाद्रपद, शुुुक्ल-पक्ष, तिथि- दूज, विक्रमी संवत 2077।


4. सूर्योदय प्रातः 05:27, सूर्यास्त 07:12


5. न्‍यूनतम तापमान 23+ डी.सै.,अधिकतम-35+ डी.सै.। आद्रता बनी रहेगी।


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