सोमवार, 20 अप्रैल 2020

तेलंगना में 7 मई तक बड़ाया लॉक डाउन

नई दिल्ली/हैदराबाद। देश में जानलेवा कोरोना वायरस का कहर जारी है। कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए तेलंगाना सरकार ने प्रदेश में 7 मई तक लॉक डाउन को बढ़ा दिया है। राज्य कैबिनेट की बैठक के बाद रविवार को इस बात की घोषणा की गई। इसके साथ ही मंत्रिमंडल की बैठक में यह निर्णय लिया गया कि 5 मई को राज्य के हालात का जायजा लिया जाएगा। वैश्विक महामारी कोरोना वायरस को लेकर 3 मई तक लगे देशव्यापी लॉक डाउन को तेलंगाना मंत्रिमंडल ने राज्य में 7 मई तक बढ़ाने का फैसला किया है। तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव ने राज्य में जारी लॉक डाउन को सात मई तक बढ़ाए जाने की रविवार (19 अप्रैल) को घोषणा की। उन्होंने कहा कि राज्य में लॉक डाउन को सख्त तरीके से लागू किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सोमवार (20 अप्रैल) से राज्य में फूड डिलीवरी ऐप के संचालन की अनुमति नहीं होगी। स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार तेलंगाना में इस वायरस की वजह से अब तक 18 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 186 मरीज इस बीमारी से निजात पा चुके हैं। वहीं राज्य में कुल संक्रमित मरीजों की तादाद 844 है।


संसद के दोनों सदनों में शुरू कामकाज

नई दिल्ली। संसद के दोनों सदनों लोकसभा और राज्यसभा के सचिवालय में सोमवार से कामकाज शुरु हो जाएगा। दोनों सदनों के सचिवालय का कामकाज कोविड-19 के मद्देनजर मार्च के अंतिम सप्ताह से बंद था। लोकसभा और राज्यसभा सचिवालय द्वारा जारी आधिकारिक आदेश से यह जानकारी प्राप्त हुई है। लोकसभा और राज्यसभा के सचिवालय में 24 मार्च से कामकाज अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया था। संसद का बजट सत्र 3 अप्रैल को समाप्त होना था, लेकिन कोरोना संकट के कारण दोनों सदनों की कार्यवाही निर्धारित समय से पहले ही स्थगित कर दी गई थी। राज्यसभा और लोकसभा सचिवालय के अधिकारिक आदेश के अनुसार यह सोमवार से काम करना शुरू कर देगा और सभी संयुक्त सचिव स्तर और उसके उपर के अधिकारी कार्यालय से काम करेंगे। इनके अलावा अन्य अधिकारी बारी-बारी से काम करेंगे। आदेश में आगे कहा गया है कि कार्यालय से काम करते हुए सचिवालय के कर्मचारी सामाजिक दूरी की व्यवस्था का पालन करेंगे। ई-कार्यालय में फाइल इलेक्ट्रानिक माध्यम से भेजे जायेंगे।


बिहार में संक्रमित मरीजों की बढ़ोतरी

अवनीश कुमार


बिहार। इस महमारी में सरकार लगातार कोशिश कर रही है कि किसी तरह से संक्रमण से बचा जाए, और लोगों से लगातार अपील कर रही है कि आप सब इस महमारी में अपना सहयोग दे, वही कोरोना वायरस से अगर किसी का नुकसान हुआ है तो वो है मजदूर, जो प्रतिदिन मजदूरी कर के अपना पेट पालते है उन लोगो का काफी नुकसान हुआ है, मजदूर वर्ग के लोग खाने को लाले पड़ गए है इतना ही नही बल्की उनके बच्चे भूखे रहने को मजबूर है, जानकारी के कोरोना वायरस की संख्या में बढ़ोतरी हो कर अभी तक बिहार में कुल 96 मरीज मिल चुके है, जबकि 42 ठीक होकर अपने घर को लौट गए, वही हम आपको बताते चले कि लॉकडाउन में पुलिस लोगो के लिए पहरदार बन कर बैठी है और मजदूर वर्ग के लोगों के लिए मदद भी पहुंचा रहे है।


जानकारी के मुताबिक हम आपको बताते चले कि 3 और लोगों में कोराना पॉजिटिव होने की पुष्टिके साथ ही बिहार में  कोरोना संक्रमितों की संख्या बढ़कर 96 हो गई है, रविवार देर रात को आई रिपोर्ट के मुताबिक ये सभी मरीज मुंगेर के जमालपुर के हैं, 30, 36 और 52 वर्ष के ये सभी मरीज पुरुष हैं, बताया जा रहा है कि ये सभी भी संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने से ही पॉजिटिव हुए हैं, हम आपको बता दू कि मुंगेर में ही 20 लोगों में कोरोना का संक्रमण हो चुका है, जाहिर है मुंगेर में लगातार कोरोना का चेन बन रहा है, हालांकि सबसे अधिक अभी भी सीवान में 29 कोरोना मरीज हैं, जिलावार स्थिति पर नजर डालें तो सबसे अधिक सीवान में – 29, मुंगेर 20, नालंदा 11, बेगूसराय 9, पटना 7, गया 5, नवादा 3, गोपालगंज 3, बक्सर 4, सारण 1, लखीसराय 1, भागलपुर 1, वैशाली 1और आरा में एक मरीज में कोरोना वायरस का संक्रमण पाया गया है, तो नालंदा में कोरोना के 11 मरीज हो गए है। जानकारी के लिए हम आपको बता दू पूरा देश इस महमारी से लड़ रहा है वही बिहार सरकार भी इस महमारी से लड़न के लिए तैयार दिख रहा है, जिससे हम आपको बताते चले कि बिहार में कोरोना वायरस की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो कर संख्या 96 तक पहुंच गई है जब कि पूरे देश में कोरोना वायरस की संख्या 16 हजार से ज्यादा हो गया है, जब कि पूरे देश में 5 सौ से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है।


सरकार पर खराब किट भेजने का आरोप

नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल सरकार ने भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (ICMR) पर खराब टेस्टिंग किट देने का आरोप लगाया है। आईसीएमआर देश में कोविड-19 का परीक्षण करने के लिए जिम्मेदार संस्था है। राज्य सरकार का कहना है कि खराब किट की वजह से अनिर्णायक परिणाम आ रहे हैं जिससे जांच प्रक्रिया में देरी हो रही है। पश्चिम बंगाल के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग ने बहुत सारे ट्वीट में आईसीएमआर पर खराब किट देने का आरोप लगाया। राज्य के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग ने आईसीएमआर से इस मुद्दे की तुरंत जांच करने का आग्रह किया क्योंकि देरी की वजह से कोरोना वायरस महामारी के खिलाफ लड़ाई के लिए जरूरी पुष्ट परीक्षणों में देरी हो रही है। स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार अब तक पश्चिम बंगाल में कोविड-19 के 310 मामले सामने आए हैं और 12 लोगों की मौत हुई है। पिछले तीन दिनों में मामले बढ़े हैं।


वहीं, आईसीएमआर कोलकाता के नोडल निकाय निदेशक का कहना है कि इस मामले को गंभीरता से देखा जा रहा है। कोलकाता में नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ कॉलरा एंड एंटरिक डिसीज की निदेशक डॉक्टर शांता दत्ता ने कहा, ‘यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि सटीक परिणाम देने के लिए किटों को मानकीकृत नहीं किया गया है। प्रत्येक मेडिकल कॉलेजों के लिए किटों को मानकीकृत करना मुश्किल है, इसलिए वे अलग-अलग और अनिर्णायक परिणाम दिखा रहे हैं।’


मौसम परिवर्तन से किसान हुए चिंतित

नई दिल्ली। मौसम विज्ञान केंद्र द्वारा बारिश के लिए सामान्य अलर्ट जारी की  है। जिसमे  राज्य के कुछ हिस्सों में हवा की अधिकतम रफ्तार 40 से 60 डिग्री तक भी  होने की संभावना दर्ज की गयी है । मौसम विभाग के अनुसार पुरवा हवा के प्रभाव से राज्य के अधिकतर हिस्सों में वातावरण में नमी की मात्रा बढ़ रही है । जबकि  पिछले दिनों तापमान अधिक होने की वजह से विशेष तरह के बादल बन रहे हैं। इधर पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से भी बारिश होने की संभावना है।


जबकि इधर रविवार को सीवान, गोपालगंज, अरवल, जहानाबाद, भोजपुर, पश्चिमी और पूर्वी चंपारण, नालंदा , सारण , रोहतास, बक्सर, भभुआ नवादा, नालंदा और शेखपुरा जिलों में आंधी पानी के साथ  बारिश भी  हुई है ।   जबकि कुछ स्थानों  पर ओले गिरने  की भी सूचना मिली  है। साथ ही कई जिलों में हवा की अधिकतम रफ्तार को  40 से 60 किमी प्रति घंटा रिकॉर्ड किया गया है । मौसम विभाग के मुताबिक सोमवार को पटना में आंशिक रूप से बादल छाए रहेंगे और गरज के साथ बारिश होने की  भी संभावना जताई  जा रही  हैं। जहां अधिकतम पारा 36 डिग्री सेल्सियस तक जा सकता है। साथ ही  बिहार के गया जिले में धूल भरी आंधी के साथ बारिश होने की संभावना हैं। जबकि भागलपुर और पूर्णिया में सामान्य रूप से आकाश में बादल छाए रहेंगे ।


बता दे कि बिहार के अधिकतर क्षेत्रों  में जहां आंधी पानी की स्थिति बनी हुई है, वही गया जिले  में गर्मी का सितम  देखने को मिला है । जहा रविवार को गया का अधिकतम तापमान 40 डिग्री पर पहुंच गया।  हालांकि नमी की मात्रा अधिक नहीं रहने से बारिश की स्थिति नहीं बनी। जबकि पटना का अधिकतम तापमान रविवार को 36.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है । पटना समेत कई इलाकों में रविवार की देर रात तेज हवा के साथ हल्की बारिश  भी हुई है । मौसम विज्ञान केंद्र ने राज्य के अधिकतर हिस्सों में सोमवार को बारिश का अलर्ट जारी कर दिया  है। जहां बिहार के अधिकतर क्षेत्रो में तेज आंधी के साथ बारिश हो सकती है। साथ ही  कुछ इलाकों में ओला गिरने की भी संभावना है। हालांकि किन इलाकों में ओला होगी, इसकी सटीक जानकारी  रडार पर मिल रहे तात्कालिक संकेतों के आधार पर ही  किया जाएगा। बता दे कि राज्य में तेज आंधी एवं बारिश होने की वजह से राज्य में गेहूं एवं  आम की फसल को भारी नुकसान पहुंचने की संभावना  है। मौसम में  लगातार बदलाव की वजह से किसानों में निराशा देखी जा रही है। जबकि  मौसम विभाग का पूर्वानुमान है कि 23 अप्रैल को पश्चिमी हिमालय क्षेत्र में एक और नया पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हो रहा है।  जिसका प्रभाव 25 अप्रैल तक बिहार के कई जिलों में फिर से दिख सकता है। हालांकि यह पूरी तरह से हवा के घुमाव  पर निर्भर करेगा। इस बारे में अगले एक-दो दिनों में  मौसम विज्ञान केंद्र की ओर से नई सूचनाएं जारी की जाएँगी।


बिहारः कोरोना संकट के बीच राजनीति

बिहार। इस महमारी के बीच राजनीतिक गलियारों में हलचल सुनाई देने लगा है, जब से उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्य नाथ ने कोटा में पढ़ाई कर रहे छात्रों को यूपी में घर वापसी कराया है तब से बिहार में भी कोटा को लेकर विपक्षी पार्टियां लगातार नीतीश कुमार पर निशाना साध रही है, इतना ही नही बल्की हमेशा ट्विटर पर एक्टिव रहने वाले बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री ने कोरोना को लेकर बिहार सरकार पर कई सवाल खड़े कर दिए है, और बिहार सरकार से लगातार अनुमति देने की बात कर है ताकि कोटा से छात्रों को बिहार वापस लाया जा सके, लेकिन नीतीश कुमार का कहना है अगर बिहार से बाहर रह रहे लोगों को बिहार वापस लाया गया, तो शायद बिहार में कोरोना वायरस की संख्या और तेजी से न बढ़ जाए जिसे बिहारवासियों को दिक्कत हो इस लिए नीतीश कुमार खूद कह रहे है आप सब वही रहे, और बिहार लगातार आपको वही सहायता करेगी ।


जानकारी के लिए हम आपको बता दे कि राजस्थान के कोटा शहर में बिहार के फंसे बच्चों को लेकर राजनीति जारी है, इसी क्रम में एक बार फिर बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने बिहार सरकार को कठघरे में खड़ा किया है, उन्होंने कहा है कि संकट की इस घड़ी में बिहार के बच्चों को लाने की उन्हें अनुमति दी जाए, तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर कहा, ‘ख़ास लोगों के प्रति समर्पित बिहार सरकार अगर कोटा में फंसे आम विद्यार्थियों को लाने में अक्षम, अशक्त और असमर्थ है, तो हमें विशेष अनुमति प्रदान करें, हम उन 6500 छात्रों को बिहार लेकर आएंगे, संकट की इस घड़ी में बिहार के भविष्य निर्दोष नादान बच्चों को ऐसे नहीं छोड़ सकते, तो वही जेडीयू नेता निखिल मंडल ने तेजस्वी के ट्वीट का जवाब देते हुए कहा कि आप हमेशा घटिया राजनीतिक करते है और ऐसे कब तक करते रहेगे, बिहार सरकार हर दिन का काम सर्वाजनिक कर रही है और बिहार की जनता इसे समझ भी रही है, वही हम आपको बता दे कि नीतीश कुमार के करीबी रहे प्रशांत किशोर भी बच्चों को लाने के लिए सवाल खड़ा कर चुके है ।


हम आपको बताते चले कि यही नही बल्की जब से यूपी सरकार ने कोटा में पढ़ाई कर रहे बच्चों को यूपी में घर वापसी किया है तभी से बिहार सरकार पर विपक्षी पार्टियों का दबाव बढ़ गया है, हम आपको बताते चले कि कोटा से बच्चों को लाने के लिए विपक्ष पार्टी लगातार सरकार पर दबाव डाल रही है, लेकिन यह कही न कही सच्चाई भी है कि बिहार सरकार बाहर रह रहे लोगों को इस लिए नही ला रही है ताकि बिहार के लोग सेफ रहे, क्यों कि बाहर से बिहार आने वाले लोगों में कोरोना का संक्रमण मिलने का ज्यादा चांस हो सकता है । बिहार में कोरोना वायरस की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो कर संख्या 96 तक पहुंच गई है जब कि पूरे देश में कोरोना वायरस की संख्या 16 हजार से ज्यादा  हो गया है,


झारखंड में नहीं रुक रहा है संक्रमण

अवनीश कुमार


रायपुर। इस महमारी में सोरेन सरकार हर प्रकार से लोगों तक सहायता पहुंचाने की काम कर रही है, ताकि कोई भी व्यक्ति भूखे न सोए, यहा तक कि झारखंड के थाने में दाल-भात रसोई का व्यावस्था भी किया गया है, लेकिन कोरोना वायरस से अगर किसी का नुकसान हुआ है तो वो है मजदूर, जो प्रतिदिन मजदूरी कर के अपना पेट पालते है उन लोगो का काफी नुकसान हुआ है, मजदूर वर्ग के लोग खाने को लाले पड़ गए है इतना ही नही बल्की उनके बच्चे भूखे रहने को मजबूर है, जानकारी के कोरोना वायरस की संख्या में बढ़ोतरी हो कर अभी तक झारखंड में कुल 41 मरीज मिल चुके है, जबकि 2 लोग कोरोना वायरस से मर चुके है, वही हम आपको बताते चले कि लॉकडाउन में पुलिस लोगो के लिए पहरदार बन कर बैठी है और मजदूर वर्ग के लोगों के लिए मदद भी पहुंचा रहे है ।


साथ ही हम आपको बताते चले कि झारखंड में भी कोरोना वायरस से संक्रमण के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं, झारखंड में रविवार को कोरोना वायरस के मरीज  के 7 नए मामले सामने आए हैं, इससे प्रदेश में कोरोना वायरस से प्रभावित मरीजों की संख्या 41 पहुंच गई है, रिम्स के माइक्रो बायोलॉजी लैब में संकेण्ड लॉट में 92 सैम्पल की जांच की गई, इनमें से 3 केस पॉजिटिव और 89 सैम्पल निगेटिव पाए गए, रिम्स के निदेशक ने यह जानकारी दी है, साथ ही हम आपको बता दू कि झारखंड में अभी तक 2 लोगों की मौत हो चुकी है, बता दें कि झारखंड में हॉटस्पॉट बनकर उभरे रांची के हिंदपीढ़ी इलाके में अब तक 22 कोरोना वायरस पॉजिटिव मिले हैं, प्रशासन ने इस पूरे इलाके को सील कर दिया है, बीते 31 मार्च को हिंदपीढ़ी में एक मलेशियन युवती के रूप में राज्य का पहला कोरोना पॉजिटिव केस सामने आया था।


साथ ही हम आपको बताते चले कि झारखंड में भी कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है, अभी कोरोना वायरस की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो कर संख्या 41 पहुंच चुकी है जब कि झारखंड में मरने वालों की संख्या 2 है, वही हम आपको बताते चले कि सबसे पहले झारखंड में कोरोना मरीज मलेशियाई महिला में पाया गया था, जो राजधानी रांची में धर्म प्रचार के लिए आई थी ।


योगी आदित्यनाथ के पिता का निधन

नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पिता आनंद सिंह बिष्ट का गंभीर हालत मेेंं एम्स में
निधन हो गया।
दरअसल, कल रात से उनके मौत की खबरें सोशल मीडिया पर तैरने लगी थी। लीवर और किडनी में दिक्कत होने पर भाजपा के दिग्गज नेता और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पिता आनंद सिंह बिष्ट को 13 मार्च को दिल्ली स्थित एम्स में भर्ती कराया गया था लेकिन कल से उनकी हालत बिगड़ने लगी और गंभीर हालत में सुबह 10.44 पर उनका निधन हो गया।
एम्स के गैस्ट्रोलाजी विभाग के डॉक्टरों की टीम उनका इलाज कर रही है। फिलहाल उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया था। रविवार को उनका डायलिसिस भी कराया गया। इसी बीच रविवार देर रात उनकी तबीयत को लेकर सोशल मीडिया पर अफवाहें फैलने लगीं और उनके निधन की अफवाहें जमकर वायरल होने लगी। एम्स के डॉक्टरोंं के मुताबिक देर रात तक योगी के पिता की हालत गंभीर थी, लाख प्रयास करने के बाद भी उनको बचाया नहीं जा सका।


राहतः दो राज्य हुए कोरोना मुक्त

नई दिल्ली। देश के कई हिस्सों में कोरोना गंभीर स्थिति में पहुंच गया है, वहीं दो राज्यों से इसको लेकर अच्छी खबर आ रही है। गोवा के बाद मणिपुर भी कोरोना मुक्त राज्य हो गया है।
अभी दो दिन पहले ही गोवा की सरकार ने राज्य के कोरोना मुक्त होने का ऐलान किया था। अब गोवा के बाद मणिपुर से भी इसे लेकर अच्छी खबर आ रही है। कोरोना के खिलाफ देश युद्धस्तर पर लड़ाई लड़ रहा है। ऐसे में दो राज्यों से राहत भरी खबर आई है। गोवा के बाद अब मणिपुर कोरोना संक्रमण से मुक्त हो गया है। मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने ट्वीट करके ये जानकारी लोगों को दी। उन्होंने ट्वीट कर कहाकि ‘मुझे यह बताते हुए काफी खुशी हो रही है कि अब मणिपुर कोरोना से मुक्त हो गया है। सभी मरीज पूरी तरह से ठीक हो चुके हैं और उनकी रिपोर्ट निगेटिव आई है राज्य में वायरस का कोई नया मामला भी सामने नहीं आया है।’
दरअसल, मणिपुर में कोरोना संक्रमण के दो मामले सामने आए थे। दोनों की रिपोर्ट निगेटिव आने के बाद राज्य कोरोना से मुक्त हो गया है। राज्य की पहली संक्रमित मरीज 23 साल की महिला थी, जो ब्रिटेन से लौटी थी। वहीं 65 साल का दूसरा मरीज दिल्ली के निजामुद्दीन में तब्लीगी जमात में शामिल होने के बाद वायरस की चपेट में आ गया था। इन दोनों के स्वस्थ हो जाने के बाद अब राज्य कोरोना मुक्त हो गया है। ये कोरोना से लड़ाई में पूरे देश के लिए अच्छी खबर है।


नीति आयोग ने एनजीओ से अपील की

मनोज सिंह बघेल


मुंबई/ दिल्ली। नीति आयोग के सीईओ अमिताभ कांत ने रामभाऊ म्हालगी प्रबोधिनी मुंबई और कनेक्टिंग ड्रीम फाउंडेशन के संयुक्त प्रयासों से कोविड-19 के खिलाफ शुरू की गई इंडिया कोविन एक्शन नेटवर्क के प्रयासों को कारगर बताया । अमिताभ कांत ने बताया कि इस मंच पर मदद लेने वाले और मदद देने वाले दोनों आमने-सामने है और गूगल मैप के जरिए आसानी से अपने लक्ष्य तक पहुंच सकते हैं ।नीति आयोग ने बाकायदा पत्र जारी कर देश भर के सीएसओ और एनजीओ से अपील की है कि वो इस आंदोलन का हिस्सा बनें ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों तक मदद पहुंचे । नीति आयोग का स्पष्ट तौर पर मानना है कि मदद देने के लिए जब हम एकजुट होकर एक रणनीति के तहत काम करेंगे तो ये ज्यादा प्रभावी होगा ।


आयोग के सीईओ ने अपने पत्र में भरोसा जताया कि कोविन वॉरियर जब मदद देने वाले और मदद लेने वालों के साथ मिलकर राहत का काम करेंगे तो इसमें कोई संदेह नहीं कि कोविड-19 के खिलाफ जारी इस लड़ाई को हम जीतें। इस डिजिटल प्लेटफार्म पर अब तक देश भर के तीन हजार से ज्यादा वॉरियर्स ने खुद को रजिस्टर किया है और करीब ढाई हजार लोगों तक राहत के इंतजाम कर दिये गये है जिसके चलते करीब 35 हजार से ज्यादा जिंदगियां भविष्य की आशंकाओं से मुक्त् है और सुरक्षित तरीके से लॉकडाउन के नियमों का पालन कर रही हैं ।


महाराष्ट्र में संतों की पीट-पीटकर हत्या

पालघर। महाराष्ट्र के पालघर में दो साधु समेत तीन लोगों की मॉब लिचिंग  के चलते हुई हत्या के मामले में 110 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तार किए गए लोगों में से 101 को 30 अप्रैल तक पुलिस कस्टडी में और नाबालिगों को जुवेनाइल सेंटर होम भेजा गया है। सरकार ने घटना की जांच के आदेश भी दे दिए हैं। मॉब लिंचिंग की घटना को महाराष्ट्र सरकार ने बेहद गंभीरता से लिया है।  महाराष्ट्र मुख्यमंत्री कार्यालय की तरफ से रविवार की शाम को यह कहा गया कि पालघर घटना पर कार्रवाई की गई है और पुलिस ने दो साधु, एक ड्राईवर की मॉब लिंचिंग और पुलिसकर्मियों पर हमला करने वाले सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है।महाराष्ट्र के गृह मंत्री अनिल देशमुख ने ट्वीट किया, मुंबई से सूरत जानेवाले 3 लोगों की पालघर में हुई हत्या के बाद मेरे आदेश से इस हत्याकांड में शामिल 101 लोगों को पुलिस हिरासत में लिया गया है। वहीं भाजपा नेता और महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इस मामले की उच्च स्तरीय जांच की मांग की थी। मुंबई से सूरत जाने वाले ३ लोगों की पालघर में हुई हत्या के बाद मेरे आदेश से इस हत्याकांड में शामिल १०१ लोगों को पुलिस हिरासत में लिया गया है। साथ ही उच्च स्तरीय जांच के आदेश भी दिए गए हैं।  इस घटना को विवादास्पद बनाकर समाज में दरार बनाने वालों पर भी पुलिस नज़र रखेगी।


यह है पूरा मामला


दो साधु और एक ड्राईवर की महाराष्ट्र के पालघर में बीते गुरुवार की देर रात करीब 200 लोगों ने मॉब लिंचिंग कर दी। पुलिस के अनुसार लोगों ने गाड़ी  बैठे दोनों साधु और उनके ड्राईवर को चोर समझकर पिटाई शुरू कर दी। कासा पुलिस थाने के असिस्टेंट पुलिस इंस्पेक्टर आनंदराव काले ने कहा कि वैन नासिक से आ रही थी जब गुस्साई भीड़ ने दधाडी-खानवेल रोड पर गधचिंचाले गांव के नजदीक रोका। काले ने कहा कि लोगों ने पहले वैन रोककर सवाल पूछे और उसके बाद खींचकर उनकी पिटाई शुरू कर दी। ड्राईवर ने किसी तरह पुलिस को कॉल किया और पुलिस मौके पर पहुंच गई। काले ने कहा  काफी संख्या लोग थे और हमने साधुओं और ड्राईवर को बचाने की कोशिश की लेकिन भीड़ ने हम पर भी हमला किया। मृतकों की पहचान सुशील गिरी महाराज (35), चिकने महाराज कल्पवरुक्षगिरी और ड्राईवर नीलेश तेलगाडे के तौर पर हुई है।


इन्होंने की घटना की कड़ी निंदा


अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि ने महाराष्ट्र के पालघर जिले में जूना अखाड़ा के दो संतों की भीड़ द्वारा पीट-पीट कर हत्या किये जाने की घटना की रविवार को कड़ी निंदा की।  महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी हत्या के आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है। फडणवीस ने ट्वीट करते हुए कहा पालघर में मॉब लिंचिंग घटना का वीडियो हैरान करने वाला और अमानवीय है। ऐसी विपदा के समय इस तरह की घटना और भी ज्यादा परेशान करने वाली है। उन्होंने आगे लिखा कि मैं राज्य सरकार से गुजारिश करता हूं कि वह इस मामले की उच्चस्तरीय जांच करवाएं और जो दोषी हैं उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो।


सार्वजनिक सूचनाएं एवं विज्ञापन

सावधानी बरते, सतर्क रहें।


प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

यूनिवर्सल एक्सप्रेस    (हिंदी-दैनिक)


अप्रैल 21, 2020, RNI.No.UPHIN/2014/57254


1. अंक-254 (साल-01)
2. मंगलवार, अप्रैल 21, 2020
3. शक-1942, वैशाख, कृष्ण-पक्ष, तिथि- चतुर्दशी, विक्रमी संवत 2077।


4. सूर्योदय प्रातः 06:02,सूर्यास्त 06:51।


5. न्‍यूनतम तापमान 21+ डी.सै.,अधिकतम-33+ डी.सै.।


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रविवार, 19 अप्रैल 2020

रॉयल बेंगलुरु के खिलाफ 'शतक'

ऑकलैंड। न्यूजीलैंड के पूर्व कप्तान ब्रेंडन मैक्कुलम ने कहा कि 12 साल पहले आईपीएल के शुरुआती मुकाबले में 73 गेंद में 158 की पारी ने उनकी जिंदगी हमेशा के लिए बदल दी। आईपीएल का पहला मुकाबला खेला गया था। इसमें कोलकाता नाइटराइडर्स के इस खिलाड़ी ने रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरू के खिलाफ शतक ठोका था।


ब्रेंडन मैक्कुलम ने केकेआर डाट इन से कहा, ‘उस रात को तीन घंटे में के खेल में या मैं कहूंगा कि सिर्फ डेढ़ घंटे में मेरी जिंदगी पूरी तरह से बदल गई। मैक्कुलम एक बार फिर केकेआर कोच के तौर पर जुड़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि टीम के तत्कालीन कप्तान सौरव गंगुली ने भी कहा कि अब तुम्हारी जिंदगी पूरी तरह से बदल जाएगी। उन्होंने कहा, ‘दादा ने कहा था कि अब तुम्हारी जिंदगी पूरी तरह से बदल गई है। मुझे उस समय इसका मतलब समझ नहीं आया था लेकिन बाद में मैं उनसे पूरी तरह सहमत था।
क्रिकेटप्रेमी जानते हैं। 2020 में होने वाले आईपीएल पर कोरोना वायरस की नजर लग गई है। इस वायरस के चलते देश में लॉकडाउन लागू है। इस कारण आईपीएल 2020 एक बार स्थगित होने के बाद दूसरी बार अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया है।


रोग ग्रस्त क्षेत्र घोषित, गाइडलाइन जारी

चंडीगढ़ रोगग्रस्त क्षेत्र घोषित


अमित शर्मा


चंडीगढ़। चंडीगढ़ संसदीय क्षेत्र को रोगग्रस्त क्षेत्र घोषित कर दिया गया है। इसकी पुष्टि करते हुए प्रशासक के सलाहकार मनोज परीदा ने बताया कि शहर को रोगग्रस्त क्षेत्र घोषित करने के संबंध में गाइडलाइन शीघ्र जारी कर दी जाएगी। इसी के साथ उन्होंने ट्वीट पर भी यह जानकारी दे दी है। सलाहकार मनोज परिदा ने कहा कि गृह मंत्रालय के दिशानिर्देशों के अनुसार एक विस्तृत कंटोनमेंट योजना तैयार की जा रही है। उन्होंने कहा कि कहा कि शहर में प्रवेश करने वाले बाहरी लोगों की स्क्रीनिंग व 14 दिनों के लिए या तो घर में या सरकारी सुविधाओं में रखा जाएगा ताकि संक्रमण फैलने से रोका जा सके। उन्होंने कहा कि यह सरकारी शुल्क या आवश्यक सेवा के लिए आने वाले पड़ोसी राज्यों से लोगों पर भी लागू होगा।


अब रोगग्रस्त क्षेत्र घोषित होने के साथ चंडीगढ़ में कोई छूट नहीं मिलेगी और सख्ती की जाएगीए क्योंकि केंद्र सरकार ने पहले ही चंडीगढ़ को हॉटस्पॉट जिला घोषित कर रखा है। दूसरी ओर शुक्रवार को कोरोना संक्रमण के 2 नए मरीज मिलने के बाद धनास व सेक्टर 30 का एरिया पूरी तरह से सील कर दिया गया और सैनिटाइज किया गया आने जाने वालों से पुलिस पूछताछ कर दूसरी तरफ सी आने के लिए बोला जा रहा है। पुलिस सेक्टर 30 की रहने वाली 53 साल की महिला और पीजीआई में तैनात धनास निवासी 50 साल के हेल्थ वर्कर है। चंडीगढ़ में 2 नए मरीजों के सामने आने के बाद मरीजों की संख्या 23 हो गई है। जिसमें 10 मरीज ठीक हो कर घर जा चुके हैं। जबकि अन्य मरीज अस्पताल में इलाज चल रहा है। जिनकी हालत स्थिर बताई गई है। वही पॉजिटिव महिला और हेल्थ वर्कर के परिवार रिश्तेदारों कवारटीन किया गया।


दुनिया के कई देशों में सन्नाटा पसरा

बैंकॉक। लाॅकडाउन के कारण दुनिया के कई देशों में सन्नाटा पसरा हुआ है। विश्व की अर्थव्यवस्थाएं चरमरा गई हैं और कई उद्योगों पर ताले लग गए हैं। इसी दौर में कोरोना की मार ऑर्किड के फूलों को भी झेलनी पड़ रही है। थाईलैंड ऑर्किड के फूलों का विश्व में सबसे बड़ा निर्यातक है। यहां के पर्यटन उद्योग में इन फूलों का काफी महत्व है क्योंकि इन्हें हाॅस्पिटेलिटी का प्रतीक माना जाता है लेकिन लाॅकडाउन के दौरान पर्यटन उद्योग के ठप हो जाने के कारण ये फूल मुरझा गए हैं। ऑर्किड के फूलों का प्रयोग होटल और रेस्तरां आदि में सजावट के लिए किया जाता है।


लेकिन अब बैंकाॅक में इन फूलों को रोजाना काटकर फेंक दिया जा रहा है क्योंकि इन्हें खरीदने वाला कोई नहीं। थाई ऑर्किड्स गार्डन एंटरप्राइज एसोसिएशन के उपाध्यक्ष सोमपांग थेवसुक के अनुसार, उन्हें कोई खरीदार नहीं मिल रहा, ऐसे में इन्हें फेंकने के सिवा कोई विकल्प नहीं। सोमपांग ने कहा, "बमुश्किल कोई खरीदार हैं, और अगर हम फूल निर्यात करना चाहते हैं, तो भी हम ऐसा नहीं कर सकते, क्योंकि ज्यादातर यात्री उड़ानें, जो आमतौर पर उन्हें ले जाती हैं, रद्द कर दी गई हैं।" थाईलैंड अपने निर्यात का एक तिहाई से अधिक यूरोप और यू.एस. को बेचता है। थाईलैंड लाखों डॉलर से अधिक के वैश्विक उद्योग में उगने वाले सभी ऑर्किड का आधे से अधिक निर्यात करता है। लेकिन यह सिर्फ उन निर्यातकों के लिए नहीं है जो संघर्ष कर रहे हैं। घरेलू खरीदारों की मांग भी कम हो गई है क्योंकि पर्यटन, जो सामान्य रूप से अर्थव्यवस्था के पांचवें हिस्से में योगदान देता है, एक ठहराव पर है। थाई ऑर्किड जो कि 50,000 श्रमिकों को रोजगार देता है, वे सभी हालात के सामान्य होने का इंतजार कर रहे हैं क्यूंकि वर्तमान में कोरोना की वजह से मरने वालों की संख्या में लगातार इजाफा होता जा रहा है।


अफगानः 20 लोगों में वायरस की पुष्टि

काबुल। कोरोना वायरस के संक्रमण में दुनियाभर में लगातार तेजी देखने को मिल रही है। अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी के पैलेस में काम करने वाले करीब 20 लोगों में कोरोना संक्रमण की बात सामने आई है। हालांकि अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि राष्ट्रपति अशरफ गनी भी कोरोना वायरस के संक्रमण के शिकार हुए हैं या नहीं।


अफगानिस्तान के एक सरकारी अधिकारी के मुताबिक, राष्ट्रपति के पैलेस में काम करने वाले करीब 20 लोग कोरोना से संक्रमित हैं, लेकिन इस बात को जाहिर नहीं किया जा रहा है ताकी लोगों में पैनिक न हो। हालांकि गनी के प्रवक्ता और अफगानिस्तान के स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया है।


सरकारः 20 अप्रैल तक नहीं मिलेगी छूट

पंजाब सरकार ने स्पष्ट किया 20 अप्रैल से नहीं मिलेगी कोई छूट, रमजान पर भी नहीं दी गई रियायत


अमित शर्मा


चंडीगढ़। पंजाब सरकार ने एक बार फिर से अपना आदेश वापस ले लिया है। कैप्टन अमरिंदर सिंह ने रविवार शाम ऐलान किया है कि 20 अप्रैल से किसी तरह की कोई छूट नहीं मिलेगी। कैप्टन अमरिंदर ने सभी डीसी को जिलों में कर्फ्यू को सख्ती से लागू करने का आदेश दिया। इसके साथ रमजान के दौरान भी कोई छूट या रियायत नहीं दी गई। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि रमजान के कारण लोगों को कोई विशेष कर्फ्यू पास जारी नहीं किया जाना चाहिए। मुख्यमंत्री ने सभी डीसी को कड़े कदम उठाने का निर्देश दिया है। बता दें कि आज सुबह ही कैप्टन सरकार ने सभी उद्देगों समेत कुछ दुकानों को खोलने की अनुमति दी थी।


सफाई कर्मचारियों को किया सम्मानित

बृजेश केसरवानी


प्रयागराज। धूमनगंज थाना अंतर्गत कंधईपुर में समाजसेवी सोनू राज के नेतृत्व में कोरोना जैसे महामारी को देखते हुए लॉक डाउन का पालन करते हुए एवं सोशल डिस्टेंस बनाते हुए सफाई कर्मचारी जो कठिन परिस्थितियों में देश-प्रदेश में अपना काम पूरी जिम्मेदारी से कर रहे हैं। उन्हें आज सम्मानित किया गया और खाद सामग्री का पैकेट का भी वितरण किया गया। इसी क्रम में क्षेत्र में जिनके पास राशन कार्ड नहीं है उन्हें अनाज वितरण किया गया। जिसमें आटा, तेल, कद्दू, नमक, प्याज, आलू आदि दिया गया। इस कार्यक्रम में रॉबिन, विहार राम यादव ,राजू सिंह ,सचिन यादव ,अमन अजीत यादव, सूरज ,राकेश यादव, विजय ,सिवा, नीरज आदि उपस्थित थे।


कर्तव्य के लिए पुलिस का सम्मान

बृजेश केसरवानी


प्रयागराज। कीडगंज थाना अंतर्गत शंकरलाल भार्गव पुलिस बूत पर तैनात नई बस्ती चौकी इंचार्ज रणजीत सिंह एवं चौकी इंचार्ज राम बहादुर साहनी एवं उनके साथ कांस्टेबल एवं महिला कांस्टेबल का कोरोना जैसी महामारी के चलते हुए निर्धारित लॉक डाउन में जिस तरह 24 घंटे ड्यूटी पर तैनात होकर लोगों को बीमारी से बचने का उपाय बता रहे है। वह प्रशंसा के योग्य है। पुलिस इस समय ड्यूटी के साथ-साथ राष्ट्र सुरक्षा का कार्य भी कर रही है। लोगों की मदद के लिए तत्पर रहते हैं। इसलिए इनकी जनता के प्रति अच्छे व्यवहार को देखते हुए समाजसेवी क्षमा दुबे के नेतृत्व में सम्मान किया गया। जिसमें मुख्य रूप से डॉ रमा सिंह, जय श्री जयसवाल, पूर्व पार्षद आभा द्विवेदी, गिरजेश मिश्रा ,नरेंद्र जयसवाल, एवं वार्ड 50 पार्षद किरण जयसवाल ने भी स्वागत किया।


सीएम कोष में जमा करने का निर्णय

प्रयागराज। कोरोना (कोविद-19) वैश्विक महामारी को देखते हुए अखिल भारतीय पंचायत परिषद (उ0प्र0) के राष्ट्रीय अध्यक्ष मा0 सुबोध कांत सहाय व प्रदेश अध्यक्ष अशोक जादौन की अपील पर संगठन से जुड़े सभी ग्राम प्रधानों ने एक माह का मानदेय मुख्यमंत्री कोष में जमा करने का निर्णय लिया। संगठन की अपील और ग्राम विकास सचिव राज कुमार सिंह के कहने पर ग्राम पंचायत कसेरूआ कलां, विकास खण्ड बहादुरपुर, तहसील फूलपुर, जनपद प्रयागराज के ग्राम प्रधान लक्ष्मी चन्द्र गुप्ता ने स्वीकृति दे दी। मुख्यमंत्री कोष में मानदेय जमा करने के लिए ग्राम सचिव कसेरूआ कलां ने पड़ोस के गांव महरौड़ा के सचिव दिनेश प्रताप सिंह के पास जानबूझकर मिलीभगत कर मानदेय का भुगतान करा लेने के लिए भेज दिया और कहा कि अपना डोगल देकर आप मानदेय का भुगतान करा लीजिए। ग्राम प्रधान लक्ष्मी चन्द्र गुप्ता ने दिनेश प्रताप सिंह के पास जाकर अपना डोगल दे दिया। ग्राम प्रधान के मानेदय के भुगतान के बजाय दिनेश प्रताप सिंह व राज कुमार सिंह की मिलीभगत होने के कारण दिनेश प्रताप सिंह ने कसेरूआ कलां ग्राम पंचायत निधि के खाते से 952602 (नौ लाख, बावन हजार, छः सौ दो रूपयें) फर्म यूनिक एंटर प्राइजेज एवं सुपर कन्ट्रक्सन में खातें में कर लिया। यह दोनो फर्म शकील अहमद फारूकी तकनीकी सहायक वि0खं0 बहादुरपुर के परिवार रिश्तेदार की है। ग्राम पंचायत कसेरूआ कलां का समस्त निर्माण कार्य श्री सिद्ध विनायक ट्रेडर्स से निर्माण सामाग्री लेकर कराया गया है। निर्माण कार्य में प्रयुक्त ईट का पैसा छोड़कर सभी भुगतान सिद्ध विनायक ट्रेडर्स को होना चाहिए था।   
ग्राम पंचायत सचिव कसेरूआ कलां राज कुमार सिंह, ग्राम पंचायत सचिव महरौड़ा दिनेश प्रताप सिंह एवं शकील अहमद फारूकी ने साढ़गाढ़ कर ग्राम पंचायत कसेरूआं कला के खाते से कूटरचना, हेराफेरी व जालसाजी करते हुए बेइमानी और कपटपूर्ण तरीके से लाभ प्राप्त करने के लिए ग्राम प्रधान कसेरूआं कला लक्ष्मी चन्द्र गुप्ता की सहमति के बेगैर सरकारी धनराशि का भुगतान अपने चाहने वाले फर्म यूनिक एंटरप्राइजेज व सुपर कन्ट्रक्शन में कर लिया। जबकि कोरोना वैश्विक महामारी के चलते दो जून की रोटी के लिए परेशान गांव के मजदूरों के पारिश्रमिक का भुगतान न करके उक्त लोगों ने फर्म को अवैध तरीके से लाभ पहुंचाने का कार्य किया है। पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच कराकर दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही किये जाने और फर्जी तरीके से कागजों पर संचालित हो रही फर्मो द्वारा की जा रही कर की चोरी की जांच कराया जाना न्यायहित में है।


रिपोर्ट- बृजेश केसरवानी


चेन्नई सुपर किंग्स ने ग्लीसन को टीम में शामिल किया

चेन्नई सुपर किंग्स ने ग्लीसन को टीम में शामिल किया  इकबाल अंसारी  चेन्नई। देश में इन दिनों आईपीएल की धूम मची हुई है। गत चैम्पियन चेन्नई सुपर...