गुरुवार, 20 फ़रवरी 2020

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

यूनिवर्सल एक्सप्रेस    (हिंदी-दैनिक)


फरवरी 21, 2020, RNI.No.UPHIN/2014/57254


1. अंक-194 (साल-01)
2. शुक्रवार, फरवरी 21, 2020
3. शक-1941,फाल्गुन - कृष्ण पक्ष, तिथि- त्रयोदशी, संवत 2076


4. सूर्योदय प्रातः 06:56,सूर्यास्त 06:06
5. न्‍यूनतम तापमान 14+ डी.सै.,अधिकतम-26+ डी.सै., हल्की बरसात की संभावना।


6.समाचार-पत्र में प्रकाशित समाचारों से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं है। सभी विवादों का न्‍याय क्षेत्र, गाजियाबाद न्यायालय होगा।
7. स्वामी, प्रकाशक, मुद्रक, संपादक राधेश्याम के द्वारा (डिजीटल सस्‍ंकरण) प्रकाशित।


8.संपादकीय कार्यालय- 263 सरस्वती विहार, लोनी, गाजियाबाद उ.प्र.-201102


9.संपर्क एवं व्यावसायिक कार्यालय-डी-60,100 फुटा रोड बलराम नगर, लोनी,गाजियाबाद उ.प्र.,201102


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बुधवार, 19 फ़रवरी 2020

सार्वजनिक सूचनाएं एवं विज्ञापन

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नीतू की अध्यात्मिक्ता, होगी डबल पूजा

मुंबई। बॉलीवुड स्टार रणबीर कपूर और आलिया भट्ट इन दिनों अपने काम की वजह से नहीं अपनी रिलेशनशिप को लेकर चर्चा में हैं। हर हफ्ते या महीने उनकी शादी की डेट से जुड़ी खबरें आती रहती हैं। कभी इस कपल की शादी की तारीख होती है तो कभी हनीमून डेस्टिनेशन, हालांकि इस कपल ने अपनी शादी को लेकर कोई बात नहीं की है। अब शादी की खबरों पर आलिया भट्ट ने चुप्पी तोड़ी है। आलिया ने एक चैनल से कहा है कि मीडिया में आ रही शादी की खबरें किसी एंटरटेनमेंट से कम नहीं हैं। ये खबरें उनके लिए सिर्फ एंटरटेनमेंट का सॉर्स हैं। इस इंटरव्यू में आलिया ने उन खबरों को नकार दिया, जिसमें कहा गया था कि उनकी शाही शादी की तैयारियां चल रही हैं और कपूर फैमिली के रिश्तेदारों को न्योता भेज दिया गया है। हालांकि आलिया के इस जवाब पर कुछ लोग सवाल भी उठा रहे हैं। उन्होंने सीधे मना करने के बजाय ‘एंटरटेनमेंटट’ की बात क्यों कही? बता दें कि कुछ दिन पहले ये खबरें भी आई थीं कि ऋषि कपूर और नीतू कपूर शादी की तैयारियों में लगे हैं। वे चाहते हैं कि शादी की रस्में कृष्णाराज प्रोपर्टी में हों तो इसके लिए वहां रेनोवेशन का काम भी करवा रहे हैं। कृष्णाराज प्रॉपर्टी पर रेनोवेशन का काम पूरा होते ही रणबीर और आलिया की शादी की तैयारियां शुरू कर दी जाएंगी। यह भी कहा गया था कि प्री-वेडिंग और पोस्ट वेडिंग पूजा भी करवाई जाएगी। इसकी वजह नीतू का आध्यात्मिक होना है। वह चाहती हैं कि उनके बेटे की शादी पूरे विधि-विधान से हो।


सहायक प्रजनन को कैबिनेट की मंजूरी

नई दिल्ली। सरकार ने महिलाओं के कल्याण के लिए ‘सहायक प्रजनन तकनीक नियमन विधेयक 2020′ को बुधवार को मंजूरी दे दी। प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी की अध्‍यक्षता में मंत्रिमंडल की बैठक में महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के इस आशय के प्रस्ताव को स्वीकृति दी गयी । संसद में ‘सरोगेसी नियमन विधेयक 2020′ को पेश करने और ‘चिकित्‍सा गर्भपात संशोधन विधेयक 2020′ को मंजूरी देने के बाद यह अहम कदम उठाया गया है। ये विधायी उपाय महिलाओं के प्रजनन अधिकारों के संरक्षण के लिए ऐतिहासिक कदम हैं। संसद में पारित हो जाने एवं इस विधेयक के कानून का रूप लेने के बाद केन्‍द्र सरकार इस अधिनियम पर अमल की तिथि को अधिसूचित करेगी। इसके बाद राष्‍ट्रीय बोर्ड का गठन किया जाएगा। राष्‍ट्रीय बोर्ड भौतिक अवसंरचना प्रयोगशाला एवं नैदानिक उपकरणों तथा क्लिनिकों एवं बैंकों में रखे जाने वाले विशेषज्ञों के लिए न्‍यूनतम मानक तय करने के लिए आचार संहिता निर्धारित करेगा, जिसका पालन क्लिनिक में काम करने वाले लोगों को करना होगा। केन्‍द्र सरकार द्वारा अधिसूचना जारी करने के तीन महीनों के भीतर राज्‍य एवं केन्‍द्र शासित प्रदेश इसके लिए राज्‍य बोर्डों और राज्‍य प्राधिकरणों का गठन करेंगे। राज्‍य बोर्ड पर संबंधित राज्‍य में क्लिनिकों एवं बैंकों के लिए राष्‍ट्रीय बोर्ड द्वारा निर्धारित नीतियों एवं योजनाओं को लागू करने की जिम्‍मेदारी होगी। विधेयक में केन्‍द्रीय डेटाबेस के रख-रखाव तथा राष्‍ट्रीय बोर्ड के कामकाज में उसकी सहायता के लिए राष्‍ट्रीय रजिस्‍ट्री एवं पंजीकरण प्राधिकरण का भी प्रावधान किया गया है। विधेयक में उन लोगों के लिए कठोर दंड का भी प्रस्‍ताव किया गया है, जो लिंग जांच, मानव भ्रूण अथवा जननकोष की बिक्री का काम करते हैं और इस तरह के गैर-कानूनी कार्यों के लिए एजेंसियां या संगठन चलाते हैं। इस कानून का सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि यह देश में सहायक प्रजनन प्रौद्योगिकी सेवाओं का नियमन किया जा सकेगा। यह कानून बांझ दंपतियों में सहायक प्रजनन तकनीक (एआरटी) के तहत नैतिक तौर-तरीकों को अपनाए जाने के संबंध में कहीं अधिक भरोसा पैदा करेगा।


दिल्लीः अहमदाबाद में होगा मंच साझा

नई दिल्ली। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दौरे को लेकर भारत में जमकर तैयारियां चल रही हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ट्रंप का स्वागत दिल्ली से बाहर गुजरात के अहमदाबाद स्थित करेंगे और दुनिया के सबसे बड़े मोटेरा स्टेडियम में दोनों नेता मंच भी साझा करेंगे। सवाल उठना लाजमी है कि दिल्ली से बाहर क्यों? तय कार्यक्रम के मुताबिक, ट्रंप जब भारत पहुंचेंगे तो हिंदुस्तान में अमेरिका वाले ‘हाउडी मोदी’ वाले कार्यक्रम से भी भव्य आयोजन होगा। उससे भी बड़ा उत्सव होगा और उससे भी बड़ा जनसैलाब उमड़ेगा। यह भी तय है कि दोनों देशों के प्रमुख साथ-साथ चलेंगे और एक ही मंच से बोलेंगे। ऐसे में सवाल उठ रहा है कि मोदी ने ट्रंप की मेजबानी के लिए अहमदाबाद को ही क्यों चुना? दरअसल, पीएम मोदी ‘अतुल्य भारत’ को दुनिया के सामने लाने की रणनीति के तहत राष्ट्राध्यक्षों की आवभगत दिल्ली के बाहर इसलिए कर रहे हैं, ताकि दुनिया भारत की इन जगहों से वाकिफ हो और पर्यटन के मानचित्र पर ये भी आ सकें। मोदी ने इस कड़ी की शुरुआत जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे का वाराणसी में स्वागत किया था। उसके बाद लगातार विदेशी मेहमानों का स्वागत दिल्ली से बाहर करते रहे हैं। अभी हाल ही में पीएम मोदी ने मुंबई में पुर्तगाल के राष्ट्रपति सूसा का स्वागत किया था, जो भारत-पुर्तगाल बिजनेस समिट में भाग लेने भारत आए थे। चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग और भारत के पीएम मोदी के बीच अभी हाल ही में उच्चस्तरीय बैठक तमिलनाडु के महाबलीपुरम में आयोजित की गई थी। इसके बाद महाबलीपुरम विश्व पर्यटन के मानचित्र पर आ गया और वहां विदेशी पर्यटकों की आमद बढ़ गई। फ्रांस के राष्ट्रपति एमैन्यूल मैक्रों ने भी अपने भारत दौरे के दौरान उत्तर प्रदेश के वाराणसी और मिर्जापुर का दौरा किया था। यूरोपीयीय देशों के कई राष्ट्राध्यक्ष ‘मेक इन इंडिया वीक’ के दौरान मुंबई दौरे पर आए थे, जिनमें फिनलैंड और स्वीडन के प्रधानमंत्री और पोलैंड के उपप्रधानमंत्री शामिल रहे।प्रधानमंत्री मोदी ने जर्मन चांसलर एंजेला मर्केल की भी मेजबानी बंगलुरू में की थी। दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून ने भी उत्तर प्रदेश के नोएडा में विश्व की सबसे बड़ी मोबाइल फैक्ट्री का उद्घाटन किया था। अमेरिकी राष्ट्रपति की बेटी इवांका ट्रंप का भी स्वागत दिल्ली से बाहर हैदराबाद में किया गया था। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने अपने भारत दौरे के दौरान अमृतसर के स्वर्ण मंदिर, साबरमती आश्रम और मुंबई का दौरा किया था। पिछले साल दक्षिण कोरिया की प्रथम महिला किम जुंग सुक अयोध्या में आयोजित देव दीपावली समारोह में शामिल हुई थीं।


नक्सलियों ने आईईडी बम किया ब्लाट

सुकमा। जिले के ग्राम फूलबगडी-गोलाबेकुर के मध्य रास्ते में जवानों को नुकसान पहुँचाने के उद्देश्य से नक्सलियों ने आईईडी बम प्लांट किया था। जिसे मौके पर सुरक्षित निकालकर निष्क्रिय कर दिया गया है। 
प्राप्त जानकारी के अनुसार नक्सलियों द्वारा लगाया गया 05 किलो का आईईडी बम सीआरपीएफ की सेकेंड़ बटालियन को सर्चिंग के दौरान मिला। जवानों ने इसे सुरक्षित निकालकर निष्क्रिय कर दिया है। सुकमा एसपी शलभ सिन्हा ने इसकी पुष्टि की है।


केजरीवाल की गृहमंत्री से आवास पर बैठक

नई दिल्ली। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से उनके आवास पर मुलाकात की। दिल्ली विधानसभा चुनाव के बाद दोनों नेताओं की यह पहली मुलाकात है, जो करीब 20 मिनट तक चली। बाद में केजरीवाल ने ट्वीट कर कहा कि मुलाकात में दिल्ली के तमाम मुद्दों पर चर्चा हुई। अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट किया, 'गृह मंत्री अमित शाह जी से मिला। बहुत ही फलदायी मुलाकात रही। दिल्ली से जुड़े तमाम मुद्दों पर चर्चा हुई। हम दोनों सहमत हुए कि दिल्ली के विकास के लिए मिलकर काम करेंगे।' बाद में यह पूछे जाने पर कि क्या मुलाकात के दौरान शाहीन बाग के मसले पर भी गृह मंत्री के साथ कोई चर्चा हुई तो केजरीवाल ने साफ कहा कि इस पर कोई चर्चा नहीं हुई।


चंडीगढ़ प्रशासन नहीं कर पाया कोई फैसला

ट्रिब्यून फ्लाईओवर: प्रशासन नहीं ले पाया कोई फैसला, सांसद का मत- पक्ष में हो रिपोर्ट


आमित शर्मा


चंढीगढ़। पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट द्वारा ट्रिब्यून फ्लाईओवर की जगह अन्य विकल्प तलाशने के आदेश पर चंडीगढ़ प्रशासन अब तक कोई फैसला नहीं ले पाया है। शहरवासियों की तरफ से दिए सभी सुझावों को प्रशासन रद्द कर चुका है, ऐसे में वह हाईकोर्ट को क्या विकल्प दें, इसको लेकर अधिकारी असमंजस की स्थिति में हैं। सांसद किरण खेर का मत है कि प्रशासन फ्लाईओवर के पक्ष में रिपोर्ट दे लेकिन प्रशासक वीपी सिंह बदनौर अभी तक कोई फैसला नहीं ले पाए हैं।12 फरवरी को हाईकोर्ट में हुई सुनवाई में प्रशासन ने रिपोर्ट दाखिल करने के लिए समय की मांग की है। फ्लाईओवर के मुद्दे पर अमर उजाला ने प्रशासन के सभी वरिष्ठ अधिकारियों से बात की। अधिकारी भी असमंजस की स्थिति में हैं। उन्हें कोई अन्य विकल्प नहीं सूझ रहा। ऐसे में प्रशासन कोर्ट के सामने कई प्रस्ताव रखने वाला है। सूत्रों के अनुसार, प्रशासन के अधिकारी यह भी सोचकर चल रहे हैं कि रिपोर्ट कुछ भी हो, उसके खिलाफ कुछ लोग सुप्रीम कोर्ट का रुख जरूर करेंगे। वहां पर केस लटक जाएगा और फिर पूरा प्रोजेक्ट ठंडे बस्ते में चला जाएगा। ऐसी स्थिति से बचने के लिए यूटी प्रशासन हाईकोर्ट में तीन-चार विकल्प देने की तैयारी कर रहा है। प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि वह अपनी रिपोर्ट में यह बताएंगे कि ट्रिब्यून चौक पर सिग्नल फ्री इंटरचेंज का प्रस्ताव सफल नहीं हो पाएगा। इससे एक-दो साल लोगों को कुछ राहत जरूर मिलेगी लेकिन यह पक्का रास्ता नही होगा। कुछ ही सालों बाद वहां फिर से जाम लगने लगेगा। इसलिए वह कोई पक्का रास्ता निकालना होगा। कहा कि, अगर मंजूरी मिलती है तो वह हाईकोर्ट को बताएंगे कि कैसे वह विभिन्न चरणों में फ्लाईओवर का निर्माणकार्य पूरा करेंगे। इसके बाद वह हाईकोर्ट के फैसले का इंतजार करेंगे। गौरतलब है कि पिछली सुनवाई पर हाईकोर्ट इस फ्लाईओवर के लिए पेड़ों की कटाई करने पर रोक लगा चुका है। सैकड़ों पेड़ों के काटे जाने पर चिंता जताते हुए कहा था कि पर्यावरण एक महत्वपूर्ण मामला है। लिहाजा पहले यहां की ट्रैफिक की समस्या के लिए फ्लाईओवर के अलावा कोई अन्य विकल्प है तो उस पर भी गौर किया जाना बेहद जरूरी है, ताकि इन सैकड़ों पेड़ों को बलि दिए जाने से बचाया जा सके। सांसद का मत, फ्लाईओवर के पक्ष में रिपोर्ट दे प्रशासन सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार सांसद किरण खेर चाहती हैं कि प्रशासन अपनी रिपोर्ट में साफ कहे कि उन्होंने हर तरह का सर्वे कर लिया है और ट्रिब्यून चौक पर लगने वाले जाम से निपटने के लिए फ्लाईओवर ही एकमात्र रास्ता है। हालांकि अभी तक प्रशासक वीपी सिंह बदनौर ने अपना रुख साफ नहीं किया है। जानकारी के अनुसार इस बारे प्रशासक से भी चर्चा की जाएगी और अगर वह भी फ्लाईओवर के पक्ष में दिखाई देते हैं तो प्रशासन फ्लाईओवर के पक्ष में रिपोर्ट कोर्ट में सौंप सकता है। एडवाइजरी काउंसिल में भी जा सकता है ट्रिब्यून फ्लाईओवर का मुद्दा हाईकोर्ट में ट्रिब्यून फ्लाईओवर को लेकर अगली सुनवाई 26 मार्च को है। ऐसे में ट्रिब्यून फ्लाईओवर का मुद्दा एडवाइजरी काउंसिल में भी जा सकता है। अधिकारी यह भी मानकर चल रहे हैं कि प्रशासक वीपी सिंह बदनौर इस मुद्दे पर आखिरी फैसला लेने के लिए इसे एडवाइजरी काउंसिल में भी भेज सकते हैं। इस काउंसिल में विभिन्न क्षेत्रों के लोग सदस्य हैं। ऐसी स्थिति में प्रशासन रिपोर्ट दाखिल करने के लिए हाईकोर्ट से और भी समय की मांग कर सकता है। बता दें कि 23 दिसंबर को प्रशासन ने यूटी गेस्ट हाउस में जन सुनवाई की थी। इस दौरान 72 लोगों ने लिखित और बोलकर सुझाव दिए जबकि 8 लोगों ने प्रेजेंटेशन के जरिए अपनी बात कही। इसके बाद वित्त सचिव अजॉय कुमार सिन्हा की अध्यक्षता में एक टेक्निकल कमेटी का गठन किया गया, जिसने आठों प्रेजेंटेशन को देखा। कमेटी ने 7 प्रस्तावों को रद्द कर एक तरुण माथुर के सिग्नल फ्री इंटरचेंज को विस्तृत रुप से समझने के लिए अलग से बैठक रखी। बैठक के बाद कमेटी ने उस प्रस्ताव को भी रद्द कर दिया।


अचानक ब्रेक लगाने से तीसरी कार पलटी

कार ने राहगीर को मारी टक्कर, 10 फुट उछला,दूसरी कार की छत पर गिरा, मौत


पंचकूला-शिमला। हाईवे पर मंगलवार रात दिल दहलाने वाला हादसा, अचानक ब्रेक लगाने से तीसरी कार पलटी। हादसे में घायल की मौत, पुलिस मृतक की पहचान में जुटी है, तीनों क्षतिग्रस्त कारों को कब्जे में लिया।करीब 10 फुट उछलकर दूसरी साइड गिरा व्यक्ति, गांव जुलमगढ़ के पास हुआ हादसा। पंचकूला-शिमला हाईवे पर मंगलवार रात गांव जुलमगढ़ के पास सड़क पार कर रहे व्यक्ति को एक कार ने जोरदार टक्कर मार दी। टक्कर इतनी तेज थी कि वह करीब 10 फुट ऊपर उछलकर डिवाइडर पार पिंजौर की तरफ से आ रही हरियाणा नंबर की कार की छत पर जा गिरा और लहूलुहान होकर जमीन पर गिर पड़ा। घबराए कार चालक ने तुरंत गाड़ी रोक दी। इसी दौरान पीछे आ रहे वैगनआर कार चालक ने भी तेजी से ब्रेक लगाया तो वैगनआर पलट गई। हादसे में लहूलुहान होकर सड़क पर गिरे व्यक्ति की मौत हो गई जबकि तीनों कार सवार कई लोग घायल हो गए। पुलिस जब तक मौके पर पहुंची घायल अस्पताल रवाना हो गए थे। खबर लिखे जाने तक मृतक की शिनाख्त नहीं हो सकी थी। शव को मोर्चरी में रखवाकर पुलिस ने क्षतिग्रस्त कारों को कब्जे में लिया है और मामले की जांच शुरू कर दी है। घटनास्थल पर मौजूद चश्मदीद सलाउद्दीन ने बताया कि हादसा उस वक्त हुआ जब एक व्यक्ति सड़क पार कर रहा था। पंचकूला से पिंजौर जा रही एक कार नंबर एचआ49जी-2340 के चालक ने सड़क पार कर रहे व्यक्ति को जोरदार टक्कर मार दी। इससे व्यक्ति करीब 10 फुट ऊपर उछलकर डिवाइडर पार कर दूसरी साइड पिंजौर से पंचकूला की ओर जा रही कार नंबर एचपी17ई-7675 की छत पर जा गिरा। व्यक्ति के अचानक ऊंचाई से कार की छत पर गिरने से एचपी नंबर की कार अचानक रुक गई। इसी बीच कार के पीछे पिंजौर से पंचकूला की ओर आ रही मारुति वैगनआर कार नंबर सीएच04जे-3194 के चालक ने अचानक ब्रेक लगाई तो कार पलट गई। गनीमत रही कि हादसे में वैगनआर कार का चालक और एचपी नंबर की कार के चालक बाल-बाल बच गए। पुलिस ने सभी क्षतिग्रस्त वाहनों को कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है। पुलिस फिलहाल मृतक की शिनाख्त के प्रयास में जुटी है। इसके अलावा पुलिस उक्त हरियाणा नंबर की कार के आरोपी चालक के खिलाफ कानूनी कार्रवाई में जुटी है। लोग लगाते रहे फोन, नहीं लगा पुलिस कंट्रोल रूम का नंबर  चश्मदीदों ने बताया कि उन्होंने पुलिस को हादसे की सूचना देने और मदद के लिए कई बार पुलिस कंट्रोल रूम को फोन लगाए लेकिन घटनास्थल से कंट्रोल रूम को कोई फोन नहीं लगा। लोगों ने चिंता व्यक्त कर कहा कि इससे पहले भी घटनास्थल के समीप से पुलिस कंट्रोल रूम पर फोन लगने में परेशानी बनी रही है। यातायात हुआ प्रभावित:
पंचकूला-शिमला हाईवे पर सड़क हादसे के बाद वाहनों की गति धीमी हो गई। कई वाहन चालक मौके पर रुककर घायलों की मदद में जुट गए और उन्हें अस्पताल पहुंचाया। हालांकि पुलिस जब तक मौके पर पहुंची वहां कोई घायल नहीं मिला। एसएचओ चंडी मंदिर नवीन ने बताया कि मामले की छानबीन की जा रही है। पुलिस जब तक मौके पर पहुंची, घायल अस्पताल रवाना हो चुके थे। जब पुलिस सेक्टर-6 सिविल अस्पताल पहुंची तो वहां भी कोई घायल नहीं मिला। मामले की जांच की जा रही है।


हिमकेयर के तहत उपचार की सुविधा

पीजीआई चण्डीगढ़ में हिमकेयर योजना के तहत उपचार की सुविधा उपलब्ध


आमित शर्मा


चंडीगढ़। पीजीआई चण्डीगढ़ में हिमाचल प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी हिमकेयर योजना के तहत उपचार की सुविधा उपलब्ध है। यह जानकारी आज यहां जिला विकास समन्वयक एवं निगरानी समिति (दिशा) की बैठक में प्रदान की गई। बैठक की अध्यक्षता शिमला लोकसभा क्षेत्र के सांसद सुरेश कश्यप ने की। बैठक में जानकारी दी गई कि पीजीआई चण्डीगढ़ में हिमकेयर योजना स्वास्थ्य कार्ड से सम्बिन्धित सहायता के लिए सहायता काउंटर स्थापित किया गया है। यहां पर इस कार्य के लिए कर्मी नरेन्द्र से मोबाईल नम्बर 076967-59990 पर सम्पर्क किया जा सकता है। यह सहायता काउंटर पीजीआई चण्डीगढ़ के न्यू ओपीडी एक्सटेंशन ब्लाॅक में स्थापित किया गया है।  
हिमकेयर योजना से प्रदेश के वे सभी नागरिक लाभान्वित हो रहे हैं जो महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत योजना के दायरे से बाहर हैं। इस योजना के अंतर्गत 5 लाख रुपए तक का निःशुल्क उपचार उपलब्ध है।
बैठक में बताया गया कि हिमकेयर योजना के तहत पंजीकरण प्रक्रिया 31 मार्च, 2020 तक पुनः आरम्भ की गई है।


सचिवालय एंट्री मे बनवाने पड़ेंगे पास

राणा ओबराय

सिविल सचिवालय चंडीगढ़ में वीआईपी एंट्री पर मंत्रियों, एमएलए के साथ आये लोगो को भी बनवाना होगा पास

चण्डीगढ़। हरियाणा सिविल सचिवालय चंडीगढ़ में वीआईपी लोगों जैसे मंत्रियों एमएलए एवं वरिष्ठ अधिकारियों के साथ आए लोगों को सचिवालय में वीआईपी गेट से एंट्री नहीं मिलेगी। सभी वीआईपी के साथ आए लोगों को अब वीआईपी गेट पर पास बनवाना होगा। उक्त जानकारी देते हुए राकेश कुमार ने बताया पहले लोग मंत्रियों, एमएलए और वीआईपी के साथ बिना पास के चले जाते थे। परंतु अब वीआईपी के साथ आये लोगो को एंट्री पास बनवाना अनिवार्य है।


कुएं में मिला नवजात शिशु का शव, मचा हड़कंप

कुएं में मिला नवजात शिशु का शव, मचा हड़कंप  दुष्यंत टीकम  जशपुर/पत्थलगांव। जशपुर जिले के एक गांव में कुएं में नवजात शिशु का शव मिला है। इससे...