गुरुवार, 19 सितंबर 2019

संविधान के अनुरूप कार्य करेगी सरकार

केरल की सरकार संविधान के अनुरूप कार्य करें यह मैं सुनिश्चित करुंगा। राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने अजमेर में दरगाह जियारत के बाद दीवान आबेदीन से मुलाकात की। 
केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान अजमेर स्थित सूफी संत ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह में सूफी परंपरा के अनुरूप पवित्र मजार पर मखमली और फूलों की चादर पेश की। राज्यपाल ने जियारत की रस्म अदा करते हुए देश में अमनचैन की दुआ की। जियारत के बाद दरगाह परिसर में ही मीडिया से संवाद करते हुए खान ने कहा कि वे केरल में भारत के राष्ट्रपति के प्रतिनिधि के तौर पर मौजूद हैं। चूंकि राज्यपाल का पद संवैधानिक होता है, इसलिए मैं संविधान से बंधा हंू। खान से यह सवाल किया गया कि केरल में जिस प्रकार राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ और भाजपा के कार्यकर्ताओं की हत्याएं हो रही हैं उस संदर्भ में राज्यपाल की क्या भूमिका होगी? खान ने कहा कि वे यह सुनिश्चित करेंगे कि केरल की सरकार संविधान के अनुरूप काम करें। खान ने कहा कि केरल के हर क्षेत्र में महिलाओं की जबर्दस्त भागीदारी है। देश भर में महिलाओं की ऐसी ही भागीदारी होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी इन दिनों पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए बहुत से कार्य कर रहे हैं हमारे देश के पर्यटन स्थलों को विकसित करने में मोदी की महत्वपूर्ण भूमिका है। इसे हमारे देश की विविधता ही कहा जाएगा कि इतने सुंदर और मनोरम पर्यटन स्थल मौजूद हैं। 
दरगाह दीवान से मुलाकात:
जियारत के बाद राज्यपाल खान ने दरगाह के दीवान और सज्जादानशीन जैनुल आबेदीन से मुलाकात की। दोनों ने देश के मौजूदा हालातों पर विचार विमर्श किया। दीवान आबेदन का कहना रहा कि देश में अमनचैन कायम रहना चाहिए। खान और दरगाह दीवान की इस मुलाकात को धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण माना जा रहा है। असल में केरल की मुस्लिम आबादी में ख्वाजा साहब का विशेष स्थान है, इसलिए बड़ी संख्या में केरल के मुसलमान दरगाह जियारत के लिए अजमेर आते हैं। यही वजह रही कि दरगाह कमेटी के नाजिम शकील अहमद ने राज्यपाल खान को एक ज्ञापन देकर अजमेर में केरल हाउस बनाने की मांग की। राज्यपाल खान अजमेर में विवेकानंद केन्द्र द्वारा आयोजित एक समारोह में भी भाग ले रहे हैं। 
तीन तलाक कानून के समर्थक:
यूं तो आरिफ मोहम्मद खान कई राजनीतिक दलों में रहे हैं। खान पूर्व में बसपा, जनता दल और कांग्रेस में भी रहे। लेकिन पिछले दिनों भाजपा के तीन तलाक बिल का खान ने खुला समर्थन किया।  खान ने कहा कि तीन तलाक की परंपरा की वजह से मुस्लिम महिलाओं को अनेक अत्याचार झेलने पड़ रहे थे। सरकार ने कानून बनाकर मुस्लिम महिलाओं को राहत प्रदान की है। खान जिस तरह तीन तलाक कानून पर सरकार के साथ खड़े नजर आए उसी का परिणाम रहा कि उन्हें पिछले दिनों ही केरल का राज्यपाल मनोनीत किया गया। 
दरगाह में शानदार इस्तकबाल:
राज्यपाल खान का 19 सितम्बर को ख्वाजा साहब की दरगाह मे ंशानदार इस्तकबाल किया गया। केन्द्र सरकार के अधीन काम करने वाली दरगाह कमेटी के प्रतिनिधियों ने तो खान का स्वागत किया ही, साथ ही खादिमों की संस्थाओं के प्रतिनिधियों ने भी इस्तकबाल करने में कोई कसर नहीं छोड़ी। अंजुमन सैय्यद जादगान के सचिव वाहिद हुसैन अंगारा शाह ने खान को दरगाह की सूफी परंपराओं से अवगत कराया। उन्होंने बताया कि दरगाह में मुस्लिम महिलाओं को भी पूरी स्वतंत्रता है। वे दरगाह परिसर में नमाज पढ़ सकती हैं तथा पवित्र मजार पर जाकर जियारत भी कर सकती है। अंगारा शाह ने दरगाह की परंपरा के अनुरूप दस्तार बंदी भी की। 
एस.पी.मित्तल


कांग्रेस को लेकर जयपुर में हुआ मंथन

अशोक गहलोत और सचिन पायलट में एका हो तो राजस्थान में सत्ता और संगठन में भी तालमेल हो जाएगा। तालमेल को लेकर जयपुर में हुआ मंथन। 
जयपुर स्थित राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में सरकार के मंत्रियों और संगठन के पदाधिकारियों की एक उच्च स्तरीय बैठक हुई। इस बैठक में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट, प्रदेश के प्रभारी महासचिव अविनाश पांडे तथा राष्ट्रीय सचिवों ने भाग लिया। यह बैठक कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी के निर्देश पर हुई। पिछले दिनों गहलोत और पायलट ने अलग-अलग सोनिया गांधी से मुलाकात की थी। इस मुलाकात के बाद ही सोनिया गांधी ने राजस्थान में सत्ता और संगठन में तालमेल पर जोर दिया। बैठक के बाद सीएम गहलोत, प्रदेश अध्यक्ष पायलट और प्रभारी महासचिव पांडे ने संयुक्त रूप से प्रेस कॉन्फ्रेंस को भी संबोधित किया। तीनों नेताओं ने एक बार फिर यह दिखाने की कोशिश की सत्ता और संगठन में कोई विवाद नहीं है। लेकिन जानकार सूत्रों के अनुसार बैठक में  गहलोत और पायलट के समर्थकों ने अपने अपने नजरिए से बात को रखा। जहां पायलट के समर्थकों ने राजनीतिक नियुक्तियों का सवाल उठाया तो वहीं गहलोत के समर्थकों ने सरकार के अच्छे काम काज की बात की। दिसम्बर में होने वाले पंचायतीराज और उससे पहले 52 स्थानीय निकायों के चुनावों को लेकर भी बैठक में मंथन हुआ। अब सत्ता और संगठन तालमेल दिखाने के लिए यह निर्णय हुआ है कि प्रभारी मंत्री जिला कांग्रेस कमेटी के दफ्तर में बैठक कर जनसुनवाई करेंगे। इसी प्रकार पंचायतीराज के टिकट वितरण के लिए पर्यवेक्षकों को जिलों में नहीं भेजा जाएगा। इसकी एवज में प्रभारी मंत्री ही अपनी रिपोर्ट प्रदेशाध्यक्ष को देेंगे। 19 सितम्कर को भले ही दिखाने के लिए सत्ता और संगठन की संयुक्त हो बैठक हो गई हो, लेकिन सब जानते हैं कि जब तक अशोक गहलोत और सचिन पायलट में तालमेल नहीं होगा, तब तक ऐसी बैठकों के कोई मायने नहीं है। लोकसभा चुनाव में हार के बाद गहलोत और पायलट के बीच की तल्खी सार्वजनिक हुई है। पायलट ने प्रदेश की कानून व्यवस्था की स्थिति पर भी प्रतिकूल टिप्पणियां की है। पायलट कई बार राजनीतिक नियुक्तियों का मुद्दा मुख्यमंत्री के समक्ष उठा चुके हैं। वहीं गहलोत के समर्थक एक व्यक्ति एक पद की मांग कर चुके है। पायलट इस समय प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष के साथ-साथ सरकार में डिप्टी सीएम के पद पर भी नियुक्त है। पायलट के समर्थक चाहते हैं कि वे दोनों पदों पर बने रहे, जबकि गहलोत के समर्थक पायलट से एक पद खासकर प्रदेश कांग्रेस कमेटी का लेना चाहते हैं। अब यह देखना होगा कि दोनों पक्षों में पायलट के दोनों पदों को लेकर क्या सहमति बनी है। यदि अभी भी एक व्यक्ति एक पद की मांग होती रही तो फिर सत्ता और संगठन में तालमेल होना मुश्किल है। चूंकि पंचायतीराज के चुनाव प्रदेश भर में बहुत महत्वपूर्ण हैं, ऐसे में देखना होगा कि सत्ता और संगठन के बीच किस प्रकार तालमेल होता है। इसमें कोई दो राय नहीं की गत विधानसभा चुनाव से पहले सचिन पायलट के नेतृत्व में कांग्रेस संगठन को मजबूती मिली थी। 
एस.पी.मित्तल


जनसमर्थन को बपौती नहीं समझना चाहिए

जनता के वोट से मिली सत्ता को बपौती नहीं समझना चाहिए। 
जिन अमित शाह को गुंडा कहा, उन्हीं से ममता बनर्जी मिलने पहुंची। 

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने दिल्ली में केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात की। इस मुलाकात में जो उत्साह ममता ने दिखाया, वैसा भाव अमितशाह के चेहरे पर नहीं था। ममता बनर्जी उन्हीं अमितशाह से मिलीं जिन्हें पांच माह पहले गुंडा कहा था, तब अमित शाह सिर्फ भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष थे। सब जानते है कि ममता बनर्जी ने अपनी सरकार का दुरुपयोग करते हुए शाह के हेलीकॉप्टर को भी नहीं उतरने दिया। लोकसभा चुनाव में प्रचार के लिए शाह को सभा तक नहीं करने दी और जब शाह ने रोड शो किया तो उपद्रवियों ने शाह पर तेल बम फेंके। यदि भाजपा के कार्यकर्ता अपनी जान जोखिम में डाल कर तेल बमों को नहीं पकड़ते तो शाह को अपनी जान भी गवानी पड़ती। इतना सब कुछ होने पर भी ममता ने कहा कि अमितशाह तो गुंडा हैं। हालांकि लोकसभा चुनाव में पश्चिम बंगाल की जनता ने भाजपा को 18 सीटें जीता कर बता दिया कि गुंडागर्दी कौन कर रहा है। असल में जनता के वोट से सत्ता हांसिल करने के बाद अनेक राजनेता सत्ता को अपनी बपौती समझने लगते हैं। उन्हीं में से ममता बनर्जी भी हैं। ममता को लगता था कि कोई ताकत उन्हें सत्ता से बाहर नहीं कर सकती है। यही वजह रही कि ममता ने केन्द्र में सत्तारूढ़ पार्टी के अध्यक्ष को गुंडा कह दिया। ममता घमंड में इतनी चूर थीं कि नरेन्द्र मोदी को प्रधानमंत्री मानने से ही इंकार कर दिया। बंगाल में 2021 में विधानसभा के चुनाव होने हैं। हवा बता रही है कि ममता बनर्जी की टीएमसी हार जाएगी। जो लोग सत्ता में रह कर घमंड दिखाते हैं उन्हें पश्चिम बंगाल के हालातों से सबक लेना चाहिए। जनता कभी भी नेताओं को सकड़ पर ला सकती है। सब जानते हैं कि ममता बनर्जी ने गुंडा तत्वों को संरक्षण देकर बंगाल में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ्ज्ञ और भाजपा के कार्यकर्ताओं की किस प्रकार हत्याएं करवाईं।
राज्यपाल ने की थी संघ प्रमुख से मुलाकात:
गत 7 से 9 सितम्बर के बीच अजमेर के पुष्कर में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की अखिल भारतीय समन्वय बैठक हुई थी। इस बैठक में संघ प्रमुख मोहन भागवत ने भी भाग लिया। 10 सितम्बर को पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनकड़ ने पुष्कर पहुंचकर कोई ढाई घंटे तक भागवत से मुलाकात की। माना जा रहा है कि इस मुलाकात में पश्चिम बंगाल की कानून व्यवस्था की स्थिति को लेकर गंभीर मंत्रणा हुई। उल्लेखनीय है कि धनकड़ राज्यपाल नियुक्त होने से पहले तक सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील थे और वे लगातार भाजपा नेताओं के समर्क में रहे। 
एस.पी.मित्तल


सऊदी अरब-ईरान मे टकराव की स्थिति बड़ी

सऊदी अरब और ईरान के बीच चल रहे टकराव की स्थिति अब वैश्विक रूप धारण कर रहा है। सऊदी अरब के समर्थन में उतरी अमेरिका ने ईरान को चेतावनी जारी कर कहा कि सऊदी अरब के सरकारी तेल ठिकानों पर हमला के लिए ईरान ही जिम्मेवार है।


जिसके बाद ईरान ने अमेरिका के आरोपों पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए इसे सिरे से खारिज कर दिया। सऊदी अरब पर हुए हमले के बाद अमेरिकी आरोपों पर हमला बोलते हुए ईरान ने अमेरिका की एक नई चाल करार दिया है। सऊदी अरब का समर्थन कर रहे अमेरिका ने खाड़ी देशों में उत्पन्न तनाव की स्थिति के लिए ईरान को जिम्मेवार बताया है।


खाड़ी देशों में उत्पन्न तनाव की स्थिति पर लगातार गोलबंदी जारी है। कई देश खुलकर अमेरिका का समर्थन या विरोध में दिख रहे हैं। इस बीच बड़ी खबर यह है कि रूस ने अमेरिका को चेतावनी देते हुए कहा है कि अमेरिका द्वारा ईरान पर हमला किया गया तो भारी तबाही का सामना करना पड़ेगा।


विदित हो कि ईरान ने अमेरिका के एक शक्तिशाली ड्रोन को मार गिराया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अमेरिकी डोन पर हमले की पुष्टि करते हुए ईरान ने कहा कि हमारे सीमा में घुसा था यूएस ड्रोन। जबकि पेंटागन का कहना है कि यह घटना अंतर्राष्ट्रीय सीमा क्षेत्र में घटी है। जिसके बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप आगबबूला दिख रहे हैं। ट्रंप ने अमेरिकी ड्रोन हमले के बाद सख्त लहजे में कहा है कि ईरान ने बहुत बड़ी गलती की है। उधर, रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने अमेरिका को चेतावनी देते हुए कहा है कि अगर ईरान पर हमला हुआ तो भारी तबाही का सामना करना पड़ेगा। पुतिन ने यह भी कहा कि अमेरिकी सेना द्वारा ईरान में किसी प्रकार की कार्रवाई इलाके में शांति बहाली के प्रयासों को करारा झटका देगा। यही नहीं उन्होंने यह भी कहा कि यह कार्रवाई यदि संभव हुआ तो हिंसा को बढ़ावा मिल सकता है। जिसके बाद हुए नुकसान की भरपाई कर पाना काफी कठिन होगा। अमेरिकी ड्रोन पर हमला किए जाने के बाद अमेरिकी प्रतिक्रिया में कहा गया है कि ईरान का यह कार्रवाई अकारण है।


गौरतलब है कि विगत 14 सितंबर को सऊदी अरब के सरकारी तेल कंपनी के दो ठिकानों पर हुए ड्रोन हमले के लिए अमेरिका ईरान को जिम्मेवार बताता है। जबकि इस हमले के लिए सऊदी अरब के पड़ोसी मुल्क यमन के हूती विद्रोहियों द्वारा अंजाम दिया गया था। हमले के तुरंत बाद यमन के हूती विद्रोहियों ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर हमले की जिम्मेवारी ली थी। इन सबके बावजूद अमेरिका ईरान को इस हमले के लिए जिम्मेदार बताता है।


पुलिस की बड़ी कार्रवाई कई माफिया गिरफ्तार

मुजफ्फरपुर। मुज़फ़्फ़रपुर पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है, पुलिस ने हथियार के साथ दस अपराधियों को गिरफ्तार किया है। इनमें से दो कुख्यात शराब माफिया और एक पूर्व मुखिया का बेटा है। अहियापुर में पुलिस पर हमला कर जख्मी कर देने के आरोपी भी इनमें शामिल हैं। पुलिस के मुताबिक इनकी गिरफ्तारी से जहां चार कांडों का खुलासा हुआ है वहीं तीन आपराधिक वारदातों को पुलिस ने होने से पहले रोक लिया है। पुलिस ने अपराधियों के पास से तीन पिस्टल, मैगजीन, गोलियां, शराब, लूट की मोबाइल, बाइक, स्कॉर्पियो और गायघाट से एक दिन पूर्व लूटी गयी 140 कार्टन फेवीकॉल बरामद किया है। सभी अपराधियों की गिरफ्तारी अहियापुर, मीनापुर, करजा और सरैया थाना इलाकों से हुई है। एसएसपी मनोज कुमार ने बताया कि अहियापुर इलाके में की गई दो छापेमारी में पांच अपराधी मनोज सहनी, साजन सहनी, सुरेश सहनी, मुकेश कुमार और अजय सहनी को गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने उनके पास से लूट की बाइक और शराब बरामद की है। सरैया के जैतपुर ओपी से कांटी के कुख्यात संतोष कुमार को पकड़ा गया तो करजा चौक पर गश्ती दल नें एक अपराधी कुणाल को दबोच लिया। पुलिस को कुणाल के पास से दो चीनी पिस्टल और मैगजीन मिले हैं। पुलिस की एक टीम ने मीनापुर के मुस्तफागंज बाजार पर लुटेरों के जुटने की सूचना पर कार्रवाई की। इस कार्रवाई में पुलिस नें सोनु कुशवाहा और लाखेन्द्र सहनी को दबोच लिया जबकि दो अन्य लुटेरे फरार होने में कामयाब रहे। पुलिस ने सोनू के पास से एक मैगजीन बरामद किया जिसमें पांच गोलियां थीं। एसएसपी ने इस दौरान गायघाट के बेनीवाद में 17 सितम्बर को फेवीकॉल लूट कांड का भी खुलासा कर लिया गया। इस केस में पुलिस ने पीयर थाना के बंगरा से लूटी गई पिकअप गाड़ी बरामद किया और गुप्तचर की मदद से ग्रामीण नंदकिशोर राय के गोदाम में छापामारी करके 140 कार्टन लूट का फेवीकॉल बरामद किया।


नियम विरुद्ध लोगों के काटे चालान

सड़क सुरक्षा सप्ताह के अंतर्गत एआरटीओ विनीत मिश्रा ने काटे पचासो से ऊपर वाहनों के चालान


सवारियों को छत पर बैठाकर ले जा रही मैजिक गाड़ी के खिलाफ़ की बड़ी कार्यवाही


तस्लीम बेनकाब


मुजफ्फरनगर। सड़क सुरक्षा सप्ताह के अंतर्गत एआरटीओ विनीत कुमार मिश्रा द्वारा मुजफ्फरनगर क्षेत्र के अलग अलग रोडो पर जबरदस्त चेकिंग अभियान चलाया गया। इस अभियान के तहत उन्होंने कई वाहनों के चालान काटे तथा वाहन स्वामियों को हिदायत भी दी। भविष्य में यातायात के नियमों का पूरी तरह पालन करें तथा किसी भी कीमत पर उल्लंघन ना करें। जान बहुत कीमती है तथा सड़क में दुर्घटना से मारे जाने वाले पर क्या गुजरती है इसका एहसास सभी को रखना चाहिए।आज इसी क्रम में उनके द्वारा सीट बेल्ट व हेलमेट  आदि ना लगाम वालो के खिलाफ़ अभियान चलाकर वाहनों के स्वामियों के 70 चालान काटे गए।तो वही एक मेजिक गाड़ी की पर छत पर सवारी बैठा कर ले जा रहे मैजिक पर भी बड़ी कार्रवाई की गई। इससे सभी में वाहन स्वामियों में हड़कंप मचा रहा।


जमीनी विवाद में 400 लोग भिड़े दर्जनों घायल

जगदलपुर। भानपुरी थाना क्षेत्र के पीपलावंड में गुरुवार को जमीन विवाद के चलते आपस में भिड़ गए। इस घटना में दर्जनभर से भी ज्यादा लोगों की घायल होने की जानकारी मिली है।


मिली जानकारी के अनुसार पिपलावंड और जामगुड़ा पारा के ग्रामीणों के बीच लंबे समय से जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। विवाद उस वक्त और बढ़ गया जब जामगुड़ा पारा के ग्रामीणों ने विवादित जमीन पर धान लगा दिया। मिली जानकारी के अनुसार पिपलावंड के ग्रामीणों ने पहले ही जामगुड़ा पारा के ग्रामीणों को जमीन सरकारी बताकर धान नही लगाने की बात कही थी। जामगुड़ा पारा के ग्रामीणों ने बात अनसुनी करते हुए वहां धान लगा दिया। जिससे नाराज होकर दोनों पक्ष के लगभग 400 लोग आपस में भीड़ गए। बताया गया कि दोनों पक्षों के बीच जमकर मारपीट हुई है। जिसमें दर्जनभर से ज्यादा लोगों को गम्भीर चोंटे लगी है। घटना की जानकारी मिलते ही डायल 112 की टीम के साथ भानपुरी थाना पुलिस बल मौके पर पहुँच गई। ग्रामीणों को समझाईश देने के बाद मामला शांत कराया गया है। वहीं घायलों को भानपुरी स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराकर ईलाज शुरू कराया गया है।


धरनारत पत्रकारों पर घातक हमला किया

धरनारत पत्रकारों पर घातक हमला


अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद,लोनी। पत्रकारिता स्पष्ट तौर पर सामाजिक दर्पण के समान है। समाज को जागरूकता प्रदान करने वालों पर अब अत्याचार बढ़ता ही जा रहा है। जिसका एक मामला प्रकाश में आया है।


जानकारी के अनुसार प्रशासनिक नाराजगी के चलते कुछ पत्रकारों के द्वारा स्थानीय विधायक को ज्ञापन देकर अपनी क्षुब्धता जाहिर करने का कार्यक्रम निर्धारित किया गया। निर्धारित कार्यक्रम अनुरूप कई पत्रकार भाजपा विधायक के दिल्ली सहारनपुर रोड स्थित कार्यालय पर निर्धारित समय पर पहुंच गये और विधायक की प्रतीक्षा करने लगे। विधायक के कार्यालय पर छह अज्ञात लोग मुंह पर कपड़ा बांधकर हॉकी और डंडे लेकर आए। धरना रत पत्रकारों में शौकत और सरताज नामक पत्रकारों पर हमला कर दिया गया। सरताज को बुरी तरह मारा-पीटा गया। जिससे उसे काफी घातक चोटे लगी है। उसके बाद शौकत को डंडे और हॉकी से पीटा गया। इससे पहले कोई कुछ समझ पाता हमलावर भाग गए। स्थानीय पुलिस पत्रकारों से सहानुभूति रखती है क्षेत्र अधिकारी और थाना अध्यक्ष के द्वारा हर संभव सहायता करने की बात कही गई और हमलावर का जल्दी पता लगाकर उन्हें गिरफ्तार करने का भी दावा किया गया। धरना पत्रकारों पर किया गया घातक हमला किसी साजिश का हिस्सा है। इस प्रकार की घटिया साजिश केवल निंदा के योग्य है सभ्य समाज इस कृत्य की निंदा करता है।


प्रयागराज के बैंक में दिनदहाड़े लाखो की लूट

उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक में दिनदहाड़े पांच लाख की लूट


बृजेश केसरवानी


प्रयागराज। मऊआइमा थाना से चंद दूरी पर कस्बा में उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक है। जिसे आज दोपहर में समय लगभग 1:30 मिनट पर चार नकाबपोश बदमाश अपाची से आए। हाथ में तमंचा से फायर करते हुए बैंक के अंदर घुसते ही फायरिंग करने लगे। वही एक व्यक्ति जिसकी उम्र 60 वर्ष बताई जा रही है उसके पैर में बदमाशों ने गोली मार दी। जिससे वह लहूलुहान होकर जमीन पर गिर पड़ा। बैंक के अंदर मौजूद लोगों ने यह मंजर देख कर डर गए और बदमाशों ने कहा कि सभी लोग अपना हाथ ऊपर करके खड़े हो जाओ नहीं तो गोली मार दूंगा। एक नकाबपोश बदमाश ने हाथ में बैग लेकर कैसियर के पास पहुंचा तथा कैसियर को धक्का देकर पूरा पैसा बैग में भर लिया तथा चारों बदमाश  हाथ में तमंचा लहराते हुए अपाची से फरार हो गए। सूत्रों से जानकारी मिली की घटना उस समय हुई जब कैश की गाड़ी आई हुई थी। दिनदहाड़े डकैती की खबर पूरे जनपद में आग की तरह फैल गई। सूचना पाकर मऊआइमा थानाध्यक्ष अनिल सिंह मैं फोर्स के साथ घटनास्थल पर पहुंचकर जांच पड़ताल शुरू कर दी साथ ही पूरे कस्बे में नाकाबंदी करके बदमाशों की धरपकड़ के लिए थाना प्रभारी ने हर बिंदुओ पर बड़ी बारीकी से जांच शुरू कर दी, साथ ही उच्च अधिकारियों को सूचना दी गई। जिसके तहत जनपद के सभी थानों को वायरलेस के माध्यम से अलर्ट कर दिया हैै।


आलिया,रणबीर को बेस्ट एक्टर अवॉर्ड

मुंबई। अगर बेस्ट फिल्म की बात करें तो एक्ट्रेस आलिया भट्ट और एक्टर विक्की कौशल की फिल्म राजी को बेस्ट फिल्म का अवॉर्ड मिला है। यह फिल्म एक भारतीय जासूस की कहानी है, जिसका किरदार आलिया ने निभाया है।बता दें कि आईफा के इवेंट सुपरस्टार सलमान खान काफी लेट पहुंचे थे और इस दौरान वो काले शर्ट और ब्लू ब्लेजर में नजर आए और इस लुक में वो काफी स्टाइलिश लग रहे थे। वहीं इवेंट में फिल्मी जगत कई हस्तियों ने शिरकत की थी, जिसमें दीपिका पादुकोण, शाहिद कपूर, आलिया भट्ट आदि का नाम शामिल है।बता दे कि जोहान्सबर्ग, मैड्रिड, दुबई, कोलंबो, न्यूयॉर्क जैसे शहरों के बाद अब IIFA 2019 मुंबई में ही आयोजित किया गया। अवॉर्ड सेरेमनी को अर्जुन कपूर और आयुष्मान खुराना ने होस्ट किया। वहीं, सलमान खान, रणवीर सिंह, विक्की कौशल, माधुरी दीक्षित, कैटरीना कैफ और सारा अली खान समेत कई हस्तियां ने परफॉर्म किया।


144 सीट नहीं तो गठबंधन भी नहीं

मुंबई। महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से पहले शिवसेना और भाजपा के बीच तनाव लगातार बढ़ता ही जा रहा है। महाराष्ट्र में सभी दल विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटा है, लेकिन सीट बंटवारे को लेकर बीजेपी और शिवसेना के बीच जारी तल्खी लगातार बढ़ती ही जा रही है। शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत ने स्पष्ट कर दिया कि उनकी पार्टी बराबरी की स्थिति में ही बीजेपी के साथ मिलकर चुनाव लड़ेगी। उन्होंने कहा कि बराबरी पर ही गठबंधन किया जाएगा। संजय राउत ने साफ शब्दों में कहा कि 144 सीटें नहीं मिलेंगी तो बीजेपी के साथ विधानसभा चुनावों में गठजोड़ भी नहीं किया जाएगा। बता दें कि महाराष्ट्र में विधानसभा की कुल 288 सीटें हैं।  महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी और शिवसेना के बीच राज्य में सीट बंटवारे को लेकर स्थिति साफ होती नहीं दिख रही है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, बीजेपी-शिवसेना गठबंधन में भजपा बड़े भाई की भूमिका निभाना चाहती है। वहीं, शिवसेना बराबरी का दर्जा चाहती है। ऐसे में दोनों दलों के बीच सीट बंटवारे को लेकर रस्साकशी चल रही है। ऐसे माहौल में संयज राउत के बयान की अहमियत बढ़ जाती है।
दरअसल, संजय राउत से पहले महाराष्ट्र के मंत्री और शिवसेना नेता दिवाकर राउते ने कहा था कि 144 सीटें नहीं मिलने पर बीजेपी के साथ चुनावी गठजोड़ टूट सकता है। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए संजय राउत ने कहा, जब अमित शाह और मुख्यमंत्री (देवेंद्र फड़णवीस) के बीच बातचीत के दौरान 50-50 का फॉर्मूला अपनाने का फैसला कर लिया गया तो यह बयान (दिवाकर राउते का बयान) गलत नहीं है। चुनाव साथ (बीजेपी के) लड़ेंगे, क्यों नहीं लड़ेंगे।
सीट बंटवारे से पहले शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे अनुच्छेद 370 को लेकर केंद्र सरकार की तारीफ की थी। साथ ही उन्होंने राम मंदिर बनाने की मांग भी की थी। उन्होंने कहा था कि अब राम मंदिर के लिए इंतजार करने का कोई मतलब नहीं बनता है। ठाकरे ने कहा था कि हमनें शिवसेना कार्यकर्ताओं से कहा है कि वह तैयार रहे हैं। अब समय आ गया है जब राम मंदिर की आधारशिला अयोध्या में रखी जाएगी। यह वह मुद्दा है जिसे हमारे संस्थापक बालासाहेब ठाकरे ने देखा था।


यूपी: लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे अखिलेश

यूपी: लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे अखिलेश  संदीप मिश्र  लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। इसके ...