रविवार, 28 फ़रवरी 2021
रूसी राजनयिकों ने कोरिया में झेली कई मुसीबत
मास्को। कोरोना वायरस पाबंदियों के चलते उत्तर कोरिया में फंसे रूसी राजनयिकों को घर पहुंचने के लिए मुश्किल भरा रास्ता चुनना पड़ा। रूस के विदेश मंत्रालय ने यह जानकारी दी है। उनके 8 कर्मचारी और परिवार के सदस्य हाथ से चलने वाली रेलगाड़ी के बदौलत अपने देश वापस लौटे हैं। दरअसल, कोरोना पाबंदियों के चलते दोनों देशों को बीच हवाई सेवा लंबे समय से बंद है। खास बात है कि इस खतरनाक यात्रा पर राजनयिकों के साथ उनके छोटे बच्चे भी मौजूद थे।उत्तर कोरिया में कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के प्रयास में किम जोंग-उन ने हवाई सेवाओं पर रोक लगा दी थी। यह रोक करीब साल भर से जारी है। ऐसे में कुछ रूसी राजनयिक कोरिया में फंस गए थे। तमाम कोशिशों के बाद उन्हें घर वापसी का कोई रास्ता नहीं सूझा, तो उन्होंने हाथ से चलने वाली रेलगाड़ी की मदद से सफर पूरा किया। इस दौरान उन्होंने लंबे समय तक बस यात्रा भी की। राजनियकों की यात्रा ट्रेन से शुरू हुई। उन्होंने नॉर्थ कोरिया के पुराने और धीमी रेल व्यवस्था में करीब 32 घंटों तक सफर किया। राजनयिकों के इस समूह में दूतावास के तीसरे सचिव व्लादिस्लाव सोरोकिन और उनकी 3 साल की बेटी वारया भी मौजूद थे।
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
चेन्नई सुपर किंग्स ने ग्लीसन को टीम में शामिल किया
चेन्नई सुपर किंग्स ने ग्लीसन को टीम में शामिल किया इकबाल अंसारी चेन्नई। देश में इन दिनों आईपीएल की धूम मची हुई है। गत चैम्पियन चेन्नई सुपर...
-
यूपी में ग्रीष्मकालीन अवकाश की घोषणा: परिषद संदीप मिश्र/बृजेश केसरवानी लखनऊ/प्रयागराज। उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद की ओ...
-
55 साल की उम्र में भी बरकरार है खूबसूरती कविता गर्ग मुंबई। 55 की उम्र में भी यह हसीना बेहद खूबसूरत दिखती है, और मलाइका की हॉटनेस उसकी ...
-
महर्षि कश्यप के पुत्र पक्षीराज गरुड़ को भगवान विष्णु का वाहन कहा गया है। एक बार गरुड़ ने भगवान विष्णु से मृत्यु के बाद प्राणियों की स्थिति, ...
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
Thank you, for a message universal express.