शनिवार, 5 दिसंबर 2020

जलवायु नीति के बनायें फैसलों का दबाव बना

ब्रिटेन की जलवायु नीति ने बनाया तमाम देशों पर सही फ़ैसले लेने का दबाव


लंदन। जलवायु को लेकर ब्रिटेन के ऊंचे लक्ष्‍यों के कारण दुनिया के बाकी देशों पर आगामी 12 दिसम्‍बर को आयोजित होने वाली क्‍लाइमेट एम्‍बीशन समिट से पहले जलवायु सम्‍बन्‍धी चुनौती के सामने उठ खड़े होने का दबाव बढ़ गया है। ब्रिटेन ने सही दिशा में आगे बढ़ने का मौका लपक लिया है। उम्मीद है कि इससे अन्य देशों को भी वैश्विक तापमान को 1.5 डिग्री सेल्सियस से नीचे ही रखने के महत्वाकांक्षी लक्ष्य को हासिल करने के लिए प्रेरणा मिलेगी। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉन्सन ने प्रदूषणकारी तत्‍वों के उत्सर्जन में कटौती करने के ब्रिटेन के 2030 तक के लक्ष्य में उल्लेखनीय बढ़ोत्‍तरी करेंगे, ताकि अगले दशक में कार्बन मुक्ति के प्रयासों को तेज किया जा सके और अगले साल ग्लासगो में आयोजित होने जा रही सीओपी26 में जलवायु परिवर्तन से निपटने की दौड़ की वैश्विक अगुवाई को और मजबूत किया जा सके।
ब्रिटेन के पास 1990 के स्तरों के मुकाबले वर्ष 2030 तक ग्रीनहाउस गैसों के उत्सर्जन में 61% तक की कटौती करने का लक्ष्य है और सरकार ने आज एक मीडिया ब्रीफिंग में पत्रकारों से कहा कि इस लक्ष्य को कम से कम 68% तक बढ़ाया जाएगा। इसके लिए अगले एक दशक में डीकार्बोनाइजेशन की दर में कम से कम 50% का इजाफा करना होगा।          

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