रविवार, 19 जनवरी 2020

पाकिस्तान जेल में 5189 कैदी, गंभीर बीमार

इस्लामाबाद। पाकिस्तान में जेलों में सजा काट रहे कैदियों के बीच एचआईवी एड्स और अन्य जानलेवा बीमारियों से पीड़ित होने के बड़े तथ्य का खुलासा हुआ है। इस्लामाबाद उच्च न्यायालय में मानवाधिकारों के लिए संघीय मंत्री शिरीन मजारी द्वारा दाखिल एक रिपोर्ट में यह तथ्य सामने आया कि पाकिस्तान की जेलों में 5189 कैदी एड्स या अन्य गंभीर बीमारियों से पीड़ित हैं। न्यायालय ने दरअसल मज़ारी की अध्यक्षता वाली एक समिति का गठन किया था जिसमें जेल में सुविधाओं और सुधारों के लिए सिफारिश पर एक सम्पूर्ण रिपोर्ट बनाने के लिए कहा था। इस मामले में इस्लामाबाद उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश अथर मिनल्लाह ने एक कैदी खादिम हुसैन द्वारा जेल में खराब स्वास्थ्य सुविधाओं के मामले में दायर याचिका की सुनवाई भी फिर से शुरू कर दी है। रिपोर्ट में बताया गया है कि लगभग 425 कैदी एचआईवी/एड्स से संक्रमित हैं जिनमें पंजाब की जेलों में 225 पुरुष और दो महिलायें, सिंध की जेलों में 115 पुरुष और एक महिला जबकि बलूचिस्तान में 13 और खैबर पख्तूनख्वा में 39 कैदी इस बीमारी से पीड़ित पाए गए हैं। संघीय मंत्री शिरीन मजारी की रिपोर्ट में यह भी सामने आया है कि जेल में रह रहे 65 प्रतिशत कैदियों के मामले कोर्ट में लंबित पड़े हुए हैं। रिपोर्ट के मुताबिक पंजाब प्रांत में 55 प्रतिशत, खैबर पख्तूनख्वा में 71 प्रतिशत, सिंध में 70 प्रतिशत और बलूचिस्तान में 59 प्रतिशत कैदियों के मामले लंबित पड़े हैं। पंजाब में 290 पुरुष और आठ महिला, सिंध में 50, खैबर पख्तूनख्वा में 235 और बलूचिस्तान में 11 कैदी मानसिक रोगी हैं। रिपोर्ट में 1832 कैदी हेपेटाइटिस, 173 टीबी और 594 मानसिक रोग और 2,192 कैदी अन्य बीमारियों से पीड़ित है। जेलों में काम कर रहे 70 प्रतिशत कर्मचारी अपनी जिम्मेदारियों को लेकर भी अनजान और अशिक्षित हैं। न्यायाधीश मिनल्लाह ने संघीय मंत्री शिरीन मजारी की मानवाधिकार उल्लघंन से जुड़े मामलों पर अच्छा कार्य करने के लिए उनकी प्रशंसा भी की है।


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